राय और ब्लॉग्स / बूमलाइव
बूम ने पाया कि रेनू तिवारी की वायरल क्लिप ओरिजिनल है. कई एआई डिटेक्टर टूल ने इसके वास्तविक होने की पुष्टि की है.
बूम ने जांच में पाया कि वायरल वीडियो में दिख रही महिला वोमिका सोनी (हिंदू) है. साइबराबाद पुलिस ने भी वायरल दावे का खंडन किया है.
बूम ने फैक्ट चेक में पाया कि वीडियो तजाकिस्तान के खुजंद शहर का है जहां एक रेस्टोरेंट में 19 जून 2025 को आग लगने की घटना सामने आई थी.
बूम ने फैक्ट चेक में पाया कि यह वीडियो मई 2018 का है जब अमेरिका के परमाणु समझौते से खुद को अलग करने पर ईरानी सांसदों ने अमेरिकी झंडे को जलाया था.
बूम को News24 के एग्जिक्यूटिव एडिटर मानक गुप्ता ने बताया कि वायरल ग्राफिक फेक है.
बूम ने पाया कि यह वीडियो लेबनान के टॉल शहर में स्थित शेख राघेब हार्ब यूनिवर्सिटी अस्पताल में इस साल फरवरी में हुए विस्फोट का है.
बूम ने पाया कि जॉन योंगफूक Apple के कर्मचारी नहीं हैं. उन्होंने बाद में स्पष्ट किया कि iOS 26 के Liquid Glass डिजाइन को लेकर Apple द्वारा उन्हें निकाल
बूम ने पाया कि तेज प्रताप यादव का यह वीडियो दो साल पुराना है. उन्होंने अपने एक्स अकाउंट पर 11 जून 2023 को यह वीडियो शेयर किया था.
बूम ने जांच में पाया कि वायरल तस्वीर केरल के कोझिकोड एयरपोर्ट के नजदीक 7 अगस्त 2020 को हुए विमान हादसे की है.
बूम ने पाया कि असम के गुवाहाटी में आई बाढ़ से जोड़कर वायरल हो रहा वीडियो हिमाचल स्थित सैंज वैली का है.
बूम ने पाया कि वायरल रील में दिख रही है महिला अनुष्का यादव नहीं बल्कि डिजिटल क्रिएटर 'संतूर मॉम रचना' हैं.
बूम ने पाया कि तस्वीर मेटा एआई से बनाई गई है. इसमें मेटा एआई का वॉटरमार्क है और तस्वीर में कई तरह की विसंगतियां भी हैं.
बूम ने पाया कि वायरल वीडियो साल 2020 का है. तब बिहार विधानसभा चुनाव के दौरान मुजफ्फरपुर में नाराज महिलाओं ने बीजेपी विधायक केदार प्रसाद गुप्ता की प्रच
बूम ने पाया कि बीजेपी मेंबर के अश्लील वीडियो केस में शामिल महिला के दावे से वायरल तस्वीरें आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस की मदद से बनाई गई हैं.
बूम ने पाया कि वायरल वीडियो में दिख रही महिला सोशल मीडिया इंफ्लूएंसर मोनिका राजपुरोहित हैं जिन्होंने एक दूसरे मामले में अगस्त 2024 में रोते हुए वीडियो
बूम ने जांच में पाया कि वायरल वीडियो को AI आर्टिस्ट Jay Pirabakaran द्वारा बनाया गया है. एआई डिटेक्शन टूल ने भी वीडियो के एआई जनरेटेड होने की प्रबल सं
बूम ने पाया कि यह वीडियो मई 2024 में पीओके के मुजफ्फराबाद में पाकिस्तानी रेंजर्स और स्थानीय लोगों के बीच हुए संघर्ष का है.
बूम ने फैक्ट चेक में पाया कि योगी आदित्यनाथ ने 2015 में शाहरुख खान की तुलना आतंकवादी हाफिज सईद से करते हुए यह बयान दिया था. तब वह गोरखपुर से बीजेपी सा
बूम ने जांच में पाया कि वायरल नोटिस फर्जी है और इसे तुर्की सरकार द्वारा जारी नहीं किया गया है.
बूम ने पाया कि राहुल गांधी के साथ पहली तस्वीर में दिख रही महिला बीजेपी विधायक अदिति सिंह हैं. वहीं दूसरी तस्वीर 2022 की है जिसमें उनके साथ एक अन्य महि
बूम ने पाया कि पीएम मोदी के साथ ग्रुप फोटो में दिख रही महिला ई-स्पोर्ट और गेमिंग इंडस्ट्री से जुड़ी पायल धरे हैं. वहीं दूसरी तस्वीर एडिटेड है.
बूम ने पाया कि यह तस्वीर आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस तकनीक से बनाई गई है. हाइव मॉडरेशन के मुताबिक यह तस्वीर 99 फीसदी AI जनेरेटेड है.
बूम ने जांच में पाया कि ऑपरेशन केलर में मारे जाने के दावे से वायरल तस्वीर कश्मीर के उधमपुर में 8 माह पहले मारे गए दो आतंकवादियों की है.
बूम ने अपनी जांच में पाया कि वायरल वीडियो 7 मई 2025 को पाकिस्तान के हैदराबाद में आयोजित भारत विरोधी प्रदर्शन का है.
बूम ने पाया कि भारतीय प्रधानमंत्री एवं अन्य मंत्रियों द्वारा हार स्वीकार करने और पाकिस्तान से माफी मांगने के वीडियो एआई जनरेटेड डीपफेक हैं.
सीएनएन के प्रवक्ता ने बूम को बताया कि वायरल ग्राफ़िक सीएनएन द्वारा नहीं बनाया गया है.
बूम ने फैक्ट चेक में पाया कि भारतीय नौसेना महिला अधिकारी किरण शेखावत की मृत्यु 24 मार्च 2015 को डोर्नियर विमान दुर्घटना में हो गई थी जबकि वायरल वीडियो
पुंछ जिला पुलिस ने दावे का खंडन करते हुए बताया कि कारी मोहम्मद इकबाल एक मदरसा शिक्षक थे जो पाकिस्तान की तरफ से क्रॉस बॉर्डर गोलाबारी में मारे गए.
सोनू निगम ने अपनी इंस्टाग्राम स्टोरी में वायरल बयान को फर्जी बताते हुए ग्राफिक का खंडन किया है.
बूम ने भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) के एक अधिकारी से संपर्क किया. उन्होंने पुष्टि की कि 29 अप्रैल से 2 जून के बीच IMD ने इस तरह की कोई चेतावनी जारी न
बूम ने पाया कि मूल वीडियो पहलगाम हमले से पहले का है. पूरे वीडियो में पाकिस्तानी सेना के जवान रोते नहीं बल्कि हंसते हुए नजर आते हैं.
बूम से बातचीत में जम्मू रक्षा विभाग के जन संपर्क अधिकारी लेफ्टिनेंट ने वायरल सूची को फेक बताया है.
बूम ने पाया कि यह वीडियो अप्रैल 2020काहै. उस समय हावड़ा के टिकियापाड़ा इलाके में भीड़ ने लॉकडाउन नियमों को लागू कराने पहुंची पुलिस पर पथराव कर दिया था.
बूम ने अपनी जांच में पाया कि वायरल वीडियो बांग्लादेश के ढाका से है. 18 मार्च 2025 को खिलखेत क्षेत्र में भीड़ ने बाल यौन अपराध के आरोपी किशोर की बेरहमी
बूम ने पाया कि वायरल वीडियो साल 2024 में जयपुर के मालपुरा गेट इलाके में जमीन विवाद के मामले से जुड़ा है. इसका मुर्शिदाबाद की हालिया हिंसा से कोई संबंध
बूम ने पाया कि इस स्क्रिप्टेड वीडियो को मुक्लेसुर अली नाम के एक कंटेंट क्रिएटर ने अपनी टीम के साथ मिलकर बनाया है.
सेंट्रल रेलवे और IRCTC ने वायरल दावे का खंडन करते हुए कहा कि एसी या नॉन एसी क्लास के लिए तत्काल या प्रीमियम तत्काल की बुकिंग के समय में फिलहाल कोई बदल
बूम ने अपनी जांच में पाया कि वायरल वीडियो 7 अप्रैल 2021 का है. प्रतापगढ़ की रानीगंज सीट से तत्कालीन बीजेपी विधायक धीरज ओझा ने जिलाधिकारी आवास पर धरना
बूम ने पाया कि मूल वीडियो 2016 का है. अमेरिका के ओहायो के डेटन में भाषण दे रहे डोनाल्ड ट्रंप के मंच पर एक शख्स ने चढ़ने की कोशिश की थी. इसी वीडियो को
बूम ने अपनी जांच में पाया कि काले कपड़ों में विरोध प्रदर्शन कर रही कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी का वीडियो 5 अगस्त 2022 को महंगाई और अन्य आर्थिक मुद्दों
बूम ने अपनी जांच में पाया कि वायरल वीडियो फरवरी में अधिवक्ता संशोधन विधेयक, 2025 के खिलाफ दिल्ली में हुए वकीलों के विरोध प्रदर्शन का है.
बूम ने फैक्ट चेक में पाया कि वीडियो के साथ किया जा रहा दावा गलत है. यह वीडियो साल 2024 का है और इसमें हिंदू विरोधी नहीं बल्कि इजराइल विरोधी नारे लगाए
बूम ने पाया कि जनवरी 2022 में रेलवे जॉब की तैयारी करने वाले छात्रों ने परीक्षाओं में अनियमितताओं के चलते बिहार के कई शहरों में प्रदर्शन किया था. इसी द
बूम ने पाया कि एआई डिटेक्शन टूल Hive Moderation और AIOrNot के अनुसार वायरल तस्वीर आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस से बनाई गई है.
बूम ने पाया कि ArcelorMittal Nippon Steel India ने फरवरी 2025 में अपने सीएसआर फंड से पुलिस को यह ई-बाइक प्रदान की थीं. यह ई-बाइक भारतीय कंपनी फ्रीगो ब
बूम को एबीपी न्यूज वेबसाइट हिंदी के एडिटर अब्दुल वाहिद आजाद ने बताया कि यह ग्राफिक पूरी तरह से फर्जी है.
बूम ने पाया कि वायरल वीडियो वाली घटना साल 2021 में हुई थी, जहां उत्तर प्रदेश के मऊ में करणी सेना के लोगों ने एक विवाद के बाद सपा नेता महेंद्र चौहान की
बूम ने पाया कि टीवी न्यूज चैनल न्यूज नेशन के एक प्रोग्राम 'ऑपरेशन पाखंड' में मैजिशियन कुलदीप मिश्रा दैवीय शक्ति के नाम पर हवा में नारियल उड़ाने का फर्
बूम ने अपनी जांच में पाया कि वायरल वीडियो राजस्थान में 21 दिसंबर 2024 को यूथ कांग्रेस के सीएम आवास घेराव के दौरान पुलिस और पार्टी कार्यकर्ताओं के बीच
बूम ने पाया कि बीजेपी के साथ मिलकर चुनाव नहीं लड़ने की बात करतीं मायावती का यह वीडियो2020काहै.