टेलीविजन के पॉपुलर रियलिटी शो बिग बॉस 19 से फिनाले से ठीक पहले एक्ट्रेस कुनिका सदानंद एविक्ट हो गई हैं। वीकेंड का वार एपिसोड में सलमान खान ने उनके एविक्शन की घोषणा करते हुए उनकी जर्नी की तारीफ की है। इसके बाद अब आज शो में नॉमिनेशन टास्क होगा। इस टास्क का एक वीडियो सामने आया है, जिसमें मालती चाहर, तान्या मित्तल पर हाथ उठाती नजर आ रही हैं। कलर्स चैनल की तरफ से बिग बॉस 19 के नॉमिनेशन टास्क का एक प्रोमो वीडियो जारी किया गया है। टास्क के अनुसार, सभी कंटेस्टेंट्स को एक-एक कर ऐसे शख्स के चेहरे पर नॉमिनेशन स्टाम्प लगाना था, जिसे वो नॉमिनेट करना चाहते हैं। कॉमेडियन प्रणीत मोरे ने अमाल को नॉमिनेट किया, वहीं शहबाज ने तान्या को फेक कहते हुए उनके चेहरे पर स्टाम्प लगाया। अमाल ने गौरव खन्ना को नॉमिनेट किया जिसके बाद तान्या ने ये कहते हुए मालती को नॉमिनेट किया कि वो फिनाले के लिए डिजर्विंग नहीं लगती। जैसे ही तान्या ने स्टाम्प उठाया, मालती ने चेहरा आगे कर दिया, लेकिन तान्या ने मालती के गाल या माथे की जगह उनके मुंह पर स्टाम्प लगा दिया, जिससे वो भड़क गईं। इसके बाद मालती, तान्या को थप्पड़ मारती नजर आईं। सभी घरवालों ने इस पर शॉकिंग रिएक्शन दिया है, हालांकि ये साफ नहीं है कि मालती ने वाकई जोरदार थप्पड़ मारा है या नहीं। 7 दिसंबर को होगा बिग बॉस 19 का फिनाले कुनिका सदानंद के एविक्शन के बाद अब घर में अमाल मलिक, तान्या मित्तल, गौरव खन्ना, अशनूर कौर, फरहाना भट्ट, प्रणीत मौरे, मालती चहर और शहबाज बच गए हैं। इस हफ्ते ये सभी एविक्ट होने के लिए नॉमिनेटेड हैं। इसी बीच शो में टिकट टू फिनाले की रेस शुरू हो रही है, इसमें जीतने वाले कंटेस्टेंट्स को सीधे फिनाले में जाने का मौका मिलेगा। शो का फिनाले 7 दिसंबर को होने वाला है।
साउथ एक्टर धनुष और एक्ट्रेस मृणाल ठाकुर कुछ समय पहले अपनी लव लाइफ को लेकर चर्चा में थे। खबरें थीं कि दोनों एक-दूसरे को डेट कर रहे हैं। अब एक बार फिर ये दोनों अपने रिश्ते को लेकर सुर्खियों में आ गए हैं और इस बार वजह दोनों का किया गया एक कमेंट है। दरअसल, फिल्ममेकर संजय लीला भंसाली की नई फिल्म दो दीवाने सहर में में मृणाल ठाकुर और सिद्धांत चतुर्वेदी लीड रोल में नजर आने वाले हैं। 21 नवंबर को मेकर्स ने फिल्म का पहला पोस्टर शेयर किया, जिसके बाद इस पर फैंस के साथ कई सेलेब्स ने भी रिएक्शन दिए। इसी दौरान धनुष ने कमेंट करते हुए लिखा, देखने और सुनने में अच्छा लग रहा है। इसके जवाब में मृणाल ठाकुर ने रेड हार्ट और सूरजमुखी वाला इमोजी पोस्ट किया। इस कमेंट के बाद सोशल मीडिया पर एक बार फिर चर्चा शुरू हो गई कि धनुष और मृणाल ठाकुर एक-दूसरे को डेट कर रहे हैं। इससे पहले भी दोनों की डेटिंग की खबरें इसी साल अगस्त में फिल्म सन ऑफ सरदार 2 के प्रीमियर के दौरान सामने आई थीं। इसके अलावा धनुष की फिल्म तेरे इश्क में’ की रैप-अप पार्टी में भी मृणाल ठाकुर नजर आई थीं। हालांकि, अब तक दोनों की तरफ से इस मामले कोई रिएक्शन सामने नहीं आया है। बता दें, फिल्म दो दीवाने सहर की घोषणा करते हुए मेकर्स ने कैप्शन में लिखा, दो दिल, एक सहर और एक पूरी तरह से परफेक्ट प्रेम कहानी। इस वैलेंटाइन डे इश्क से इश्क हो जाएगा। साथ ही मेकर्स ने यह भी बताया कि फिल्म 20 फरवरी 2026 को रिलीज होगी।
बॉलीवुड के दिग्गज अभिनेता धर्मेंद्र का सोमवार को निधन हो गया। 89 साल की उम्र में उन्होंने मुंबई में अपने निवास पर अंतिम सांस ली। धर्मेंद्र का मध्यप्रदेश से भी कनेक्शन रहा है। उन्होंने यहां चार फिल्मों की शूटिंग की है। महेश्वर में उन्होंने अपने दोनों बेटों सनी देओल और बॉबी देओल के साथ दो फिल्मों की आधी से ज्यादा शूटिंग यही पर की थी। वहीं, मांडू में 1975 में 'किनारा' और 1984 में 'जीने नहीं दूंगा फिल्म की शूटिंग के लिए आए थे। दोनों ही फिल्मों में वे लीड रोल में थे। फिल्म 'किनारा' के चार सुपरहिट गीतों सहित लगभग 70 प्रतिशत शूटिंग जहाज महल में हुई थी। अकेले घूमने निकल जाते थे जब धर्मेंद्र मांडू में फिल्म की शूटिंग कर रहे थे, उस दौरान वे खाली वक्त में अकेले ही मांडू घूमने चले जाते थे। वे प्रशंसकों के साथ तस्वीरें खिंचवाते थे। सादगी से पेश आते थे। फिल्म 'जीने नहीं दूंगा' की शूटिंग के लिए वे 22 दिन तक तवेली महल रेस्ट हाउस और मालवा रिट्रीट में रुके थे। फिल्म 'जीने नहीं दूंगा' के बारे में: यह फिल्म 26 अक्टूबर 1984 को रिलीज हुई थी। राजकुमार कोहली द्वारा निर्देशित फिल्म में धर्मेंद्र ने दोहरी भूमिका निभाई थी। उनके साथ शत्रुघ्न सिन्हा, राज बब्बर, अनीता राज और रोशनी जैसे कलाकार भी मुख्य भूमिकाओं में थे। फिल्म का प्रसिद्ध गीत 'तुम याद ना आया करो' भी मांडू में ही फिल्माया गया था। सहज रूप से मिलते थे धर्मेंद्र मांडू में रहने वाले पंडित केदारनाथ बताते हैं कि मे 55 साल से पान की दुकान का संचालन मुख्य चौराहे पर कर रहा हूं। जब फिल्म किनारा और जीने नहीं दूंगा बनी थी, तब दुकान पर धर्मेंद्र और शत्रुघ्न सिन्हा पान खाने आए थे।उसके बाद वे 22 दिन यहां फिल्म 'जीने नहीं दूंगा' की शूटिंग कर रहे थे, तब उन्होंने रोज में अपनी दुकान से मसाले का पान लेकर उन्हें खिलाने जाता था। वाकई में धर्मेंद्र सहज हीरो थे। वे अपनेपन से मुझे मिलते थे। कभी नहीं लगता था कि वे हमसे मिलेंगे कि नहीं मिलेंगे। जब हम शूटिंग देखने जाते थे, तब वहां सहज रूप से हमारे पास आकर बात करते थे। वहीं, सोमनाथ तिवारी का कहना है कि धर्मेंद्र शूटिंग के दौरान भी गरीबों का ध्यान रखते थे। वह उन्हें कई चीजें दे जाते थे। वे सरल हृदय के थे। महेश्वर में की दो फिल्मों की शूटिंग इसके अलावा, खरगोन जिले में नर्मदा तट पर बसे महेश्वर में फिल्म यमला पगला दीवाना (2011) और यमला पगला दीवाना-2 (2013) की की शूटिंग हुई। दोनों ही फिल्मों ने महेश्वर को नई पहचान दी। दोनों फिल्मों का बड़ा हिस्सा लगभग आधी फिल्म महेश्वर में फिल्माया गया था। हालांकि फिल्म में इसे बनारस दिखाया गया था, लेकिन दर्शक महेश्वर के घाटों, किले और प्राचीन गलियों को देखने से खुद को रोक नहीं सके। फिल्म में धर्मेंद्र का किरदार 'परमवीर ढिल्लों' दिलदार व्यक्ति का है। महेश्वर के घाट पर उनका लोगों को झांसा देने, रंगीन गमछे पहनकर घूमने और बॉबी देओल के साथ मिलकर लोगों को ठगने वाले दृश्य फिल्माए गए थे। उनकी मुलाकात सनी देओल के किरदार से भी इसी नर्मदा तट जिसे बनारस घाट दिखाया गया। सीएम बोले- धर्मेंद्र का योगदान भूला नहीं जा सकता हेलीपैड पर श्रद्धांजलि देने के बाद मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि अभिनेता धर्मेंद्र का निधन हम सबके लिए कष्टकारी है। उन्होंने फिल्मी दुनिया में जिस प्रकार का योगदान दिया, उसे भुलाया नहीं जा सकता। धर्मेंद्र जी अपने समय के सर्वाधिक लोकप्रिय और सुपरहिट हीरो में से एक रहे। मुख्यमंत्री ने आगे कहा कि उनकी 'शोले' जैसी कई फिल्मों में उनके अद्भुत अभिनय को जीवन भर कोई भूल नहीं सकेगा। डॉ. यादव ने मध्य प्रदेश सरकार की ओर से विनम्र श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए कहा कि उनका योगदान सदैव पूरा देश स्मरण रखेगा। उन्होंने बाबा महाकाल से प्रार्थना की कि वे पवित्र आत्मा को अपने चरणों में स्थान दें। तोमर ने कहा- उनकी कला प्रदर्शन को याद करेंगे विधानसभा अध्यक्ष नरेंद्र सिंह तोमर ने भी अभिनेता धर्मेंद्र के निधन पर दुख व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि फिल्म जगत में उन्होंने अपने परिश्रम और कर्म से एक ऐसा स्थान बनाया, जिसने पूरे देश और दुनिया के अनेक देशों को प्रभावित किया। तोमर ने कहा कि भले ही वे आज शरीर से हमारे बीच नहीं हैं, लेकिन उनकी कला और उनका प्रदर्शन हमेशा याद रहेगा। उन्होंने दिवंगत आत्मा को श्रद्धांजलि अर्पित की।
हाल ही में नेटफ्लिक्स पर ‘डाइनिंग विद द कपूर्स’ डॉक्यूमेंट्री स्ट्रीम हुई है, जिसमें पूरा कपूर परिवार एक साथ नजर आ रहा है। एक्टर रणबीर कपूर भी शो का हिस्सा थे। अब रणबीर इस शो की वजह से सोशल मीडिया यूजर्स के निशाने पर आ गए हैं। दरअसल, सोशल मीडिया पर शो का एक क्लिप वायरल हो रहा है, जिसमें रणबीर मां नीतू कपूर, करीना कपूर, करिश्मा कपूर, रीमा जैन, सैफ अली खान और कपूर परिवार के बाकी मेंबर्स के साथ टेबल पर बैठे दिख रहे हैं। वायरल वीडियो में नजर आता है कि अरमान जैन ने कपूर फैमिली के लिए लॉन्च होस्ट किया था, जिसमें उन्होंने अपने दादा राज कपूर की फेवरेट फूड को रखा था। मेन्यू में जंगली मटन, फिश, पाया, छिलके वाली आलू, दही पकौड़ा कढ़ी समेत कई वेज और नॉन वेज डिश शामिल थीं। वीडियो में दिखाया गया है कि सभी साथ में फूड एंजॉय कर रहे हैं। लेकिन तभी सोशल मीडिया यूजर्स का मानना है कि रणबीर ने नॉन वेज खाया है। बता दें कि रणबीर जल्द ही नितेश तिवारी की फिल्म रामायण में राम की भूमिका में दिखेंगे। ऐसे में खबरें आई थीं कि उन्होंने राम की भूमिका के लिए नॉन वेज फूड और शराब से दूरी बना ली है। भगवान राम की भूमिका के लिए रणबीर पूरी तरह से सात्विक लाइफ स्टाइल फॉलो कर रहे हैं। अब सोशल मीडिया पर यूजर्स आलोचना कर रहे हैं कि झूठ बोलने की क्या जरूरत थी। एक यूजर ने लिखा- 'मुझे लगता है कि बॉलीवुड एक्टर्स की पीआर टीमों को निकाल देना चाहिए, खासकर आरके और आलिया भट्ट की। वे ऐसी मूर्खतापूर्ण बातें पोस्ट करने से पहले अपने क्लाइंट के पिछले वीडियो के बारे में जरा भी रिसर्च नहीं करते।’ रणबीर के प्रोजेक्ट्स की बात करें तो वो नितेश तिवारी की रामायण के अलावा संजय लीला भंसाली की अगली फिल्म लव एंड वॉर में भी नजर आने वाले हैं। इस फिल्म में उनके साथ आलिया भट्ट और विक्की कौशल भी काम कर रहे हैं।
दिग्गज अभिनेता धर्मेंद्र का निधन हो गया है। 89 साल के धर्मेंद्र ने सोमवार दोपहर अपने घर पर अंतिम सांस ली। उनका अंतिम संस्कार विले पार्ले श्मशान भूमि में हुआ। धर्मेंद्र के निधन पर पवन सिंह ने फेसबुक पर उनके साथ फोटो शेयर कर लिखा है- धर्मेंद्र जी के जाने की खबर ने दिल को भीतर तक तोड़ दिया है। आज ऐसा लगता है मानो पर्दे से नहीं, जिंदगी से ही एक रौशन उजाला चला गया हो। मेरा सौभाग्य रहा कि मुझे उनके साथ काम करने का अवसर मिला। सेट पर उनकी ममता, सरलता और इंसानियत आज भी याद करके आंखें नम हो जाती हैं। धर्मेंद्र ने भोजपुरी लड़के को पावर स्टार बना दिया पवन सिंह ने एक मंच पर पवन सिंह ने हिंदी सिनेमा के ‘ही-मैन’ धर्मेंद्र के साथ अपने रिश्ते और संघर्ष के दिनों की याद ताजा की थी। उन्होंने बताया था कि कैसे एक दौर में वे इंडस्ट्री में अपनी पहचान बनाने के लिए जूझ रहे थे, लेकिन किस्मत ने उन्हें सीधे उस दिग्गज अभिनेता के साए में ला खड़ा किया, जिन्हें वे बचपन से पर्दे पर देखते और भगवान की तरह मानते आए थे। संघर्ष, स्ट्रगल और स्टारडम के इस सफर में धर्मेंद्र ने न सिर्फ उन्हें मौका दिया, बल्कि ऐसे शब्दों की सीख दी, जो आगे चलकर उनके करियर और स्वभाव का स्थायी हिस्सा बन गई। पवन के मुताबिक, भोजपुरी फिल्म के सेट पर हुई पहली मुलाकात ने उनकी सोच बदल दी। वे बताते हैं कि उस दिन उन्हें समझ आया कि बड़े स्टार होने का मतलब सिर्फ चमक–दमक नहीं, बल्कि जमीन से जुड़े रहना भी है। धर्मेंद्र की यही सीख, और पहला बड़ा ब्रेक, आज पवन सिंह के लिए जिंदगी का ऐसा किस्सा बन चुका है, जिसे वे हर मंच से दोहराना चाहते हैं, ताकि नए कलाकार भी इससे सीख ले सकें। पवन सिंह ने बताया था कि, जब मैं इंडस्ट्री में नया–नया था, तब सिर्फ एक तमन्ना थी कि किसी दिन बड़े पर्दे पर अपने हीरो के साथ काम करूं। बचपन से धर्मेंद्र जी को फिल्मों में देखता आया था, लेकिन कभी सोचा नहीं था कि एक दिन उनके साथ एक ही फ्रेम शेयर कर पाऊंगा। लड़खड़ाते हुए धर्मेंद्र के पास पहुंचे पवन सिंह एक भोजपुरी फिल्म के लिए मुझे साइन किया गया और खबर मिली कि उसमें धर्मेंद्र जी भी काम कर रहे हैं। ये सुनते ही जैसे यकीन ही नहीं हुआ। शूटिंग के पहले दिन मैं सेट पर था, लेकिन हिम्मत ही नहीं पड़ रही थी कि उनकी वैनिटी वैन के पास जाऊं। अंदर से डर भी था और एक अजीब-सा संकोच भी कि पता नहीं क्या कहूंगा। उसी दौरान किसी ने आकर कहा- “धरम जी बुला रहे हैं।” इतना सुनते ही मेरे कदम लड़खड़ा गए। दिल की धड़कन तेज थी, हाथ पसीने से भीगे थे। जैसे-तैसे हिम्मत करके वैनिटी वैन के अंदर गया। उन्होंने मुस्कुराकर कहा, “आओ बेटा, बैठो।” उस पल लगा जैसे कोई अपना बुजुर्ग मुझे गले से लगा रहा हो। हमने शूट, किरदार और फिल्मों की बातें कीं। मैंने उन्हें बताया कि मैं स्ट्रगल से आया हूं, और ये मौका मेरे लिए कितना बड़ा है। उन्होंने बहुत सादगी से कहा कि मेहनत करते रहो, स्टार बन जाओ तो भी सिर झुकाकर चलना, लोगों से प्यार से बात करना, क्योंकि यही तुम्हें लंबी रेस का घोड़ा बनाएगा। डायलॉग भूलता तो कहते- टेंशन मत लो बेटा मेरे लिए सबसे बड़ा चमत्कार ये था कि उन्होंने सिर्फ सलाह ही नहीं दी, बल्कि सचमुच मुझे मौका भी दिया। उसी प्रोजेक्ट ने मेरे करियर को नया मोड़ दिया। सेट पर जब मैं सीन दे रहा होता था और कैमरे के ठीक सामने धर्मेंद्र जी खड़े होते थे, तो कई बार डायलॉग भूल जाता था, सिर्फ उन्हें देखता रह जाता था। वे हंसकर कहते, “टेंशन मत लो बेटा, आराम से बोलो।” आज भी जब पीछे मुड़कर देखता हूं, तो लगता है कि अगर उस समय धर्मेंद्र जी जैसा बड़ा स्टार मुझे सपोर्ट न करता, तो शायद मेरी जर्नी कुछ और होती। मेरे लिए वे सिर्फ सुपरस्टार नहीं, एक ऐसे गुरु हैं, जिन्होंने मुझे पहला बड़ा प्लेटफॉर्म दिया और सिखाया कि ऊंचाई पर पहुंचकर भी इंसान छोटा नहीं होना चाहिए। यही वजह है कि हर इंटरव्यू, हर स्टेज पर मैं ये किस्सा जरूर सुनाता हूं, ताकि लोग जान सकें कि मेरे जैसे लड़के की जिंदगी में धर्मेंद्र जी की क्या जगह है। --------------- ये खबर भी पढ़िए... एक्टर धर्मेंद्र का 89 साल की उम्र में निधन:अंतिम संस्कार के बाद विले पार्ले श्मशान घाट से निकलीं हेमा-ईशा; अमिताभ, सलमान-आमिर भी मौजूद रहे दिग्गज अभिनेता धर्मेंद्र का निधन हो गया है। 89 साल के धर्मेंद्र ने सोमवार दोपहर अपने घर पर अंतिम सांस ली। उनका अंतिम संस्कार विले पार्ले श्मशान भूमि में हुआ, जिसमें सलमान खान, संजय दत्त, अमिताभ बच्चन, आमिर खान समेत कई सेलेब्स पहुंचे। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दिग्गज अभिनेता धर्मेंद्र के निधन को एक युग के अंत का संकेत कहा है। धर्मेंद्र के परिवार ने उनके निधन की आधिकारिक तौर पर पुष्टि नहीं की। दोपहर में उनके घर के बाहर एम्बुलेंस पहुंची थी और विले पार्ले श्मशान भूमि में सिक्योरिटी बढ़ा दी गई थी। इसके बाद उनका पार्थिव शरीर एम्बुलेंस से श्मशान घाट पहुंचाया गया। पूरी खबर पढ़िए
बॉलीवुड के दिग्गज अभिनेता धर्मेंद्र का 24 नवंबर को 89 साल की उम्र में निधन हो गया। दोपहर बाद मुंबई के विले पार्ले श्मशान भूमि में उनका अंतिम संस्कार किया गया। धर्मेंद्र का जन्म लुधियाना के साहनेवाल में हुआ था। इनके पिता गांव के सरकारी स्कूल में हेडमास्टर थे। आज धर्मेंद्र को पूरा देश ही-मैन के नाम से जानता है। धर्मेंद्र ने साहनेवाल में जिस घर में अपना बचपन बिताया, अब भी वो घर वैसा का वैसा है। हालांकि वह अपना पैतृक घर बेच चुके हैं और वहां पर नया घर बन चुका है। इसके बाहर अभी भी धर्मेंद्र हाउस लिखा है। पड़ोसियों का कहना है कि भाईदूज पर धर्मेंद्र यहां आए थे। हम हमेशा सरकारी स्कूल जाते थे। साथ ही पास के डेरे में लस्सी जरूर पीते थे। यहां रहने वाली बुजुर्ग महिला माया ने बताया कि मैं और धर्मेंद्र बचपन में साथ खेलते थे। जब भी धर्मेंद्र यहां आते थे मैं उन्हें राखी बांधती थी, लेकिन अब कहानी खत्म हो गई। यह कहते हुए माया के आंख में आंसू आ गए। धर्मेंद्र से जुड़े पल-पल के अपडेट्स जानने के लिए नीचे ब्लॉग से गुजर जाइए...
वो दौर जब मोहब्बत खतों में लिखी जाती थी और प्यार का इजहार गानों में किया जाता था, तब परदे पर एक मुस्कुराता चेहरा आया, नाम है धर्मेंद्र। उनकी आंखों की चमक, उनकी सादगी और उनके गानों का जादू बस दिल में उतर जाता था।धर्मेंद्र के गाने सिर्फ सुने नहीं गए, उन्हें महसूस किया गया, जिया गया और उन पर थिरका गया, जिन्हें कई पीढ़ियां सदियों तक याद रखेंगी। यह कहानी उन्हीं सुरों की महक की है, जो आज भी “पल पल दिल के पास” धड़कती है, जिन सुरों ने थिरकना सिखाया और दोस्ती की नई परिभाषा बनाई-
दिग्गज अभिनेता धर्मेंद्र का निधन हो गया है। इसी बीच सोमवार को धर्मेंद्र की आखिरी फिल्म इक्कीस से उनका लुक सामने आया है। साथ ही एक्टर की आवाज में एक वॉइस नोट भी शेयर किया गया, जिसने उनके फैंस को भावुक कर दिया। फिल्म के मेकर्स ने इंस्टाग्राम पर इक्कीस का पोस्टर शेयर करते हुए लिखा, पिता बेटों का पालन-पोषण करते हैं। महापुरुष राष्ट्र का निर्माण करते हैं। धर्मेंद्र जी, 21 वर्षीय अमर सैनिक के पिता के रूप में एक भावनात्मक शक्ति हैं। एक कालातीत किंवदंती हमें दूसरी कहानी सुनाती है। इस पोस्टर के बैकग्राउंड में धर्मेंद्र की आवाज भी है, जिसमें वह कहते हैं, यह मेरा बड़ा बेटा अरुण है और यह हमेशा 21 का ही रहेगा। वहीं, धर्मेंद की आवाज सुनकर उनके फैंस इमोशनल हो रहे हैं। बता दें, ‘इक्कीस’ का निर्देशन श्रीराम राघव ने किया है। यह एक वॉर ड्रामा है, जो सेकेंड लेफ्टिनेंट अरुण खेत्रपाल की सच्ची कहानी पर आधारित है। अरुण खेत्रपाल भारत के सबसे युवा परमवीर चक्र विजेता थे, जिन्होंने 1971 के भारत–पाक युद्ध में असाधारण वीरता दिखाई थी। फिल्म में अमिताभ बच्चन के नाती अगस्त्य नंदा अरुण खेत्रपाल की भूमिका निभा रहे हैं, जबकि धर्मेंद्र उनके पिता बने हैं। अगस्त्य नंदा की यह पहली थिएटर रिलीज फिल्म होगी। इससे पहले वे जोया अख्तर की ‘द आर्चीज’ में नजर आ चुके हैं, जो नेटफ्लिक्स पर रिलीज हुई थी।
बॉलीवुड के दिग्गज अभिनेता धर्मेंद्र का आज 89 साल की उम्र में निधन हो गया। पंजाब के छोटे से गांव नसराली में जन्में धर्मेंद्र एक सरकार स्कूल के हेडमास्टर के बेटे थे, जिन्हें आज पूरा देश ही-मैन के नाम से जानता है। 10वीं क्लास में दिलीप कुमार की फिल्म देखकर हीरो बनने का ख्वाब देखने वाले धर्मेंद्र एक टैलेंट हंट कॉम्पिटिशन ने धर्मेंद्र और हिंदी सिनेमा को आपस में ऐसा बांधा कि आज भी इन दोनों को अलग-अलग सोचना संभव नहीं है। ग्राफिक्स स्टोरी में जानिए कैसे हेडमास्टर के बेटे धर्मेंद्र बने हिंदी सिनेमा के स्टार-
विजयता पंडित के छोटे बेटे अनिवेश श्रीवास्तव की कार का एक्सीडेंट होने की खबरें सामने आई हैं, हालांकि दैनिक भास्कर से विजयता पंडित के परिवार से जुड़े करीबी सूत्र ने बताया है कि ये खबर अफवाह है। सामने आईं रिपोर्ट्स में ये भी दावा किया जा रहा था कि जिस चौराहे को कार से टक्कर लगी है, वहां अविनेश के पिता दिवंगत सिंगर आदेश श्रीवास्तव के नाम पर बना था, जिसे काफी नुकसान पहुंचा है। दैनिक भास्कर से बातचीत में विजयता पंडित के परिवार के करीबी सूत्र ने बताया है कि ये खबर झूठ है। पहले भी यही झूठी खबर आ चुकी है। महाराष्ट्र के लोकल न्यूज चैनल जागृत महाराष्ट्र की रिपोर्ट में दावा किया गया है कि हरियाणा की नंबर प्लेट वाली एक SUV लोखंडवाला क्रॉसिंग पर जा टकराई, जिससे डिवाइडर को नुकसान पहुंचा और स्टैच्यू पूरी तरह टूट गया है। जिस कार का एक्सीडेंट हुआ है, वो एक्ट्रेस विजयता पंडित के नाम पर रजिस्टर्ड है, जिसे उनके बेटे अनिवेश श्रीवास्तव ड्राइव करते हैं। एक्सीडेंट की खबर सामने आने के बाद रेडिट पर कुछ तस्वीरें पोस्ट की गई हैं, जिनमें डैमेज कार के साथ विजयता पंडित के बड़े बेटे अवितेज श्रीवास्तव नजर आ रहे हैं। 2016 में हुआ था आदेश श्रीवास्तव चौक का उद्घाटन पॉपुलर सिंगर आदेश श्रीवास्तव का साल 2015 में निधन हुआ था, जिसके बाद 2016 में उनके नाम पर लोखंडवाला में चौराहा बनवाया गया था। 6 सितंबर 2016 को इसका उद्घाटन आदेश श्रीवास्तव की पत्नी विजयता पंडित और बेटों अवितेश-अनिवेश श्रीवास्तव ने किया था। इस दौरान जैकी श्रॉफ समेत कई सेलेब्स मौजूद रहे थे। पहले भी विवादों में रहा विजयता पंडित के बड़े बेटे अवितेश श्रीवास्तव का नाम साल 2018 में अवितेश श्रीवास्तव के खिलाफ मुंबई के जुहू पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज हुई थी। आरोप थे कि उन्होंने एक म्यूजिक कंपोजर को उन्हीं के स्टूडियो में बंद कर पीटा था। शिकायतकर्ता के अनुसार, उन्होंने अवितेश श्रीवास्तव का स्टूडियो 1 लाख रुपए महीने के किराए पर लिया था और 4 लाख रुपए डिपॉजिट दिया था। उन्होंने मार्च 2018 में स्टूडियो खाली कर दिया था, लेकिन इसके बावजूद अवितेश उनसे कॉन्ट्रैक्ट तोड़ने के नाम पर 12 लाख रुपए मांग रहे थे। जब उन्होंने पैसे नहीं दिए, तो अवितेश ने स्टूडियो में बंद कर उनके साथ मारपीट की थी। बता दें कि एक्ट्रेस विजयता पंडित ने 1990 में पॉपुलर सिंगर आदेश श्रीवास्तव से शादी की थी। इस शादी से उन्हें दो बेटे अवितेज और अनिवेश हैं।
दिग्गज अभिनेता धर्मेंद्र का निधन हो गया। 89 साल के एक्टर ने सोमवार को घर पर ही अंतिम सांस ली। धर्मेंद्र 14वीं लोकसभा में साल 2004 से 2009 तक बीकानेर से सांसद रहे थे। सांसद रहते हुए वे काफी विवादों में रहे थे। यहां तक कि जब वे एक साल तक क्षेत्र में नहीं आए तो किसानों ने 'गुमशुदगी' के पोस्टर तक लगा दिए थे। इसी बीच वे 'हिटलर राज' की तारीफ करके विवादों में आ गए थे। सभी जानते थे कि धर्मेंद्र सांसद के रूप में बीकानेर बहुत कम रहे, लेकिन मुंबई में रहकर भी बीकानेर की सूरसागर समस्या का निराकरण करने में मुख्य भूमिका निभाई। कांग्रेस के रामेश्वर डूडी के सामने भाजपा ने धर्मेंद्र को उतारा था। कांटे की टक्कर को देखते हुए धर्मेंद्र ने बेटे बॉबी और सनी देओल को जनसभा के लिए बुलाया था। डूडी के सामने लड़ा था चुनावसाल 2004 में कांग्रेस ने अपने पूर्व सांसद रामेश्वर डूडी को फिर से मैदान में उतारा तो भाजपा ने एक कदम आगे बढ़ते हुए फिल्म अभिनेता धर्मेंद्र को प्रत्याशी बना दिया था। जाट वोट बैंक पर तगड़ा उम्मीदवार सामने आने के बाद भी रामेश्वर डूडी ने धर्मेंद्र को कड़ी टक्कर दी। अंत में जब धर्मेंद्र और डूडी के बीच मुकाबला कांटे का हो गया तो धर्मेंद्र ने बेटों सनी और बॉबी देओल को बीकानेर बुलाया था। इन दोनों ने रेलवे स्टेडियम में एक जनसभा की थी। इसके बाद शहरी क्षेत्र में माहौल बदल गया और धर्मेंद्र 57 हजार वोटों से चुनाव जीत गए थे। खास बात यह थी कि बीकानेर शहर के अलावा सभी सीटों से धर्मेंद्र पीछे रहे थे। अकेले बीकानेर शहर से इतनी लंबी लीड ली थी कि सभी पांच विधानसभा सीटों का अंतर बराबर कर दिया था। डूडी को बताया था छोटा भाईधर्मेंद्र ने अपने चुनाव प्रचार के दौरान कभी रामेश्वर डूडी का नाम लेकर विरोध नहीं किया। उनकी कोई कमी नहीं गिनाई। बल्कि जहां भी उनसे पूछा जाता कि डूडी मजबूत उम्मीदवार हैं तो वो ये ही कहते थे कि रामेश्वर मेरे छोटे भाई जैसे हैं।उधर, डूडी ने भी अपने प्रचार में कभी धर्मेंद्र पर व्यक्तिगत हमला नहीं किया था। हालांकि कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने उन पर धर्म परिवर्तन करने सहित अनेक आरोप लगाए थे। सूरसागर के लिए किया था कामबीकानेर चुनाव प्रचार के दौरान धर्मेंद्र को सूरसागर की गंदगी हमेशा अखरती थी। उन्होंने तत्कालीन मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे से इस बारे में चर्चा की थी। बजट की समस्या आई तो वे स्वयं दिल्ली में केंद्रीय मंत्रियों से मिले और सूरसागर के लिए अतिरिक्त बजट दिलाया था।इतना ही नहीं, अपने सांसद कोटे से भी इस काम के लिए बजट दिया था। हालांकि सूरसागर की सफाई का सारा श्रेय तत्कालीन मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे को ही मिला था। गुमशुदा के पोस्टर से दुखी हुए थेसांसद के रूप में धर्मेंद्र बीकानेर बहुत कम आते थे। इस कारण बीकानेर शहर के स्थानीय लोगों ने उनके खिलाफ एक पोस्टर तैयार किया था। इसमें धर्मेंद्र के फोटो के ऊपर लिखा 'गुमशुदा'। इस पोस्टर को बड़ा मीडिया कवरेज मिला तो धर्मेंद्र दुखी हुए थे। उन्होंने तुरंत बीकानेर आने का निर्णय किया। वे दो-चार दिन बाद ही बीकानेर आए और सर्किट हाउस में ठहरे थे। यहां बिना किसी तामझाम के सभी कार्यकर्ताओं से और जनता से मिले थे। धर्मेंद्र ने कई पत्रकारों को पीड़ा बताई थी कि उनके लिए ऐसे पोस्टर लगाए गए थे। सुराना को बोले थे 'कोट वाले नेताजी'लोकसभा चुनाव के दौरान भाजपा ने तत्कालीन नेता मानिकचंद सुराना को उनका चुनाव प्रभारी बनाया था। ऐसे में सुराना ही उनके दिनभर के कार्यक्रम तय करते थे और उस कार्यक्रम के हिसाब से नहीं चलने पर नाराज होते थे।धर्मेंद्र कहीं भी जाते तो ये कहते कि 'कोट वाले नेताजी' से पूछ लो। सुराना हर वक्त कोट पहनते थे। कई बार उनकी और सुराना की तकरार भी होती, लेकिन वे सुराना को पूरा सम्मान देते थे। सुराना के अलावा भाजपा नेता सत्यप्रकाश आचार्य भी उनके चुनाव प्रचार के दौरान साथ में रहते थे। सांसद कोटे का पूरा उपयोगधर्मेंद्र ने आम सांसद की तरह अपने कोटे का पूरा उपयोग किया था। कोई भी समाज, संगठन या संस्थान उनसे वित्तीय सहयोग की अपील करती तो धर्मेंद्र निराश नहीं करते थे। आज भी बीकानेर में कई जगह धर्मेंद्र के नाम के बोर्ड लगे हुए हैं, जिसमें उनके सांसद कोटे का उपयोग हुआ था। आमतौर पर भाजपा नेता सत्यप्रकाश आचार्य और उनके निजी सचिव कमल व्यास की अनुशंसा पर धर्मेंद्र कोटे की राशि स्वीकृत कर देते थे। बीकानेर में है धर्मेंद्र के जबरदस्त फैनधर्मेंद्र ने बीकानेर से चुनाव तो साल 2004 में लड़ा था, लेकिन उनके दीवाने शुरू से रहे हैं। बीकानेर में एक युवा ने उनके नाम से मंदिर ही बना दिया। उसी युवक ने बाद में धर्मेंद्र स्टूडियो के नाम से अपना प्रतिष्ठान बनाया। इसके अलावा अमरसिंहपुरा में भी उनके फैन हैं। जो हर साल धर्मेंद्र का जन्मदिन सेलिब्रेट करते थे।
धर्मेंद्र के घर पहुंची एंबुलेंस:फिर तबीयत बिगड़ने की खबरें, घर के बाहर की गई बैरिकेडिंग
दिग्गज अभिनेता की तबीयत बिगड़ने की खबर आ रही है। सोमवार दोपहर को उनके घर में एम्बुलेंस पहुंची है, जिसके बाद से ही घर के बाहर सिक्योरिटी बढ़ा दी गई है और बैरिकेडिंग की गई है। 12 नवंबर को हॉस्पिटल से हुए थे डिस्चार्ज दिग्गज अभिनेता धर्मेंद्र को 12 नवंबर को ब्रीच कैंडी हॉस्पिटल से डिस्चार्ज किया गया है। वो दो दिन वैंटिलेटर पर थे। धर्मेंद्र को सांस लेने में तकलीफ थी, जिसके चलते उन्हें 10 नवंबर को ब्रीच कैंडी हॉस्पिटल में एडमिट करवाया गया था। धर्मेंद्र के डिस्चार्ज होने के बाद हेमा मालिनी ने पत्रकार सुभाष के. झा से कहा कि मेरे लिए यह समय बिल्कुल आसान नहीं था। धरमजी की सेहत हमारे लिए बहुत बड़ी चिंता है। उनके बच्चे भी रात–रात भर जाग रहे हैं। एक्ट्रेस ने आगे कहा, मैं कमजोर नहीं पड़ सकती, मेरे ऊपर बहुत जिम्मेदारियां हैं, लेकिन हां, मैं खुश हूं कि वह घर लौट आए हैं। हम सबको राहत मिली है कि अब वह अस्पताल से बाहर हैं। उन्हें अपने लोगों के बीच रहना चाहिए। बाकी सब ऊपरवाले के हाथ में है। कृपया हमारे लिए दुआ करें। पैपराजी पर भड़के सनी देओल गुरुवार सुबह सनी देओल मीडिया पर नाराज हो गए। सनी ने हाथ जोड़ते हुए फोटोग्राफर्स और पैपराजी से कहा- आपके घर में भी मां-बाप हैं, बच्चे हैं, आपको शर्म नहीं आती? इस दौरान सनी देओल ने कुछ अपशब्द भी कहे। धर्मेंद्र के डिस्चार्ज होने के बाद मीडिया से बात करते हुए डॉ. प्रतीत समदानी ने बताया कि एक्टर पिछले कई हफ्तों से कभी अस्पताल में भर्ती हो रहे थे, तो कभी घर लौट रहे थे। डिस्चार्ज के बाद परिवार ने प्राइवेसी की अपील की थी धर्मेंद्र के डिस्चार्ज होने के बाद परिवार ने प्राइवेसी की अपील करते हुए आधिकारिक बयान जारी कर कहा था- धर्मेंद्र जी को अस्पताल से छुट्टी मिल गई है और अब वे घर पर आराम करेंगे। हम मीडिया और लोगों से अनुरोध करते हैं कि वे किसी तरह की अफवाह न फैलाएं और इस समय उनकी तथा परिवार की प्राइवेसी का सम्मान करें। हम सभी का धन्यवाद करते हैं जिन्होंने धर्मेंद्र जी की अच्छी हेल्थ और लंबी उम्र के लिए दुआ की। कृपया उनका सम्मान करें क्योंकि वे आप सभी से बहुत प्यार करते हैं। परिवार ने निधन की फर्जी खबरों पर नाराजगी जताई थी 11 नवंबर की सुबह मीडिया में एक्टर की निधन की फर्जी खबर आई थी, जिसके बाद उनकी बेटी ईशा देओल और पत्नी हेमा मालिनी ने नाराजगी जताई थी। ईशा ने सोशल मीडिया पर बयान जारी कर कहा था- मीडिया पूरी तरह गलत खबरें फैला रहा है। पापा की हालत स्थिर है और वे रिकवर कर रहे हैं। हम सभी से निवेदन करते हैं कि हमारे परिवार की प्राइवेसी का सम्मान करें। पापा की जल्दी सेहतमंदी के लिए दुआ करने के लिए धन्यवाद। हेमा मालिनी ने भी निधन की खबरें सामने आने के बाद नाराजगी जताते हुए लिखा था- जो हो रहा है, वह माफ करने लायक नहीं है। जिम्मेदार चैनल किसी ऐसे व्यक्ति के बारे में झूठी खबरें कैसे फैला सकते हैं जो इलाज का जवाब दे रहा है और ठीक हो रहा है? यह बेहद असम्मानजनक और गैर-जिम्मेदाराना व्यवहार है। कृपया परिवार और उनकी निजता की आवश्यकता का सम्मान करें। मंगलवार सुबह धर्मेंद्र के निधन की खबर मीडिया में आने के बाद रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने सोशल मीडिया एक्स पर दुख जताया था। हालांकि, बाद में उन्होंने अपनी पोस्ट हटा ली थी। धर्मेंद्र 10 नवंबर को अस्पताल में भर्ती हुए थे। खबर मिलते ही बॉबी देओल फिल्म की शूटिंग छोड़कर मुंबई लौटे। वहीं सनी देओल भी लगातार हॉस्पिटल में मौजूद रहे। ईशा देओल, हेमा मालिनी भी कई बार हॉस्पिटल पहुंचे। इस दौरान धर्मेंद्र का परिवार बेहद भावुक नजर आया। 31 अक्टूबर को भी हुए थे अस्पताल में भर्ती धर्मेंद्र को 31 अक्टूबर को भी अस्पताल में भर्ती करवाया गया था। पत्रकार विक्की ललवानी ने अपनी पोस्ट में बताया था कि सांस लेने में तकलीफ होने के चलते धर्मेंद्र को ब्रीच कैंडी हॉस्पिटल में भर्ती करवाया गया था। उन्हें ICU में रखा गया था। उनके सारे शरीर के पैरामीटर ठीक होने पर उन्हें कुछ ही घंटों में डिस्चार्ज कर दिया गया था। इसी साल की शुरुआत में धर्मेंद्र की कॉर्निया ट्रांसप्लांट सर्जरी हुई थी। उनकी बाईं आंख की पारदर्शी परत यानी कॉर्निया डैमेज हो गई थी, जिसके बाद उनका कॉर्निया ट्रांसप्लांट (केराटोप्लास्टी) किया गया था। धर्मेंद्र को साल 2015-2020 के बीच कई बार पीठ दर्द, मांसपेशियों में खिंचाव और कमजोरी की शिकायत हुई थी। उन्हें पीठ दर्द और थकान की वजह से अस्पताल में भर्ती होना पड़ा था। जल्द रिलीज होगी धर्मेंद्र की फिल्म धर्मेंद्र फिल्म इक्कीस में नजर आएंगे। ये फिल्म भारत-पाकिस्तान के बीच हुई जंग के यंग सोल्जर अरुण खेत्रपाल की कहानी है। अमिताभ बच्चन के नातिन अगस्त्य नंदा ने फिल्म में अरुण खेत्रपाल की भूमिका निभाई है, जबकि धर्मेंद्र उनके पिता एम.एल.खेत्रपाल के रोल में हैं।
अजय देवगन और रकुल प्रीत सिंह की फिल्म दे दे प्यार दे 2 को रिलीज हुए 10 दिन हो चुके हैं, लेकिन कमाई के मामले में यह हाल ही में रिलीज हुई अन्य फिल्मों से आगे बनी हुई है। फिल्म अब तक 61.85 करोड़ रुपए का कलेक्शन कर चुकी है। सैकनिल्क के मुताबिक, फिल्म ने 10वें दिन (रविवार) को 4.50 करोड़ रुपए की कमाई की, जिसके बाद इसका कुल कलेक्शन 61.85 करोड़ रुपए हो गया है। वहीं 21 नवंबर को रिलीज हुई ‘मस्ती 4’ ने अब तक 8.59 करोड़ रुपए और 120 बहादुर ने 10.14 करोड़ रुपए का कलेक्शन किया है। ‘दे दे प्यार दे 2’ का 10 दिनों का बॉक्स ऑफिस कलेक्शन पहला दिन- 8.75 करोड़दूसरा दिन- 12.25 करोड़तीसरा दिन 13.75 करोड़चौथा दिन- 4.25 करोड़पांचवां दिन- 5.25 करोड़छठा दिन- 3.50 करोड़सातवां दिन- 3.35 करोड़आठवां दिन- 2.25 करोड़नौवां दिन- 4 करोड़दसवां दिन- 4.50 करोड़ टोटल कलेक्शन- 61.85 करोड़ रुपए 14 नवंबर को रिलीज हुई थी फिल्म दे दे प्यार दे 2 में अजय देवगन और रकुल प्रीत सिंह के अलावा आर माधवन, गौतमी कपूर, इशिता दत्ता, जावेद जाफरी और मीजान जाफरी भी हैं। फिल्म की कहानी 52 साल के तलाकशुदा एनआरआई इन्वेस्टर आशीष मेहरा (अजय देवगन) की है, जिससे 27 साल की आयशा (रकुल प्रीत सिंह) प्यार करने लगती है।
पंजाबी सिंगर हरजीत हरमन ने फेसबुक पोस्ट कर अपने जिंदा होने का सबूत दिया है। उन्होंने लिखा कि वह अभी जिंदा हैं, कुछ लोगों ने सोशल मीडिया पर व्यू लेने के चक्कर में हरमन सिद्धू की जगह उनको ही मृत करार दे दिया। अभी वाहेगुरु की कृपा से वह ठीक हैं और अपने चाहने वालों के लिए शो कर रहे हैं। हरजीत हरमन ने फेसबुक पर हरमन सिद्धू की फोटो पोस्ट कर उन्हें श्रद्धांजलि देते हुए लिखा- अलविदा वाई (भाई)। उन्होंने कहा कि कुछ लोगों ने जिम्मेदारी न निभाते हुए नाम की गलती के चलते और जल्दबाजी में उनको ही मार दिया। ऐसे मामलों में लोगों को अपनी जिम्मेदारी समझनी चाहिए। पंजाबी सिंगर हरमन सिद्धू की 2 दिन पहले सड़क हादसे में मौत हो गई थी। उनकी कार की एक ट्रक से टक्कर हो गई थी। पढ़ें हरजीत हरमन ने अपनी पोस्ट में क्या लिखा... मित्तरां दा नां चलदा से हिट हुए हरजीत हरमनपंजाब के नाभा में पैदा हुए हरजीत हरमन ने पंजाबी म्यूजिक इंडस्ट्री में 2002 से डेब्यू किया। उनकी पहली एलबम जंजीर थी। इसका गीत मित्तरां दा ना चलदा, इतना हिट हुआ कि पंजाब के बच्चे-बच्चे की जुबान पर चढ़ गया। इसके बाद हरजीत हरमन ने एक के बाद एक कई हिट सांग दिए। हरजीत हरमन 100 से ज्यादा गीत गा चुके हैं। इस दिनों हरजीत हरमन नए गीतों की रिलीजिंग से ज्यादा स्टेज शो करते हैं। रोजाना होने वाले अपने स्टेज शो की वीडियो अपने इंस्टा अकाउंट पर शेयर करते हैं। ट्रक में टक्कर लगने से हुई थी हरमन सिद्धू की मौतपंजाबी सिंगर हरमन सिद्धू की 2 दिन पहले सड़क हादसे में मौत हो गई थी। हादसा शुक्रवार रात करीब 12 बजे हुआ। उनकी कार एक ट्रक से टकरा गई थी, जिससे मौके पर ही उनकी मौत हो गई। हरमन सिद्धू मानसा से अपने गांव ख्याला जा रहे थे। मानसा पुलिस ने मौके पर पहुंचकर शव को सिविल अस्पताल पहुंचाया और परिवार को सूचित किया। हरमन सिद्धू का उनके गांव ख्याला में अंतिम संस्कार किया गया।हरमन सिद्धू की मौत से पंजाबी म्यूजिक इंडस्ट्री में शोक की लहर है। ------------------------ यह खबर भी पढ़ें... पंजाबी सिंगर हरमन की एक्सीडेंट में मौत, घर लौटते वक्त ट्रक से टकराई कार, शूटिंग से लौट रहे थे; मिस पूजा संग हिट हुई थी जोड़ी पंजाबी सिंगर हरमन सिद्धू की देर रात सड़क हादसे में मौत हो गई। हादसा शुक्रवार रात करीब 12 बजे हुआ। उनकी कार एक ट्रक से जा टकराई, जिससे मौके पर ही उनकी मौत हो गई। रात के वक्त हरमन सिद्धू मानसा से अपने गांव ख्याला जा रहे थे। (पूरी खबर पढ़ें)
बॉलीवुड एक्ट्रेस श्रद्धा कपूर को हाल ही में फिल्म ईथा की शूटिंग के सेट पर चोट लग गई थी। अब एक्ट्रेस ने खुद एक वीडियो जारी कर हेल्थ अपडेट दिया है। एक्ट्रेस ने बताया है कि उनकी मसल्स में चोट लगी है। लेकिन रेस्ट करने से वो ठीक हो जाएंगी। श्रद्धा कपूर का हाल ही में एक वीडियो सामने आया है। एक्ट्रेस ने वीडियो में पैर में बंधा प्लास्टर दिखाते हुए कहा है, मेरी पैर की चोट कैसी है, टर्मिनेटर बनकर घूम रही हूं। मसल्स फंटे हैं, ठीक हो जाएगा, बस थोड़ा रेस्ट करना है फिर मैं बिल्कुल ठीक हो जाऊंगी। डांस सीक्वेंस शूट करते हुए लगी थी चोट श्रद्धा कपूर बीते हफ्ते महाराष्ट्र के नासिक के पास स्थित औंधेवाड़ी में फिल्म ईथा की शूटिंग कर रही थीं, जो मशहूर लावणी डांसर और तमाशा कलाकार विठाबाई भाऊ नारायणगांवकर पर बन रही है। श्रद्धा के साथ लावणी डांस का सीक्वेंस शूट किया जा रहा था, जिसमें उन्हें तेज ताल में फास्ट स्टेप्स करने थे, तभी एक्ट्रेस को चोट लग गई। जिस समय चोट लगी, उस समय श्रद्धा लावणी डांसर के गेटअप में थीं। उन्होंने चमकीली नऊवारी साड़ी, भारी गहने और कमरपट्टा पहना था। रोकी गई फिल्म की शूटिंग श्रद्धा को चोट लगने के बाद फिल्म ईथा की शूटिंग रोक दी गई है। शूटिंग तब शुरू होगी, जब श्रद्धा का पैर पूरी तरह ठीक हो जाएगा। हालांकि श्रद्धा ने सुझाव दिया है कि शूटिंग रोकने की बजाए मुंबई में उनके क्लोजअप और इमोशनल सीन शूट कर लिए जाएं। उनकी सलाह पर अब मुंबई के मड आइलैंड में फिल्म का सेट तैयार किया जा रहा है। बता दें कि श्रद्धा कपूर के अलावा, इस फिल्म में रणदीप हुड्डा और मोहम्मद जीशान अय्यूब भी अहम भूमिका निभाएंगे। फिल्म का डायरेक्शन लक्ष्मण उतेकर कर रहे हैं और इसे दिनेश विजान की मैडॉक फिल्म्स द्वारा प्रोड्यूस किया जा रहा है।इस फिल्म में विठाबाई का किरदार निभाने के लिए श्रद्धा ने 51 किलो वजन बढ़ाया है।
हरियाणा के कुरुक्षेत्र जिले में चल रहे अंतरराष्ट्रीय गीता महोत्सव (IGM) में आज सोमवार से मुख्य कार्यक्रम का शुभारंभ हो गया। एक दिसंबर तक चलने वाले कार्यक्रमों हर दिन बॉलीवुड, सूफी और टीवी कलाकार अपनी सांस्कृतिक और आध्यात्मिक प्रस्तुति देंगे। आज पहले ही दिन शाम को बॉलीवुड की सदाबहार अभिनेत्री पद्मिनी कोल्हापुरे (60) अपनी मनमोहक प्रस्तुति देंगी। वे भगवान श्रीकृष्ण के जीवन और उनकी दिव्य लीलाओं को जीवंत करने की कोशिश करेंगी। वे श्रीकृष्ण की लीलाओं पर बेस्ड नृत्य नाटिका से प्रस्तुत करेंगी। इस प्रस्तुति को गीता ग्रुप ऑफ आर्ट्स के सहयोग से तैयार किया गया है। इसके निर्देशक अर्पित शर्मा और प्रांजलि हैं। महोत्सव में आने को लेकर उत्साहित महोत्सव में आने को लेकर पद्मिनी कोल्हापुरे काफी उत्साहित है। कुछ दिन पहले अपना एक वीडियो भी शेयर किया, जिसमें उन्होंने कहा, जय श्रीकृष्णा। कुरुक्षेत्र के अंतरराष्ट्रीय गीता महोत्सव में 24 नवंबर को कृष्ण नाट्य प्रस्तुति देने आ रही हूं। गीता ग्रुप ऑफ आर्ट्स के साथ... इसके निर्देशक अर्पित शर्मा और प्रांजलि को इस शो में मुझे बुलाने के लिए धन्यवाद। डायरेक्टर जनरल, आर्ट एंड कल्चर अफेयर्स। भक्ति और कला की धरोहर 80 के दशक की आइकोनिक अभिनेत्री पद्मिनी कोल्हापुरे का नाम ही रोमांस, संगीत और नृत्य से जुड़ा रहा। उनका जन्म एक संगीतमय परिवार में हुआ। उनके पिता प्रसिद्ध संगीतकार पंडित पंढरीनाथ कोल्हापुरे थे। बचपन से ही उन्होंने चाइल्ड सिंगर के रूप में सफर शुरू किया। 2024 में गाया मेरे कन्हैया 2024 में रिलीज हुए उनके भजन मैं तेरी आंखों में डूबी रहूं मेरे कन्हैया उनके फैन के दिलों में बस गया। यह भजन उनकी कृष्ण भक्ति को भी दिखाता है। पुरानी फिल्मों में भी उनका कृष्ण धरती पे आजा तू गीत के साथ उनका भगवान कृष्ण से जुड़ाव दर्शाता है। परंपरा का सिलसिला पिछले साल मीनाक्षी शेषाद्री ने द्रौपदी डांस ड्रामा से दर्शकों को दिल जीता था। 2019 में अमीषा पटेल ने देवी रुक्मिणी के विवाह पर आधारित नृत्य नाटिका प्रस्तुत की, जिसमें उन्होंने रुक्मिणी का और अर्पित शर्मा ने श्रीकृष्ण का किरदार निभाया था। ड्रीम गर्ल भी दे चुकीं प्रस्तुति साल 2016 में 'ड्रीम गर्ल हेमा मालिनी ने अपने नृत्य की प्रस्तुति दी थी। उन्होंने द्रौपदी नृत्य प्रस्तुति से महोत्सव में रस भर दिया था। आज भी उनकी तस्वीरें महोत्सव का आकर्षण बनी हुई हैं। इस बार पद्मिनी कोल्हापुरे की एंट्री से महोत्सव का रंग और भी निखर जाएगा।
हिंदी सिनेमा के दिग्गज लेखक सलीम खान ने 1970 और 1980 के दशक में शोले, जंजीर और सीता और गीता जैसी कई सुपरहिट फिल्में लिखी हैं। आज यानी सोमवार को सलीम खान अपना 90वां जन्मदिन मना रहे हैं। इस खास मौके पर फिल्म शोले के डायरेक्टर रमेश सिप्पी ने दैनिक भास्कर के साथ बातचीत में उनसे जुड़ी कई यादें शेयर कीं। रमेश सिप्पी ने कहा कि सलीम और जावेद दोनों संग नाता मेरी पहली फिल्म अंदाज की मेकिंग के दौरान शुरू हुआ। मैं फिल्म के आधे रास्ते पर था जब सलीम साहब और जावेद साहब मेरे ऑफिस आए। उनसे मुलाकात हुई और फिर मैंने उन्हें स्टोरी डिपार्टमेंट में रखा। हमने उन्हें मासिक 750 रुपए का वेतन देना शुरू किया यानी दोनों को मिलाकर 1500 रुपए का पैकेज था। रमेश सिप्पी ने आगे बताया कि बाद में जब हम तीनों की जर्नी कामयाब रही और हमने साथ में आगे और भी काम किया तो वह रकम 10 लाख रुपए तक भी गई। साल 1971 में अप्रैल में फिल्म अंदाज की सफलता के तुरंत बाद, जुलाई में फिल्म सीता और गीता पर काम शुरू हो गया, जिससे उनकी यह साझेदारी तेजी से आगे बढ़ी। सलीम साहब का स्क्रीनप्ले विजन और डायलॉग्स पर जावेद का असर रमेश सिप्पी ने बताया कि सलीम-जावेद बतौर टीम की साझेदारी में दोनों का योगदान विशिष्ट था। वे दोनों ही बहुत अच्छे थे। डिस्कशन और स्क्रीनप्ले पर सलीम साहब काफी ज्यादा ध्यान देते थे और उनका योगदान प्रमुख था। हां, कुछ चीजों के लिए डायलॉग्स भी, लेकिन डायलॉग्स पर ज्यादा पकड़ जावेद साहब की थी। सलीम खान की मुख्य यूएसपी हमेशा स्क्रीनप्ले को लेकर रही। सिप्पी ने आगे बताया कि मैंने उन्हें जॉइंट राइटिंग का क्रेडिट दिया था, लेकिन जब डायलॉग पर भी बैठते थे, सुनते थे, तो कोई सजेशन इधर-उधर हुआ तो इन्कॉरपोरेट हो जाता था। आप सोचिए, उस दौर में साथ चलना बड़ा मुश्किल था, लेकिन हम तीनों एक टीम की तरह काम करते थे। वेस्टर्न सिनेमा से प्रेरणा और समान सोच रमेश सिप्पी ने बताया कि हम तीनों के लिए जो वेस्ट की फिल्में थीं, उनका हमारी जर्नी में काफी कॉन्ट्रीब्यूशन था, क्योंकि वो हमारी अपब्रिंगिंग का हिस्सा थीं। बेशक, हिंदी सिनेमा का सर्वश्रेष्ठ काम भी, चाहे वह मुगले-आजम हो, मदर इंडिया हो, या कोई भी बेहतरीन काम हम अच्छे सिनेमा के हमेशा शौकीन रहे। हम तीनों की सोच एक जैसी थी। इसीलिए साथ काम करने में मजा आ रहा था। जब सफलता मिली तो यह हमारे लिए और भी बड़ा प्रोत्साहन बना कि हम और आगे बढ़ें। मैंने और सलीम-जावेद के साथ मिलकर कुल चार-पांच फिल्मों पर काम किया, जिसके बाद यह जोड़ी अलग हुई। अंडरवर्ल्ड के उदय से 'अकेला' का जन्म रमेश सिप्पी ने बताया कि सलीम-जावेद के अलग होने के बाद, मैंने जावेद साहब के साथ 'सागर' और सलीम साहब संग फिल्म 'अकेला' की थी। फिल्म अकेला की कहानी डिस्कशन में टफ कहानी की बात हुई। बैठे, डिस्कशन हुई और जैसे स्क्रिप्ट बनती है, वैसे बनी। उस वक्त अंडरवर्ल्ड काफी एक्टिव था, खासकर बॉम्बे में। जब एक मजबूत अंडरवर्ल्ड होता है, तो उसके सामने खड़े होने के लिए एक मजबूत कॉप की जरूरत महसूस होती है। इसी जरूरत से अमिताभ बच्चन के उस मजबूत किरदार को बल मिला, जिसने फिल्म में जान डाल दी। सलीम खान के स्वभाव को लेकर रमेश सिप्पी ने बताया कि दिन में जब हम काम करते थे, तो कोई जाम-वाम की बात नहीं होती थी। डिस्कशन के बाद अगर रात को मीटिंग एक्सटेंड होती थी या रात को डिस्कशन के लिए बैठते थे, तो उसके बाद थोड़ी-बहुत बातचीत होती थी। हमने कभी ड्रिंक्स को काम से मिक्स नहीं किया, न जावेद साहब के साथ, न उनके साथ। रचनात्मक संघर्ष कम, आपसी सहमति ज्यादा सलीम साहब के साथ रचनात्मक संघर्ष (Creative Conflict) पर बात करते हुए रमेश सिप्पी ने बताया कि डिस्कशन हुआ करते थे, लेकिन कॉन्फ्लिक्ट बहुत कम हुआ। हम ज्यादातर चीजों पर सहमत हो जाते थे। अगर किसी एक का पॉइंट ऑफ व्यू स्ट्रांग हुआ, तो बाकी दो डिस्कशन करते थे और या तो वो मान जाता था या हम मान जाते थे। फाइनल डिसीजन हमेशा इसी बात पर होता था कि यही सही है क्योंकि फिल्म तो मुझे बनानी है। सलीम-जावेद जब तक साथ रहे तो उस दौर में अकेले ही लिखते थे और आजकल की तरह कोई बड़ी राइटिंग टीम नहीं रखते थे। रमेश सिप्पी ने बताया कि फिल्म दीवार में ‘तुम्हारे पास क्या है? मेरे पास मां है’, यह जो फेमस लाइन है, यह सलीम साहब ने लिखी थी। मौसी वाला सीन: एक रियल-लाइफ इंसीडेंट सलीम खान की लेखन शैली पर बात करते हुए रमेश सिप्पी ने बताया कि उनकी लेखन शैली में वास्तविक जीवन की घटनाओं को शामिल करने की आदत थी, जैसा कि ‘शोले’ के मौसी वाले सीन में हुआ। वो मौसी का सीन ऐसा था कि सलीम साहब अपने एक दोस्त के रिश्ते के लिए उस लड़की की मां से मिलने गए थे, जो कि उस रिश्ते के खिलाफ थीं। उनको समझाने गए, तो समझाते-समझाते ऐसी भी बातें हुईं कि 'हां, शराब तो पीते हैं' और 'एक तो वो है और वो है'... इस टाइप का सीन हुआ था वहां। यह एक रियल-लाइफ थिंग है। सलीम खान के निजी जीवन के बारे में बात करते हुए सिप्पी ने बताया कि उन्हें जन्मदिन पर किस तरह का सेलिब्रेशन पसंद था। उन्होंने बताया कि उनका सेलिब्रेशन आमतौर पर बहुत ही क्लोज होता था। मोस्टली जस्ट वन्स इन ए व्हाइल ही कोई बड़ा इवेंट होता था, बट ज्यादातर 8-10 या 12 लोग होते थे, कोई बहुत बड़ा नहीं। फिल्में फटाफट हुईं, 'शान' में लगा थोड़ा ज्यादा वक्त रमेश सिप्पी ने बताया कि शोले की स्क्रिप्ट सलीम-जावेद ने मिलकर 15 दिनों में लिख दी थी। इसके अलावा सीता और गीता भी फटाफट हो गई थी। हालांकि, फिल्म शान में थोड़ा ज्यादा वक्त लगा। शान में तकरीबन दो-तीन महीना लगा होगा क्योंकि वो एपिसोड्स थे, सीक्वेंसेस थे। वन लाइनर’ (कहानी का सार) तो क्लियर थी, लेकिन उसमें ट्रक का सीन है, एक्शन थे, तो उस हिसाब से काम करने में थोड़ा टाइम लगा। रमेश सिप्पी ने आगे बताया कि शान पर सब मिलजुल कर काम होता था। माहौल ऐसा होता था कि कोई एक सेंट्रलाइज्ड नहीं होता था, मिलकर बातें करते थे, मिलकर फ़ैसला होता था कि 'हां, ये अच्छा लगेगा'। उसको फिर डेवलप किया जाता था और अगर करेक्शन की जरूरत थी तो करते थे, वर्ना जैसे आ गया, फर्स्ट क्लास।
पंजाबी सिंगर सिद्धू मूसेवाला का नया सॉन्ग रिलीज होने वाला है। सोशल मीडिया पर इसका एक पोस्टर भी रिलीज किया गया है। पोस्टर में एक बड़े पेड़ के साथ रस्सियों के सहारे बंदूकों को उल्टा लटकाया गया है। पोस्टर रिलीज होने से पहले ही फैंस के बीच इसका क्रेज बढ़ गया है। सिद्धू को चाहने वाले पोस्टर को देख कयास लगा रहे हैं। मूसेवाला के पिता बलकौर सिंह का कहना है कि 30 नवंबर या इससे पहले सॉन्ग को रिलीज किया जाएगा। इसकी शूटिंग पूरी हो गई है। अब बस रिलीज डेट फाइनल करनी है। इस ट्रैक का नाम 'बरोटा' रखा गया है।उन्होंने बताया कि इस गाने की रिलीज के साथ ही सिद्धू मूसेवाला के फैंस को एक खास तोहफा भी दिया जाएगा। परिवार अब एक विशेष होलोग्राम परफॉर्मेंस की योजना भी बना रहा है, जिसके जरिए फैंस को स्टेज पर मूसेवाला की मौजूदगी का एक अनूठा अनुभव मिलेगा। इस होलोग्राम शो को इटली के आर्टिस्ट तैयार कर रहे हैं। बीते हफ्ते बलकौर सिंह खुद इसकी तैयारी देखने इटली गए थे। जनवरी में इस टूर का 3-डी होलोग्राम शो रिलीज होगा। इसका नाम साइन टू गॉड रखा गया है। पिता बोले-मूसेवाला के संगीत के सफर को जिंदा रखेंगेनए गीत को लेकर सिद्धू मूसेवाला के पिता ने कहा कि वह सिद्धू के संगीत के सफर को जिंदा रखेंगे। उसने जितने भी गीत अपनी डायरी में लिखे हैं, उनको हर साल एक-एक कर रिलीज करते रहेंगे। अगले 30 साल तक का तो उनके पास सॉन्ग का खजाना है। नए गीत और होलोग्राम शो को लेकर फैंस में क्रेजसोशल मीडिया पर फैंस पहले ही 'बरोटा' को लेकर अपनी उत्सुकता जाहिर कर चुके हैं। बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं कि यह नया ट्रैक उनके लीजेंडरी म्यूजिक कैटलॉग में क्या नया जोड़ेगा। अपने हालिया इंटरव्यू के दौरान, बलकौर सिंह सिद्धू ने फैंस के साथ भावुक पोस्ट साझा की। उन्होंने खुलासा किया कि कुछ दिनों में लाखों फैंस का इंतजार लगभग खत्म होने वाला है। शूटिंग पूरी, फाइनल एडिटिंग बचीबलकौर सिंह ने कहा कि नए गीत बरोटा की शूटिंग पूरी हो चुकी है। टीम अब फाइनल एडिटिंग में व्यस्त है और एक बार जब सब कुछ फाइनल होकर तैयार हो जाएगा, तो ट्रैक रिलीज कर दिया जाएगा। मई 2022 में मूसेवाला के निधन के बाद से उनके कई अन रिलीज्ड ट्रैक रिलीज किए जा चुके हैं, जिन्हें सोशल मीडिया पर अच्छी खासी प्रेजेंस मिली। इनमें SYL, वार और द लास्ट राइड जैसे गाने शामिल हैं।
56वां इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल ऑफ इंडिया (IFFI) गुरुवार से गोवा में शुरू हो गया है। इस नौ दिन के मेगा इवेंट में 81 देशों की 240 से ज्यादा फिल्में दिखाई जा रही हैं। रविवार को फिल्म फेस्टिवल के दौरान एक्टर अनुपम खेर ने अपनी मास्टरक्लास ‘गिविंग अप इज नॉट अ चॉइस’ में सैकड़ों लोगों को अपनी बातों से बांधे रखा। सेशन की शुरुआत में अनुपम खेर ने अपनी फिल्म सारांश का किस्सा सुनाया। उन्होंने बताया कि शूटिंग शुरू होने से कुछ दिन पहले ही उनसे फिल्म की लीड भूमिका छीन ली गई थी। इस फैसले से वे टूट गए और मुंबई छोड़ने का मन बना लिया। उन्होंने बताया कि जाने से पहले वे फिल्म के डायरेक्टर महेश भट्ट से आखिरी बार मिलने गए। अनुपम ने कहा कि जब भट्ट ने उनका रिएक्शन देखा, तो उन्होंने फैसला बदला और रोल वापस दे दिया। यह फिल्म उनके करियर का टर्निंग पॉइंट साबित हुई। अनुपम ने कहा कि सारांश ने मुझे सिखाया कि कभी हार नहीं माननी चाहिए। हार की शुरुआत ही सफलता की पहली सीढ़ी होती है। उन्होंने आगे कहा कि मेरे सभी मोटिवेशनल स्पीच मेरी अपनी जिंदगी के अनुभवों पर आधारित हैं। सेशन के दौरान अनुपम खेर ने अपनी लाइफ के कई उदाहरण दिए। उन्होंने बताया कि वे एक छोटे घर में 14 लोगों के साथ रहते थे। उनके दादा बहुत खुशमिजाज इंसान थे। उन्होंने सिखाया था कि खुशी बड़ी चीजों से नहीं, बल्कि छोटी-छोटी बातों से मिलती है। अनुपम खेर ने अपने बचपन की एक याद शेयर की। उनके पिता फॉरेस्ट डिपार्टमेंट में क्लर्क थे। एक बार जब उन्होंने मार्कशीट देखी तो पता चला कि अनुपम क्लास में 60 में से 58वें नंबर पर थे। अनुपम ने बताया, “पापा नाराज नहीं हुए। उन्होंने कहा कि जो बच्चा हमेशा पहले आता है, उसे अपने रिजल्ट को बनाए रखने का दबाव रहता है, लेकिन जो 58वें नंबर पर है, उसके पास सुधार की बहुत जगह है। अगली बार 48वां नंबर लाना। अपनी ही बायोपिक के हीरो बनो: अनुपम खेरसेशन के दौरान अनुपम खेर ने समझाया कि पर्सनैलिटी का मतलब यह नहीं कि आप दूसरों जैसे बनें, बल्कि खुद से खुश रहें। उन्होंने लोगों से कहा कि खुद पर भरोसा रखें और अपनी लाइफ की कहानी के लीड कैरेक्टर बनें। अनुपम ने सवाल किया, “जिंदगी आसान क्यों होनी चाहिए? मुश्किलें ही आपकी बायोपिक को सुपरहिट बनाती हैं।” सेशन के आखिर में अनुपम ने कहा कि ‘गिविंग अप इज नॉट अ चॉइस’ सिर्फ एक लाइन नहीं, बल्कि मेहनत से भरी सच्चाई है। उन्होंने कहा, “अगर आप कुछ चाहते हैं, तो आपको मेहनत करनी होगी, त्याग करना होगा और खुद को समझाना होगा। निराशा आएगी, लेकिन अगर आप हार मान गए, तो कहानी वहीं खत्म हो जाती है।”
मुकेश अंबानी और नीता अंबानी के घर एंटीलिया को लेकर कई लोगों के मन में यह सवाल होता है कि यह घर अंदर से कैसा दिखता है, उसमें क्या-क्या सुविधाएं हैं और वहां रहना कैसा होता है। यही सवाल एक्ट्रेस और कॉमेडियन अर्चना पूरन सिंह के मन में भी आया। हाल ही में जब वह अपने पति परमीत सेठी और दोनों बेटों के साथ दिल्ली घूमने पहुंचीं, तो उन्होंने इस सवाल का जवाब जानने की कोशिश की। दरअसल, अर्चना पूरन सिंह का यह दिल्ली ट्रिप उनके यूट्यूब व्लॉग का हिस्सा था। इस यात्रा में उन्होंने और उनके परिवार ने दिल्ली की मशहूर लोकल डिशेज, खासकर छोले-भटूरे, ट्राई करने का फैसला किया। उनका पहला पड़ाव था कमला नगर, जो स्ट्रीट फूड के लिए मशहूर है। यहां उन्होंने छोले-भटूरे का स्वाद लिया और ताजी छाछ का लुत्फ उठाया। इसके बाद वे पहाड़गंज के एक फेमस रेस्टोरेंट पहुंचे, जो 1950 से चल रहा है। वहां के मालिक ने बताया कि यह दुकान उनके दादा ने शुरू की थी। रेस्टोरेंट में अंबानी के कुक से मिलीं अर्चना यहीं अर्चना और उनके परिवार की मुलाकात एक ऐसे कुक से हुई जिसने न केवल बॉलीवुड स्टार्स शाहरुख खान और सलमान खान के लिए खाना बनाया था, बल्कि अंबानी परिवार के लिए भी काम किया था। उसने बताया कि छोले-भटूरे पकाने के शौक में वह श्रीलंका, बहरीन, दुबई, स्पेन और फ्रांस तक घूम चुके हैं। यह सुनकर अर्चना हैरान रह गईं और मुस्कुराते हुए बोलीं, “ये तो ऐसी जगह गए हैं, जहां मैं भी नहीं गई।” बातों-बातों में जब उस कुक ने बताया कि वह एक महीने तक अंबानी परिवार के घर एंटीलिया में रहे थे और वहीं खाना बनाते थे, तो अर्चना की जिज्ञासा और बढ़ गई। उन्होंने तुरंत पूछा, “भैया, अंदर से कैसा है एंटीलिया?” कुक ने जवाब दिया, “अच्छा है।” बता दें कि मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, मुकेश अंबानी के एंटीलिया की कीमत करीब 15,000 करोड़ रुपए है। इसमें 27 मंजिलें, तीन हैलीपैड, 168 कारों की पार्किंग, एक मंदिर, स्पा, जिम, थिएटर, आइसक्रीम पार्लर और यहां तक कि एक स्नो रूम भी है। कहा जाता है कि यह इमारत 8.0 तीव्रता तक के भूकम्प को झेलने के लिए डिजाइन की गई है।
एक्टर कमल हासन, सोनू सूद और सिंगर अदनान सामी ने विंग कमांडर नमांश स्याल के निधन पर शोक जताया है। स्याल की मौत शुक्रवार को दुबई एयर शो के दौरान हुई थी। कमल हासन ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा, “विंग कमांडर नमांश स्याल की दुखद मौत से बेहद दुखी हूं। उन्होंने हमारे भारतीय वायुसेना के गर्व ‘तेजस’ को दुनिया के सामने पेश करते हुए अपना बलिदान दिया।” उन्होंने आगे लिखा, “भारत का एक बहादुर बेटा बहुत जल्दी चला गया। उनके परिवार और प्रियजनों के प्रति मेरी गहरी संवेदनाएं। इस असीम दुख की घड़ी में पूरा देश आपके साथ खड़ा है।” एक्टर सोनू सूद ने भी एक्स पर कमांडर स्याल की तस्वीरें और विमान दुर्घटना की एक फोटो शेयर करते हुए लिखा, “आज भारत ने विंग कमांडर नमांश स्याल को खो दिया, एक बहादुर तेजस पायलट, जिसने अपने देश के लिए उड़ान भरते हुए प्राण न्योछावर कर दिए। उनका साहस और बलिदान हमेशा याद रखा जाएगा। सच्चे हीरो को सलाम। जय हिंद।” सिंगर अदनान सामी ने भी श्रद्धांजलि देते हुए लिखा, “विंग कमांडर नमांश स्याल की दुखद मौत से बेहद दुखी हूं। भगवान उनकी आत्मा को शांति दें।” बता दें कि शुक्रवार को दुबई एयरशो में क्रैश हुए तेजस एयरक्राफ्ट के पायलट नमांश स्याल की मौत हो गई। तेजस लाइट कॉम्बैट एयरक्राफ्ट LCAMk-1 फाइटर जेट हवा में कलाबाजियां कर रहा था। तभी हजारों दर्शकों और सैकड़ों कैमरों के सामने तेजस जमीन से जा टकराया। पिता भी भारतीय सेना के रिटायर्ड अधिकारी नगरोटा बगवां के रहने वाले विंग कमांडर नमांश स्याल अपने अनुशासन और बेहतरीन सेवा के लिए जाने जाते थे। उनके परिवार में उनकी पत्नी भी एयर फोर्स में अधिकारी है। परिवार में एक 7 साल की बेटी और उनके माता-पिता हैं । नमांश के पिता जगन्नाथ स्याल भारतीय सेना के मेडिकल कोर से रिटायर हैं और हिमाचल प्रदेश शिक्षा विभाग में प्रिंसिपल हैं। मां बीना देवी हाउस वाइफ हैं। दुर्घटना के समय उनके माता-पिता हैदराबाद घूमने गए थे। वहां ही उन्हें ये जानकारी मिली। यूट्यूब पर एयर शो का वीडियो सर्च कर रहे थे पिता जगन्नाथ स्याल ने एक मीडिया ग्रुप से बात करते हुए कहा था, 'आखिरी बार अपने बेटे से गुरुवार को बात की थी। उसने मुझे अपना एयर शो टीवी या यूट्यूब पर देखने के लिए कहा था। शुक्रवार की शाम चार बजे मैं यूट्यूब पर एयर शो का वीडियो सर्च कर रहा था। तभी मैंने प्लेन क्रैश की रिपोर्ट देखी। एयर फोर्स के 6 अधिकारी हमारे घर पहुंचे और मैं समझ गया कि कुछ गड़बड़ हुई है।' इंडियन एयरफोर्स और रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने X पर पोस्ट कर विंग कमांडर नमांश स्याल की मौत पर दुख जताया।
साल 2005 में रिलीज हुई फिल्म वक्त में शेफाली शाह ने 6 साल बड़े एक्टर अक्षय कुमार की मां का किरदार निभाया था, जिस पर एक्ट्रेस ने पछतावा जाहिर किया है। शेफाली ने बताया है कि अमिताभ बच्चन ने उनके पति और इस के डायरेक्टर विपुल शाह को शेफाली को कास्ट करने का सुझाव दिया था। हालांकि शेफाली के पति नहीं चाहते थे कि वो ये रोल करें। हाल ही में टाइम्स नाऊ को दिए इंटरव्यू में शेफाली से फिल्म वक्त में हुई उनकी कास्टिंग पर सवाल किया गया। उनसे पूछा गया कि क्या ये उनके करियर का सेटबैक था। इस पर शेफाली ने कहा- 'बिल्कुल'। जब उनसे पूछा गया कि क्या उनके पति ने उनसे ये करवाया था। इस पर शेफाली ने कहा- 'नहीं, उन्होंने मुझसे कहा था कि ये मत करना। अमित जी (अमिताभ बच्चन) ने उन्हें सलाह दी थी कि आप शेफाली को इस रोल के लिए तैयार क्यों नहीं करते। उन्होंने कहा था, नहीं, मुझे नहीं लगता कि उस पर जमेगा।' आगे शेफाली ने कहा, 'एक दिन मैंने अपने बालों में पाउडर डाला और कहा कि देखो, मैं बूढ़ी और मैच्योर लग रही हूं। उन्होंने (विपुल शाह) ने कहा, मैंने तुमसे कहा था कि तुम ये मत करो। लेकिन मैंने कहा, नहीं मुझे करना है। मैंने अपनी ही कब्र खोदी।' शेफाली शाह ने बातचीत में कहा है कि इस फिल्म के बाद एक अच्छे रोल के लिए उन्हें लंबा इंतजार करना पड़ा था। उन्होंने ये भी कहा कि ऐसी एक-दो फिल्मों के अलावा उन्हें अपने करियर की फिल्मों पर गर्व है, जिनमें गांधी माय फादर, द लास्ट लियर, वन्स अगेन, थ्री ऑफ अस जैसी फिल्में भी शामिल हैं। बता दें कि शेफाली शाह इन दिनों पॉपुलर सीरीज दिल्ली क्राइम के तीसरे सीजन में नजर आ रही हैं। ये सीरीज 13 नवंबर को नेटफ्लिक्स में रिलीज हुई है, जिसमें हुमा कुरैशी भी अहम किरदार निभा रही हैं। इस सीरीज के पिछले 2 सीजन बेहद हिट रहे हैं।
कृति सेनन इन दिनों अपनी अपकमिंग फिल्म तेरे इश्क में के प्रमोशन में व्यस्त चल रही हैं। हाल ही में कृति प्रमोशन के लिए दिल्ली पहुंची थी। इस इवेंट में उनसे दिल्ली में बढ़ते प्रदूषण पर सवाल किया गया था। इस पर एक्ट्रेस ने कहा कि इसे रोकने के लिए कुछ करना चाहिए, क्योंकि ये बदतर होता जा रहा है। प्रमोशनल इवेंट में कृति सेनन से प्रदूषण पर सवाल किया गया, तो उनकी टीम के सदस्य ने तुरंत सवाल पूछने वालीं पत्रकार से टोकते हुए कहा कि सिर्फ फिल्म से जुड़े सवाल ही किए जाएं। हालांकि एक्ट्रेस ने सवाल नजरअंदाज नहीं किया और कहा- “मुझे नहीं लगता कि कुछ भी कहने से कोई फायदा होगा। यह (प्रदूषण) लगातार बदतर होता जा रहा है। मैं दिल्ली से हूं और मुझे पता है कि पहले यह कैसा था, और यह और बिगड़ता जा रहा है। इसे रोकने के लिए कुछ करने की जरूरत है, वरना एक समय ऐसा आएगा जब हम अपने बगल में खड़े व्यक्ति को भी नहीं देख पाएंगे।” बता दें कि दिल्ली में हुए प्रमोशनल इवेंट में कृति सेनन के साथ धनुष और फिल्म के डायरेक्टर आनंद एल.राय भी पहुंचे थे। फिल्म तेरे इश्क में की टीम इंडिया गेट भी पहुंची थी। फिल्म तेरे इश्क में की शूटिंग दिल्ली में ही हुई है। फिल्म के ट्रेलर में भी दिल्ली के कई हिस्से नजर आए हैं। ये फिल्म 28 नवंबर को रिलीज होने के लिए शेड्यूल है। फिल्म का कंपोजिशन ए.आर.रहमान ने किया है। फिल्म में धनुष, शंकर के किरदार में हैं वहीं कृति सेनन ने मुक्ति का किरदार निभाया है।
पॉपुलर एक्टर रोनित रॉय ने सोशल मीडिया से ब्रेक ले लिया है। उन्होंने शनिवार को इसकी अनाउंसमेंट करते हुए कहा कि वो ये कदम परिवार के लिए उठा रहे हैं। साथ ही एक्टर ने फैंस से दूरी बनाने पर माफी मांगते हुए उम्मीद की है कि लोग उन्हें न भूलें। रोनित रॉय ने अपने ऑफिशियल इंस्टाग्राम से इसकी घोषणा करते हुए लिखा है, 'हैलो, जो मैं कहने वाला हूं, वह प्यार, समझ और कोमलता की जगह से आ रहा है। आप सब जानते हैं कि मैं आपसे प्यार करता हूं। मैं स्क्रॉल करता हूं, आपकी पोस्ट्स लाइक करता हूं, आपकी पोस्ट्स पर कमेंट करता हूं और जितने मैसेजेस का मैं जवाब दे सकता हूं, देता हूं।' आगे उन्होंने लिखा, 'जो कुछ भी मुझे मिला है, उसके लिए मैं अत्यंत आभारी हूं। मैं हर चीज को संजोकर रखता हूं। खासकर वह प्यार और सम्मान जो मुझे आप सब से मिला है, जिसे मैं संजोकर रखता हूं और अपने दिल के बहुत करीब रखता हूं। हालांकि, मैं जिंदगी के उस मुकाम पर पहुंच गया हूं जहां मुझे अपने और अपने परिवार के लिए नया रास्ता बनाना है। एक ऐसा रास्ता जो उम्मीद है कि मुझे एक बेहतर इंसान, रिश्तों में बेहतर और एक बेहतर अभिनेता की ओर ले जाएगा। यह रास्ता ऐसा है जिस पर मैं पहले नहीं चला हूं। आराम और पुरानी बुरी आदतों को पीछे छोड़ो। कूदो और दायरे से बाहर जीयो। डरावना है, मैं जानता हूं, लेकिन करना जरूरी है।' 'पूरी तरह डिजिटल दूरी मेरे मानसिक और आध्यात्मिक रूप से मजबूत होने और अपने नए रूप को खोजने की असल वजह में से एक है (जिसे उम्मीद है कि आप सब और ज्यादा पसंद करेंगे)। इसलिए कुछ समय के लिए (पता नहीं कितने समय तक) कृपया माफ करें कि मैं सोशल मीडिया पर बिल्कुल भी सक्रिय नहीं रहूंगा।' आखिर में रोनित ने लिखा, 'कहने की जरूरत नहीं कि आपके प्यार से दूर रहकर जीना असंभव है, इसलिए जैसे ही व्यक्तिगत लक्ष्य पूरे हो जाएं और बेहतर आदतें अपनाई और अभ्यास की जाएं, मैं वापस आऊंगा। कृपया मुझे मत भूलना। आप सबको प्यार, और भगवान आप सबको आशीर्वाद दे।' ये पोस्ट करने के बाद रोनित रॉय ने अपना कमेंट सेक्शन भी बंद कर दिया है। रोनित रॉय के इंस्टाग्राम पर 1 मिलियन फॉलोवर्स हैं। करियर की बात करें तो रोनित रॉय आखिरी बार इसी साल रिलीज हुई काजोल स्टारर फिल्म मां में नजर आए हैं। रोनित रॉय ने एक्ट्रेस और मॉडल नीलम सिंह से शादी की थी, जिससे उन्हें एक बेटी आदोर और बेटा अगस्त्या है।
शनिवार को मुंबई में ग्लोबल पीस ऑनर्स 2025 का आयोजन हुआ है। जिसमें शाहरुख खान, रणवीर सिंह, विक्रांत मेस्सी समेत फिल्म इंडस्ट्री की कई हस्तियां शामिल हुई हैं। पॉपुलर सिंगर शंकर महादेवन ने देशभक्ति सॉन्ग सुनो गौर से दुनियावालों में परफॉर्मेंस दी। इस दौरान मंच पर नीता अंबानी, महाराष्ट्र CM देवेंद्र फणडवीस और उनकी पत्नी नम्रता फणडवीस, शाहरुख खान, विक्रांत मेस्सी, रणवीर सिंह भी मौजूद थे।
बॉलीवुड के बादशाह शाहरुख खान शनिवार को ग्लोबल पीस ऑनर्स 2025 का हिस्सा बने। ये कार्यक्रम मुंबई में आयोजित हुआ था। इस दौरान शाहरुख खान ने 26/11, पहलगाम आतंकी हमला और हाल ही में दिल्ली बम ब्लास्ट के शहीदों के लिए भावुक स्पीच दी और शांति का संदेश दिया है। शाहरुख खान ने कहा, '26/11, पहलगाम आतंकी हमला और हाल ही में हुए दिल्ली ब्लास्ट में अपने प्राणों की आहूति देने वाले बेगुनाह लोगों को मेरी विनम्र श्रद्धांजलि। और इन हमलों में शहादत पाने वाले हमारे वीर सुरक्षाकर्मियों को मेरा सादर नमन।' 'आज देश के बहादुर सिपाहियों और जवानों के लिए मुझे कहा गया ये चार लाइनें कहना, जो बहुत खूबसूरत हैं।' जब कोई तुमसे पूछे कि तुम क्या करते हो, तो सीना ठोक कर कहना ‘मैं देश की रक्षा करता हूं।’ पूछे अगर कोई ‘कितना कमा लेते हो?’ तो हल्के से मुस्कुराकर कहना ‘140 करोड़ लोगों की दुआएं कमा लेता हूं।’ और अगर मुड़कर फिर भी तुमसे पूछे ‘कभी डर नहीं लगता?’ तो आंख में आंख डालकर कहना ‘जो हम पर हमला करते हैं, उन्हें लगता है।’ आगे शाहरुख खान ने कहा, 'आज ग्लोबल पीस ऑनर्स के इस मौके पर मैं पूरे देश की तरफ से इन शहीदों के परिवार को भी सलाम करता हूं, उन मांओं को सलाम करना चाहता हूं, जिनकी कोख ने इन बहादुर बेटों को जन्म दिया। उनके पिता के जज्बे को सलाम करना चाहता हूं, उनके पार्टनर्स के हौसले को सलाम करना चाहता हूं, क्योंकि जंग में वो थे, लेकिन लड़ाई आपने भी लड़ी। वो भी बेहद हिम्मत और जांबाजी के साथ। आप सब को मेरा दिल से सलाम।' 'इस देश के बारे में हमेशा कहा जाता है कि भारत कभी झुकता नहीं। हमें कोई रोक नहीं पाया है, हमें हरा नहीं पाया है। हमारे अमन को हमसे कोई छीन नहीं पाया है। क्योंकि जब तक इस देश के सुपरहीरो, वर्दी के लोग हमारी रक्षा कर रहे हैं, तब तक हमारे मुल्क से अमन और शांति को दूर करना मुश्किल ही नहीं नामुमकिन है।' आखिर में शाहरुख ने कहा, 'शांति एक खूबसूरत चीज है, सारी दुनिया दरअसल, इसी को खोजती है, इसे ही पाने की कोशिश में लगी रहती है। शांति ही है, जिसे सारे बड़े-बड़े लोग खोजते हैं, पाना चाहते हैं। शांति से ही विचार जागते हैं, बेहतर सोच जागती है, नए आइडियाज सोचे जाते हैं। चलिए हम सब मिलकर शांति की तरफ कदम बढ़ाएं। अपने आसपास जात-पात, भेदभाव, तेरा-मेरा भूलकर इंसानियत के रास्ते में चलें। ताकि हमारे वीरों की शहादत व्यर्थ न जाए। अगर हमारे बीच शांति होगी, कोई भी चीज भारत को नहीं हिला सकती। कोई भारत को हरा नहीं सकती।'
झीलों की नगरी उदयपुर में अमेरिकी अरबपति बिजनेसमैन रामा राजू मंटेना की बेटी नेत्रा मंटेना (एलिजाबेथ) और वामसी गडिराजू की रॉयल वेडिंग हो रही है। आज शादी के मुख्य कार्यक्रम होंगे। इस शादी में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प के बेटे डोनाल्ड ट्रम्प जूनियर अपनी गर्लफ्रेंड बेटिना एंडरसन के साथ शामिल हुए है। सिटी पैलेस में बॉलीवुड स्टार ने परफॉर्मेंस दी। बॉलीवुड एक्ट्रेस माधुरी दीक्षित, जैकलीन फर्नांडीज, कृति सेनन समेत कई स्टार्स ने भी परफॉर्म किया। माधुरी दीक्षित ने जहां घूमर किया वहीं नोरा फतेही ने बॉलीवुड के गानों पर परफॉर्मेंस दी। 15 तस्वीरों में देखिए इस वेडिंग को....
द फैमिली मैन 3 की स्टारकास्ट ने हाल ही में दैनिक भास्कर से खास बातचीत की। इस दौरान टीम ने रैपिड फायर राउंड में कुछ मजेदार जवाब दिए और बताया कि सेट पर सबसे पहले कौन रेडी हो जाता है। इसके अलावा टीम ने शूटिंग के दौरान हुई कुछ यादगार और अच्छी बातें भी शेयर कीं। क्या मनोज सर सेट पर सबसे जल्दी रेडी होते हैं? प्रियामणि: हां, बिल्कुल सही। मनोज- यह बात बिल्कुल सही है। जैसे ही मैं सेट पर पहुंचता हूं, सबसे पहले रेडी हो जाता हूं। मैं ऐसा इसलिए करता हूं ताकि बाद में जल्दीबाजी न करनी पड़े। इसलिए हमेशा पहले ही रेडी हो जाता हूं। क्या शारिब हर इमोशनल सीन से पहले कॉमेडी करते हैं? डीके: एक्शन बोलने तक यह लगातार कॉमेडी करता रहता है। मनोज: हां, एक-दो बार तो मैं गुस्सा भी हुआ हूं। मैंने इसे एक बार बहुत डांटा था। मैं कोई गंभीर सीन कर रहा था, तभी इसने कॉमेडी कर दी। प्रियामणि दूसरे टेक से पहले मैं डायरेक्टर को अपना सुझाव देती हैं? प्रियामणि- नहीं बिल्कुल नहीं क्या निम्रत अपने किरदार के लिए एक सीक्रेट नोटबुक रखती हैं? निम्रत: नहीं, नोटबुक तो रखती हूं, लेकिन यह कोई सीक्रेट नोटबुक नहीं है। क्या राज और डीके इम्प्रोवाइजेशन करने से पहले मना करते हैं? प्रियामणि- नहीं बिल्कुल नहीं। मनोज- इतनी आजादी किसी सेट पर नहीं होती जितनी इनके सेट पर होती है। वे हमेशा कहते हैं, जो भी आप कर रहे हैं वही करिए। बाकी उसको फिल्टर करना हमारा काम है। आप बस अपना काम आराम से कीजिए। अगर आप द फैमिली मैन में नहीं होते, तो किसका किरदार निभाते जेके या रुक्मा? मनोज: अगर मैं ये दोनों सीजन नहीं करता, तो मैं रुक्मा का किरदार निभाता। शारिब अगर आप विलेन होते तो किस तरह के विलेन होते और उसका क्या नाम होता? मनोज- मीरा का रोल निभाता।
एक्ट्रेस इंदिरा कृष्णन की हालिया रिलीज फिल्म ‘जटाधरा’ है। इसके अलावा वह टीवी शो ‘गंगा माई की बेटियां' में ठकुराइन दुर्गावती के दमदार किरदार में दिख रही हैं। आगे वह ‘रामायणम्' में कौशल्या की भूमिका में दिखेंगी। ‘रामायणम्' की खास बात यह है कि इस फिल्म के लिए बिना ऑडिशन दिए ही सलेक्ट हो गईं। दैनिक भास्कर से खास बातचीत के दौरान एक्ट्रेस ने बताया कि उन्हें ‘दृश्यम’ और ‘बाहुबली’ जैसी फिल्मों के सशक्त रोल अधिक सूट करते हैं। पेश है इंदिरा कृष्णन से हुई बातचीत के कुछ और अंश.. ‘गंगा माई की बेटियां' में आपके किरदार ‘ठकुराइन दुर्गावती' की क्या खासियत है? दुर्गावती का किरदार पूरे शो में सबसे ज्यादा शेड्स वाला है। यह किरदार केवल नेगेटिव नहीं है, इसमें इमोशनल शेड्स भी हैं, गुस्सा है, एक जिद है, और यह अपनी बात पर एकदम जस्टिस करने वाली है, भले ही वह 110 लाइन की बात को एक लाइन में बोल दे। यह एक बहुत ही वजनदार रोल है। मैं इसे पूरी तरह नेगेटिव नहीं कहूंगी, पर हां, एक मां कभी-कभी स्वार्थी भी हो जाती है, कहीं-कहीं उसे दर्द भी होता है और यह सब शायद आगे शो में आएगा। यह किरदार बहुत शानदार है। इस शो का फील अलग है और इसमें एक नयापन है। ‘गंगा माई....’ में एक साथ तीन-चार कहानियां चल रही हैं और हर किरदार दूसरे किरदार से इंटरलिंक है। यह शो एक बहुत हिट कन्नड़ शो ‘पुट्टक्कना मक्कलु’ का रीमेक है, जो दर्शकों को एक फ्रेशनेस दे रहा है। दुर्गावती के किरदार के लिए कोई प्रेरणा ली या कुछ हद तक वैसी ही शख्सियत हैं? दुर्गावती के किरदार में बहुत गहराई है। वह अपने बेटे को बहुत चाहती है। उसके अपने सिद्धांत हैं। वह गांव की मुखिया (पंचायत की हेड) भी है। यह किरदार दिखाता है कि एक औरत कैसे घर और बाहर दोनों को अच्छे से संभालती है। मुझे लगता है कि किसी शो में इतने शेड्स किसी और किरदार को नहीं मिले हैं। हां, मैं असल जिंदगी में भी थोड़ी बोल्ड हूं। अगर मुझे कोई इंसान या बात पसंद नहीं आती, तो मैं उसे सामने से समझाती हूं। मैं पीठ पीछे कभी बात नहीं करती। मेरे कुछ अनुशासन और सिद्धांत हैं और शायद इसी वजह से मुझे इंडस्ट्री में 24 साल की कंसिस्टेंसी मिली है। मुझे लगता है, आजकल इंडस्ट्री के लोग डिसिप्लिन और प्रिंसिपल भूल गए हैं। आज इंडस्ट्री में कलाकारों में आपको किस चीज की कमी दिखती है? आजकल के एक्टर्स में मैंने देखा है कि वे सिर्फ अपनी लाइनें या डायलॉग्स पढ़ते हैं, पूरा सीन नहीं पढ़ते। इसकी वजह से किरदार उभर कर नहीं आता। अगर आप पूरा सीन पढ़कर परफॉर्म करते हैं, तो वह किरदार पूरी तरह जीवंत हो उठता है और आप बेहतर इंटरैक्शन कर सकते हैं। यह मैंने अपने सीनियर एक्टर्स और नेशनल स्कूल ऑफ ड्रामा के लोगों से सीखा है। मैं खुद भी पूरा सीन पढ़े बिना काम नहीं करती, भले ही मेरी कोई लाइन न हो। एक एक्टर को क्रिएटिवली इन्वॉल्व होना चाहिए और थोड़ी छूट मिलनी चाहिए ताकि वह अपने किरदार को एक अलग मुकाम पर ले जाए। ‘रामायणम्' में कौशल्या का रोल आपको कैसे मिला? इससे पहले ‘एनिमल' में मैंने रश्मिका मंदाना की मां का छोटा-सा रोल किया था। ‘रामायणम्' में मैंने रणबीर के साथ कौशल्या का किरदार निभाया है। मेरा रास्ता ‘एनिमल' फिल्म से ही खुला था। मैं जब रणबीर कपूर से मिली तो उन्होंने भी खुशी जताई कि मैं यह रोल कर रही हूं। मैंने कोई ऑडिशन नहीं दिया था। मेकर्स ने मुझे देखकर ही बोला था कि उन्हें इंदिरा जी ही चाहिए। मैंने केवल लुक टेस्ट दिया था, जिसमें मैं कौशल्या के रूप में एकदम परफेक्ट लगी। डायरेक्टर नितेश तिवारी जी का विजन और डायरेक्शन सेंस बहुत बढ़िया है, जिसकी वजह से मैंने यह किरदार बहुत स्मूथली निभाया। मेरे हिस्से की शूटिंग पूरी तरह से कंप्लीट हो चुकी है। मैं अलग-अलग तरह के किरदार करना चाहती हूं, मुझे लगता है कि लोगों को लाइफटाइम अचीवमेंट अवार्ड मिलता है और मुझे लाइफटाइम सारे रोल्स करने हैं, चाहे वे छोटे हों या बड़े, पर एक स्केच्ड कैरेक्टर निभाना चाहती हूं। मैं अपने दर्शकों को हमेशा कुछ नया देती हूं, जैसे मैंने ‘कृष्णादासी' में बहुत फेमस और खूबसूरत रोल किया था, जिसके लिए मुझे दादा साहेब फाल्के अवॉर्ड भी मिला था। ‘रामायणम्' के सेट पर रणबीर कपूर के साथ आपका अनुभव कैसा रहा? रणबीर कपूर के साथ ऑनस्क्रीन और ऑफस्क्रीन दोनों तरह के रिश्ते अच्छे हैं। ऑफस्क्रीन हम बहुत बातें करते थे और उनसे मैंने सिनेमा के बारे में बहुत कुछ सीखा। उनका समर्पण, उनके सिद्धांत और उनकी ईमानदारी सीन में झलकती है। वे एक्टिंग में जोर नहीं डालते बल्कि बहुत सरलता व सहजता से काम करते हैं। वे अपने सह-कलाकारों को भी क्यू देते हैं और हर चीज में शामिल रहते हैं। वह बहुत सकारात्मकता फैलाने वाले और दयालु इंसान हैं। क्या अब फिल्मों की ओर अधिक रुख कर लिया है? नहीं ऐसा नहीं है। मैं टीवी कभी नहीं छोडूंगी, क्योंकि टीवी ने हमेशा मुझे इज्जत दी है और मेरा रोजी-रोटी इसी से चलती है लेकिन हां, अगर फिल्में मिलेंगी तो मैं फिल्में भी करूंगी। मैं एक आर्टिस्ट हूं और मेरे लिए बड़ा परदा या छोटा परदा में कोई फर्क नहीं है। मैंने जितनी मेहनत छोटे परदे पर की है, उतनी ही मेहनत बड़े परदे पर भी की है। हालिया रिलीज साउथ की फिल्म ‘जटाधारा' के बारे में बताइए? ‘जटाधारा' हाल ही में रिलीज हुई है और उसे बहुत अच्छा रिस्पॉन्स मिल रहा है। मुझे लगता है कि इंडस्ट्री में मेरे 24 साल के अनुभव का फायदा अब फिल्मों में मिल रहा है। हालांकि ‘जटाधारा' में रोल उतना पावरफुल नहीं था लेकिन मैं शो की प्राइम कास्ट में थी और काफी दिख रही हूं। मुझे लगता है कि मैं थोड़ी अंडररेटेड एक्ट्रेस रही हूं और बड़े पैमाने पर रोल्स कर सकती हूं। क्या ‘जटाधारा' के बाद साउथ से और ऑफर आने की उम्मीद है? हां, मुझे ‘जटाधारा' के रिस्पॉन्स के बाद ऑफर आने की उम्मीद है। हालांकि अभी तक तो नहीं आए हैं लेकिन मुझे लगता है कि जरूर आएंगे। फिलहाल, मैं ‘गंगा मैया की बेटियां' की शूटिंग में व्यस्त हूं। साउथ इंडस्ट्री में काम करने का अनुभव कैसा रहा? साउथ इंडस्ट्री में लोग बहुत अनुशासित हैं। वहां आपको अच्छे मौके मिलते हैं, आप अच्छे पैसे और नाम कमाते हैं और अच्छे ग्रुप के साथ काम करते हैं। मैं ‘दृश्यम’ या ‘बाहुबली’ जैसी कोई फिल्म करना चाहती हूं, जहां हर किरदार महत्वपूर्ण हो, जैसे ‘बाहुबली’ में राम्या कृष्णन जी का रोल। मेरा औरा, फेस और बॉडी लैंग्वेज मजबूत किरदारों के लिए अधिक सूट करता है।
'तारे जमीन पर' ‘गैंग्स ऑफ वासेपुर’ और ‘कार्तिक कॉलिंग कार्तिक’ जैसी कई फिल्मों से अपनी खास पहचान बना चुके एक्टर विपिन शर्मा इन दिनों वेब सीरीज ‘महारानी 4’ और ‘फैमिली मैन 3’ में नजर आ रहे हैं। ‘महारानी 4’ में प्रधानमंत्री सुधाकर श्रीनिवास जोशी के किरदार को विपिन ने राजनीति और परिवार के बीच की जद्दोजहद को प्रभावी ढंग से प्रस्तुत किया है। वहीं ‘द फैमिली मैन 3’ में भी उनकी खास भूमिका है। दोनों वेब सीरीज में काम मिलने के बारे में बात करते हुए विपिन कहते हैं यह सब दोस्ती और आपसी भरोसे का ही नतीजा है। हाल ही में विपिन ने दैनिक भास्कर से खास बातचीत की, पेश है कुछ प्रमुख अंश… सवाल- वेब सीरीज 'महारानी 4' में प्रधानमंत्री का किरदार निभाना आपके लिए कितना खास रहा और इस किरदार के लिए आपने किस तरह की तैयारी की? जवाब: इस किरदार की सबसे खास बात ये है कि मैं डायरेक्टर सुभाष कपूर से पिछले 15 साल से जुड़ा हूं। हमारी दोस्ती बहुत पक्की है। भले हमने पहले कभी साथ काम नहीं किया, लेकिन हमेशा संपर्क में रहे। सुभाष भाई ने कहा था कि जब कोई शानदार रोल मिलेगा, तो वो मुझे जरूर बुलाएंगे। और अब वही वादा पूरा हुआ। इसलिए मेरे लिए ये किरदार दोस्ती और भरोसे का नतीजा है। सवाल: प्रधान मंत्री के किरदार के लिए क्या आपने किसी को जेहन सोचा था? जवाब: प्रधान मंत्री के किरदार के लिए किसी और को सोचने की बजाय मैंने खुद को देखा। किरदार के कर्मों से नहीं, उसकी वजह से इंसान को महत्त्व देता हूँ। पॉलिटिशियन, गैंगस्टर, डॉक्टर या कोई भी हो, किरदार की असली अहमियत उसकी वजह में होती है। जिसे मैं अपनी अंदर की शक्ति से निभाने की कोशिश करता हूं। सवाल: 'महारानी 4' में काम करते वक्त हुमा कुरैशी के साथ काम करने का अनुभव कैसा रहा? आप तो उन्हें काफी समय से जानते हैं? जवाब: बहुत अच्छा रहा। हुमा बहुत ही दयालु और उदार इंसान हैं, अपने काम को लेकर बहुत समर्पित हैं। मैं उनसे पहली बार 'गैंग्स ऑफ वासेपुर' की वर्कशॉप में मिला था। अनुराग कश्यप ने 10 दिन की वर्कशॉप रखी थी, वहीं हुमा पहली बार दिल्ली से आई थीं। उस फिल्म में उनका काम देखकर मैं बहुत प्रभावित हुआ था। इसके बाद हम दोनों ने ‘लव शव ते चिकन खुराना’ में भी साथ काम किया था, जो समीर शर्मा ने डायरेक्ट की थी। हालांकि उस फिल्म में हमारे बहुत सीन साथ नहीं थे। हमारा रिश्ता काफी पुराना है और हर बार मिलने पर यही बात होती थी कि एक दिन साथ काम करेंगे। आखिर जब .'महारानी 4' की पहली रीडिंग हुई, तो हम दोनों बहुत खुश थे कि अब सच में साथ काम करने का मौका मिला। सवाल: ‘द फैमिली मैन 3' के लिए आपको कैसे चुना गया, और इस सीरीज का हिस्सा बनना आपके लिए कितना मायने रखता है? जवाब: यह किस्सा काफी दिलचस्प है। दरअसल, फैमिली मैन की कहानी भी कुछ ऐसी ही है। मैं एक स्क्रीनिंग में कृष्णा डी.के.) से मिला था। उन्होंने ‘शोर इन द सिटी’ नाम से एक शॉर्ट फिल्म बनाई थी। बाद में उसी नाम से फिल्म भी भी बनाई। उस शॉर्ट फिल्म की स्क्रीनिंग में ही मेरी मुलाकात कृष्णा से हुई, और वह फिल्म मुझे बहुत पसंद आई। मुझे जब किसी का काम अच्छा लगता है, तो मैं कोशिश करता हूं कि ऐसे लोगों से संपर्क बनाए रखूं। कृष्णा भी हमेशा मैसेज का जवाब देते थे, जबकि मुंबई में ज्यादातर लोग काम में इतने व्यस्त रहते हैं कि जवाब नहीं दे पाते। हम लंबे समय तक टच में रहे। फिर एक दिन अचानक उनका फोन आया कि तीन-चार दिन बाद शूट करना है, क्योंकि जिस एक्टर को रोल करना था, वह किसी वजह से नहीं कर पा रहे थे। उन्होंने मुझसे कहा कि “तुम्हें आना होगा।” मैं तुरंत चला गया। शुरुआत में मेरा किरदार इतना बड़ा नहीं था, पहले सीजन 2 में चाय वाला सीन काफी मशहूर हो गया। फिर किरदार और भी विकसित हुआ, और अब हम सीजन 3 तक पहुँच गए हैं। यह सब दोस्ती और आपसी भरोसे का ही नतीजा है। सवाल: आपने कई बड़े निर्देशकों के साथ काम किया है। किसके साथ काम करना सबसे आसान रहा और फ्रीडम मिला? जवाब: अनुराग कश्यप के साथ काम करना बहुत सहज लगता है। वो ज्यादा जोर नहीं डालते कि सीन ऐसे ही करो। सुधीर मिश्रा भी ऐसे ही हैं। वो एक्टर को स्पेस देते हैं। दिबाकर बनर्जी के साथ भी मेरा अच्छा अनुभव रहा। लेकिन सुभाष कपूर के साथ काम करना तो बिल्कुल अलग ही तरह का रहा। उनसे मैंने बहुत कुछ सीखा। उनका काम करने का तरीका बहुत दिलचस्प है। वो आपको आपकी सीमाओं से बाहर ले जाते हैं। आपको नया तरीके से सोचने और करने के लिए प्रेरित करते हैं। यही बात मुझे बहुत अच्छी लगी और इस अनुभव का मैंने खूब आनंद लिया। सवाल: अपने आपने वाले प्रोजेक्ट्स के बारे में कुछ बताएं? जवाब: अभी मेरी एक फिल्म ‘किस-किस को प्यार करूं-2’ आएगा। इसके अलावा मैं अपना खुद का एक प्रोजेक्ट शुरू कर रहा हूं, जिसकी कहानी मैंने कोविड के दौरान लिखी थी। इस फिल्म को खुद ही प्रोड्यूस और डायरेक्ट कर रहा हूं। इसके अलावा फिल्म में एक खास किरदार भी निभा रहा हूं।
एक्टर विजय वर्मा और फातिमा सना शेख 'गुस्ताख इश्क' के जरिए जल्द ही बड़े पर्दे पर नजर आने वाले हैं। फिलहाल विजय और फातिमा फिल्म के प्रमोशन के लेकर बिजी हैं। इसी दौरान उन्होंने एक इंटरव्यू में मेंटल हेल्थ पर खुलकर बात की है। इसके अलावा विजय ने फातिमा की परमिशन से गुस्ताख इश्क के सेट पर हुए उनके मेडिकल कंडीशन एपिलेप्सी (मिर्गी) का किस्सा शेयर किया। दरअसल, दोनों ही स्टार मैशेबल इंडिया के पॉडकास्ट में पहुंचे थे। यहां पर विजय ने बताया कि कैसे फातिमा को पहले से पता चल गया था कि उनकी तबीयत बिगड़ने वाली है। विजय कहते हैं- ‘जब हम शूट कर रहे थे तो इसने मुझे और कुछ क्रू मेंबर्स को पहले ही बता दिया था कि अगर अटैक आता है तो हमें क्या करना है। राइट साइड करके लेटाना है। सिर के नीचे तकिया रखना है। मुंह पर कुछ नहीं होना चाहिए। सांस लेने के लिए स्पेस होना चाहिए। मुझे लगा कि शायद वो डराने के लिए ऐसा बोल रही है। उसी रात पैकअप के समय मैं शूटिंग के बीच में बाहर बैठकर किताब पढ़ रहा था, तभी मुझे अचानक एक आवाज सुनाई दी। मैं अंदर गया, तब तक फातिमा को दौरा पड़ चुका था।’ वो आगे कहते हैं- 'उस वक्त मैं खुद को बहुत कमजोर और असहाय महसूस कर रहा था। मुझे समझ नहीं आ रहा था कि मैं क्या करूं। मुझे वो सारी बातें याद आईं जो उसने मुझे बताई थीं। हमने शूट पर एक बेड खाली किया और उसे लेटा दिया। हवा आने की जगह बनाई। आसपास बहुत लोग थे, उन्हें कम करा दिया। मैं बस उसके सिर पर हाथ रख पास बैठ गया। ये कुछ देर तक चला। फिर हम उसे कार में होटल ले गए। जब वह होटल आई तो होश में थी, लेकिन उसे कुछ याद नहीं था।' बता दें कि फातिमा सना शेख ने रिया चक्रवर्ती के पॉडकास्ट में पहली बार मिर्गी के बारे में खुलकर बात की थी। उन्होंने बताया था कि कैसे इस बीमारी के साथ जीना आसान नहीं है। विजय और फातिमा के वर्कफ्रंट की बात करें तो एक्टर पिछले साल नेटफ्लिक्स की फिल्म 'मर्डर मुबारक' और सीरीज 'IC 814:द कंधार हाईजैक' में नजर आए थे। वहीं, फातिमा हाल ही में नेटफ्लिक्स की फिल्म 'आप जैसा कोई' और 'मेट्रो इन दिनों' में दिखी थीं।
31 अक्टूबर 1982 की बात है। तुर्किये की जानी-मानी सिंगर बर्गेन अपनी मां के साथ टैक्सी का इंतजार कर रही थीं। तभी अचानक उनके सामने एक शख्स आया, जिसने अपना चेहरा नकाब से ढक रखा था। बर्गेन कुछ कह पातीं, उससे पहले ही वह शख्स उनके ऊपर एसिड फेंक कर भाग गया। आनन-फानन में बर्गेन को अस्पताल में भर्ती कराया गया। उनका लगातार 45 दिन तक इलाज चला। बर्गेन बुरी तरह जल गई थीं और उनकी एक आंख भी खराब हो गई थी। बचना मुश्किल ही नहीं, लगभग नामुमकिन था, लेकिन मां की दुआएं और फैंस का प्यार उन्हें मौत के मुंह से वापस ले आया। लेकिन फिर बर्गेन की गोली मारकर हत्या भी कर दी गई। इस घटना के बाद हर कोई सहम गया। सभी के मन में सवाल था कि आखिर सिंगर का किसी से ऐसा क्या विवाद था कि उनके ऊपर एसिड फेंका गया और जब वह इससे भी बच गईं तो उन्हें बीच कॉन्सर्ट में गोली मारकर हत्या कर दी गई। पुलिस ने मामले का खुलासा किया तो हर कोई हैरान रह गया। आज अनसुनी दास्तान के 3 चैप्टर में पढ़िए तुर्किये की जानी-मानी सिंगर बर्गेन की हत्या की कहानी… बर्गेन का जन्म 15 जुलाई 1958 को तुर्किये में हुआ था। वह सात बच्चों में सबसे छोटी थीं। उनका बचपन प्यार, हंसी और संगीत से भरा हुआ था। घर में पैसे की कमी थी, लेकिन परिवार खुशहाल था और सभी उन्हें बहुत प्यार करते थे। हालांकि परिस्थितियां तब बदल गईं जब बर्गेन के माता-पिता का तलाक हो गया और परिवार बिखर गया। इसके बाद वह अपनी मां के साथ अंकारा चली गईं, जहां उन्होंने अपनी जिंदगी की नई शुरुआत की। बर्गेन का बचपन संगीत के बीच बीता इसलिए उन्होंने इसी में करियर बनाने का फैसला लिया। अंकारा आने के बाद उन्होंने संगीत सीखना शुरू किया। बर्गेन को गाने का अच्छा हुनर था और वह मैंडोलिन भी बहुत अच्छी तरह बजाती थीं। उनके टीचर्स और दोस्त हमेशा उनके टैलेंट की तारीफ करते। बर्गेन ने भी ठान लिया कि उन्हें सिंगर बनना है। इसके लिए उन्होंने अंकारा स्टेट कंजर्वेटरी में एडमिशन लिया और पियानो विभाग में पहला स्थान हासिल किया। धीरे-धीरे बर्गेन का संगीत पूरे तुर्किये में प्रसिद्ध हो गया, लेकिन बुलंदियों तक पहुंचना अभी बाकी था। उनकी आर्थिक स्थिति ठीक नहीं थी इसलिए उन्होंने अपनी पढ़ाई छोड़कर तुर्किये के संघीय डाकघर (PTT) में नौकरी करना शुरू किया। इसी बीच 1977 में खबरें सामने आईं कि बर्गेन ने शादी कर ली है और उनके बच्चे भी हैं। हालांकि परिवार ने इन खबरों को महज अफवाहें बताया। बर्गेन अक्सर दोस्तों के साथ नाइटक्लब जाती थीं। एक रात जब वह दोस्तों के साथ एक क्लब में थीं और गाना गा रही थीं, तभी क्लब के मालिक को उनकी आवाज इतनी पसंद आई कि उन्होंने बर्गेन को क्लब में हमेशा के लिए गाने का ऑफर दे दिया। बर्गेन ने तुरंत इसे स्वीकार कर लिया। उन्होंने क्लब बैंड में शामिल होकर तुर्किये क्लासिकल म्यूजिक और पॉप गाना शुरू किया। उनकी आवाज में इतनी मिठास थी कि दर्शक मंत्रमुग्ध हो जाते थे। धीरे-धीरे उन्हें वह कामयाबी मिलने लगी जिसकी चाह हर कोई करता है। इसी दौरान उनकी मुलाकात हालिस सर्बेस्ट नाम के एक व्यक्ति से हुई, जिसने उनकी जिंदगी हमेशा के लिए बदल दी। हालिस पहले से ही शादीशुदा था और उसके तीन बच्चे थे, लेकिन बर्गेन की सुंदरता के सामने वह खुद को रोक नहीं पाया। वह हर रात बर्गेन को फूल भेजता और क्लब में उनके प्रोग्राम देखने आता था। बर्गेन भी धीरे-धीरे उसकी ओर खिंचने लगीं और दोनों का रिश्ता बन गया। हालिस बर्गेन से शादी करके नई जिंदगी शुरू करना चाहता था। शुरुआत में बर्गेन थोड़ी झिझकीं, लेकिन अंततः वह मान गईं। दोनों ने शादी की, लेकिन यह शादी झूठी साबित हुई और बर्गेन को लगा कि उन्हें धोखा मिला है। आखिरकार बर्गेन ने फैसला किया कि वह हालिस से दूर हो जाएंगी। हालांकि हालिस उन्हें जाने नहीं देता था। धीरे-धीरे हालिस ने घरेलू हिंसा भी शुरू कर दी, जिससे बर्गेन की जिंदगी नर्क जैसी हो गई। ऐसे में उन्होंने हालिस को छोड़कर अपनी मां के पास अंकारा लौटने का फैसला किया। अंकारा में बर्गेन ने दोबारा करियर शुरू करने का फैसला किया। उन्होंने नॉर्वे के शहर बर्गेन से प्रेरित होकर ही अपना नाम बर्गेन रखा, जबकि उनका असली नाम कुछ और था। उन्होंने फिर से नाइटक्लब में गाना शुरू किया और कई जानी-मानी हस्तियों के साथ मंच शेयर किया। बर्गेन की आवाज में ऐसा जादू था कि पूरा अंकारा उनकी ओर खिंचता चला गया। उनकी जिंदगी बदलने लगी और अधूरे सपने भी पूरे होने लगे, लेकिन उनके मन में कहीं न कहीं हालिस का डर भी था और प्यार भी। बर्गेन को यही उम्मीद थी कि शायद वह एक दिन बदल जाएगा। हालांकि वह दिन कभी नहीं आया। दूसरी तरफ हालिस लगातार बर्गेन का पीछा करता रहा और जान से मारने की धमकियां देता रहा। 31 अक्टूबर 1982 को बर्गेन अपनी मां के साथ टैक्सी का इंतजार कर रही थीं, तभी अचानक उनके सामने एक नकाबपोश व्यक्ति आकर खड़ा हो गया। बर्गेन को डर महसूस हुआ और उसी क्षण उस शख्स ने उनके ऊपर एसिड फेंक दिया। बर्गेन का चेहरा और आंखें जल गईं। जैसे-तैसे उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया। बर्गेन ने 45 दिनों तक अस्पताल में मौत और जिंदगी के बीच संघर्ष किया। हमले की वजह से उनका चेहरा और शरीर जल गया था और उनकी आंखों की रोशनी चली गई थी। डॉक्टरों को उनकी जान बचाना भी मुश्किल लग रहा था। बर्गेन की मां, दोस्त और फैंस लगातार उनके ठीक होने के लिए प्रार्थना कर रहे थे। यही प्यार और समर्थन था जिसने बर्गेन को कठिन शारीरिक और मानसिक चोटों के बावजूद जीवित रखा। इस दौरान पुलिस ने हमलावर को पकड़ने के लिए जांच शुरू की। देश इस भयावह अपराध से हिल गया था और पुलिस पर दबाव था कि अपराधी को जल्द से जल्द गिरफ्तार किया जाए। आखिरकार पुलिस को सबूत मिले कि यह हमला किसी और ने नहीं, बल्कि बर्गेन के हसबैंड हालिस ने करवाया था। यह खबर सुनकर पूरे देश में सनसनी फैल गई। ये सोच ही बेहद डरावनी थी कि कोई व्यक्ति, जो कभी प्यार का दावा करता था, वो आज इतनी बेरहमी से हमला करवा सकता है। आखिरकार पुलिस ने हालिस को अरेस्ट कर लिया और अदालत ने उसे 13 साल जेल की सजा सुनाई। दूसरी ओर धीरे-धीरे बर्गेन उस भयानक एसिड हमले से ठीक होने लगीं। उन्होंने इस हमले को अपनी जिंदगी पर हावी नहीं होने दिया। एसिड अटैक में एक आंख खो देने के बावजूद बर्गेन ने गाना नहीं छोड़ा। उन्होंने मंच पर लौटकर अपने बालों की लट या विशेष डिजाइन वाले मेकअप से चोट छुपाते हुए फिर से गाना शुरू किया। बर्गेन ने गाने गाए और लिखे भी। उन्होंने कई एल्बम रिलीज किए। उनका संगीत उम्मीद की मिसाल बन गया। उन्होंने दिखाया कि कठिन समय को धैर्य और प्रयास से पार किया जा सकता है। बर्गेन ने अपने मंच का इस्तेमाल घरेलू हिंसा के खिलाफ जागरूकता फैलाने के लिए भी किया। संगीतकार झांगिस ओश्कर के सहयोग से बर्गेन ने 1983 में शानदार वापसी की। 1985 में बर्गेन ने अपना एल्बम एन्सन सीवियर्स जारी किया। यह एल्बम बहुत सफल रहा और बर्गेन की हिम्मत और प्रतिभा का प्रमाण बना। 1986 के अंत में उन्होंने अपना अगला एल्बम आशी नाकार्डिने रिलीज किया, जिसकी एक मिलियन से ज्यादा कॉपियां बिकीं और बर्गेन ने कई पुरस्कार भी जीते। यह उनके लिए एक बड़ी जीत थी। इतने कठिन समय के बाद बर्गेन ने अपनी जगह फिर से हासिल कर ली। 1987 में बर्गेन ने पहली बार एक्टिंग में कदम रखा और Woman of Pain फिल्म में काम किया। बर्गेन को लगा कि अब उनकी जिंदगी धीरे-धीरे सही दिशा में जा रही है।दूसरी ओर 1988 में हालिस जेल से रिहा हो गया। फिर दोनों ने समझौता किया और अप्रैल 1989 में तलाक ले लिया। लेकिन 14 अगस्त 1989 को जब बर्गेन अपना नया एल्बम यिलर अफेतमेज प्रमोट करने अदाना गईं, तभी हालिस ने उन पर गोली चला दी, जिससे उनकी मौत हो गई। इस हमले में बर्गेन की मां भी घायल हुईं। हालिस हत्या के बाद विदेश भाग गया, लेकिन जर्मनी में पकड़ा गया। उसे 15 साल जेल की सजा सुनाई गई, जिसे अच्छे व्यवहार के कारण घटाकर 3 साल कर दिया गया। जर्मनी और तुर्किये में 16 महीने की हिरासत को ध्यान में रखते हुए उसे केवल सात महीने जेल काटनी पड़ी।
मॉडल मिहिका शर्मा पिछले कुछ समय से भारतीय क्रिकेटर हार्दिक पांड्या के साथ रिलेशनशिप को लेकर सुर्खियों में हैं। हाल ही में दोनों की साथ में पूजा करते हुए फोटो और वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था। इस दौरान मिहिका डायमंड रिंग पहने नजर आईं, जिसके बाद से ही कयास लगाया जा रहा था कि दोनों ने इंगेजमेंट कर ली है। साथ ही ये भी खबरें आई थीं कि मिहिका प्रेग्रेंट हैं और दोनों जल्द शादी कर सकते हैं। अब इन खबरों पर मिहिका ने अपनी चुप्पी तोड़ी है। अपने इंस्टाग्राम स्टोरी में उन्होंने एक बिल्ली की फोटो शेयर की और उस पर कैप्शन लिखा- 'मैं इंटरनेट देख रही हूं, यहां डिसाइड हो गया है कि मेरी सगाई हो गई है। लेकिन बता दूं मैं हर दिन अच्छी जूलरी पहनती हूं।' उन्होंने एक और पोस्ट शेयर करते हुए मजाक में लिखा कि प्रेग्नेंसी की अफवाहें अगली कड़ी हो सकती हैं। इसके लिए माहिका ने एक व्यक्ति की खिलौना वाली कार चलाते हुए फोटो अपलोड की और लिखा- 'क्या मैं प्रेग्नेंसी की खबरों को खारिज करने के लिए इसमें जाऊं?' बता दें कि इसी साल अक्टूबर में हार्दिक ने अपने जन्मदिन के मौके पर मिहिका से अपने रिश्ते को ऑफिशियल किया था। 2024 में नताशा स्टेनकोविच से हुआ तलाक हार्दिक पंड्या ने साल 2024 में सर्बियाई मॉडल नताशा स्टेनकोविच से तलाक लिया था। दोनों की मुलाकात 2020 में कोविड-19 लॉकडाउन के दौरान हुई थी, जिसके बाद उन्होंने उसी साल शादी कर ली थी। 30 जुलाई 2020 को उनके बेटे अगस्त्य का जन्म हुआ। जुलाई 2024 में हार्दिक और नताशा ने आपसी सहमति से अलग होने का निर्णय लिया। अब हार्दिक और नताशा मिलकर अपने बेटे अगस्त्य की परवरिश कर रहे हैं।
गोवा के पणजी में 9 दिवसीय इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल ऑफ इंडिया का आयोजन चल रहा है। 20-28 नवंबर तक चलने वाली 56वें IFFI में दुनिया भर के फिल्म इंडस्ट्री से जुड़े लोग पहुंचे रहे हैं और अपना काम दिखा रहा हैं। बॉलीवुड के फेमस कास्टिंग डायरेक्टर मुकेश छाबड़ा भी इसका हिस्सा बने हैं। इफ्फी में उन्होंने बतौर कास्टिंग डायरेक्टर अपनी जर्नी को दिखाने के लिए स्टॉल लगाया है। मुकेश ने दैनिक भास्कर से खास बातचीत में इफ्फी में स्टॉल लगाने के पीछे के मकसद, अपनी कास्टिंग जर्नी पर बात की है। साथ ही, उन्होंने दिवंगत एक्टर सुशांत सिंह राजपूत को लेकर बनाई गई अपनी पहली डायरेक्टोरियल डेब्यू फिल्म 'दिल बेचारा' पर भी बात की। इस दौरान वो इमोशनल होते दिखे। पढ़िए इंटरव्यू का प्रमुख अंश… IFFI 2025 में आप शामिल हुए हैं। आपका स्टॉल भी लगा है। कैसा एक्सपीरियंस है? अच्छा लगता है। इफ्फी में स्टॉल लगाने का मेरा जो मकसद था, वो ये है कि यहां विदेशों से भी लोग आते हैं। उनको मालूम चले कि इंडियन कास्टिंग डायरेक्टर कैसे काम करते हैं। उन लोगों तक अपना काम पहुंचाना बहुत जरूरी है। इफ्फी ऐसी जगह है, जहां आप नए लोगों से मिलते हैं। इसलिए भी स्टॉल लगाया है ताकि लोगों को पता चले कि मैं कितने सालों से काम कर रहा हूं। मैं 18 साल से इंडस्ट्री में काम कर रहा हूं। कास्टिंग एक जिम्मेदारी वाला काम है। मैं चाहता हूं कि लोग मेरे काम को ग्लोबली जाने। आप पहले कास्टिंग डायरेक्टर हैं, जो इंटरनेशनली रजिस्टर हैं। कास्टिंग डायरेक्टर टर्म को लोगों के बीच पॉपुलर करने का श्रेय आपको जाता है। इसे कैसे देखते हैं? मैंने बिल्कुल नहीं सोचा था कि मेरी वजह से कास्टिंग डायरेक्टर टर्म लोगों के बीच पॉपुलर हो जाएगा। मुझे लगता था कि इस जॉब को लोग थोड़ा सीरियसली नहीं ले रहे हैं। मैंने अपने काम को दिल से करने की कोशिश की। जब आप काम करते रहते हैं, तब आपको कहां तक पहुंचना है, ये पता नहीं होता है। आपको बस अपना काम शिद्दत से करना होता है। मुझे बहुत खुशी है कि लोग अब इस काम को सीरियसली लेते हैं। कास्टिंग डायरेक्टर टर्म को इतनी इज्जत मिल रही है। मेरे साथ-साथ कई और लोग इस प्रोफेशन में आगे बढ़ रहे हैं। आज कास्टिंग डायरेक्टर की जॉब फुल फ्लेज करियर के रूप में स्थापित हो गया है। मुझे नहीं पता था कि जिंदगी यहां तक लेकर आएगी। आपकी पहली डायरेक्टोरियल फिल्म 'दिल बेचारा' आपके दिल के बहुत करीब है। क्या यादें हैं? इस फिल्म को लेकर सुशांत ही याद आता है। मैं हमेशा कहता हूं कि 'दिल बेचारा' मेरे लिए बची नहीं है। सुशांत की फिल्म है, उसकी साथ चली गई। 'दिल बेचारा' सिर्फ सुशांत के लिए डेडिकेटेड है। ये फिल्म सुशांत के बारे में और उसके इर्द-गिर्द है। 'दिल बेचारा' बनी भी सुशांत की वजह से। ये सिर्फ सुशांत के लिए है। उस फिल्म के बाद आपने कोई दूसरी फिल्म डायरेक्टर नहीं की। आपके डायरेक्शन का काम रुक क्यों गया? मेरे ख्याल से रुका नहीं है। बीच में मैं एक फिल्म बनाने की तैयारी में था लेकिन मैंने अपनी मां को खो दिया। लाइफ में फिर से रुकावट आई। फिर कास्टिंग का काम इतना ज्यादा बढ़ गया कि जिम्मेदारी बढ़ गई। मैंने इस बीच धुरंधर, किंग, रामायण, तेरे इश्क में, बॉर्डर-2, रोमियो, दिल्ली फाइल्स-3, फैमिली मैन-3, महारानी बहुत सारा प्रोजेक्ट्स किए। मैं इन प्रोजेक्ट्स को लेकर बहुत बिजी हो गया। मैं वर्कशॉप कर रहा था। मैंने सोचा कि अभी जो लाइफ में चल रहा है, उसे ही कन्टिन्यू करते हैं। जब वक्त मिलेगा और लाइफ अपने आप उस डायरेक्शन में लेकर जाएगी, फिर फिल्म बनाऊंगा। आप सिर्फ कास्टिंग तक सीमित नहीं हो। आप नए एक्टर्स के लिए खिड़कियां नाम से वर्कशॉप कर रहे हो। ये ख्याल कैसे आया? मुझे लगा कि जिन एक्टर्स को सिनेमा में मौका नहीं मिल रहा, कम से कम वो नाटक में काम कर सकते हैं। मैं सबके नाटक को प्रोड्यूस कर रहा हूं ताकि लोग फ्री में आकर नाटक देखें। मेरा मानना है कि कुछ ना कुछ करते रहना चाहिए। मैं लोगों से कहता हूं कि आप शॉर्ट फिल्म बनाना चाहते हैं बनाइए, मैं आपको पैसे दूंगा। बस काम करते रहिए और लगे रहिए। नए लोगों को मौका देना। लगातार काम करते रहने की हिम्मत और ऊर्जा कहां से आती है? मुझे लगता है कि जब आप गरीब घर से आते हैं, तब आपको रोज काम करने की आदत होती है। मेरे पिताजी एक जगह नौकरी करते थे और शाम को प्राइवेट काम भी करते थे। उनके अंदर जो शिद्दत थी, वो मेरे अंदर है। मैं ऐसा सोचता हूं कि 24 घंटे काम करो। काम नहीं करोगे तो खाना नहीं मिलेगा। आगे बढ़ना है तो रोज काम करना पड़ेगा।
सलमान खान ने अमाल मलिक को लगाई फटकार:शहबाज को कहा ‘चमचा’, बोले- अगर मैं होता तो दरवाजा खुलवा देता
रियलिटी शो बिग बॉस 19 के आने वाले वीकेंड का वार एपिसोड में सलमान खान कंटेस्टेंट अमाल मलिक को फटकार लगाते नजर आएंगे। हाल ही में शो के मेकर्स ने एक प्रोमो रिलीज किया, जिसमें सलमान अमाल के रवैये पर सवाल उठाते दिखे। उन्होंने कहा कि अमाल ने मालती चाहर के साथ ठीक तरह से बर्ताव नहीं किया। सलमान ने कहा, “अमाल, तुम्हारा रवैया मालती चाहर के प्रति बेहद गलत है। तुम कभी स्ट्रॉन्ग लोगों से नहीं भिड़ते, बस उनकी पीठ पीछे बातें करते हो। गौरव खन्ना, प्रणीत मोरे और फरहाना भट्ट से तुमने कभी आमने-सामने बात नहीं की।” जब अमाल ने बीच में टोका और कहा, “ऐसा नहीं हो सकता,” तो सलमान ने उन्हें रोकते हुए कहा, “अगर सुनना है तो सुनो, नहीं तो मैं चुप बैठ जाता हूं।” उन्होंने आगे कहा, “कई बार तुम्हारे झगड़े तुम्हारे दोस्त शहबाज की वजह से होते हैं। शहबाज, तुम्हें अब तक एहसास नहीं हुआ कि तुम अमाल को लेकर कितने पजेसिव हो गए हो। जिस दिन से तुम घर में आए हो, उसी दिन से तुम सिर्फ चमचा बनकर रह गए हो।” सलमान ने शहबाज को भी डांटा सलमान ने अमाल और शहबाज को बिग बॉस को पक्षपाती कहने पर भी फटकार लगाई। उन्होंने कहा, “जो तमाशा तुम दोनों ने किया था कि बिग बॉस अनफेयर हैं, अगर मैं वहां होता तो मुख्य द्वार खुलवा देता और कोई विकल्प भी नहीं देता।” कुनिका शो से बाहर हो सकती हैं बिग बॉस से जुड़ी अपडेट देने वाले सोशल मीडिया पेजों के मुताबिक, बिग बॉस 19 अब अपने फिनाले के करीब है। आने वाले एपिसोड में प्रतियोगी कुनिका सदानंद शो से बाहर हो सकती हैं।
अमेरिकी रैपर ट्रैविस स्कॉट के मुंबई में हुए कॉन्सर्ट में चोरी की कई घटनाएं हुईं। मुंबई पुलिस के अनुसार, शो के दौरान कई लोगों के मोबाइल फोन और ज्वेलरी चोरी हो गईं। चोरी हुए सामान की कुल कीमत लगभग 18 लाख रुपए बताई जा रही है। यह कॉन्सर्ट 19 नवंबर को मुंबई के महालक्ष्मी रेस कोर्स में हुआ था, जहां हजारों फैंस स्कॉट के हिट गानों पर झूमते नजर आए। भीड़ का फायदा उठाकर कुछ लोगों ने चोरी की वारदातों को अंजाम दिया। पुलिस के मुताबिक, अब तक की जांच में 24 मोबाइल फोन और 12 गोल्ड चेन चोरी होने की शिकायतें मिली हैं। कई लोग कॉन्सर्ट खत्म होने के बाद ताड़देव पुलिस स्टेशन पहुंचे और शिकायत दर्ज कराई। पुलिस द्वारा अज्ञात लोगों के खिलाफ मामला दर्ज पुलिस ने अज्ञात लोगों के खिलाफ भारतीय न्याय संहिता (BNS) की धारा 303(2) और 304 के तहत मामला दर्ज किया है। अब मामले की जांच जारी है। अधिकारियों ने बताया कि पुलिस कॉन्सर्ट स्थल पर लगे CCTV फुटेज की जांच कर रही है ताकि चोरी करने वालों की पहचान की जा सके। पुलिस टीम चोरी गए सामान को बरामद करने और आरोपियों को पकड़ने की कोशिश में जुटी है। ट्रैविस स्कॉट का मुंबई कॉन्सर्ट उनके ‘सर्कस मैक्सिमस वर्ल्ड टूर 2025’ का हिस्सा था। इससे पहले उन्होंने दिल्ली में भी 18 और 19 अक्टूबर को परफॉर्म किया था। भारत में इस टूर को बुक माय शो लाइव इन इंडिया ने प्रोड्यूस और प्रमोट किया था। बता दें कि ट्रैविस स्कॉट अपने अलग म्यूजिक स्टाइल और जोश से भरे लाइव शो के लिए मशहूर हैं। उनके कई गाने जैसे सिको मोड, एंटीडोट, गूजबंप्स और हाईएस्ट इन द रूम, बिलबोर्ड हॉट 100 चार्ट में टॉप पर रहे हैं।
एक्टर कार्तिक आर्यन आज अपना 35वां जन्मदिन मना रहे हैं। जन्मदिन के मौके पर रविवार को वे मुंबई के सिद्धिविनायक मंदिर में आशीर्वाद लेने के लिए पहुंचे। मंदिर में दर्शन करने के बाद कार्तिक ने फैंस के साथ फोटो क्लिक कराई। जो लोग उनका स्वागत करने आए थे, उन्होंने उनका गुलदस्ता स्वीकार किया। इस दौरान वहां मौजूद पैपराजी और फैंस ने कार्तिक को बर्थडे विश किया, जिसके लिए उन्होंने सबका धन्यवाद किया। 'प्यार का पंचनामा' से अपने करियर की शुरुआत की कार्तिक का असली नाम कार्तिक तिवारी है। उनका जन्म 22 नवंबर 1990 को ग्वालियर, मध्य प्रदेश में हुआ था। इंजीनियरिंग की पढ़ाई के दौरान ही उन्होंने फिल्मों की ओर रुख किया। उन्होंने अपने एक्टिंग करियर की शुरुआत साल 2011 में लव रंजन की फिल्म प्यार का पंचनामा से की। इसके बाद उन्होंने आकाश वाणी (2013) और कांची (2014) में काम किया, लेकिन शुरुआती फिल्में खास सफल नहीं रहीं। साल 2015 में आई प्यार का पंचनामा 2 और 2018 की सोनू के टीटू की स्वीटी से उन्हें पहचान मिली। इसके बाद लुका छुपी और पति पत्नी और वो जैसी फिल्मों ने उन्हें स्टार बना दिया। कार्तिक ने धमाका (2021) और फ्रेडी (2022) जैसी थ्रिलर फिल्मों में भी अपनी एक्टिंग से सबको चौंकाया। वहीं, उनकी सुपरहिट फिल्मों में भूल भुलैया 2 (2022) और भूल भुलैया 3 (2024) शामिल हैं। हाल ही में उन्हें अपनी फिल्म चंदू चैंपियन में मुरलीकांत पेटकर का किरदार निभाने के लिए फिल्मफेयर अवार्ड्स 2025 में बेस्ट एक्टर अवॉर्ड मिला है। कबीर खान ने कार्तिक की मेहनत की तारीफ की हाल ही में फिल्म चंदू चैंपियन के डायरेक्टर कबीर खान ने दैनिक भास्कर से खास बातचीत में कार्तिक को बेस्ट एक्टर का अवॉर्ड मिलने पर खुशी जताई। उन्होंने कहा, “कार्तिक ने इस फिल्म के लिए जिस लेवल की मेहनत की, वैसी मेहनत बहुत कम एक्टर करते हैं। डेढ़ साल तक उन्होंने खुद को पूरी तरह रोल के हवाले कर दिया। बॉक्सिंग सीखी, स्विमिंग सीखी, और सबसे मुश्किल बिना पैरों के स्विमिंग सीखना भी। उन्होंने अपने शरीर को 37 प्रतिशत फैट से घटाकर सिर्फ 7 प्रतिशत तक लाया। ये किसी आम कलाकार के बस की बात नहीं।” जब उनसे पूछा गया कि कार्तिक आर्यन, जिनकी पहचान प्यार का पंचनामा और लुका छुपी जैसी हल्की-फुल्की फिल्मों के किरदारों से रही है, उन्हें चंदू चैंपियन जैसे गंभीर और चुनौतीपूर्ण रोल के लिए क्यों चुना गया, तो इस पर कबीर खान ने बताया कि उनके करियर की खासियत यही रही है कि वे हमेशा कलाकारों को उनकी सहज छवि से बाहर निकालते हैं। उन्होंने कहा, “जब मैंने न्यूयॉर्क में कैटरीना कैफ को लिया, तो वो उनके करियर का सबसे अलग रोल था। फिल्म काबुल एक्सप्रेस में जॉन अब्राहम, 83 में रणवीर सिंह और बजरंगी भाईजान में सलमान खान इन सबने अपने करियर के सबसे चुनौतीपूर्ण किरदार निभाए। अब कार्तिक ने भी वैसा ही किया है। मेरे लिए यही सिनेमा का असली मजा है किसी एक्टर के अंदर वो रॉ मटीरियल देखना और उसे नए किरदार में ढाल देना।”
पंजाबी सिंगर हरमन सिद्धू की देर रात सड़क हादसे में मौत हो गई। हादसा शुक्रवार रात करीब 12 बजे हुआ। उनकी कार एक ट्रक से जा टकराई, जिससे मौके पर ही उनकी मौत हो गई। रात के वक्त हरमन सिद्धू मानसा से अपने गांव ख्याला जा रहे थे। हादसे के कारणों का अभी तक पता नहीं चल पाया है। मानसा पुलिस ने मौके पर पहुंचकर शव को सिविल अस्पताल पहुंचाया और परिवार को सूचित किया। हरमन सिद्धू का आज गांव ख्याला में अंतिम संस्कार किया जाएगा। हरमन सिद्धू की मौत से पंजाबी म्यूजिक इंडस्ट्री में शोक की लहर है। कुछ महीनों में एक के बाद एक कई पंजाबी कलाकारों की मौत हो गई है। इनमें राजवीर जवंदा, जसविंदर भल्ला भी शामिल हैं। सिंगर मिस पूजा के साथ हिट रही जोड़ीसिंगर हरमन सिद्धू एक दशक पहले तक डुएट गीतों के दौर में अपने करियर के चरम पर रहे हैं। इनकी कैसेट पेपर ते प्यार को लोगों ने भरपूर प्यार दिया और रातों-रात अखाड़ों का सरताज बना दिया। मिस पूजा के साथ इनकी हिट जोड़ी रही। मिस पूजा के साथ इन्होंने कई म्यूजिक एलबम में काम किया। दूसरी पारी की करने वाले थे शुरुआतदोगाना सिंगिंग का दौर खत्म होने के बाद सिंगर हरमन सिद्धू अब नए दौर की सिंगिंग के हिसाब से पारी की शुरुआत करने वाले थे। उनके 2025 के अंत तक दो गीत रिलीज होने वाले थे। पारिवारिक सूत्र बताते हैं कि गीतों की शूटिंग पूरी हो चुकी थी। इन्हीं गीतों की शूटिंग और म्यूजिक के सिलसिले में सिद्धू मानसा गए थे और काम खत्म होने के बाद घर लौट रहे थे। पिता की डेढ़ साल पहले मौत, घर पर पत्नी, मां और बेटी छूटेपारिवारिक सूत्रों का कहना है कि हरमन के पिता का अभी डेढ़ साल पहले ही निधन हुआ है। घर पर अब उनकी मां, पत्नी और बेटी रह गए हैं। हरमन सिद्धू अपने माता-पिता की इकलौती संतान थे।

