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गुरुग्राम पहुंची हरियाणवी डांसर सपना चौधरी:नए गाने का किया प्रमोशन, गन कल्चर पर बोलीं-सॉन्ग हों या फिल्में, सभी मनोरंजन का हिस्सा

हरियाणवी लोक कलाकार और डांसर सपना चौधरी ने गुरुग्राम के GAV इंटरनेशनल स्कूल में अपने नए हरियाणवी गाने 'मेरी सासू की' का प्रमोशन किया। इस दौरान स्कूल परिसर में प्रशंसकों की भीड़ उमड़ पड़ी। कार्यक्रम में सपना चौधरी के साथ अभिनेता प्रदीप नागर और गाने की पूरी स्टार कास्ट मौजूद रही। सभी कलाकारों ने स्टेज पर अपनी उपस्थिति से इवेंट को खास बनाया। मीडिया से बातचीत में सपना चौधरी ने कहा कि पूरे भारत में हरियाणवी कलाकारों को अब पहले से कहीं ज्यादा पसंद किया जा रहा है, जो हरियाणवी इंडस्ट्री के लिए गर्व की बात है। उन्होंने बताया कि उनका नया गाना 'मेरी सासू की' रिलीज हो चुका है और दर्शकों को काफी पसंद आ रहा है। इसमें हरियाणवी कंटेंट का भी समावेश है। गानों पर प्रतिबंध लगाने अनुचित- सपना चौधरी हरियाणा पुलिस के डीजीपी ओपी सिंह के गन कल्चर बैन वाले आदेश पर सपना चौधरी ने प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि गाने हों या फिल्में, सभी मनोरंजन का हिस्सा हैं और इन्हें इसी नजरिए से देखा जाना चाहिए। उन्होंने गानों पर प्रतिबंध लगाने को अनुचित बताया। शिक्षा के महत्व पर जोर देते हुए सपना चौधरी ने कहा कि यह सभी के लिए आवश्यक है और किसी भी व्यक्ति को आगे बढ़ने की सबसे बड़ी ताकत देती है। कार्यक्रम में GAV इंटरनेशनल स्कूल के चेयरमैन प्रदीप कौशिक ने सपना चौधरी और उनकी टीम को नए गाने की सफलता के लिए शुभकामनाएं दीं।

दैनिक भास्कर 25 Nov 2025 8:34 pm

10 साल बाद शिल्पा शिंदे फिर बनेंगी अंगूरी भाभी:शुभांगी आत्रे ने रिप्लेसमेंट पर तोड़ी चुप्पी, कहा- मैं पूरी तरह तैयार हूं

टीवी के पॉपुलर शो 'भाबी जी घर पर हैं' में 10 साल बाद बड़ा बदलाव होने जा रहा है। शो में 10 साल से अंगूरी भाभी का रोल निभाने वाली शुभांगी आत्रे ने शो को अलविदा कह दिया है। इससे पहले एक्ट्रेस शिल्पा शिंदे अंगूरी भाभी का किरदार निभाती थीं लेकिन 10 साल पहले शुभांगी ने उन्हें रिप्लेस किया था। अब खबरों की माने तो फिर से इस रोल में शिल्पा शिंदे की वापसी हो रही है। टाइम्स ऑफ इंडिया को दिए इंटरव्यू में शुभांगी ने अपनी जर्नी पर बात करते हुए कहा- 'मैंने हमेशा मिसेज कोहली से कहा था कि शो में मेरा सफर आन, बान और शान से शुरू होगा और वैसे ही खत्म होगा। मैं इससे अच्छे फेयरवेल की उम्मीद नहीं कर सकती थी। मुझे क्यों रिप्लेस किया जा रहा है, उसमें उलझने का कोई मतलब नहीं है। मैं इसे एक आशीर्वाद के रूप में देखती हूं। क्योंकि एक आर्टिस्ट के रूप में, मैं नए किरदारों को तलाशना चाहती हूं। यहां से निकलने के बाद फिर से काम की तलाश करूंगी। लाइफ में इतना कुछ देखने के बाद, अब मैं पूरी तरह से तैयार हूं और सिर्फ अपनी बेटी और काम पर फोकस कर रही हूं।' शुभांगी ने आगे कहा- ‘10 साल जिस शो का हिस्सा रही हूं, उसे छोड़ना इमोशनल कर रहा है। शो छोड़ना घर छोड़ने जैसा है। शूट के आखिरी दिनों में काफी इमोशनल हो गई थी। अंगूरी का किरदार मेरे लाइफ का हिस्सा बन गया था। मैं इस शो की शुक्रगुजार हूं क्योंकि इसने मुझे बहुत कुछ दिया है।’ शुभांगी ने शो में शिल्पा शिंदे की वापसी पर भी बात की। उन्होंने कहा- ‘मैं अब इस रिप्लेसमेंट गेम को खत्म कर रही हूं। मैंने अपनी मां से कहा कि शिल्पा ने इस शो को 9-10 महीने में छोड़ दिया था। उस वक्त मुझे ऐसा महसूस हुआ जैसे वो न्यूबॉर्न बेबी सौंपकर गई हैं। आज वो बच्चा 10 साल का हो गया है। अब मैं इसे वापस कर रही हूं। मैंने 10 साल तक उसे वैल्यू और संस्कार दिए। मैं शिल्पा शिंदे और पूरी टीम को इस शो के 2.0 वर्जन के लिए ऑल द बेस्ट कहूंगी।’ शुभांगी ने छोटे पर्दे पर एकता कपूर के शो 'कसौटी जिंदगी की' से करियर की शुरुआत की थी। उसके बाद 'कस्तूरी' में मेन लीड में नजर आईं। इस शो से शुभांगी को काफी पॉपुलैरिटी मिली। 'भाबी जी घर पर हैं' शो से जुड़ने से पहले शुभांगी 'दो हंसों का जोड़ा' शो में भी नजर आई थीं। साल 2016 से वो 'भाबी जी घर पर हैं' में अंगूरी भाभी का किरदार निभा रही थीं।

दैनिक भास्कर 25 Nov 2025 6:05 pm

सेलिना जेटली ने पति पर घरेलू हिंसा का आरोप लगाया:50 करोड़ रुपए का मुआवजा और बच्चों की कस्टडी मांगी, 15 साल बाद शादी में आई दरार

बॉलीवुड एक्ट्रेस सेलिना जेटली ने अपने पति पीटर हाग के खिलाफ मुंबई की एक लोकल कोर्ट में डोमेस्टिक वायलेंस का केस किया है। सेलिना ने अपने पति पर इमोशनल, फिजिकल, सेक्शुअल अब्यूज जैसे गंभीर आरोप लगाए हैं। साथ ही उन्होंने 50 करोड़ रुपए की मुआवजे के साथ हर महीने 10 लाख रुपए का मेंटेनेंस मांगा है। एक्ट्रेस की तरफ से 21 नवंबर को मुंबई की अदालत में याचिका दायर की गई थी। याचिका पर 24 नवंबर को ज्यूडिशियल मजिस्ट्रेट एस सी ताड्ये ने सुनवाई की, जिसके बाद ऑस्ट्रियाई बिजनेसमैन और होटल व्यवसायी पीटर को नोटिस जारी किया गया। अपनी याचिका में सेलिना ने कहा कि उनके 48 वर्षीय पति एक आत्ममुग्ध और सेल्फ-एब्जॉर्ब्ड इंसान हैं, जो उनके या उनके बच्चों के प्रति कोई सहानुभूति नहीं रखते हैं। उन्होंने दावा किया कि उनके पति ने उन्हें इमोशनल, फिजिकल, सेक्शुअल और वर्बल अब्यूज किया है, जिसके कारण उन्हें ऑस्ट्रिया में अपना घर छोड़कर भारत लौटने के लिए मजबूर होना पड़ा। कानूनी फर्म करंजवाला एंड कंपनी की तरफ से फाइल की गई याचिका में एक्ट्रेस के लिए 10 लाख रुपए मासिक गुजारा भत्ता मांगा गया है। साथ ही अदालत से पीटर को उनके मुंबई स्थित घर में एंट्री करने से रोकने की मांग की गई है। एक्ट्रेस ने अपने तीन बच्चों की कस्टडी भी मांगी, जो फिलहाल ऑस्ट्रिया में पीटर के साथ रह रहे हैं। उन्होंने कहा कि बच्चे होने के बाद पीटर ने अलग-अलग बहानों से उन्हें काम करने से रोक दिया। इससे उनकी फाइनेंशियल इंडिपेंडेंसी पर असर पड़ा और उनकी गरिमा छीनी। वो समय-समय पर पीटर की अनुमति से केवल छोटे प्रोजेक्ट ही कर पाती थीं। उनकी याचिका में बताया गया है कि पीटर ने इसी साल अगस्त में ऑस्ट्रिया की एक अदालत में तलाक का आवेदन दायर किया था। बता दें कि सेलिना ने पीटर हाग ने साल 2010 में ऑस्ट्रिया में शादी की थी। दोनों के तीन बच्चे विंस्टन, विराज और आर्थर हैं। 2012 के मार्च में कपल जुड़वां बेटों के पेरेंट्स बने थे। फिर 2017 में एक्ट्रेस ने जुड़वां बेटों को जन्म दिया, जिनमें से एक की हाइपोप्लास्टिक हार्ट कंडीशन के कारण मौत हो गई। सेलिना के काम की बात करें तो उन्होंने नो एंट्री, अपना सपना मनी मनी, मनी है तो हनी है, गोलमाल रिटर्न्स और थैंक यू जैसी फिल्मों में काम किया है। सेलिना इंडस्ट्री में आने से पहले ब्यूटी पेजेंट विनर रह चुकी थीं। वो साल 2001 मिस फेमिना इंडिया की विनर थीं। इसके अलावा उसी साल हुए मिस यूनिवर्स कंपीटिशन में चौथे नंबर पर रही थीं।

दैनिक भास्कर 25 Nov 2025 4:48 pm

धर्मेंद्र को बैडमिंटन खेलने का शौक था:मद्रास में शूटिंग के दौरान के.सी. बोकाड़िया ने 24 घंटे में ग्राउंड बनवाया, तो बहुत खुश हुए एक्टर

हिंदी सिनेमा के दिग्गज अभिनेता धर्मेंद्र (89) का सोमवार सुबह जुहू स्थित उनके घर में निधन हो गया। वे लंबे समय से अस्वस्थ थे और उनका इलाज चल रहा था। सोमवार दोपहर को मुंबई के पवन हंस श्मशान घाट में उनका अंतिम संस्कार किया गया। धर्मेंद्र के निधन के बाद प्रोड्यूसर-डायरेक्टर के.सी. बोकाड़िया ने दैनिक भास्कर से बातचीत में धर्मेंद्र को याद किया और उनके बारे में कई किस्से शेयर किए। के.सी. बोकाड़िया ने बताया कि वे बड़े अच्छे स्वभाव के थे। बहुत अच्छे इंसान और बहुत अच्छे आर्टिस्ट थे। उनके साथ कभी पैसों की दिक्कत नहीं होती थी। उनके साथ कभी एग्रीमेंट होता ही नहीं था। वे अक्सर कहते थे कि बोकाड़िया साहब! क्या साथ लेकर जाएंगे, अल्टीमेटली तो ये बातें ही रह जानी है। मैं कोशिश करता हूं कि मेरी वजह से किसी को ठेस नहीं पहुंचे। जबान से किसी पर वार नहीं करता हूं। धर्मेंद्र को बैडमिंटन खेलने का बेहद शौक था के.सी. बोकाड़िया ने बताया कि मद्रास में शूटिंग करने के दौरान वे मेरे बंगले पर बैडमिंटन खेलने आते थे। दरअसल धर्मेंद्र जब मद्रास में फिल्म 'इंसाफ कौन करेगा' की शूटिंग करने आए थे, तब पता चला कि वे बैडमिंटन खेलने का शौक हैं। उनके लिए 24 दिन के अंदर अपने बंगले में बैडमिंटन ग्राउंड बनवा दिया। इस बात से वे खुश होकर बोले- बोकाड़िया साहब! आपने तो कमाल कर दिया। वे मेरे घर पर ही वेजीटेरियन खाना खाते थे। मैं कहता था कि सॉरी सर! मैं नॉनवेज देता नहीं हूं, तब वे कहते थे कि जाट आदमी हूं। वैसे भी नॉनवेज कहां पसंद करता हूं। आप जो खिलाएंगे, खा लूंगा। मैं अन्न की कद्र करता हूं। मैं इन बातों में उलझता नहीं हूं। बहुत सिंपल इंसान थे। धर्मेंद्र को लेकर के.सी. बोकाड़िया ने यह भी बताया कि फिल्म 'इंसाफ कौन करेगा' की शूटिंग थी। उसमें जीवन कुमार के बेटे किरण कुमार कास्ट किए गए थे। सीन के मुताबिक धर्मेंद्र को किरन कुमार पर थप्पड़ मारना था। चूंकि जीवन और धर्मेंद्र अच्छे दोस्त थे, इसलिए धर्मेंद्र ने कहा कि अपने दोस्त के बेटे किरण कुमार को कैसे थप्पड़ मारूंगा। के.सी. बोकाड़िया ने आगे बताया कि इस फिल्म की शूटिंग के लिए हम पुष्कर गए थे। वहां पर 600 ऊंट के साथ शूट करना था। धर्मेंद्र ने एक ऊंट पर सवार होकर सैर करने चले गए, जब बड़ी देर तक वापस नहीं आए, तब कुछ ऊंटों पर सवार होकर उन्हें ढूंढने निकले। दूर से देखा कि वे हीरो की तरह एक टीले की तरफ से आ रहे हैं। वे पास आकर बोले- बेवकूफ हो क्या! धर्मेंद्र खो जाएगा क्या! धर्मेंद्र मरेगा, तब भी नहीं खोएगा। लोगों के दिलों में घुसा हुआ हूं। मुझे ढूंढना है, तब लोगों के दिलों में ढूंढो, यहां टीलों में क्या ढूंढते हो।

दैनिक भास्कर 25 Nov 2025 2:33 pm

ड्रग्स मामले में शक्ति कपूर के बेटे एंटी-नारकोटिक्स ऑफिस पहुंचे:252 करोड़ के केस में समन भेजा गया था, श्रद्धा-नोरा फतेही का नाम भी शामिल

252 करोड़ के ड्रग्स मामले में बॉलीवुड एक्ट्रेस श्रद्धा कपूर के भाई सिद्धांत कपूर एंटी नारकोटिक्स सेल के सामने पेश हुए हैं। सिद्धार्थ को एंटी नारकोटिक्स सेल के घाटकोपर यूनिट में पूछताछ के लिए बुलाया गया था। ANC ने सिद्धांत को पूछताछ के लिए एक बजे का समय दिया था। सिद्धांत को पूछताछ के लिए ये समन 21 नवंबर को मुंबई पुलिस की एंटी नारकोटिक्स सेल की तरफ से भेजा गया था। ANC ने इससे पहले पॉपुलर इन्फ्लूएंसर ओरहान अवात्रामणि उर्फ ओरी को भी समन किया था। हालांकि, ओरी पूछताछ के लिए नहीं पहुंचे थे। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, एंटी नारकोटिक्स सेल की घाटकोपर यूनिट ने ओरी को दूसरा समन भी भेजा है। इसके मुताबिक, उन्हें 26 नवंबर यानी कि बुधवार को पूछताछ के लिए बुलाया गया है। बता दें कि इससे पहले भी सिद्धांत का नाम ड्रग्स केस में आ चुका है। साल 2022 में बेंगलुरु की एक रेव पार्टी में अवैध ड्रग्स लेने के आरोप में पुलिस ने उन्हें फाइव स्टार होटल से गिरफ्तार किया था। पूरा मामला क्या है जानिए? इंडिया टुडे की रिपोर्ट के अनुसार, एंटी नारकोटिक्स सेल ने अगस्त में दाऊद इब्राहिम के साथ काम करने वाले ड्रग तस्कर सलीम डोला के बेटे ताहेर डोला को दुबई से प्रत्यर्पित किया था। पूछताछ के दौरान ताहेर डोला ने बयान में कहा कि उसके द्वारा भारत और विदेशों में आयोजित होने वाली ड्रग्स पार्टियों में बॉलीवुड एक्टर्स, मॉडल्स, रैपर्स, फिल्ममेकर और अंडरवर्ल्ड डॉन दाऊद इब्राहिम के रिश्तेदार भी शामिल होते थे। पीटीआई की रिपोर्ट के अनुसार, ताहेर डोला ने दावा किया है कि इन पार्टीज में ड्रग (मेफेड्रोन) सप्लाई की जाती है। इन पार्टी में शामिल होने वाले लोगों में श्रद्धा कपूर, भाई सिद्धार्थ कपूर, अलीशा पारकर (हसीना पारकर का बेटा), नोरा फतेही, ओरी उर्फ ओरहान अवात्रामणि, पॉपुलर फिल्ममेकर जोड़ी अब्बास-मस्तान, रैपर लोका और बाबा सिद्दीकी के बेटे जीशान सिद्दीकी भी शामिल हैं। बता दें कि श्रद्धा कपूर ने साल 2017 में रिलीज हुई दाऊद इब्राहिम की बहन हसीना पारकर में हसीना का रोल प्ले किया था। जबकि उनके भाई सिद्धार्थ कपूर दाऊद इब्राहिम के रोल में थे। नोरा फतेही ने दी आरोपों पर सफाई नोरा फतेही ने ड्रग केस में नाम आने के बाद सफाई देते हुए लिखा है, मैं पार्टियों में नहीं जाती, मैं हमेशा फ्लाइट्स पर रहती हूं, मैं वर्कहॉलिक हूं, मेरी कोई पर्सनल लाइफ नहीं है, मैं ऐसे लोगों के साथ जुड़ती भी नहीं हूं और अपनी छुट्टी के दिनों में मैं दुबई में बीच पर या अपने हाई स्कूल दोस्तों के साथ घर पर होती हूं। मैं अपना पूरा दिन और रात अपने सपनों और लक्ष्यों को पूरा करने में लगाती हूं। आगे उन्होंने लिखा है, जो भी पढ़ते हो, उस पर भरोसा मत करो। लगता है मेरा नाम इस्तेमाल करना बहुत आसान है। लेकिन इस बार मैं ऐसा होने नहीं दूंगी। ये पहले भी हुआ है, आप लोगों ने झूठ फैलाकर मुझे बर्बाद करने की कोशिश की थी, लेकिन वो कामयाब नहीं हुई। मैंने चुपचाप देखा जब हर कोई मेरी छवि खराब करने, मेरा नाम बदनाम करने और मुझे क्लिकबेट की तरह इस्तेमाल करने की कोशिश कर रहा था। कृपया मेरा नाम और मेरी तस्वीर उन मामलों में इस्तेमाल करने से बचें जिनका मुझसे जरा भी संबंध नहीं है। इसकी बहुत भारी कीमत चुकानी पड़ेगी।

दैनिक भास्कर 25 Nov 2025 2:19 pm

जावेद अख्तर बोले - धर्मेंद्र ने मुझसे माफी मांगी थी:बताया- मैं असिस्टेंट था, फिर भी धरम जी ने गलती पर डांटा नहीं

हिंदी सिनेमा के दिग्गज अभिनेता धर्मेंद्र (89) का सोमवार सुबह जुहू स्थित उनके घर में निधन हो गया। वे लंबे समय से अस्वस्थ थे और उनका इलाज चल रहा था। सोमवार दोपहर को मुंबई के पवन हंस श्मशान घाट में उनका अंतिम संस्कार किया गया। फिल्म शोले धर्मेंद्र के करियर की सबसे हिट फिल्मों में से एक रही है। इस फिल्म को सलीम-जावेद ने लिखा था। धर्मेंद्र के निधन के बाद सलीम-जावेद की जोड़ी के जावेद अख्तर ने दैनिक भास्कर से बातचीत में दुख जताया और उनके साथ जुड़ी यादें शेयर कीं। फिल्म राइटर जावेद अख्तर ने धर्मेंद्र को लेकर बताया कि धर्मेंद्र जी से पहली मुलाकात फिल्म 'यकीन' के दौरान हुई। एक दिन मैं डायरेक्टर बृज और प्रोड्यूसर देवेंद्र वर्मा के साथ फिल्मिस्तान पहुंचा। वहां साधना और धर्मेंद्र 'ये दिल दीवाना है' की शूटिंग कर रहे थे। मैं 175 रुपए महीने कमाने वाला असिस्टेंट था, लेकिन इतने बड़े स्टार ने मुझ जैसे नए लड़के से जिस आत्मीयता से बात की, वह आज तक याद है। मुंबई में उनका घर हमेशा खुला रहता था- जैसे पंजाब का कोई पिंड, जहां गांव की मिट्टी सांस ले रही हो। जावेद अख्तर ने आगे बताया कि वे उस अपनेपन का पुल थे, जिसके सहारे पूरी फिल्म इंडस्ट्री परिवार जैसी लगती थी। उन्हें उर्दू और शायरी से मोहब्बत थी। पर्दे के ही-मैन धर्मेंद्र शायराना मिजाज के थे। उन्हीं का शेर है, जो जीवन के सच को दो लाइनों में बता देता है- सब कुछ पाकर भी हासिल-ए-जिंदगी कुछ भी नहीं, मैंने देखे हैं एक से एक सिकंदर खाली हाथ जाते हुए। धर्मेंद्र के व्यक्तित्व को लेकर जावेद ने बताया कि धर्मेंद्र जी का व्यक्तित्व हमेशा दो परतों में दिखता था-ऊपर से सख्त, भीतर से बेहद नरम। एक बार वे एक फिल्म में डबल रोल कर रहे थे। एक सीन में ब्लू कॉन्टैक्ट लेंस की वजह से तकलीफ में थे। मैंने उन्हें डायलॉग का गलत पन्ना दे दिया। वे इतना नाराज हुए कि झुंझलाहट में कागज फेंक दिए। मुझे लगा अब डांट ही मिलेगी, लेकिन थोड़ी देर बाद उन्होंने मेकअप रूम में बुलाया और माफी मांगी। उर्दू के दीवाने थे धर्मेंद्रजावेद अख्तर ने बताया कि धर्मेंद्र को उर्दू भाषा और शायरी से गहरा प्रेम था। उन्होंने कहा, “वो अपने डायलॉग उर्दू में पढ़ते और लिखते थे। शायरी के बेहद शौकीन थे। जब मेरी किताब प्रकाशित हुई थी, तो उन्होंने शबाना से उसका ऑटोग्राफ लेकर रख लिया था। उन्हें उर्दू अदब और कविता से गहरा लगाव था। धरम जी खुद भी अक्सर गजलें सुनाया करते थे।” (जैसा अरविंद मंडलोई को बताया) धर्मेंद्र से जुड़ी ये खबरें भी पढ़ें धर्मेंद्र फैमिली ट्री:बॉलीवुड ही नहीं राजनीति में भी देओल परिवार का दबदबा, बेटे सनी-बॉबी से अमीर भतीजे अभय देओल; बेटी ईशा ने तोड़ी परंपरा भारतीय सिनेमा के सबसे चर्चित अभिनेताओं में एक धर्मेंद्र को मोस्ट हैंडसम का तमगा मिला। मिडिल क्लास पंजाबी जाट परिवार से आने वाले धर्मेंद्र ने खेत-खलिहान से निकल कर बॉक्स ऑफिस की सफलता देखी। पूरी खबर यहां पढ़ें... शोले' की शूटिंग में 50km पैदल चलकर पहुंचे थे धर्मेंद्र:डायरेक्टर रमेश सिप्पी ने शेयर किए धर्मेंद्र के किस्से हिंदी सिनेमा के दिग्गज अभिनेता धर्मेंद्र (89) का सोमवार सुबह जुहू स्थित उनके घर में निधन हो गया। वे लंबे समय से अस्वस्थ थे और उनका इलाज चल रहा था। पूरी खबर यहां पढ़ें...

दैनिक भास्कर 25 Nov 2025 1:25 pm

दिवंगत एक्टर धर्मेंद्र को याद कर डायरेक्टर समीर कार्णिक बोले:धरमजी गलतियां माफ करने वाले इंसान थे, कहते थे शॉट रेडी कर बच्चे, कर लूंगा

धरम जी का जाना भारतीय सिनेमा के लिए सबसे दुखद दिनों में से एक है। यह सिर्फ भारतीय सिनेमा का नुकसान नहीं है। यह देओल परिवार के लिए, और मेरे जैसे लोगों के लिए भी व्यक्तिगत क्षति है, जो उस परिवार का हिस्सा रहे हैं। धरम पाजी हमेशा मुझे एक बच्चे की तरह मानते थे। देओल परिवार हमेशा हर अच्छे-बुरे व्यक्त में मेरे साथ रहा है। धरम पाजी तो बस, क्या कहूं, उनकी महानता का बखान करने के लिए मेरे पास कोई शब्द नहीं हैं। यह कहकर डायरेक्टर समीर कार्णिक भावुक हो जाते हैं। समीर कार्णिक ने धर्मेंद्र की फिल्म ‘यमला पगला दीवाना’ डायरेक्टर की थी। इस फिल्म में सनी देओल और बॉबी देओल भी अहम किरदार में थे। समीर कार्णिक कहते हैं- धरम जी एक लीजेंड हैं, और हमेशा एक लीजेंड रहेंगे। यह इंडस्ट्री का नहीं, पूरे भारतीय सिनेमा का बड़ा नुकसान है। मैं खुद को बहुत भाग्यशाली मानता हूं कि ‘यमला पगला दीवाना’ में मुझे उनके साथ काम करने का अवसर मिला। दिल के बादशाह समीर कहते हैं- मैंने धरम पाजी जैसा इंसान अपनी जिंदगी में कम ही देखा है। वह कभी किसी को जज नहीं करते थे। नया है, पुराना है, क्या है,कोई मतलब नहीं। वह बहुत ही नेकदिल इंसान थे और वह हमेशा हमारी यादों में वैसे ही रहेंगे। उनका दिल इतना बड़ा था कि अगर किसी ने कोई गलती भी की होती, तो भी वह कभी उसे गलत नहीं समझते। उनका दिल इतना विशाल था कि उसमें सबको जगह थी, सबको अलाउड था। वह उन महान लोगों में से एक थे, जिनसे मुझे अपने जीवन में मिलने का सौभाग्य मिला। सेट पर एक दोस्त और पिता हमारी फिल्म 'यमला पगला दीवाना' में उन्होंने अपने दोनों बेटों (सनी और बॉबी) के साथ काम किया। उनका किरदार एक सीनियर से ज्यादा , एक दोस्त की तरह था। वह सबको कम्फर्टेबल महसूस कराते थे। मैंने कहा न, वह कभी खुद को 'धर्मेंद्र' नहीं मानते थे। इतना बड़ा एक्टर, स्टार, सुपरस्टार,नहीं! वह सबको इक्वल ट्रीट करते थे, सबको इतना प्यार देते थे। यह सिर्फ प्यार था, हमेशा। जब आपको एक पिता की जरूरत होती थी, वह वहां होते थे। जब आपको एक दोस्त की जरूरत होती थी, वह वहां होते थे। जब आपको अपने लिए खड़े होने की जरूरत होती थी, तो वह वहां होते थे। वो धर्मेन्द्र थे । धरम पाजी वही थे । मैं उन्हें बहुत मिस करूंगा, और वह हमेशा मेरे साथ रहेंगे। वह एक ऐसी ऊर्जा हैं, ऐसी शक्ति हैं कि अगर आप गिर जाओ, तो वह आपको मोटीवेट करते थे, उठो बच्चे, अभी तो कुछ नहीं है, उठो, लड़ना है। उनमें इतनी शक्ति है। संक्रामक ऊर्जा उनके बारे में कहा जाता है कि कैमरा ऑन होते ही उनकी एनर्जी एक अलग स्तर पर चली जाती है। मैं कहूंगा- कैमरा ऑन हो या ऑफ हो, उनकी एनर्जी हमेशा ऑन रहती थी। उनकी एनर्जी संक्रामक थी। अगर आप कभी उदास या डाउन भी हों, तो उनसे मिलकर आप भी अप हो जाते थे। वह आते ही पूरे सेट को रोशन कर देते थे। ऐसा कोई आदमी नहीं था- मेरी यूनिट में, या मैंने जितनी यूनिटों में काम किया- जो उनकी एनर्जी से प्रभावित न हुआ हो। सनी और बॉबी थोड़े शर्मीले हैं, लेकिन धरम सर हमेशा एनर्जी से भरपूर रहते थे। अगर आपका दिन खराब चल रहा हो, तो उनसे मिल लो, आपका दिल खुश हो जाएगा, आपकी एनर्जी वापस आ जाएगी। अनटचेबल सहजता अब इन सब चीजों के बारे में क्या ही बोलूं! वह भारतीय सिनेमा के सबसे उत्कृष्ट अभिनेताओं में से एक थे। उनकी सहजता, उनकी ऊर्जा अनटचेबल है। कभी-कभी एक राइटर या डायरेक्टर के तौर पर, मैं या कोई और भी हो सकता है, अगर कहीं फंस जाए, तो हम उनसे पूछते थे, धरम जी, ऐसा करना है। वह मुस्कुराते थे और कहते थे, बच्चे, शॉट रेडी कर, कर लूंगा मैं। यही अनुभव था, यही सहजता थी जो एक एक्टर के रूप में उनमें थी। आज यह सिर्फ भारतीय सिनेमा का नहीं, मेरे लिए एक बहुत बड़ा व्यक्तिगत नुकसान है। मैं उन्हें हमेशा याद रखूंगा।

दैनिक भास्कर 25 Nov 2025 6:00 am

87 की उम्र में हर शॉट खुद देते थे धर्मेंद्र:एक्टर की आखिरी रिलीज फिल्म के डायरेक्टर बोले- एक्टिंग को लेकर उनमें अनुशासन-समर्पण था

वेटरन एक्टर धर्मेंद्र का 89 साल की उम्र निधन हो गया। 24 नवंबर को एक्टर ने अपने घर पर आखिरी सांस ली। उनकी आखिरी रिलीज फिल्म साल 2024 में आई फिल्म ‘तेरी बातों में ऐसा उलझा जिया’ थी। इस फिल्म के डायरेक्टर अमित जोशी ने धर्मेंद्र को लेकर अपनी यादें शेयर की हैं। उन्होंने दैनिक भास्कर से बातचीत में कहा- ‘87 की उम्र में भी रात 2 बजे तक काम करते थे धरम जी, हर सीन उर्दू में खुद लिखकर प्रिपेयर करते थे। कड़ाके की ठंड में भी वैनिटी की अतिरिक्त सुविधा नहीं मांगते थे, कैमरा ऑन होते ही उनकी एनर्जी हम जवां लोगों से भी ऊपर पहुंच जाती थी। धरम सर... वह सिर्फ एक अभिनेता नहीं थे, बल्कि वह भारतीय सिनेमा का एक युग थे। मेरा सौभाग्य रहा कि मुझे अपनी फिल्म 'तेरी बातों में उलझा जिया' में उनके साथ काम करने का मौका मिला। और आज, यह बात कहते हुए गला रुंध जाता है कि वह उनकी आखिरी रिलीज्ड फिल्म थी। मैं उनका बहुत बड़ा फैन रहा हूं। लगातार कई दशकों तक लीड हीरो रहना, और आज तक उनके चेहरे पर जो तेज और जो एक्टिंग है- वह भारतीय सिनेमा के सबसे बड़े नामों में से एक हैं। उनके निधन की खबर सुनकर अजीब लग रहा है, क्योंकि मैंने उनके साथ पूरी फिल्म की शूटिंग में बहुत समय बिताया है।' एकमात्र विकल्प-धरम जी जब मैंने और आराधना ने फिल्म में दादाजी का रोल लिखा, तो दिमाग में सिर्फ एक ही बात थी कि धरम जी से बेहतर यह रोल कौन करेगा? हम दोनों ऋषिकेश मुखर्जी की फिल्मों, जैसे 'चुपके चुपके' और उनकी पंजाबी फैमिली ड्रामा वाली फिल्मों के फैन रहे हैं। उस रोल में जो ह्यूमर और जो गरिमा चाहिए थी, वह सिर्फ उन्हीं में थी। हमारी कल्पना में उनके अलावा कोई और था ही नहीं। यह हमारी खुशकिस्मती थी कि उन्होंने कहानी सुनी और तुरंत हां कर दी। मेरे ऑल टाइम फेवरेट हीरो के साथ काम करने का यह मेरा सपना था। अभिनय के प्रति समर्पण नैरेशन के वक्त पहली बार मैंने उनकी एक्टिंग के प्रति उत्साह देखा। उस उम्र में भी किसी भी चीज को करने की उनकी इच्छाशक्ति और उसे किस तरह से करना चाहिए, इसकी तैयारी अद्भुत थी। हम सेट पर बहुत रीडिंग करते थे, और वह इतने प्रिपेयर्ड एक्टर थे कि हर सीन को वह खुद लिखते थे। मेरी फिल्म में, वह शूटिंग से पहले पूरा सीन उर्दू में दोबारा लिखते थे। वह अपने डायलॉग्स को आत्मसात करने का उनका तरीका था। सेट पर जादू धरम सर के साथ एक खास बात थी, जो सिर्फ महान अभिनेताओं में होती है। वह कैमरे के सामने बहुत अलग थे। कैमरे से पहले वह थोड़े शांत रहते थे, लेकिन जैसे ही कैमरा ऑन होता था, उनके अंदर एक अलग ही एनर्जी आ जाती थी। ऐसा लगता था, जैसे वह बिल्कुल जवान हो गए हों। हम सब, यहां तक कि क्रू भी, इस बात को लेकर थोड़े चिंतित रहते थे कि कहीं वह थक न जाएं, कहीं उन्हें संभलना न पड़े, लेकिन जैसे ही कैमरा ऑन होता था, वह कुछ ऐसा करके दिखाते थे कि हम सब हैरान रह जाते थे। उनकी तैयारी लाजवाब थी। मुझे एक सीन याद है, जब शाहिद घर से भाग रहे होते हैं। हमने उन्हें सामान्य तरीके से बैठा रखा था। उन्होंने कहा, नहीं यार, मुझे कंबल चाहिए, मैं कंबल ओढ़कर बैठता हूं। उन्होंने अपने हिसाब से कैरेक्टर को कल्पना करके उसे एक ऐसे स्तर पर पहुंचा दिया, जो हमने लिखा था, उससे भी कहीं बेहतर था। मैं उनकी आखिरी फिल्म के बारे में बात कर रहा हूं, और उनकी एनर्जी उस उम्र में भी जवान एक्टर्स से भी ज्यादा थी। एक ग्रेट एक्टर की जो आभा होती है, वह उनमें थी। धरम जी से बड़ा कोई एक्टर है ही नहीं। जैसलमेर में बगैर वैनिटी के शूट एक बहुत अच्छी बात जो मुझे याद है, वह जैसलमेर की शूटिंग से जुड़ी है। हम रात को शूटिंग कर रहे थे। वैनिटी वैन किले के नीचे बहुत दूर थीं। रात का शूट था, और किसी को भी वैनिटी वैन से पैदल ऊपर तक आना बहुत मुश्किल था। मैंने उन्हें ऑफर भी किया कि मैं आपको कार से ले जाता हूं, या आप वापस वैनिटी वैन में चले जाइए। उन्होंने कहा- नहीं, मैं यहीं पर कम्फर्टेबल हूं। आप ज्यादा से ज्यादा मेरे लिए आग लगवा दीजिए। वह वहीं सेट पर बैठे रहे, रात को 2-2:30 बजे, जबकि शूट लेट हो रहा था। उन्होंने कहा, मैं वापस जाऊंगा, तो आपका टाइम खराब होगा। वह अपने साइड का इंतजार करते रहे। हमने उनके लिए आग जलवाई। उन्होंने पूछा, क्या खाएंगे? मैंने कहा, मैगी। फिर हमने मैगी खाई। वह डेडिकेशन... वह ग्राउंडेड होना... इतना कुछ हासिल करने के बाद भी इतना जमीन से जुड़ा रहना, यह एक बहुत बड़ी बात है। हम जैसे लोग तो उनसे सीखते हैं कि कैसे छोटी-छोटी बातों पर ईगो न रखकर काम करना चाहिए। दादाजी और पोते की केमिस्ट्री शाहिद कपूर (जो फिल्म में उनके पोते बने थे) भी धरम जी के साथ काम करने के लिए सुपर एक्साइटेड थे, क्योंकि उन्होंने कभी उनके साथ काम नहीं किया था। वह दुआ कर रहे थे कि धरम जी हाँ कह दें। इससे पहले उन्होंने ‘ जब वी मेट ’ में दारा सिंह जैसे लीजेंड्री संग काम किया था। सेट पर उनकी और शाहिद की केमिस्ट्री शानदार थी। जब आप फैमिली फिल्म शूट कर रहे होते हैं, तो पूरी फैमिली एक साथ रहती है। हम सब 50-60 दिन तक एक साथ थे, खाते-पीते थे। उनकी उपस्थिति ने पूरी यूनिट को एक वास्तविक परिवार जैसा महसूस कराया। धरम सर ने अपनी आखिरी फिल्म में जो प्यार, जो गरिमा, और जो अभिनय का जादू दिया, वह हमेशा मेरी यादों में, और सिनेमा में, जिंदा रहेगा। समर्पण जो रात के 2 बजे भी बरकरार रहा उनकी सहजता और अनुशासन के कई किस्से हैं, लेकिन जैसलमेर की शूटिंग का एक वाकया मैं कभी नहीं भूल सकता। हम रात को दो-ढाई बजे शूटिंग कर रहे थे। वैनिटी वैन किले से बहुत दूर, खाई में नीचे थीं। वहाँ बहुत कड़कड़ाती ठंड थी। रात के उस पहर में अगर वह चाहते तो अपनी वैन में आराम कर सकते थे, क्योंकि शॉट में थोड़ा वक्त था। लेकिन वह वहीं सेट पर बैठे रहे। मैंने उन्हें स्वेटर या वैनिटी में जाने के लिए ऑफर किया, क्योंकि इतने सीनियर एक्टर का इतनी ठंड में रुकना सही नहीं था। उन्होंने साफ मना कर दिया। नहीं, मैं यहीं पर कम्फर्टेबल हूं। अगर मैं वापस जाऊंगा, तो आपका टाइम खराब होगा। सोचिए, रात के 2 बजे, 87 साल की उम्र में, वह ठंड में इसलिए बैठे रहे ताकि हमारे शूट का समय खराब न हो। वह क्लाइमेक्स सीक्वेंस था। हमने उनके लिए आग जलवाई। उस माहौल में हमने साथ में मैगी खाई। वह डेडिकेशन और ग्राउंडेड रहना, यह सिखाता है कि महान कलाकार इतने महान क्यों होते हैं। छोटे-छोटे लोग छोटी-छोटी बातों पर ईगो में रहते हैं, पर धरम जी इतना अचीव करने के बाद भी सबसे ज्यादा जमीन से जुड़े थे। हर शॉट खुद करते थे सबसे हैरान करने वाली बात यह थी कि वह बॉडी डबल नहीं लेते थे। फिल्म के अंत में जो क्लाइमेक्स सीक्वेंस है, जहां रोबोट खराब हो जाती है और कृति को पकड़ा जाता है, वहां एक छोटा-मोटा एक्शन भी है। उन्होंने वह खुद किया। आखिरी सीन, जहां आंख जलने के बाद वह कृति का हाथ पकड़कर पूछते हैं कि तुम आग क्यों लगा रही हो?—वह उन्होंने अपनी पूरी एनर्जी के साथ किया। वह अपनी हर फिल्म में एक्टिंग से एक अलग ही स्तर पर जाते थे। 'तेरी बातों में उलझा जिया' में भी उनकी कॉमिक टाइमिंग और हर एक्टिंग बीट लाजवाब थी। डबिंग में भी और बेहतर करने की चाह हम तो अभी शुरुआत कर रहे हैं, पर उनसे सीखने को बहुत मिलता है। उनकी आखिरी फ़िल्म थी, और वह उसमें भी और मेहनत करना चाहते थे। फिल्म रिलीज होने के बाद उनका मुझे फोन आया था। उन्होंने बधाई दी, और सबसे बड़ी बात यह कही- यार, मुझे और थोड़ी वर्कशॉप करनी चाहिए थी। मैं इसे और बेटर कर सकता था। मैंने कहा, आप क्या बात कर रहे हैं? 87 साल की उम्र में, इतना कुछ हासिल करने के बाद भी, वह कह रहे थे कि मुझे और वर्कशॉप करनी चाहिए थी! डबिंग के समय भी, जबकि फिल्म सिंह साउंड पर थी (मतलब आवाज आ ही रही थी), मैंने उन्हें एक बार सुनाया। उन्हें लगा, नहीं यार, इसको मैं और बेटर कर सकता हूं। और उन्होंने डबिंग की। वह सिर्फ इसलिए, क्योंकि उनको लगा कि वह उस सीन को और बेहतर कर सकते हैं। यही एक महान कलाकार की निशानी होती है। फैमिली और अनुशासन उनके आने का समय भी गजब का था। मैं यंग हूं, और यह मेरी पहली फिल्म थी। मैं डरते-डरते पूछता था कि सर कितने बजे आएंगे? हम अगर उन्हें 8 बजे का कॉल टाइम देते थे, यह जानते हुए कि मैं रोल (शॉट शुरू) 9 बजे करूंगा, वह 7 बजे या 6:30 बजे ही सेट पर आ जाते थे। वह पूरा अनुशासन के साथ काम करते थे। शाहिद और उनके बीच भी केमिस्ट्री बहुत अच्छी थी। फैमिली फिल्म होने की वजह से हम सब साथ में हंसी-मजाक करते थे। धरम जी की वजह से पूरी यूनिट एक परिवार की तरह बन गई थी। मैं आज खुद को बहुत खुशकिस्मत मानता हूं कि मुझे उनकी आखिरी फिल्म को डायरेक्ट करने का मौका मिला। यह भगवान का दिया हुआ आशीर्वाद है। मैं उन्हें हमेशा उसी उत्साह, उसी समर्पण और उसी विशाल व्यक्तित्व के साथ याद रखूंगा। धरम सर को मेरी तरफ से गहरा नमन।

दैनिक भास्कर 25 Nov 2025 5:30 am

धुरंधर की कास्टिंग को मुकेश छाबड़ा ने बताया धमाकेदार:IFFI 2025 में बोले- इसे देख लोग मेरा पहला काम भूल जाएंगे, शाहरुख-सलमान को बताया फैमिली जैसे

गोवा के पणजी में 56वें इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल ऑफ इंडिया का आयोजन चल रहा है। 9 दिनों तक चलने वाली इस इवेंट में बॉलीवुड के फेमस कास्टिंग डायरेक्टर मुकेश छाबड़ा भी हिस्सा बने हैं। मुकेश ने दैनिक भास्कर से खास बातचीत में अपने आने वाली फिल्म 'धुरंधर', 'किंग', 'तेरे इश्क में' की कास्टिंग पर बात की है। इसके अलावा उन्होंने शाहरुख खान, सलमान खान और अक्षय कुमार जैसे सितारों से अपने रिश्ते के बारे में भी बताया। पढ़िए इंटरव्यू का प्रमुख अंश… धुरंधर, तेरे इश्क में, द फैमिली मैन-3 तीनों की कास्टिंग आपने की है और ये सारे ही काफी बज में है। क्या कहेंगे? बहुत अच्छी फीलिंग है। जो फीलिंग ‘गैंग्स ऑफ वासेपुर’, ‘दंगल’, ‘काई पो चे’, ‘बजरंगी भाईजान’ के बाद आई थी, अभी मैं बिल्कुल वैसा ही महसूस कर रहा हूं। लेकिन इसमें उनसे भी ज्यादा धमाका हुआ है। मैंने आज तक जितनी कास्टिंग की है, लोग ‘धुरंधर’ के बाद वो सब भूल जाएंगे। लोगों सिर्फ ‘धुरंधर’ को याद रखेंगे। मुझे इस फिल्म से जुड़कर बहुत मजा आया। इस फिल्म की कास्टिंग में मेरी लाइफ के डेढ़ साल गए हैं। मुझे हर एक्टर के बारे में सोचना था। चाहे वो संजय दत्त का रोल हो, आर माधवन, अक्षय खन्ना का रोल हो या नई लड़की सारा अर्जुन का। साथ ही, कई और नई चेहरे हैं, मैंने सबकी कास्टिंग पर मेहनत की है। साथ ही खूब एंजॉय भी किया है। धनुष और कृति सेनन की फिल्म ‘तेरे इश्क में’ काफी सुर्खियां बटोर रही है। इसे कैसे देखते हैं? मुझे ‘रांझणा’ वाले आनंद एल राय वापस चाहिए थे। मुझे लगता है कि तेरे इश्क में उनकी वापसी हो गई है। जब आप फिल्म देखेंगे तब आपको दिखेगा कि कितनी मेहनत हुई। आनंद एल राय की फिल्म मेकिंग का अपना एक स्टाइल है, जो शायद कहीं खो गया था। ‘तेरे इश्क’ के बाद वो वापस आ जाएगा। अपने ‘दंगल’ और ‘काई पो चे’ की कास्टिंग की थी। इन दोनों कास्टिंग को लेकर आज भी बातें होती हैं। आपने सही कहा...मुझे आज तक ‘दंगल’ के लिए प्यार मिलता है। ‘दंगल’ की कास्टिंग ने भी इस देश में थोड़ा शोर मचाया था। ‘काई पो चे’ की कास्टिंग के दौरान ही मैं सुशांत, राजकुमार राव और अमित साध का दोस्त बन गया था। हम चारों काफी अच्छे दोस्त बन गए थे। मैंने जिन लोगों को भी चुना, सबने करियर में अच्छा मुकाम हासिल किया है। मैं चाहता हूं कि जो भी मेरे साथ जुड़े, वो सब स्टार बने। आपने शाहरुख खान, सलमान खान और लगभग सारे ही बड़े स्टार्स की कास्टिंग की है। इन सबके साथ आपके रिश्ते काफी मजबूत हैं। मुझे लगता है कि अगर आप अपने काम से प्यार करो तो काम के जरिए रिश्ते बनते हैं। फिर अगर आप रिश्तों की इज्जत करें तो रिश्ते कहीं नहीं जाते हैं। मेरी टीम के लोग हो या बड़े स्टार्स सब मेरी लिए फैमिली जैसे हैं। शाहरुख तो हमेशा बड़ी गर्मजोशी से मिलते हैं। मैंने उनके साथ इतना सारा काम किया है। उन्होंने मुझे बचपन से देखा है। जब काम को तारीफ मिलती है तो अच्छा लगता है। मेरे असिस्टेंट मेरे लिए भाई की तरह हैं। शाहरुख, सलमान और अक्षय भाई के साथ मेरा रिश्ता अब 18 साल पुराना है। आप अपना काम अच्छे से करोगे तो आपके रिश्ते मेंटेन रहेंगे। शाहरुख खान की फिल्म ‘किंग’ की कास्टिंग के बारे में कुछ बताइए? ‘किंग’ को बज में लाने के लिए टीजर ही काफी था। उस टीजर ने ही फिल्म के बारे में काफी कुछ बोल दिया है। आपके दो दशक लंबे करियर के दौरान कोई ऐसा कॉम्प्लीमेंट जो आपके लिए बहुत खास है? एक-दो एक्टर हैं, जिनकी फैमिली में मुझे थैंक्यू का मैसेज किया था। मैसेज में ये लिखा था कि बेटा थैंक्यू आपकी वजह से मेरे बच्चे मुंबई में टिक पाएं और काम कर पाएं। मुझे ऐसी ही तारीफ अच्छी लगती हैं, जिसमें किसी के पेरेंट्स ने मुझे दुआएं दी हों।

दैनिक भास्कर 25 Nov 2025 5:00 am

धर्मेंद्र का जन्म स्थान खंडहर बना:पैतृक घर बिक चुका, जिस सिनेमा घर में हीरो बनने की ठानी, वहां अब शॉपिंग कॉम्प्लेक्स

बॉलीवुड के ही-मैन कहे जाने वाले धर्मेंद्र (धर्म सिंह देओल) का सोमवार को निधन हो गया। इसके बाद से देश दुनिया में उनके चाहने वालों में मायूसी है। कुछ ऐसा ही हाल पंजाब के लुधियाना के खन्ना क्षेत्र के गांव नसराली का। यह वही गांव है, जहां धर्मेंद्र का जन्म हुआ था और परिवार ने उनकी पैदाइश के बाद यहां दो साल बिताए थे। धर्मेंद्र के पिता उस समय सरकारी शिक्षक थे और उनकी पहली पोस्टिंग नसराली में ही हुई थी। परिवार गांव में एक किराए के मकान में रहता था। बाद में उनकी बदली साहनेवाल हो गई, जिसके बाद परिवार नसराली से चला गया। गांव में आज भी वह घर है, जिसमें धर्मेंद्र ने जन्म लिया था। यह मकान अब खंडहर हो चुका है, लेकिन धर्मेंद्र की जन्मस्थली होने के कारण लोगों के लिए आज भी गर्व की निशानी है। गांव निवासी दलबारा सिंह बताते हैं कि धर्मेंद्र का जन्म इसी गांव में हुआ था और उनके पिता बहुत ही सादगी पसंद इंसान थे। मेजर सिंह ने कहा कि गांव में जब भी धर्मेंद्र की कोई नई फिल्म आती थी तो लोग बड़े गर्व से कहते थे-“यह हमारा गांव वाला लड़का है”। रविंदर सिंह ने भावुक होकर कहा कि गांव वालों की एक ही कसक हमेशा रही कि धर्मेंद्र कभी अपने जन्मस्थान नसराली नहीं आ सके। हम अक्सर सोचते थे कि काश वह एक बार यहां आते, उस मिट्टी को देखते जहां उन्होंने पहली सांस ली थी। इसके अलावा साहनेवाल गांव से भी धर्मेंद्र की कई यादें जुड़ी हैं। यहां धर्मेंद्र ने कुछ दिन ट्यूबवेल ऑपरेटर के रूप में भी काम किया था। वह मकान भी है, जहां धर्मेंद्र का परिवार किराए पर रहता था। दोनों गांव में कैसा है इन मकानों का हाल और क्या कहते है ग्रामीण? पढ़िए दैनिक भास्कर एप की ग्राउंड रिपोर्ट... जिस मकान में किराए पर रहा परिवार, धर्मेद्र के नाम की नेम प्लेट लगाईसाहनेवाल में धर्मेंद्र का परिवार जिस घर में कभी किराए पर रहते थे, उसके मालिक संदीप ने इसे धर्मेंद्र की यादों से संजोया हुआ है। संदीप ने अपने घर के बाहर धर्मेंद्र के पुराने घर की तस्वीर बनवा कर लगवाई हुई है। इसके नीचे उसने धर्मेंद्र हाउस नाम से नेम प्लेट भी लगवाई हुई है। अक्सर धर्मेंद्र के चाहने वाले साहनेवाल में आते है, इसकी सेल्फी जरूर लेते है। संदीप बताते है कि हमारे साहनेवाल की पहचान धर्मेंद्र के नाम से है। करीब डेढ़ वर्ष पहले ही मैंने ये मकान मास्टर रामजी दास से खरीदा था। दरअसल, हमारा मकान इस मकान के बिल्कुल साथ लगता था। इस कारण हमने ये मकान उनसे खरीद लिया। मैंने धर्मेंद्र के नाम की नेम प्लेट अपने घर के बाहर इसलिए लगाई है, क्योंकि इसकी पहचान धर्मेंद्र के नाम से है। इसी मकान में धर्मेंद्र रहा करते थे। यहां उनका बचपन गुजरा। पास में ही स्कूल है, जहां धर्मेंद्र पढ़े थे। उनके पिता इसी स्कूल में शिक्षक थे। इसलिए परिवार यहां किराए पर रहता था। गांव साहनेवाल पर बना चुके डॉक्यूमेंट्रीसाहनेवाल का नाम धर्मेंद्र के कारण ही मशहूर है। करीब 7 साल पहले धर्मेंद्र ने एक डॉक्यूमेंट्री फिल्म भी इसी घर में की थी। गांव निवासी वरिंदर ने बताया कि देश-विदेश से लोग अक्सर साहनेवाल में धर्मेंद्र का घर देखने आते है। सरकार को चाहिए कि साहनेवाल में कोई ऐसी जगह बनवाई जाए, जहां धर्मेंद्र के बारे सैलानियों को पूर्ण जानकारी मिल सके। मेरे दादा ने धर्मेंद्र को लगवाया था ट्यूबवेल आपरेटरसाहनेवाल निवासी बलबीर कौर बताती हैं कि पहले भी धमेंद्र जब बीमार होते थे तो अस्पताल दाखिल होते थे और तंदरुस्त हो जाते थे। मगर, अब जब आज उनके निधन का पता चला तो बहुत दुख हुआ। आज हमारा मन भरा हुआ है। एक्टर बनने के लिए जब वह मुम्बई गए तो यही से गए। पढ़ाई भी यही पर की। हमें उन पर बहुत मान था। हमारा और हमारे गांव का मुम्बई में नाम धर्मेंद्र ने किया। हमारे साथ उनके पारिवारिक संबंध थे। एक्टर बनने से पहले धर्मेंद्र को टयूबवेल ऑपरेटर हमारे दादा सरदार भगवान सिंह संधू ने ही लगवाया था। उन्होंने यह नौकरी थोड़े दिन ही की। इसके बाद वे मुम्बई चले गए। बेशक वो आज दुनिया में नहीं रहे, लेकिन उनका यादें हमेशा दिलों में धड़केगी। आखिरी समय धर्मेंद्र से हमारी मुलाकात लुधियाना के एक होटल में हुई थी। उनके साथ आंटी प्रकाश कौर भी थी। गांव में जब भी वह आते थे तो स्कूल का चक्कर जरूर लगाते थे। गांव के रेलवे स्टेशन के पुल पर जाते थे और याद करते थे कि इसी स्टेशन से वह मुम्बई में गए थे। जब भी आते थे तो हमारे घर की छत पर महफिल लगाकर परिवार के साथ बैठते थे। दिल्ली में हमारे ताया जी के पास भी अक्सर वे जाते थे। नंबरदार स्वीट्स, जिसकी बर्फी धमेंद्र को बेहद पसंद थीसाहनेवाल में साधु हलवाई की नंबरदार स्वीट्स नाम से दुकान है। इसकी गाजर की बर्फी धर्मेंद्र को बेहद पंसद थी। जो लोग पंजाब से उन्हें मिलने जाते थे, वे अपने साथ साधु हलवाई की बर्फी जरूर ले जाते थे। सन्नी देओल के बेटे करण देओल की शादी में उनकी दुकान से 20 किलो बर्फी गई थी। एक कॉमेडी शो में धर्मेंद्र ने इसका जिक्र किया था। नंबरदार स्वीट्स के मालिक नवी बताते है कि उनके दादा जी के साथ धर्मेंद्र का बहुत लगाव था। उनकी दुकान की खोये वाली बर्फी और गाजर की बर्फी उन्हें बहुत पसंद थी। कपिल शर्मा शो में भी धर्मेंद्र ने जब उनकी दुकान का नाम लिया तो उनका कारोबार काफी बढ़ गया। आज धर्मेंद्र के निधन की खबर सुनी तो काफी मायूसी हुई। 83 साल की माया बोलीं, मैंने धर्मेंद्र की कलाई पर सजाई राखीसाहनेवाल की बुजुर्ग महिला माया (83) ने बताया कि धर्मेंद्र उनके बचपन का दोस्त रहा है। भाई-बहनों की तरह हमेशा एक दूसरे के साथ उनका लगाव रहा है। खेतों में इकट्‌ठे खेलते थे। सरसो का साग और मक्की को रोटी खाते थे। मैं धमेंद्र से 5 साल छोटी हूं। मैं धमेंद्र की कलाई पर राखी सजाया करती थी। खेतों से जब गन्ने लेने जाना तो धर्मेंद्र कहता था कि माया तू आगे हो, मैं पीछे-पीछे चलूंगा। जब भी धर्मेंद्र साहनेवाल आता था तो मेरे से जरूर मिलता था। कई बार मैं अपने पारिवारिक सदस्यों से कह चुकी थी कि मुझे एक बार धर्मेंद्र से मिलवा लाओ। अब उसकी यादें ही हमारे पास रह गई है। उसकी दोस्ती ज्यादातर लड़कियों से होती थी। सभी को बहनों की तरह रखता था। अब सभी कहानियां खत्म हो गई। जब धर्मेंद्र बीमार था तो मैं अस्पताल चली जाती तो उसने मुझे बांहों में ले लेना था। धर्मेंद्र की एक बहन दर्शना है। छोटी बहन छिंदो थी, उसकी डेथ हो गई थी। होम्योपैथ डॉक्टर ललित सूद से भी थी धर्मेंद्र की पक्की यारीलुधियाना के होम्योपैथिक डॉक्टर ललित सूद ने बताया कि उनकी और अभिनेता धर्मेंद्र जी की दोस्ती बहुत पुरानी और गहरी थी। उनकी धर्मेंद्र जी से पहली मुलाकात उनके दोस्त और प्रॉपर्टी व्यवसायी जीएस लौटे के माध्यम से हुई थी।उन्हें आज ही पता चला कि धर्मेंद्र जी का निधन हो गया है, जिस पर उन्होंने गहरा दुख व्यक्त किया। डॉक्टर सूद ने एक घटना याद करते हुए बताया कि धर्मेंद्र जी के भाई जब पैरलाइज थे, तब डॉक्टर सूद ने ही उन्हें दवाई दी थी। दवाई देने के बाद, धर्मेंद्र जी ने उन्हें दोबारा फ़ोन किया और कहा कि वे उनके अच्छे मित्र बन गए हैं। इसके बाद, जब भी वे लुधियाना आते थे, वे लगातार मिलते और एंजॉय करते थे।डॉक्टर सूद ने बताया कि वे एक बार धर्मेंद्र जी के जन्मदिन पर मुंबई गए थे। उस समय, धर्मेंद्र जी की एक कार खराब हो गई थी। उनके दोस्तों ने उस कार को गैरेज से ठीक करवाकर धर्मेंद्र जी के जन्मदिन पर उनके घर वापस पहुंचाया। इस पर लोगों ने यह समझा कि शायद लुधियाना वाले दोस्त ने धर्मेंद्र जी को गाड़ी गिफ्ट की है। अभिनेता धर्मेंद्र से जुड़ी ये बातें भी जानिए... 19 साल की उम्र में हुई थी पहली शादीधर्मेंद्र की पहली शादी 1954 में 19 साल की उम्र में प्रकाश कौर से हुई थी। इस शादी से उनके 2 बेटे सनी और बॉबी और 2 बेटियां विजेता और अजीता है। शादीशुदा धर्मेंद्र जब फिल्म 'तुम हसीन मैं जवान' के सेट पर हेमा मालिनी से मिले, तो उन्हें हेमा से प्यार हो गया था। धर्मेंद्र और हेमा ने साल 1980 में शादी रचा ली थी। इस शादी से कपल की दो बेटियां हैं... ईशा और अहाना देओल। टैलेंट कॉन्टेस्ट ने दिलाई फिल्मों में एंट्रीगांव साहनेवाल के लोग बताते है कि स्कूली पढ़ाई पूरी करने के बाद धर्मेंद्र ने एक टैलेंट कॉन्टेस्ट के लिए अपनी फोटो भेजी थी। इसमें सिलेक्ट होने के बाद वह एक्टर बनने मुंबई आ गए थे। धर्मेंद्र ने 1960 में अर्जुन हिंगोरानी की दिल भी तेरा हम भी तेरे के साथ फिल्म जगत में शुरुआत की। धर्मेंद्र ने पांच दशकों के करियर में 300 से अधिक फिल्मों में काम किया है। 1997 में उन्हें हिंदी सिनेमा में उनके योगदान के लिए फिल्मफेयर लाइफटाइम अचीवमेंट अवॉर्ड मिला। 2012 में पद्म भूषण से सम्मानित किया गया था। राजनीति में भी आजमाया था दांवधर्मेंद्र ने भारतीय जनता पार्टी की ओर से 2004 से 2009 तक राजस्थान में बीकानेर का प्रतिनिधित्व करने वाले सांसद के रूप में कार्य किया। 2004 में अपने चुनाव अभियान के दौरान उन्होंने एक आक्रामक टिप्पणी की कि उन्हें लोकतंत्र के लिए आवश्यक बुनियादी शिष्टाचार सिखाने के लिए हमेशा के लिए तानाशाह चुना जाना चाहिए। इसके लिए उन्हें आलोचना का सामना भी करना पड़ गया था।

दैनिक भास्कर 25 Nov 2025 5:00 am

धर्मेंद्र का निधन,एडवोकेट चोपड़ा बोले- मेरा यार चला गया:पंजाब में पिता की पैंट से रुपए चोरी कर देखी पहली फिल्म, स्टार बनकर रामलीला में रोल पूछा

पंजाब के दिग्गज फिल्म अभिनेता धर्मेंद्र अब हमारे बीच नहीं है। मगर, पंजाब के फगवाड़ा की गलियों में आज भी उनके कई मशहूर किस्से सुनाए जाते हैं। फगवाड़ा के लोग धर्मेंद्र को अपने घर का बेटा मानते हैं। जैसे ही धर्मेंद्र के निधन की खबर फगवाड़ा पहुंची तो लोगों के चेहरे उतर गए। उनके बचपन के दोस्त और सीनियर एडवोकेट शिव नारायण चोपड़ा तो यह खबर सुनकर भावुक हो गए। बोले- कहा मेरा यार चला गया, अब कुछ कहने की ताकत नहीं बची। मुझे शिब्बू कह कर कौन आवाज मारेगा। एसएन चोपड़ा ने पुरानी यादों की पोटली खोली तो कई बातें पता चलीं। उन्होंने बताया कि हम दोनों ने बचपन में एक साथ पढ़ाई की, एक साथ फिल्में देखीं और लंबा वक्त साथ बिताया। धर्मेंद्र का जन्म लुधियाना के गांव डांगों के नजदीक नसराली में हुआ था, लेकिन उनका बचपन फगवाड़ा में बीता। वे फगवाड़ा में अपनी बुआ के घर रहते थे। उनके पिता केवल कृष्ण चौधरी सरकारी टीचर थे। उन्होंने धर्मेंद्र का एडमिशन फगवाड़ा के रामगढ़िया कॉलेज में कराया था, जहां से उन्होंने इंटरमीडिएट किया। इसके चलते धर्मेंद्र का बचपन फगवाड़ा में ही गुजरा। चोपड़ा बताते है कि धर्मेंद्र ने पहली फिल्म पिता की पैंट से पैसे चोरी करके देखी थी। रामलीला में रोल न मिलने का किस्सा तो आज भी लोग मुस्कुराते हुए सुनाते हैं। सुपरस्टार बनने के बाद भी उन्होंने कभी अपनी मिट्टी से रिश्ता नहीं तोड़ा। अभिनेता धर्मेंद्र के बचपन की कहानी, उनके दोस्त की जुबानी... फगवाड़ा से धर्मेंद्र का गहरा नाता... जहां पहली फिल्म देखी, उसके कॉम्प्लेक्स का किया उद्घाटनएसएन चोपड़ा बताते है कि साल 2006 में धर्मेंद्र फगवाड़ा आए थे। यहां उन्होंने पुराने पैराडाइज थिएटर की जगह बने गुरबचन सिंह परमार कॉम्प्लेक्स का उद्घाटन किया। यही वह जगह थी, जहां बचपन में धर्मेंद्र ने मेरे साथ पहली फिल्म देखी थी। उद्घाटन के दौरान उन्होंने ऊंची आवाज में नारा लगाया ‘फगवाड़ा जिंदाबाद’ और मंच पर खड़े-खड़े ही भावुक हो गए थे। पिता की यादें आज भी जिंदा, स्कूल मैनेजमेंट बोला- हमें गर्वआर्य हाईस्कूल में आज भी मास्टर केवल कृष्ण चौधरी को एक सख्त लेकिन दयालु शिक्षक के रूप में याद किया जाता है। आर्य स्कूल के मैनेजर सुरिंदर चोपड़ा ने कहा, मास्टर जी हमारे स्कूल में छात्रों को पढ़ाते थे, यह हमारे लिए गर्व की बात है। धर्मेंद्र के दोस्त और स्कूल संचालक केके सरदाना ने भी उनके निधन पर शोक व्यक्त किया। धर्मेंद्र ने कहा था- मैं पंजाब का किसान पुत्र हूंएसएन चोपड़ा बताते है कि 2006 में जब धर्मेंद्र फगवाड़ा आए थे तो उन्होंने कहा था- मैं पंजाब का किसान पुत्र हूं। आज जो कुछ हूं, इस धरती और यहां के लोगों की बदौलत हूं। फगवाड़ा के लिए धर्मेंद्र सिर्फ फिल्मी हीरो ही नहीं थे, वे अपनी मिट्टी से जुड़े रहने, विनम्रता और इंसानियत के प्रतीक थे। --------------------------ये खबर भी पढ़ें...लुधियाना के धरम मुंबई जाकर बने धर्मेंद्र:सिनेमाघर में देखा एक्टर बनने का सपना, कहते थे- पंजाब की मिट्टी ने पहचान दी, मैं उसी का बेटा दिग्गज बॉलीवुड एक्टर धर्मेंद्र का सोमवार को निधन हो गया। जानकारी के मुताबिक 89 साल के धर्मेंद्र ने दोपहर करीब 1 बजे अपने घर पर अंतिम सांस ली। उनका जन्म लुधियाना के नसराली में हुआ था लेकिन बचपन साहनेवाल में बीता। परिवार ने उनका नाम धरम सिंह देओल रखा। लेकिन फिल्मी दुनिया में आकर धर्मेद्र के नाम से फेमस हुए। (पूरी खबर पढ़ें)

दैनिक भास्कर 25 Nov 2025 5:00 am

धर्मेंद्र ने गुस्से में चलाई गोली, अमिताभ बाल-बाल बचे:फ्लर्ट करने पर तनुजा ने थप्पड़ मारा, अफेयर की खबर छापने वाले को सरेआम पीटा

बॉलीवुड के दिग्गज अभिनेता धर्मेंद्र का आज निधन हो गया। वो 89 साल के थे। उन्होंने 6 दशकों के अभिनय करियर में करीब 300 से ज्यादा फिल्में कीं। शोले उनके करियर की सबसे कामयाब फिल्मों में से एक रही। हालांकि, शुरुआत में धर्मेंद्र फिल्म में वीरू नहीं बल्कि गब्बर बनने पर अड़े रहे। तब डायरेक्टर ने ये कहकर मनाया कि अगर वो वीरू बनेंगे तो उन्हें हेमा मालिनी के साथ ज्यादा सीन करने मिलेंगे। हेमा के करीब जाने की बात सुनते ही वो वीरू के रोल के लिए मान गए। शूटिंग के दौरान हेमा के साथ बार-बार रोमांटिक सीन करने मिलें, इसलिए धर्मेंद्र ने स्पॉटबॉय को बार-बार कट बोलने के लिए कहा था। इसके लिए स्पॉटबॉय को रिश्वत भी दी थी। पढ़िए धर्मेंद्र की जिंदगी, करियर और हेमा मालिनी से जुड़े उनके कुछ यादगार किस्से- 1975 में रिलीज हुई फिल्म शोले में धर्मेंद्र वीरू बने थे और अमिताभ जय, लेकिन क्लाइमैक्स की शूटिंग के दौरान अमिताभ बच्चन, धर्मेंद्र के हाथों मरने से बाल-बाल बचे थे। दरअसल, डायरेक्टर रमेश सिप्पी ने क्लाइमैक्स सीन रियल दिखाने के लिए शूटिंग में बंदूक में असली गोलियों का इस्तेमाल किया। धर्मेंद्र को क्लाइमैक्स सीन में गोलियां और बारूद इकट्ठा कर, बंदूक चलानी थी। जैसे ही एक्शन बोला जाता तो धर्मेंद्र के हाथों से बार-बार गोलियां गिर रही थीं। दो-तीन बार सीन खराब हुआ। बार-बार रीटेक करने से धर्मेंद्र इतने गुस्से में आ गए कि उन्होंने असली गोलियां बंदूक में लगाईं और बंदूक चला दी। इस सीन में अमिताभ बच्चन पहाड़ों में ऊपर की तरफ खड़े थे, गोली उनके कान के पास से होकर गुजरी और वो बाल-बाल बच गए। ये किस्सा अमिताभ बच्चन ने कौन बनेगा करोड़पति में सुनाया था। फिल्म सीता-गीता बनाते हुए ही रमेश सिप्पी ने धर्मेंद्र, हेमा मालिनी और संजीव कुमार के साथ शोले बनाने का मन बना लिया था। इस फिल्म के दूसरे हीरो के रूप में रमेश सिप्पी को एक ऐसे एक्टर की तलाश थी, जो ज्यादा पॉपुलर न हो। तब धर्मेंद्र ने ही अमिताभ के नाम का सुझाया था। धर्मेंद्र इस फिल्म में वीरू की जगह ठाकुर का रोल निभाने में अड़े हुए थे, लेकिन इस रोल के लिए संजीव कुमार को कास्ट कर चुके रमेश सिप्पी कास्ट बदलने के पक्ष में नहीं थे। जब धर्मेंद्र ने जिद नहीं छोड़ी तो रमेश ने उन्हें समझाया कि अगर वो ठाकुर बने तो उन्हें हेमा के साथ कम सीन मिलेंगे, लेकिन अगर वीरू बने तो उन्हें बसंती बनीं हेमा के साथ रोमांस करने का मौका मिलेगा। इस बात को सुनकर धर्मेंद्र मान गए। रमेश सिप्पी ने स्क्रीन को दिए इंटरव्यू में ये किस्सा सुनाया। धर्मेंद्र हेमा को इस कदर पसंद करते थे कि शोले की शूटिंग के दौरान जब को बसंती को गन चलाना सिखा रहे थे तब उन्होंने स्पॉटबॉय बार-बार रीटेक लेना। इसके लिए उन्होंने स्पॉटबॉय को 2 हजार रुपए भी दिए थे। ताकि उन्हें हेमा के साथ ज्यादा वक्त मिल सके। स्पॉटबॉय ने भी रिश्वत लेकर बार-बार सीन दोहराने में धर्मेंद्र की मदद की और वो हेमा के नजदीक जाते रहे। फिल्म चांद और सूरज में तनुजा, धर्मेंद्र की हीरोइन बनी थीं। तनुजा की धर्मेंद्र की पत्नी प्रकाश कौर और बच्चों से भी अच्छी पहचान थी। धर्मेंद्र फ्लर्ट करने में माहिर थे और अक्सर अपनी को-स्टार्स से मस्ती-मजाक में फ्लर्ट करते थे। जैसे ही धर्मेंद्र ने तनुजा के साथ फ्लर्ट करना शुरू किया तो तनुजा इतना गुस्सा हुईं की सरेआम उन्होंने धर्मेंद्र को जोरदार थप्पड़ जड़ दिया। साथ ही कहा- बेशर्म, मैं तुम्हारी पत्नी को जानती हूं और तुम्हारे बच्चे भी हैं, तुम मुझसे फ्लर्ट कर रहे हो। तनुजा का गुस्सा देखकर धर्मेंद्र हैरान रह गए और कहा- ‘तनुजा मेरी मां, मुझे माफ कर दे।’ जब इतने में भी तनुजा का गुस्सा शांत नहीं हुआ तो धर्मेंद्र ने तुरंत काला धागा निकाला और तनुजा से बंधवाकर सेट पर ही उन्हें अपनी बहन बना लिया। साल 1971 में जब ऋषिकेश दा फिल्म ‘आनंद’ बनाने के बारे में सोच रहे थे तो सबसे पहले उन्होंने इसकी कहानी बेंगलुरु से मुंबई फ्लाइट के दौरान धर्मेंद्र को सुनाई थी। धर्मेंद्र बड़े खुश हुए। उन्हें गलतफहमी हुई कि ऋषिकेश दा शायद उन्हें ही फिल्म में लेंगे। कुछ दिनों बाद अखबार में खबर छपी कि फिल्म के हीरो राजेश खन्ना होंगे। फिर क्या था धर्मेन्द्र ने जमकर शराब पी और फिर देर रात ऋषिकेश दा को कॉल कर कहा-‘आप मेरे साथ ऐसा कैसे कर सकते हैं? ऋषि दा।’ ऋषिकेश उन्हें शांति से समझाते रहे और कहते रहे कि धरम हम सुबह बात करेंगे, लेकिन धर्मेंद्र लगातार अपनी बात दोहराए जा रहे थे। इस उन्होंने रातभर ऋषिकेश दा को परेशान किया। इसके बावजूद ऋषिकेश मुखर्जी और धर्मेंद्र की दोस्ती बरकरार रही। एक बार ऋषिकेश मुखर्जी की तबीयत बहुत खराब थी और धर्मेंद्र उनसे मिलने अस्पताल पहुंचे थे। ऋषि दा उस समय ऑक्सीजन सपोर्ट पर थे। वो धर्मेंद्र को देखते ही बोले- धर्मेंद्र ये ऑक्सीजन पाइप निकाल दो और मुझे मुक्ति दे दो। जाहिर है धर्मेंद्र ने ऐसा नहीं किया। बता दें कि धर्मेंद्र ने ऋषिकेश मुखर्जी के साथ यकीन, चुपके-चुपके, गुड्डी, अनुपमा, मंझली दीदी, प्रोफेसर प्यारेलाल, चैताली, प्यार ही प्यार और सत्यकाम जैसी फिल्मों में काम किया है। एक समय धर्मेंद्र और हेमा के अफेयर की खबरें सुर्खियों में थीं। दो पत्रकार लगातार इनके अफेयर पर खबरें छाप रहे थे। धर्मेंद्र उन दोनों पत्रकारों से बेहद नाराज थे और सही मौके की तलाश में थे। साल 1978 में धर्मेंद्र बंगाल में तूफान पीड़ितों की मदद करने के लिए एक रैली में शामिल हुए। जैसे ही धर्मेंद्र की नजर भीड़ में खड़े उस पत्रकार पर पड़ी तो उन्होंने वहीं उसकी जमकर पिटाई कर दी। धर्मेंद्र सोने से पहले हमेशा अपनी मां के पैर दबाया करते थे। धर्मेंद्र तब तक पैर दबाते थे जब तक मां उन्हें सोने के लिए नहीं कहतीं थीं। एक दिन धर्मेंद्र शराब पीकर आए और अपनी मां के पैर दबाने लगे। मां की नींद लग गई और उन्होंने धर्मेंद्र से रुकने को ही नहीं कहा, धर्मेंद्र रात भर मां के पैर दबाते ही रहे। जब मां की नींद खुली तो वो धर्मेंद्र को देखकर हैरान हो गईं। उन्होंने कहा- ‘बेटा, शराब पीकर इतना अच्छा पैर दबाते हो, रोज पिया करो।’ ये किस्सा खुद धर्मेंद्र ने सारेगामापा शो में आकर सुनाया था। फिल्म डायरेक्टर बिमल रॉय ने ही धर्मेंद्र को फिल्म बंदिनी (1963) से बड़ा ब्रेक दिया था। इसके बाद धर्मेंद्र बिमल दा की कई हिट फिल्मों में नजर आए। जब बिमल दा धर्मेंद्र और शर्मिला टैगोर के साथ फिल्म चैताली बना रहे थे। शूटिंग आधी हुई और बीच में ही बिमल दा की 1966 में मौत हो गई। सारे पैसे डूब गए और सारे एक्टर्स अपनी बची हुई फीस लेने के लिए बिमल दा के घर पहुंचने लगे। ऐसे में उनकी पत्नी मनोबिना राय बहुत परेशान रहने लगीं। शर्मिला टैगोर ने फिल्म छोड़ दी। एक दिन धर्मेंद्र भी बिमल दा के घर पहुंच गए। जैसे ही वो आए तो मनोबिना को लगा कि शायद धर्मेंद्र भी अपनी बची हुई फीस लेने आए हैं। इससे पहले वो कुछ कहतीं धर्मेंद्र ने तुरंत अपने हाथ में रखा पैसों से भरा ब्रीफकेस खोल दिया और कहा, बिमल राय के मुझ पर बहुत एहसान हैं। आज मुझे मौका मिला है, उनके एहसान चुकाने का। धर्मेंद्र की इस मदद से ये फिल्म बन सकी। धर्मेंद्र को कांति लाल शाह की फिल्म आज का गुंडा में साइन किया गया। डायरेक्टर ने धर्मेंद्र से शर्टलेस घुड़सवारी करवाई और उनके शरीर पर तेल लगवाया। बाद में कांति लाल ने धर्मेंद्र को बिना बताए उनके बॉडी डबल से रेप सीन शूट करवाया और उसे ऐसा एडिट करवाया कि लगे जैसे धर्मेंद्र ने खुद रेप सीन शूट किया है। कुछ समय बाद एक शख्स ने सनी देओल को बताया कि आपके पिताजी एडल्ट फिल्म में काम कर रहे हैं। सनी ने सबसे पहले कांति लाल को कॉल किया और उन्हें घर बुलाकर खूब बातें सुनाईं। साथ ही कहा कि वो ये सीन तुरंत हटा दें, अगर ऐसा नहीं किया तो वो कांति लाल के खिलाफ लीगल एक्शन लेंगे। खबरों के अनुसार सनी ने कांति लाल को कई थप्पड़ भी जड़े थे। आखिरकार, कांति लाल ने ये फिल्म कभी रिलीज ही नहीं की। धर्मेंद्र और प्रकाश कौर के बेटे बॉबी देओल 6वीं क्लास में थे, जब मुंबई में रंगा-बिल्ला नाम के किडनैपर कुख्यात थे। उस समय बॉबी का एक क्लासमेट भी किडनैप हो गया था। रंगा-बिल्ला के बीच कुछ कन्फ्यूजन हो गई और वो उस बच्चे को एक दुकान में छोड़कर भाग निकले। जैसे-तैसे उस बच्चे को उसके घरवालों को सौंपा गया। इसके कुछ दिनों बाद पुलिस धर्मेंद्र के घर पहुंची और कहा कि वो बच्चा तो बच गया, लेकिन इसने रंगा-बिल्ला को आपके बेटे और स्कूल के कुछ बच्चों की डिटेल दी है। आपको थोड़ा ध्यान देना होगा। धर्मेंद्र पुलिस की बात से इस कदर डर गए कि उन्होंने बॉबी के घर से बाहर निकलने पर पाबंदी लगा दी। यही वजह थी कि बॉबी ने साइकिल चलाना भी घर के अंदर ही सीखा। समय के साथ रंगा-बिल्ला का खौफ खत्म हो गया फिर भी धर्मेंद्र प्रोटेक्टिव रहे और जब बॉबी कॉलेज पहुंचे, तब भी उन्हें घर से निकलने की इजाजत नहीं मिलती थी।

दैनिक भास्कर 25 Nov 2025 4:30 am

धर्मेंद्र ने जीतेंद्र से हेमा की शादी रुकवाई:धर्म बदलकर दूसरी शादी की; पहली पत्नी बोली थीं– कोई भी मर्द हेमा से ज्यादा प्यार करता

एक मुहब्बत जो सिनेमा के पर्दे पर चल रही थी, एक मुहब्बत जो जिंदगी में। पर्दे पर प्रेमी अपनी प्रेमिका के लिए गाता, पहली नजर में हमने तो अपना दिल दे दिया था तुमको। प्रेमिका जवाब में कहती, तुम्हें दिल में बंद कर लूं, दरिया में फेंक दूं चाबी। जब विरह की रात बहुत लंबी हो जाती और नींद न आती तो प्रेमिका के दिल से हूक उठती- ख्वाब बनकर कोई आएगा तो नींद आएगी अब वही आकर सुलाएगा तो नींद आएगी। अगर आप सिनेमा और मुहब्बत, दोनों के दीवाने हैं और उस दौर में बड़े हुए हैं, जब इंस्टाग्राम और रील्स नहीं हुआ करते थे। अगर आपने अनगिनत रातें अपने ट्रांजिस्टर को कान से सटाकर विविध भारती सुनते हुए गुजारी हैं तो आप समझ ही गए होंगे कि हम बात कर रहे हैं हेमा मालिनी और धर्मेंद्र की और उस प्रेम कहानी की, जिसका सफर असल जिंदगी में रुपहले पर्दे की तरह सीधा और आसान नहीं था। बीच में दुनियादारी की ऊंची दीवार थी। धर्मेंद्र पहले से शादीशुदा और चार बच्चों के पिता थे। हेमा के घरवाले ही नहीं, एक तरह से पूरी फिल्म इंडस्ट्री ही इस शादी के पक्ष में नहीं थी। फिर भी दुनियादारी की कोई दीवार इस प्यार के दरिया को बहने से रोक नहीं पाई। लड़की ने अपने प्रेमी को दिल में कैद कर लिया और चाबी दरिया में बहा दी। धर्मेंद्र तब से हेमा मालिनी के दिल में रहते हैं, हालांकि दोनों साथ एक घर में नहीं रहते। अब धर्मेंद्र इस दुनिया में नहीं हैं। अपना 90वां जन्मदिन मनाने से बस कुछ दिन पहले वे इस फानी दुनिया को विदा कह गए। इस वक्त हेमा जी के दिल में यादों का जाने कैसा बवंडर घूम रहा होगा। ठीक वैसी तो नहीं, लेकिन उनके प्रेम की ढेरों यादें लोगों के दिलों में आज भी जिंदा हैं। अनेकों किताबों में बार–बार उन कहानियों का जिक्र हुआ है। फिल्‍म पत्रकार, क्रिटिक और लेखिका भावना सोमाया ने हेमा मालिनी की जीवनी लिखी है- ‘हेमा मालिनी: द ऑथराइज्‍ड बायोग्राफी।’ इस किताब में हेमा मालिनी के जन्‍म से लेकर उनके फिल्‍मी सितारे बनने तक के पूरे सफर की दास्‍तान को बहुत दिल्लगी और साफगोई से बयान किया गया है। 1970 के दशक में इस प्रेम कहानी की शुरुआत हुई थी। पहली मुलाकात दोनों की पहली मुलाकात 1965 में फिल्मकार ख्वाजा अहमद अब्बास की फिल्म आसमान महल के प्रीमियर में हुई थी। हेमा ने सिमी गरेवाल के शो में बताया था कि जब उन्होंने धर्मेंद्र को पहली बार देखा, तो सोचा- “मैंने इतना हैंडसम आदमी पहले कभी नहीं देखा।” लड़का हैंडसम था तो क्या? पहले से शादीशुदा था। बस एक ख्याल था, दिल में आया और चला गया। हेमा के घरवाले यूं भी काफी सख्त थे। उन्हें फिल्मों में काम करने की इजाजत थी, मुहब्बत की पींगे बढ़ाने की नहीं, लेकिन दिल पर किसी का जोर कभी चला है, जो अब चलता। ये तो वो आतिश है कि जो लगाए न लगे और बुझाए न बुझे। जब पहली बार दोनों फिल्म के सेट पर मिले ये 1968 की बात है। ‘जानवर’ और ‘ब्रम्हचारी’ जैसी सुपरहिट फिल्में बनाने वाले डायरेक्टर भप्पी सोनी एक फिल्म बना रहे थे, ‘तुम हसीन, मैं जवां।’ फिल्म के लिए धर्मेंद्र और हेमा को कास्ट किया गया। हेमा की उम्र 20 साल थी और धर्मेंद्र 33 साल के। बतौर लीड हीरोइन हेमा के करियर की यह तीसरी फिल्म थी। धर्मेंद्र 50 से ज्यादा फिल्मों में काम कर चुके थे। हेमा अभी शुरुआत ही कर रही थीं और धर्मेंद्र अपने करियर के शिखर पर थे। फिल्म के सेट पर पहली बार दोनों की रू-ब-रू मुलाकात हुई। दो साल बाद 24 जुलाई 1970 को फिल्म सिनेमा हॉल में रिलीज हुई, लेकिन तब तक फिल्म की कहानी कुछ-कुछ असल जिंदगी में भी दोहराई जाने लगी थी। हेमा हसीन थीं और धर्मेंद्र जवान। प्रेम की चिनगारी धीरे-धीरे सुलगने लगी थी। हालांकि दोनों जानते थे कि इस रिश्ते का कोई भविष्य नहीं है, लेकिन मुहब्बत तो आज में जीती है। उसे कल की क्या परवाह। इसके बाद दोनों ने नया जमाना (1971), सीता और गीता (1972) और राजा जानी (1972) जैसी फिल्मों में भी साथ काम किया। ड्रीमगर्ल के दो दीवाने अपने जमाने के सुपरस्‍टार संजीव कुमार भी हेमा मालिनी से मन-ही-मन बहुत प्रेम करते थे। हालांकि इस मुहब्बत का इजहार करने की हिम्मत उनमें नहीं थी। फिल्म सीता और गीता का वो गाना याद है- हवा के साथ-साथ, घटा के संग-संग, ओ साथी चल कि मुझे लेकर साथ चल तू, यूं ही दिन-रात चल तू अपने दिल की यही बात संजीव खुद हेमा से कहना चाहते थे। जानती तो हेमा भी थीं कि संजीव को उनसे मुहब्बत है। भावना सोमाया अपनी किताब में लिखती हैं कि संजीव कुमार ने अपनी मुहब्बत का पैगाम लेकर जीतेंद्र को हेमा मालिनी के पास भेजा, लेकिन हेमा ने इनकार कर दिया। संजीव कुमार का दिल टूट गया और फिर उन्होंने कभी शादी नहीं की। जब पूरी रात बजती रही फोन की घंटी, मुंबई से धर्मेंद्र का फोन था वक्त गुजरा और एक लम्हा ऐसा भी आया कि जब अपने दोस्त की मुहब्बत का पैगाम लेकर जाने वाले जीतेंद्र खुद हेमा के प्यार में पड़ गए। उन्होंने इजहार–ए–मुहब्बत भी कर डाला। बैंगलोर में फिल्‍म ‘दुल्‍हन’ की शूटिंग के दौरान दोनों के बीच नजदीकियां बढ़ी थीं। हेमा दिल–ही–दिल में धर्मेंद्र को चाहती तो थीं, लेकिन जैसे ही कदम आगे बढ़ाने को होतीं, धर्मेंद्र की पत्नी प्रकाश कौर और उनके चारों बच्चे बीच में आ जाते। यह एक ख्याल तो था, जो डराता था। आखिरकार हेमा मालिनी ने जीतेंद्र का प्रस्ताव स्वीकार कर लिया। फिल्‍म दुल्हन की शूटिंग खत्‍म कर हेमा मालिनी अपने पेरेंट्स के घर चेन्‍नई चली गई थीं। जीतेंद्र भी अपने माता-पिता को लेकर वहां पहुंच गए। दोनों परिवारों के बीच शादी की बात चल रही थी। तभी धर्मेंद्र को इस बात की भनक लग गई। भावना सोमाया लिखती हैं कि उस रात हेमा के घर की फोन की घंटी पूरी रात बजती ही रही। हर थोड़ी देर पर मुंबई से ट्रंक कॉल आता। फोन के उस तरफ धर्मेंद्र थे। अपने प्यार का इजहार करते, इसरार करते, मिन्नतें करते, ताउम्र मुहब्बत का वादा निभाने का वादा करते धर्मेंद्र। ये कोई झूठा वादा नहीं था। धर्मेंद्र ने एक बार भी नहीं कहा कि मैं अपनी पत्नी और बच्चों को तुम्हारे लिए छोड़ दूंगा। बस इतना कहा था कि तुम्हारा हाथ, तुम्हारा साथ कभी नहीं छोडूंगा। घरवाले अब भी राजी नहीं थे, लेकिन हेमा का दिल तब तक राजी हो चुका था। धर्मेंद्र, जीतेंद्र की उस समय की गर्लफ्रेंड शोभा को साथ लेकर चेन्नई पहुंचे और उसी की मदद से जीतेंद्र और हेमा की शादी को रुकवा दिया। धर्मेंद्र ने हेमा मालिनी के लिए किया वीरू का रोल धर्मेंद्र और हेमा मालिनी का रिश्ता फिल्म शोले के सेट पर परवान चढ़ा। फिल्म शोले में डायरेक्टर रमेश सिप्पी ने संजीव कुमार को ठाकुर बलदेव सिंह का रोल देने का फैसला किया क्योंकि वे हर तरह के किरदार निभाने में माहिर थे। दैनिक भास्कर को हाल ही में दिए इंटरव्यू में रमेश सिप्पी ने बताया था कि धर्मेंद्र शुरू में फिल्म को लेकर असमंजस में थे। वो ठाकुर का रोल करना चाहते थे। उन्होंने रमेश सिप्पी से कहा कि ठाकुर की फिल्म है, तो ठाकुर का रोल वे ही निभाएंगे। जिस पर रमेश सिप्पी ने कहा था कि अगर वो ठाकुर बनते, तो वीरू का किरदार संजीव कुमार निभाते और उन्हें हेमा मालिनी के साथ रोमांस करने का मौका मिलता। इसी वजह से धर्मेंद्र ने फिल्म में वीरू का रोल करने का फैसला किया। संजीव कुमार ने हेमा मालिनी को दूसरी बार प्रपोज किया था शोले की शूटिंग के दौरान हेमा मालिनी और धर्मेंद्र एक-दूसरे को डेट कर रहे थे। संजीव कुमार को इस बात की जानकारी नहीं थी, इसलिए उन्होंने सेट पर एक बार फिर हेमा को शादी के लिए प्रपोज कर दिया। यह बात सुनकर हेमा और धर्मेंद्र, दोनों बहुत परेशान हो गए। धर्मेंद्र गुस्से में आ गए और फिल्म के डायरेक्टर रमेश सिप्पी से कहा कि सेट पर थोड़ा डेकोरम बनाए रखें। उन्होंने यह भी रिक्वेस्ट की कि हेमा और संजीव कुमार को एक साथ कोई सीन न दिया जाए। क्योंकि उस वक्त धर्मेंद्र बड़े स्टार थे और फिल्म का अहम हिस्सा भी, इसलिए रमेश सिप्पी ने उनकी बात मान ली। इसी वजह से पूरी फिल्म में ठाकुर (संजीव कुमार) और बसंती (हेमा मालिनी) का एक भी सीन साथ में नहीं दिखाया गया। दूसरी शादी से पहले धर्म बदलना पड़ा साल 1980 में धर्मेंद्र और हेमा मालिनी ने शादी करने का फैसला किया, लेकिन धर्मेंद्र की पत्नी प्रकाश कौर उन्हें तलाक देने को तैयार नहीं थीं, इसलिए लीगली दूसरी शादी करने के लिए उन्होंने गुपचुप तरीके से इस्लाम धर्म अपनाया और फिर हेमा से निकाह किया। बाद में दोनों ने अय्यंगर रीति-रिवाजों से भी शादी की क्योंकि हेमा अय्यंगर ब्राह्मण परिवार से थीं। हेमा की शादी उनके भाई के घर से हुई थी। कहा जाता है कि धर्मेंद्र और हेमा दोनों ही इसी तरह से शादी करना चाहते थे धर्मेंद्र के पिता हेमा मालिनी को बहुत पसंद करते थे 'हेमा मालिनी: बियॉन्ड द ड्रीम गर्ल' के मुताबिक धर्मेंद्र के पिता केवल कृष्ण सिंह देओल, हेमा और उनकी फैमिली को बहुत पसंद करते थे। किताब में बताया गया है कि केवल कृष्ण सिंह देओल अक्सर चाय पर हेमा के पिता और भाई से मिला करते थे। इस दौरान वे पंजे भी लड़ाया करते थे और उन्हें (हेमा के पिता और भाई को) हराने के बाद मजाक करते हुए कहते थे, तुम लोग घी मक्खन लस्सी खाओ। इडली और सांभर से ताकत नहीं आती। इसके बाद वे खूब हंसते थे। धर्मेंद्र की मां ने दिया था खुश रहने का आशीर्वाद किताब 'हेमा मालिनी: बियॉन्ड द ड्रीम गर्ल' में धर्मेंद्र की मां सतवंत कौर के साथ हेमा के रिश्ते का जिक्र भी किया गया है। हेमा के मुताबिक धरम जी की मां सतवंत कौर बहुत ही अच्छी महिला थीं। मुझे याद है कि एक बार वे मुझसे मिलने जुहू के एक डबिंग स्टूडियो में आई थीं। उस वक्त ईशा मेरे पेट में थी। मुलाकात पर मैंने उनके पैर छुए, जिस पर उन्होंने कहा कि बेटा हमेशा खुश रहो। मुझे यह देखकर बहुत खुशी हुई थी। ईशा के जन्म पर धर्मेंद्र ने पूरा नर्सिंग होम बुक कराया धर्मेंद्र और हेमा मालिनी की शादी से उनकी दो बेटियां ईशा देओल और अहाना देओल हुई हैं। टीवी शो 'जीना इसी का नाम है' में हेमा की करीबी दोस्त नीतू कोहली ने बताया था कि जब हेमा प्रेग्नेंट थीं, तब धर्मेंद्र ने पूरा डॉ. दस्तूर नर्सिंग होम बुक कर लिया था। करीब 100 कमरे बुक किए गए थे। हेमा मालिनी ने धर्मेंद्र की पहली पत्नी को लेकर क्या कहा था? हेमा मालिनी ने हमेशा धर्मेंद्र की पहली पत्नी प्रकाश कौर का सम्मान किया है। हेमा ने धर्मेंद्र की पहली पत्नी को लेकर किताब 'हेमा मालिनी: बियॉन्ड द ड्रीम गर्ल' में कहा था, भले ही मैं कभी प्रकाश (धर्मेंद्र की पहली पत्नी) के बारे में बात नहीं करती, लेकिन मैं उनका बहुत सम्मान करती हूं। मेरी बेटियां भी धरम जी की फैमिली का पूरा सम्मान करती हैं। दुनिया मेरी लाइफ के बारे में विस्तार से जानना चाहती है, लेकिन यह दूसरों को बताने के लिए नहीं है। इससे किसी को मतलब नहीं होना चाहिए। धर्मेंद्र और हेमा की शादी को लेकर क्या बोली थीं पहली पत्नी? साल 1981 में स्टारडस्ट मैगजीन को दिए एक इंटरव्यू में धर्मेंद्र की पहली पत्नी प्रकाश कौर ने धर्मेंद्र और हेमा की शादी को लेकर कहा था कि सिर्फ मेरे पति ही क्यों, कोई भी मर्द हेमा को मुझसे ज्यादा पसंद करता। किसी को क्या हक है मेरे पति को औरतबाज कहने का, जब आधी इंडस्ट्री ऐसा ही कर रही है? लगभग हर हीरो के अफेयर चल रहे हैं और कई दूसरी बार शादी कर चुके हैं। हो सकता है धर्मेंद्र सबसे अच्छे पति न हों, लेकिन वे बहुत अच्छे पिता हैं। उनके बच्चे उनसे बहुत प्यार करते हैं और उन्होंने कभी बच्चों को नजरअंदाज नहीं किया। प्रकाश कौर ने आगे कहा था कि मैं समझ सकती हूं कि हेमा किन हालात से गुजर रही हैं। उन्हें भी दुनिया और अपने परिवार का सामना करना पड़ता है, लेकिन अगर मैं हेमा की जगह होती, तो ऐसा नहीं करती। एक औरत के तौर पर मैं उनकी भावनाएं समझती हूं, लेकिन एक पत्नी और मां के रूप में मैं इस फैसले से सहमत नहीं हूं। प्रकाश ने यह भी कहा था कि धर्मेंद्र मेरे जीवन के पहले और आखिरी आदमी हैं। वो मेरे बच्चों के पिता हैं और मैं उनसे बहुत प्यार और इज्जत करती हूं। प्रकाश ने कहा था कि जो होना था, वो हो गया। मैं नहीं जानती कि इसके लिए धर्मेंद्र को दोष दूं या किस्मत को। उन्होंने यह भी कहा कि अगर मुझे कभी उनकी (धर्मेंद्र) जरूरत पड़ी, तो मुझे पता है वो मेरे लिए जरूर आएंगे। मैंने उन पर भरोसा करना नहीं छोड़ा क्योंकि वो मेरे बच्चों के पिता हैं। आज धर्मेंद्र नहीं रहे, पर उनकी मुहब्बत, उनकी मुस्कान और हेमा के दिल में उनकी जगह हमेशा रहेगी।

दैनिक भास्कर 25 Nov 2025 4:30 am

धर्मेंद्र के निधन पर 5 सवाल:पद्म भूषण अवॉर्डी, पर राजकीय सम्मान नहीं; जल्दबाजी में अंतिम संस्कार

बॉलीवुड अभिनेता धर्मेंद्र का 24 नवंबर को मुंबई में निधन हो गया है। जिस तरीके से उनका अंतिम संस्कार हुआ, उससे उनके चाहने वालों के मन में कई सवाल उठ रहे हैं। वे जानना चाह रहे हैं कि पद्म भूषण से सम्मानित धर्मेंद्र की पार्थिव देह अंतिम दर्शन के लिए क्यों नहीं रखी गई। उनका अंतिम संस्कार राजकीय सम्मान के साथ क्यों नहीं हुआ। धर्मेंद्र के निधन की खबर पर परिवार की तरफ से कोई आधिकारिक जानकारी भी नहीं दी गई। इससे पहले 10 नवंबर को जब धर्मेंद्र ब्रीच कैंडी में एडमिट हुए थे तब उनकी बेटियों को आनन-फानन में विदेश से बुलाया गया था। धर्मेंद्र को तब 2 दिन वेंटिलेटर पर रहने के बाद 12 नवंबर को डिस्चार्ज कर दिया गया था। धर्मेंद्र के चाहने वालों के 5 सवाल हैं- सोमवार दोपहर करीब 1 बजे धर्मेंद्र के बंगले के बाहर एम्बुलेंस देखी गई थी। इसके बाद खबरें ये रहीं कि धर्मेंद्र की तबीयत बिगड़ी है। हालांकि जल्द ही बंगले के बाहर सिक्योरिटी बढ़ा दी गई और बैरिकेडिंग की जाने लगी। इसी बीच विले पार्ले श्मशान घाट में भी सिक्योरिटी बढ़ी। फिर खबर आई कि उनका अंतिम संस्कार कर दिया गया है। 11 नवंबर को भी धर्मेंद्र के निधन की खबर आई थी, जिसके बाद उनके परिवार ने नाराजगी जाहिर करते हुए इसे अपमानजनक कहा था। यही वजह रही कि सोमवार को हर कोई निधन की खबर की पुष्टि करने से झिझक रहा था। इसी बीच दोपहर 1 बजकर 10 मिनट पर IANS ने सबसे पहले धर्मेंद्र के निधन की जानकारी दी और फिर सभी न्यूज चैनल्स में उसी के हवाले से खबर चलाई गई। खबर सामने आई ही थी कि धर्मेंद्र की बेटी ईशा देओल विले पार्ले श्मशान घाट पर स्पॉट हुईं। उस समय न तो वहां ज्यादा भीड़ इकट्ठा हुई थी और न ही खबर की पुष्टि की गई थी। कुछ देर बाद हेमा मालिनी श्मशान घाट पहुंचीं। देखते-ही-देखते आमिर खान, अमिताभ बच्चन, अभिषेक बच्चन समेत कई सेलेब्स श्मशान भूमि पहुंचने लगे। फिल्ममेकर करण जौहर पहले सेलिब्रिटी थे, जिन्होंने धर्मेंद्र को श्रद्धांजलि देते हुए उनके निधन की पुष्टि की। दोपहर करीब डेढ़ बजे तक निधन की पुष्टि हुई और 3 बजे तक हेमा मालिनी अंतिम संस्कार खत्म कर श्मशान घाट से बाहर आईं और वहां से रवाना हो गईं। अंतिम संस्कार होने के बाद कई फैंस श्मशान घाट के बाहर मातम मनाते दिखे। कई फैंस ने धर्मेंद्र के अंतिम दर्शन न मिल पाने पर नाराजगी जताते हुए उनके बच्चों पर नाराजगी जाहिर की। धर्मेंद्र 2004 से 2009 के बीच बीकानेर से सांसद रहे। उन्हें 2012 में पद्म भूषण से सम्मानित किया गया था। आमतौर पर पद्म अवॉर्डी का अंतिम संस्कार राजकीय सम्मान के साथ किया जाता है। धर्मेंद्र को राजकीय सम्मान दिया गया या नहीं, ये साफ नहीं है। रिपोर्टर्स को अंदर जाने की अनुमति नहीं थी। बाहर मौजूद रहे रिपोर्टर्स ने भी गार्ड ऑफ ऑनर नहीं सुना। श्रीदेवी को पद्मश्री से सम्मानित किया गया था। उनका निधन 24 फरवरी 2018 को दुबई में हुआ था। 4 दिनों बाद पार्थिव शरीर भारत लाया गया और 28 फरवरी 2018 को उनका अंतिम संस्कार हुआ। पद्मश्री अवॉर्डी श्रीदेवी का अंतिम संस्कार राजकीय सम्मान के साथ हुआ था। धर्मेंद्र को 10 नवंबर को सांस लेने में तकलीफ होने पर ब्रीच कैंडी हॉस्पिटल में एडमिट करवाया गया था। हॉस्पिटल से धर्मेंद्र का वीडियो लीक हुआ था, जिसमें वो वेंटिलेटर पर नजर आए थे। परिवार ने वीडियो लीक करने वाले हॉस्पिटल स्टाफ के खिलाफ शिकायत दर्ज करवाई, जिसके बाद उसे गिरफ्तार किया गया। सवाल ये है कि अगर 89 साल के धर्मेंद्र वेंटिलेटर पर थे, तो उन्हें अचानक घर क्यों लाया गया। धर्मेंद्र को 12 नवंबर को हॉस्पिटल से डिस्चार्ज किया गया था। तब से ही उन्हें लगातार डॉक्टर्स की कड़ी निगरानी में रखा गया था। इस बीच हेमा मालिनी ने एक पत्रकार से कहा था कि धर्मेंद्र रिकवर कर रहे हैं। उनके परिवार ने आधिकारिक बयान जारी कर कहा था- धर्मेंद्र जी को अस्पताल से छुट्टी मिल गई है और अब वे घर पर आराम करेंगे। हम मीडिया और लोगों से अनुरोध करते हैं कि वे किसी तरह की अफवाह न फैलाएं और इस समय उनकी तथा परिवार की प्राइवेसी का सम्मान करें। हम सभी का धन्यवाद करते हैं जिन्होंने धर्मेंद्र जी की अच्छी हेल्थ और लंबी उम्र के लिए दुआ की। कृपया उनका सम्मान करें क्योंकि वे आप सभी से बहुत प्यार करते हैं। डॉ. प्रतीत समदानी आंतरिक रोगों और गंभीर मरीजों की देखभाल (क्रिटिकल केयर) के विशेषज्ञ हैं। उन्होंने बताया था कि धर्मेंद्र पिछले कई हफ्तों से कभी अस्पताल में भर्ती हो रहे थे, तो कभी घर लौट रहे थे। धर्मेंद्र 10 नवंबर को ब्रीच कैंडी हॉस्पिटल में एडमिट होने से पहले 31 अक्टूबर को भी एडमिट हुए थे। तब भी उन्हें सांस लेने में दिक्कत हुई थी। हालांकि जब 10 नवंबर को वे भर्ती हुए तो परिवार के करीबी सूत्र ने दैनिक भास्कर से बातचीत में बताया था कि धर्मेंद्र की हालत नाजुक है और उनकी बेटियों अजेता-विजेता को भी विदेश से भारत बुला लिया गया है। तब बॉबी देओल भी अल्फा फिल्म की शूटिंग छोड़कर हॉस्पिटल पहुंचे थे। तब भी सलमान खान, शाहरुख खान, गोविंदा समेत कई सेलेब्स अचानक हॉस्पिटल पहुंच रहे थे। अब अगर बेटियों को विदेश से बुलाया गया, तो फिर दो दिन वेंटिलेटर पर होने के बावजूद उन्हें आनन-फानन में डिस्चार्ज क्यों करवाया गया।

दैनिक भास्कर 25 Nov 2025 4:30 am

धर्मेंद्र फैमिली ट्री:बॉलीवुड ही नहीं राजनीति में भी देओल परिवार का दबदबा, बेटे सनी-बॉबी से अमीर भतीजे अभय देओल; बेटी ईशा ने तोड़ी परंपरा

भारतीय सिनेमा के सबसे चर्चित अभिनेताओं में एक धर्मेंद्र को मोस्ट हैंडसम का तमगा मिला। मिडिल क्लास पंजाबी जाट परिवार से आने वाले धर्मेंद्र ने खेत-खलिहान से निकल कर बॉक्स ऑफिस की सफलता देखी। नॉन फिल्मी बैकग्राउंड से आने के बावजूद देओल परिवार आज फिल्म इंडस्ट्री की सबसे पावरफुल फैमिली में शामिल है। देओल परिवार के पहले सुपरस्टार रहे धर्मेंद्र की तीसरी पीढ़ी बॉलीवुड में एक्टिव है। ना सिर्फ फिल्म इंडस्ट्री बल्कि भारतीय राजनीति में भी देओल फैमिली का दबदबा रहा है। आइए, जानते हैं धर्मेंद्र और उनके परिवार के लोगों का फिल्मी सफर कैसा रहा… पहली जेनरेशन में धर्मेंद्र और हेमा मालिनी जैसे बड़े सुपरस्टार। धर्मेंद्र के भाई अजीत देओल को नहीं मिली सफलता… धर्मेंद्र- भारतीय सिनेमा के पहले नेचुरल एक्शन हीरो 8 दिसंबर 1935 को पंजाब के नसराली गांव में जन्मे धर्मेंद्र ने अपनी शुरुआती पढ़ाई पिता के गवर्नमेंट सीनियर सेकेंडरी स्कूल से ही पूरी की। धर्मेंद्र को पढ़ाई से ही फिल्मों का चस्का लग गया, खासकर दिलीप कुमार की फिल्मों का। साल 1948 में धर्मेंद्र जब महज 13 साल के थे, तब उन्होंने दिलीप कुमार की फिल्म ‘शहीद’ देखी थी और तभी उन्होंने हीरो बनने का फैसला कर लिया। लेकिन 19 साल के होते ही उनके पिता ने धर्मेंद्र की प्रकाश कौर से शादी करा दी। 1958 में एक बच्चे के पिता बन चुके धर्मेंद्र ‘फिल्मफेयर’ मैगजीन का न्यू टैलेंट हंट जीत गए और यहां से उनके फिल्मी सफर की शुरुआत हुई। दो साल बाद ही उनकी पहली फिल्म- दिल भी तेरा हम भी तेरे तब के नामी डायरेक्टर अर्जुन हिंगोरानी के साथ आई। फिल्म खास नहीं चली, लेकिन धर्मेंद्र की शक्ल, बॉडी लैंग्वेज और सादगी ने सबका ध्यान खींचा। उनकी आखिरी फिल्म इक्कीस थी, जो उन्होंने 89 साल की उम्र में की थी। 65 साल के लंबे फिल्मी करियर में धर्मेंद्र ने कुल 307 फिल्में कीं। अजीत- एक्टर, डायरेक्टर और प्रोड्यूसर की पहचान धर्मेंद्र के भाई अजीत देओल, कंवर अजीत सिंह के नाम से फेमस थे। उन्होंने हिंदी और पंजाबी की लगभग 25 फिल्मों में छोटी-छोटी भूमिकाएं निभाईं। बतौर डायरेक्टर, प्रोड्यूसर उन्होंने धर्मेंद्र, भाभी हेमा मालिनी और भतीजे सनी देओल को लेकर कई फिल्में बनाईं। साल 2015 में अजीत का निधन हो गया। अजीत के बेटे अभय देओल की अदायगी के सिनेप्रेमी कायल हैं। हेमा- डांस, खूबसूरती और एक्टिंग की बेजोड़ मिसाल दक्षिण भारत के एक साधारण मध्यमवर्गीय परिवार से आई हेमा ने साल 1963 में तमिल फिल्म ‘इधु सथियम’ से एक्टिंग की शुरुआत की थी। हिंदी सिनेमा में उन्होंने राज कपूर के अपोजिट ‘सपनों के सौदागर’ से एंट्री ली। अपने चार दशक के लंबे करियर में हेमा ने 150 से ज्यादा फिल्मों में काम किया और स्टारडम के शीर्ष तक पहुंचीं। हेमा बड़े पर्दे के अलावा टेलीविजन पर भी काफी सक्रिय रहीं। फिल्मों के बाद उन्होंने राजनीति में भी किस्मत आजमाई और यहां भी सफल रहीं। वह उत्तर प्रदेश की मथुरा लोकसभा सीट से तीसरी बार सांसद बनी हैं। 77 की उम्र में हेमा आज भी बतौर डांसर, एक्टर और राजनेता काफी सक्रिय हैं। देओल परिवार के दूसरी पीढ़ी के 4 बच्चों की इंडस्ट्री में एंट्री। धर्मेंद्र के 6 बच्चों में से तीन ने एक्टिंग को करियर चुना… सनी-फिल्म और राजनीति में पिता के नक्शे कदम पर साल 1983 में पिता के प्रोडक्शन हाउस- विजेता फिल्म्स की ‘बेताब’ से डेब्यू करने वाले सनी ने इंडस्ट्री में एक्शन हीरो की पहचान हासिल की। चार दशक के करियर में सनी ने बतौर हीरो 100 से ज्यादा फिल्मों में काम किया है। जहां हिट फिल्मों की झड़ी लगाने के बाद भी पिता धर्मेंद्र के खाते में अवॉर्ड्स नहीं आए, वहीं सनी ने दो -दो नेशनल और दो फिल्मफेयर अवॉर्ड हासिल किए। सनी ने न सिर्फ एक्टिंग में पिता की लीगेसी को आगे बढ़ाया बल्कि बतौर प्रोड्यूसर और राजनेता भी पिता के पद चिन्हों पर चले। हाल ही में 68 साल के सनी ने बतौर हीरो ‘गदर-2’ जैसी ब्लॉकबस्टर फिल्म दी है। सनी अभी एक्टिंग के साथ डायरेक्शन और प्रोडक्शन में भी एक्टिव हैं। बॉबी-15 मिनट के रोल से मिली सबसे ज्यादा चर्चा बड़े भाई की तरह बॉबी देओल ने भी पिता के प्रोडक्शन हाउस की फिल्म ‘बरसात’ से 1995 में डेब्यू किया। पिता और भाई की तरह बॉबी भी बॉलीवुड में लंबी पारी खेल चुके हैं। तीन दशक के करियर में उन्हें पिता और भाई की तरह सफलता नहीं मिली। उनके खाते में हिट से ज्यादा फ्लॉप फिल्में रही हैं, लेकिन 2023 में आई ‘एनिमल’ में उनका महज 15 मिनट का रोल इतनी चर्चा में रहा कि इसने उनके करियर को दोबारा चमका दिया। आज बॉबी हिंदी के अलावा साउथ फिल्मों में भी सक्रिय हैं। ईशा- देओल परिवार की परंपरा तोड़ इंडस्ट्री में रखा कदम परंपरागत परिवार से आने वाले धर्मेंद्र बेटियों के सिनेमा में आने के पक्ष में नहीं थे पहली पत्नी प्रकाश कौर से हुई दो बेटियां विजेता और अजीता देओल को उन्होंने इंडस्ट्री से दूर रखा। वह अपनी और हेमा की बेटियों ईशा और अहाना को भी इंडस्ट्री में लाने के पक्ष में नहीं थे। लेकिन मां के सपोर्ट से ईशा ने साल 2002 में फिल्म ‘कोई मेरे दिल से पूछे’ से बॉलीवुड में कदम रखा। अपने दो दशक के करियर में ईशा ने लगभग 22 फिल्मों में काम किया है। सफलता के मामले में ईशा पेरेंट्स और भाइयों से पीछे रहीं। ईशा भी मां हेमा की तरह ट्रेंड क्लासिकल डांसर हैं। अहाना- एक्टिंग से दूरी लेकिन इंडस्ट्री से जुड़ाव हेमा और धर्मेंद्र की छोटी बेटी अहाना देओल ने एक्टिंग से दूरी बनाए रखा, लेकिन इंडस्ट्री से जुड़ी रहीं। उन्होंने सुभाष घई के व्हिसलिंग वुड्स इंस्टीट्यूट और न्यूयॉर्क के एक प्रमुख फिल्म स्कूल से फिल्म मेकिंग और एडिटिंग का कोर्स किया है। फिल्म ‘गुजारिश’ में अहाना डायरेक्टर संजय लीला भंसाली को असिस्ट कर चुकी हैं। साथ ही, वो अपनी मां हेमा की तरह एक ट्रेन्ड क्लासिकल डांसर हैं। अभय-14 फ्लॉप देने के बाद भी सनी-बॉबी से अमीर अभय ने साल 2005 में इम्तियाज अली की फिल्म ‘सोचा ना था’ से डेब्यू किया था। इस फिल्म को चाचा धर्मेंद्र की प्रोडक्शन कंपनी विजेता फिल्म्स ने ही प्रोड्यूस किया था। अपने दो दशक के करियर में अभय ने 25 से ज्यादा फिल्में की हैं। हालांकि, इनमें से अधिकांश फिल्में फ्लॉप रही हैं। लेकिन लीक से हटाकर फिल्म करने और अपनी एक्टिंग के वजह से उन्होंने अपनी एक अलग पहचान बनाई हैं। अभय के खाते में ‘देव डी’, ‘रांझणा’, ‘ओए लकी लकी ओए’, ‘जिंदगी मिलेगी न दोबारा’ जैसी चर्चित फिल्में हैं। इसके अलावा वो टीवी शो भी कर चुके हैं। साल 2023 में रिलीज हुई इनकी वेब सीरीज ‘ट्रायल बाई फायर’ काफी सुर्खियों रही थी। देओल परिवार की तीसरी पीढ़ी से सनी के दोनों बेटों ने बॉलीवुड में कदम रखा। दोनों की फिल्मों को सनी-बॉबी जैसा रिस्पॉन्स नहीं मिला…. करणवीर: मासूम चेहरे के साथ एक्शन की शुरुआत देओल परिवार की तीसरी जेनरेशन में सनी देओल के बड़े बेटे करणवीर देओल ने एक्टिंग में डेब्यू करने से पहले होम प्रोडक्शन की ‘यमला पगला दीवाना- 2’ में असिस्टेंट डायरेक्टर के रूप में काम किया। फिर साल 2019 में पिता के डायरेक्शन में फिल्म ‘पल पल दिल के पास’ से हीरो बने। हालांकि इस फिल्म को ऑडियंस का प्यार नहीं मिला। दो साल बाद करणवीर की दूसरी फिल्म ‘वेल्ले’ आई थी लेकिन इस फिल्म को भी अच्छा रिस्पांस नहीं मिला। राजवीर: सफलता की तलाश जारी सनी के दूसरे राजवीर देओल ने साल 2023 में राजश्री प्रोडक्शन की फिल्म ‘दोनों’ से अपना एक्टिंग डेब्यू किया था। हालांकि, बॉक्स ऑफिस पर ये फिल्म कब आई और गई पता भी नहीं चला।

दैनिक भास्कर 25 Nov 2025 4:30 am

बिग बॉस 19ः फिनाले से पहले एविक्ट हुईं कुनिका सदानंद:नॉमिनेशन टास्क में मालती ने उठाया तान्या मित्तल पर हाथ, 7 दिसंबर को होगा फिनाले

टेलीविजन के पॉपुलर रियलिटी शो बिग बॉस 19 से फिनाले से ठीक पहले एक्ट्रेस कुनिका सदानंद एविक्ट हो गई हैं। वीकेंड का वार एपिसोड में सलमान खान ने उनके एविक्शन की घोषणा करते हुए उनकी जर्नी की तारीफ की है। इसके बाद अब आज शो में नॉमिनेशन टास्क होगा। इस टास्क का एक वीडियो सामने आया है, जिसमें मालती चाहर, तान्या मित्तल पर हाथ उठाती नजर आ रही हैं। कलर्स चैनल की तरफ से बिग बॉस 19 के नॉमिनेशन टास्क का एक प्रोमो वीडियो जारी किया गया है। टास्क के अनुसार, सभी कंटेस्टेंट्स को एक-एक कर ऐसे शख्स के चेहरे पर नॉमिनेशन स्टाम्प लगाना था, जिसे वो नॉमिनेट करना चाहते हैं। कॉमेडियन प्रणीत मोरे ने अमाल को नॉमिनेट किया, वहीं शहबाज ने तान्या को फेक कहते हुए उनके चेहरे पर स्टाम्प लगाया। अमाल ने गौरव खन्ना को नॉमिनेट किया जिसके बाद तान्या ने ये कहते हुए मालती को नॉमिनेट किया कि वो फिनाले के लिए डिजर्विंग नहीं लगती। जैसे ही तान्या ने स्टाम्प उठाया, मालती ने चेहरा आगे कर दिया, लेकिन तान्या ने मालती के गाल या माथे की जगह उनके मुंह पर स्टाम्प लगा दिया, जिससे वो भड़क गईं। इसके बाद मालती, तान्या को थप्पड़ मारती नजर आईं। सभी घरवालों ने इस पर शॉकिंग रिएक्शन दिया है, हालांकि ये साफ नहीं है कि मालती ने वाकई जोरदार थप्पड़ मारा है या नहीं। 7 दिसंबर को होगा बिग बॉस 19 का फिनाले कुनिका सदानंद के एविक्शन के बाद अब घर में अमाल मलिक, तान्या मित्तल, गौरव खन्ना, अशनूर कौर, फरहाना भट्ट, प्रणीत मौरे, मालती चहर और शहबाज बच गए हैं। इस हफ्ते ये सभी एविक्ट होने के लिए नॉमिनेटेड हैं। इसी बीच शो में टिकट टू फिनाले की रेस शुरू हो रही है, इसमें जीतने वाले कंटेस्टेंट्स को सीधे फिनाले में जाने का मौका मिलेगा। शो का फिनाले 7 दिसंबर को होने वाला है।

दैनिक भास्कर 25 Nov 2025 1:15 am

मृणाल-धनुष के कमेंट से फिर शुरू हुई डेटिंग की चर्चाएं:एक्ट्रेस की नई फिल्म पर साउथ स्टार ने दिया रिएक्शन, पोस्ट हुई वायरल

साउथ एक्टर धनुष और एक्ट्रेस मृणाल ठाकुर कुछ समय पहले अपनी लव लाइफ को लेकर चर्चा में थे। खबरें थीं कि दोनों एक-दूसरे को डेट कर रहे हैं। अब एक बार फिर ये दोनों अपने रिश्ते को लेकर सुर्खियों में आ गए हैं और इस बार वजह दोनों का किया गया एक कमेंट है। दरअसल, फिल्ममेकर संजय लीला भंसाली की नई फिल्म दो दीवाने सहर में में मृणाल ठाकुर और सिद्धांत चतुर्वेदी लीड रोल में नजर आने वाले हैं। 21 नवंबर को मेकर्स ने फिल्म का पहला पोस्टर शेयर किया, जिसके बाद इस पर फैंस के साथ कई सेलेब्स ने भी रिएक्शन दिए। इसी दौरान धनुष ने कमेंट करते हुए लिखा, देखने और सुनने में अच्छा लग रहा है। इसके जवाब में मृणाल ठाकुर ने रेड हार्ट और सूरजमुखी वाला इमोजी पोस्ट किया। इस कमेंट के बाद सोशल मीडिया पर एक बार फिर चर्चा शुरू हो गई कि धनुष और मृणाल ठाकुर एक-दूसरे को डेट कर रहे हैं। इससे पहले भी दोनों की डेटिंग की खबरें इसी साल अगस्त में फिल्म सन ऑफ सरदार 2 के प्रीमियर के दौरान सामने आई थीं। इसके अलावा धनुष की फिल्म तेरे इश्क में’ की रैप-अप पार्टी में भी मृणाल ठाकुर नजर आई थीं। हालांकि, अब तक दोनों की तरफ से इस मामले कोई रिएक्शन सामने नहीं आया है। बता दें, फिल्म दो दीवाने सहर की घोषणा करते हुए मेकर्स ने कैप्शन में लिखा, दो दिल, एक सहर और एक पूरी तरह से परफेक्ट प्रेम कहानी। इस वैलेंटाइन डे इश्क से इश्क हो जाएगा। साथ ही मेकर्स ने यह भी बताया कि फिल्म 20 फरवरी 2026 को रिलीज होगी।

दैनिक भास्कर 24 Nov 2025 6:12 pm

एमपी में एक्टर धर्मेंद्र ने की 4 फिल्मों की शूटिंग:मांडू के जहाज महल 'जीने नहीं दूंगा', किनारा, यमला पगला दीवाना के लिए महेश्वर आए

बॉलीवुड के दिग्गज अभिनेता धर्मेंद्र का सोमवार को निधन हो गया। 89 साल की उम्र में उन्होंने मुंबई में अपने निवास पर अंतिम सांस ली। धर्मेंद्र का मध्यप्रदेश से भी कनेक्शन रहा है। उन्होंने यहां चार फिल्मों की शूटिंग की है। महेश्वर में उन्होंने अपने दोनों बेटों सनी देओल और बॉबी देओल के साथ दो फिल्मों की आधी से ज्यादा शूटिंग यही पर की थी। वहीं, मांडू में 1975 में 'किनारा' और 1984 में 'जीने नहीं दूंगा फिल्म की शूटिंग के लिए आए थे। दोनों ही फिल्मों में वे लीड रोल में थे। फिल्म 'किनारा' के चार सुपरहिट गीतों सहित लगभग 70 प्रतिशत शूटिंग जहाज महल में हुई थी। अकेले घूमने निकल जाते थे जब धर्मेंद्र मांडू में फिल्म की शूटिंग कर रहे थे, उस दौरान वे खाली वक्त में अकेले ही मांडू घूमने चले जाते थे। वे प्रशंसकों के साथ तस्वीरें खिंचवाते थे। सादगी से पेश आते थे। फिल्म 'जीने नहीं दूंगा' की शूटिंग के लिए वे 22 दिन तक तवेली महल रेस्ट हाउस और मालवा रिट्रीट में रुके थे। फिल्म 'जीने नहीं दूंगा' के बारे में: यह फिल्म 26 अक्टूबर 1984 को रिलीज हुई थी। राजकुमार कोहली द्वारा निर्देशित फिल्म में धर्मेंद्र ने दोहरी भूमिका निभाई थी। उनके साथ शत्रुघ्न सिन्हा, राज बब्बर, अनीता राज और रोशनी जैसे कलाकार भी मुख्य भूमिकाओं में थे। फिल्म का प्रसिद्ध गीत 'तुम याद ना आया करो' भी मांडू में ही फिल्माया गया था। सहज रूप से मिलते थे धर्मेंद्र मांडू में रहने वाले पंडित केदारनाथ बताते हैं कि मे 55 साल से पान की दुकान का संचालन मुख्य चौराहे पर कर रहा हूं। जब फिल्म किनारा और जीने नहीं दूंगा बनी थी, तब दुकान पर धर्मेंद्र और शत्रुघ्न सिन्हा पान खाने आए थे।उसके बाद वे 22 दिन यहां फिल्म 'जीने नहीं दूंगा' की शूटिंग कर रहे थे, तब उन्होंने रोज में अपनी दुकान से मसाले का पान लेकर उन्हें खिलाने जाता था। वाकई में धर्मेंद्र सहज हीरो थे। वे अपनेपन से मुझे मिलते थे। कभी नहीं लगता था कि वे हमसे मिलेंगे कि नहीं मिलेंगे। जब हम शूटिंग देखने जाते थे, तब वहां सहज रूप से हमारे पास आकर बात करते थे। वहीं, सोमनाथ तिवारी का कहना है कि धर्मेंद्र शूटिंग के दौरान भी गरीबों का ध्यान रखते थे। वह उन्हें कई चीजें दे जाते थे। वे सरल हृदय के थे। महेश्वर में की दो फिल्मों की शूटिंग इसके अलावा, खरगोन जिले में नर्मदा तट पर बसे महेश्वर में फिल्म यमला पगला दीवाना (2011) और यमला पगला दीवाना-2 (2013) की की शूटिंग हुई। दोनों ही फिल्मों ने महेश्वर को नई पहचान दी। दोनों फिल्मों का बड़ा हिस्सा लगभग आधी फिल्म महेश्वर में फिल्माया गया था। हालांकि फिल्म में इसे बनारस दिखाया गया था, लेकिन दर्शक महेश्वर के घाटों, किले और प्राचीन गलियों को देखने से खुद को रोक नहीं सके। ​फिल्म में धर्मेंद्र का किरदार 'परमवीर ढिल्लों' दिलदार व्यक्ति का है। महेश्वर के घाट पर उनका लोगों को झांसा देने, रंगीन गमछे पहनकर घूमने और बॉबी देओल के साथ मिलकर लोगों को ठगने वाले दृश्य फिल्माए गए थे। उनकी मुलाकात सनी देओल के किरदार से भी इसी नर्मदा तट जिसे बनारस घाट दिखाया गया। सीएम बोले- धर्मेंद्र का योगदान भूला नहीं जा सकता हेलीपैड पर श्रद्धांजलि देने के बाद मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि अभिनेता धर्मेंद्र का निधन हम सबके लिए कष्टकारी है। उन्होंने फिल्मी दुनिया में जिस प्रकार का योगदान दिया, उसे भुलाया नहीं जा सकता। धर्मेंद्र जी अपने समय के सर्वाधिक लोकप्रिय और सुपरहिट हीरो में से एक रहे। मुख्यमंत्री ने आगे कहा कि उनकी 'शोले' जैसी कई फिल्मों में उनके अद्भुत अभिनय को जीवन भर कोई भूल नहीं सकेगा। डॉ. यादव ने मध्य प्रदेश सरकार की ओर से विनम्र श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए कहा कि उनका योगदान सदैव पूरा देश स्मरण रखेगा। उन्होंने बाबा महाकाल से प्रार्थना की कि वे पवित्र आत्मा को अपने चरणों में स्थान दें। तोमर ने कहा- उनकी कला प्रदर्शन को याद करेंगे विधानसभा अध्यक्ष नरेंद्र सिंह तोमर ने भी अभिनेता धर्मेंद्र के निधन पर दुख व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि फिल्म जगत में उन्होंने अपने परिश्रम और कर्म से एक ऐसा स्थान बनाया, जिसने पूरे देश और दुनिया के अनेक देशों को प्रभावित किया। तोमर ने कहा कि भले ही वे आज शरीर से हमारे बीच नहीं हैं, लेकिन उनकी कला और उनका प्रदर्शन हमेशा याद रहेगा। उन्होंने दिवंगत आत्मा को श्रद्धांजलि अर्पित की।

दैनिक भास्कर 24 Nov 2025 6:04 pm

परिवार के साथ रणबीर कपूर ने खाया जंगली मटन?:वायरल वीडियो देख भड़के यूजर्स; रामायण के लिए छोड़ने का हुआ था दावा

हाल ही में नेटफ्लिक्स पर ‘डाइनिंग विद द कपूर्स’ डॉक्यूमेंट्री स्ट्रीम हुई है, जिसमें पूरा कपूर परिवार एक साथ नजर आ रहा है। एक्टर रणबीर कपूर भी शो का हिस्सा थे। अब रणबीर इस शो की वजह से सोशल मीडिया यूजर्स के निशाने पर आ गए हैं। दरअसल, सोशल मीडिया पर शो का एक क्लिप वायरल हो रहा है, जिसमें रणबीर मां नीतू कपूर, करीना कपूर, करिश्मा कपूर, रीमा जैन, सैफ अली खान और कपूर परिवार के बाकी मेंबर्स के साथ टेबल पर बैठे दिख रहे हैं। वायरल वीडियो में नजर आता है कि अरमान जैन ने कपूर फैमिली के लिए लॉन्च होस्ट किया था, जिसमें उन्होंने अपने दादा राज कपूर की फेवरेट फूड को रखा था। मेन्यू में जंगली मटन, फिश, पाया, छिलके वाली आलू, दही पकौड़ा कढ़ी समेत कई वेज और नॉन वेज डिश शामिल थीं। वीडियो में दिखाया गया है कि सभी साथ में फूड एंजॉय कर रहे हैं। लेकिन तभी सोशल मीडिया यूजर्स का मानना है कि रणबीर ने नॉन वेज खाया है। बता दें कि रणबीर जल्द ही नितेश तिवारी की फिल्म रामायण में राम की भूमिका में दिखेंगे। ऐसे में खबरें आई थीं कि उन्होंने राम की भूमिका के लिए नॉन वेज फूड और शराब से दूरी बना ली है। भगवान राम की भूमिका के लिए रणबीर पूरी तरह से सात्विक लाइफ स्टाइल फॉलो कर रहे हैं। अब सोशल मीडिया पर यूजर्स आलोचना कर रहे हैं कि झूठ बोलने की क्या जरूरत थी। एक यूजर ने लिखा- 'मुझे लगता है कि बॉलीवुड एक्टर्स की पीआर टीमों को निकाल देना चाहिए, खासकर आरके और आलिया भट्ट की। वे ऐसी मूर्खतापूर्ण बातें पोस्ट करने से पहले अपने क्लाइंट के पिछले वीडियो के बारे में जरा भी रिसर्च नहीं करते।’ रणबीर के प्रोजेक्ट्स की बात करें तो वो नितेश तिवारी की रामायण के अलावा संजय लीला भंसाली की अगली फिल्म लव एंड वॉर में भी नजर आने वाले हैं। इस फिल्म में उनके साथ आलिया भट्ट और विक्की कौशल भी काम कर रहे हैं।

दैनिक भास्कर 24 Nov 2025 5:02 pm

जब लड़खड़ाते हुए धर्मेंद्र के पास पहुंचे थे पवन सिंह:'ही-मैन' ने भोजपुरी लड़के को बनाया पावर स्टार; डायलॉग भूलने पर कहते- टेंशन मत लो

दिग्गज अभिनेता धर्मेंद्र का निधन हो गया है। 89 साल के धर्मेंद्र ने सोमवार दोपहर अपने घर पर अंतिम सांस ली। उनका अंतिम संस्कार विले पार्ले श्मशान भूमि में हुआ। धर्मेंद्र के निधन पर पवन सिंह ने फेसबुक पर उनके साथ फोटो शेयर कर लिखा है- धर्मेंद्र जी के जाने की खबर ने दिल को भीतर तक तोड़ दिया है। आज ऐसा लगता है मानो पर्दे से नहीं, जिंदगी से ही एक रौशन उजाला चला गया हो। मेरा सौभाग्य रहा कि मुझे उनके साथ काम करने का अवसर मिला। सेट पर उनकी ममता, सरलता और इंसानियत आज भी याद करके आंखें नम हो जाती हैं। धर्मेंद्र ने भोजपुरी लड़के को पावर स्टार बना दिया पवन सिंह ने एक मंच पर पवन सिंह ने हिंदी सिनेमा के ‘ही-मैन’ धर्मेंद्र के साथ अपने रिश्ते और संघर्ष के दिनों की याद ताजा की थी। उन्होंने बताया था कि कैसे एक दौर में वे इंडस्ट्री में अपनी पहचान बनाने के लिए जूझ रहे थे, लेकिन किस्मत ने उन्हें सीधे उस दिग्गज अभिनेता के साए में ला खड़ा किया, जिन्हें वे बचपन से पर्दे पर देखते और भगवान की तरह मानते आए थे। संघर्ष, स्ट्रगल और स्टारडम के इस सफर में धर्मेंद्र ने न सिर्फ उन्हें मौका दिया, बल्कि ऐसे शब्दों की सीख दी, जो आगे चलकर उनके करियर और स्वभाव का स्थायी हिस्सा बन गई। पवन के मुताबिक, भोजपुरी फिल्म के सेट पर हुई पहली मुलाकात ने उनकी सोच बदल दी। वे बताते हैं कि उस दिन उन्हें समझ आया कि बड़े स्टार होने का मतलब सिर्फ चमक–दमक नहीं, बल्कि जमीन से जुड़े रहना भी है। धर्मेंद्र की यही सीख, और पहला बड़ा ब्रेक, आज पवन सिंह के लिए जिंदगी का ऐसा किस्सा बन चुका है, जिसे वे हर मंच से दोहराना चाहते हैं, ताकि नए कलाकार भी इससे सीख ले सकें। पवन सिंह ने बताया था कि, जब मैं इंडस्ट्री में नया–नया था, तब सिर्फ एक तमन्ना थी कि किसी दिन बड़े पर्दे पर अपने हीरो के साथ काम करूं। बचपन से धर्मेंद्र जी को फिल्मों में देखता आया था, लेकिन कभी सोचा नहीं था कि एक दिन उनके साथ एक ही फ्रेम शेयर कर पाऊंगा। लड़खड़ाते हुए धर्मेंद्र के पास पहुंचे पवन सिंह एक भोजपुरी फिल्म के लिए मुझे साइन किया गया और खबर मिली कि उसमें धर्मेंद्र जी भी काम कर रहे हैं। ये सुनते ही जैसे यकीन ही नहीं हुआ। शूटिंग के पहले दिन मैं सेट पर था, लेकिन हिम्मत ही नहीं पड़ रही थी कि उनकी वैनिटी वैन के पास जाऊं। अंदर से डर भी था और एक अजीब-सा संकोच भी कि पता नहीं क्या कहूंगा। उसी दौरान किसी ने आकर कहा- “धरम जी बुला रहे हैं।” इतना सुनते ही मेरे कदम लड़खड़ा गए। दिल की धड़कन तेज थी, हाथ पसीने से भीगे थे। जैसे-तैसे हिम्मत करके वैनिटी वैन के अंदर गया। उन्होंने मुस्कुराकर कहा, “आओ बेटा, बैठो।” उस पल लगा जैसे कोई अपना बुजुर्ग मुझे गले से लगा रहा हो। हमने शूट, किरदार और फिल्मों की बातें कीं। मैंने उन्हें बताया कि मैं स्ट्रगल से आया हूं, और ये मौका मेरे लिए कितना बड़ा है। उन्होंने बहुत सादगी से कहा कि मेहनत करते रहो, स्टार बन जाओ तो भी सिर झुकाकर चलना, लोगों से प्यार से बात करना, क्योंकि यही तुम्हें लंबी रेस का घोड़ा बनाएगा। डायलॉग भूलता तो कहते- टेंशन मत लो बेटा मेरे लिए सबसे बड़ा चमत्कार ये था कि उन्होंने सिर्फ सलाह ही नहीं दी, बल्कि सचमुच मुझे मौका भी दिया। उसी प्रोजेक्ट ने मेरे करियर को नया मोड़ दिया। सेट पर जब मैं सीन दे रहा होता था और कैमरे के ठीक सामने धर्मेंद्र जी खड़े होते थे, तो कई बार डायलॉग भूल जाता था, सिर्फ उन्हें देखता रह जाता था। वे हंसकर कहते, “टेंशन मत लो बेटा, आराम से बोलो।” आज भी जब पीछे मुड़कर देखता हूं, तो लगता है कि अगर उस समय धर्मेंद्र जी जैसा बड़ा स्टार मुझे सपोर्ट न करता, तो शायद मेरी जर्नी कुछ और होती। मेरे लिए वे सिर्फ सुपरस्टार नहीं, एक ऐसे गुरु हैं, जिन्होंने मुझे पहला बड़ा प्लेटफॉर्म दिया और सिखाया कि ऊंचाई पर पहुंचकर भी इंसान छोटा नहीं होना चाहिए। यही वजह है कि हर इंटरव्यू, हर स्टेज पर मैं ये किस्सा जरूर सुनाता हूं, ताकि लोग जान सकें कि मेरे जैसे लड़के की जिंदगी में धर्मेंद्र जी की क्या जगह है। --------------- ये खबर भी पढ़िए... एक्टर धर्मेंद्र का 89 साल की उम्र में निधन:अंतिम संस्कार के बाद विले पार्ले श्मशान घाट से निकलीं हेमा-ईशा; अमिताभ, सलमान-आमिर भी मौजूद रहे दिग्गज अभिनेता धर्मेंद्र का निधन हो गया है। 89 साल के धर्मेंद्र ने सोमवार दोपहर अपने घर पर अंतिम सांस ली। उनका अंतिम संस्कार विले पार्ले श्मशान भूमि में हुआ, जिसमें सलमान खान, संजय दत्त, अमिताभ बच्चन, आमिर खान समेत कई सेलेब्स पहुंचे। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दिग्गज अभिनेता धर्मेंद्र के निधन को एक युग के अंत का संकेत कहा है। धर्मेंद्र के परिवार ने उनके निधन की आधिकारिक तौर पर पुष्टि नहीं की। दोपहर में उनके घर के बाहर एम्बुलेंस पहुंची थी और विले पार्ले श्मशान भूमि में सिक्योरिटी बढ़ा दी गई थी। इसके बाद उनका पार्थिव शरीर एम्बुलेंस से श्मशान घाट पहुंचाया गया। पूरी खबर पढ़िए

दैनिक भास्कर 24 Nov 2025 3:56 pm

लुधियाना में धर्मेंद्र के घर में मातम:पड़ोसी बोले- भाईदूज पर आए, हमेशा लस्सी पीकर जाते थे; मुंहबोली बहन रोने लगी

बॉलीवुड के दिग्गज अभिनेता धर्मेंद्र का 24 नवंबर को 89 साल की उम्र में निधन हो गया। दोपहर बाद मुंबई के विले पार्ले श्मशान भूमि में उनका अंतिम संस्कार किया गया। धर्मेंद्र का जन्म लुधियाना के साहनेवाल में हुआ था। इनके पिता गांव के सरकारी स्कूल में हेडमास्टर थे। आज धर्मेंद्र को पूरा देश ही-मैन के नाम से जानता है। धर्मेंद्र ने साहनेवाल में जिस घर में अपना बचपन बिताया, अब भी वो घर वैसा का वैसा है। हालांकि वह अपना पैतृक घर बेच चुके हैं और वहां पर नया घर बन चुका है। इसके बाहर अभी भी धर्मेंद्र हाउस लिखा है। पड़ोसियों का कहना है कि भाईदूज पर धर्मेंद्र यहां आए थे। हम हमेशा सरकारी स्कूल जाते थे। साथ ही पास के डेरे में लस्सी जरूर पीते थे। यहां रहने वाली बुजुर्ग महिला माया ने बताया कि मैं और धर्मेंद्र बचपन में साथ खेलते थे। जब भी धर्मेंद्र यहां आते थे मैं उन्हें राखी बांधती थी, लेकिन अब कहानी खत्म हो गई। यह कहते हुए माया के आंख में आंसू आ गए। धर्मेंद्र से जुड़े पल-पल के अपडेट्स जानने के लिए नीचे ब्लॉग से गुजर जाइए...

दैनिक भास्कर 24 Nov 2025 3:30 pm

‘इलाका कुत्तों का होता है शेरों का नहीं’:हम वो बला हैं, जो शीशे से पत्थर को तोड़ दें; धर्मेंद्र के 10 बेहतरीन डायलॉग्स

‘बसंती, इन कुत्तों के सामने मत नाचना।’ और ‘कुत्ते...कमीने, मैं तेरा खून पी जाऊंगा।’ 70 के दशक में शोले फिल्म के ये डायलॉग नौजवानों की जुबां पर रच-बस गए थे। ‘कुत्ते, मैं तेरा खून पी जाऊंगा।’ धर्मवीर फिल्म का ये डायलॉग भी खूब हिट हुआ। फिल्म कातिलों के कातिल का वो डायलॉग जब धर्मेंद्र बोलते थे- ‘हम वो बला हैं, जो शीशे से पत्थर को तोड़ दें।’ तो सिनेमा हॉल में तालियां गूंज उठती थीं। धर्मेंद्र के डायलॉग में जोश, रोमांस और देसी तेवर कूट-कूटकर भरे होते थे। चलिए आज हम आपको धर्मेंद्र के 10 मशहूर डायलॉग के बारे में बता रहे हैं….

दैनिक भास्कर 24 Nov 2025 2:58 pm

धर्मेंद्र की आखिरी फिल्म ‘इक्कीस’ का पोस्टर जारी:एक्टर की आवाज सुनकर फैंस हुए इमोशनल; फिल्म में निभाया लेफ्टिनेंट अरुण खेत्रपाल के पिता का किरदार

दिग्गज अभिनेता धर्मेंद्र का निधन हो गया है। इसी बीच सोमवार को धर्मेंद्र की आखिरी फिल्म इक्कीस से उनका लुक सामने आया है। साथ ही एक्टर की आवाज में एक वॉइस नोट भी शेयर किया गया, जिसने उनके फैंस को भावुक कर दिया। फिल्म के मेकर्स ने इंस्टाग्राम पर इक्कीस का पोस्टर शेयर करते हुए लिखा, पिता बेटों का पालन-पोषण करते हैं। महापुरुष राष्ट्र का निर्माण करते हैं। धर्मेंद्र जी, 21 वर्षीय अमर सैनिक के पिता के रूप में एक भावनात्मक शक्ति हैं। एक कालातीत किंवदंती हमें दूसरी कहानी सुनाती है। इस पोस्टर के बैकग्राउंड में धर्मेंद्र की आवाज भी है, जिसमें वह कहते हैं, यह मेरा बड़ा बेटा अरुण है और यह हमेशा 21 का ही रहेगा। वहीं, धर्मेंद की आवाज सुनकर उनके फैंस इमोशनल हो रहे हैं। बता दें, ‘इक्कीस’ का निर्देशन श्रीराम राघव ने किया है। यह एक वॉर ड्रामा है, जो सेकेंड लेफ्टिनेंट अरुण खेत्रपाल की सच्ची कहानी पर आधारित है। अरुण खेत्रपाल भारत के सबसे युवा परमवीर चक्र विजेता थे, जिन्होंने 1971 के भारत–पाक युद्ध में असाधारण वीरता दिखाई थी। फिल्म में अमिताभ बच्चन के नाती अगस्त्य नंदा अरुण खेत्रपाल की भूमिका निभा रहे हैं, जबकि धर्मेंद्र उनके पिता बने हैं। अगस्त्य नंदा की यह पहली थिएटर रिलीज फिल्म होगी। इससे पहले वे जोया अख्तर की ‘द आर्चीज’ में नजर आ चुके हैं, जो नेटफ्लिक्स पर रिलीज हुई थी।

दैनिक भास्कर 24 Nov 2025 2:44 pm

टैलेंट हंट जीतकर फिल्मों में आए धर्मेंद्र:डायरेक्टर के गैरेज में रहे, मीना कुमारी की शर्त से बने स्टार, ड्रीमगर्ल हेमा से शादी के लिए बदला धर्म

बॉलीवुड के दिग्गज अभिनेता धर्मेंद्र का आज 89 साल की उम्र में निधन हो गया। पंजाब के छोटे से गांव नसराली में जन्में धर्मेंद्र एक सरकार स्कूल के हेडमास्टर के बेटे थे, जिन्हें आज पूरा देश ही-मैन के नाम से जानता है। 10वीं क्लास में दिलीप कुमार की फिल्म देखकर हीरो बनने का ख्वाब देखने वाले धर्मेंद्र एक टैलेंट हंट कॉम्पिटिशन ने धर्मेंद्र और हिंदी सिनेमा को आपस में ऐसा बांधा कि आज भी इन दोनों को अलग-अलग सोचना संभव नहीं है। ग्राफिक्स स्टोरी में जानिए कैसे हेडमास्टर के बेटे धर्मेंद्र बने हिंदी सिनेमा के स्टार-

दैनिक भास्कर 24 Nov 2025 1:57 pm

विजयता पंडित के बेटे के कार एक्सीडेंट की खबर अफवाह:दावा था- पिता आदेश श्रीवास्तव के नाम पर बने चौराहे से टक्कर हुई, करीबी सूत्र ने किया खारिज

विजयता पंडित के छोटे बेटे अनिवेश श्रीवास्तव की कार का एक्सीडेंट होने की खबरें सामने आई हैं, हालांकि दैनिक भास्कर से विजयता पंडित के परिवार से जुड़े करीबी सूत्र ने बताया है कि ये खबर अफवाह है। सामने आईं रिपोर्ट्स में ये भी दावा किया जा रहा था कि जिस चौराहे को कार से टक्कर लगी है, वहां अविनेश के पिता दिवंगत सिंगर आदेश श्रीवास्तव के नाम पर बना था, जिसे काफी नुकसान पहुंचा है। दैनिक भास्कर से बातचीत में विजयता पंडित के परिवार के करीबी सूत्र ने बताया है कि ये खबर झूठ है। पहले भी यही झूठी खबर आ चुकी है। महाराष्ट्र के लोकल न्यूज चैनल जागृत महाराष्ट्र की रिपोर्ट में दावा किया गया है कि हरियाणा की नंबर प्लेट वाली एक SUV लोखंडवाला क्रॉसिंग पर जा टकराई, जिससे डिवाइडर को नुकसान पहुंचा और स्टैच्यू पूरी तरह टूट गया है। जिस कार का एक्सीडेंट हुआ है, वो एक्ट्रेस विजयता पंडित के नाम पर रजिस्टर्ड है, जिसे उनके बेटे अनिवेश श्रीवास्तव ड्राइव करते हैं। एक्सीडेंट की खबर सामने आने के बाद रेडिट पर कुछ तस्वीरें पोस्ट की गई हैं, जिनमें डैमेज कार के साथ विजयता पंडित के बड़े बेटे अवितेज श्रीवास्तव नजर आ रहे हैं। 2016 में हुआ था आदेश श्रीवास्तव चौक का उद्घाटन पॉपुलर सिंगर आदेश श्रीवास्तव का साल 2015 में निधन हुआ था, जिसके बाद 2016 में उनके नाम पर लोखंडवाला में चौराहा बनवाया गया था। 6 सितंबर 2016 को इसका उद्घाटन आदेश श्रीवास्तव की पत्नी विजयता पंडित और बेटों अवितेश-अनिवेश श्रीवास्तव ने किया था। इस दौरान जैकी श्रॉफ समेत कई सेलेब्स मौजूद रहे थे। पहले भी विवादों में रहा विजयता पंडित के बड़े बेटे अवितेश श्रीवास्तव का नाम साल 2018 में अवितेश श्रीवास्तव के खिलाफ मुंबई के जुहू पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज हुई थी। आरोप थे कि उन्होंने एक म्यूजिक कंपोजर को उन्हीं के स्टूडियो में बंद कर पीटा था। शिकायतकर्ता के अनुसार, उन्होंने अवितेश श्रीवास्तव का स्टूडियो 1 लाख रुपए महीने के किराए पर लिया था और 4 लाख रुपए डिपॉजिट दिया था। उन्होंने मार्च 2018 में स्टूडियो खाली कर दिया था, लेकिन इसके बावजूद अवितेश उनसे कॉन्ट्रैक्ट तोड़ने के नाम पर 12 लाख रुपए मांग रहे थे। जब उन्होंने पैसे नहीं दिए, तो अवितेश ने स्टूडियो में बंद कर उनके साथ मारपीट की थी। बता दें कि एक्ट्रेस विजयता पंडित ने 1990 में पॉपुलर सिंगर आदेश श्रीवास्तव से शादी की थी। इस शादी से उन्हें दो बेटे अवितेज और अनिवेश हैं।

दैनिक भास्कर 24 Nov 2025 1:55 pm

बीकानेर में लगे थे धर्मेंद्र की गुमशुदगी के पोस्टर:सांसद रहते हुए की थी हिटलराज की तारीफ; जिसके खिलाफ चुनाव लड़ा, उसे बताया छोटा भाई

दिग्गज अभिनेता धर्मेंद्र का निधन हो गया। 89 साल के एक्टर ने सोमवार को घर पर ही अंतिम सांस ली। धर्मेंद्र 14वीं लोकसभा में साल 2004 से 2009 तक बीकानेर से सांसद रहे थे। सांसद रहते हुए वे काफी विवादों में रहे थे। यहां तक कि जब वे एक साल तक क्षेत्र में नहीं आए तो किसानों ने 'गुमशुदगी' के पोस्टर तक लगा दिए थे। इसी बीच वे 'हिटलर राज' की तारीफ करके विवादों में आ गए थे। सभी जानते थे कि धर्मेंद्र सांसद के रूप में बीकानेर बहुत कम रहे, लेकिन मुंबई में रहकर भी बीकानेर की सूरसागर समस्या का निराकरण करने में मुख्य भूमिका निभाई। कांग्रेस के रामेश्वर डूडी के सामने भाजपा ने धर्मेंद्र को उतारा था। कांटे की टक्कर को देखते हुए धर्मेंद्र ने बेटे बॉबी और सनी देओल को जनसभा के लिए बुलाया था। डूडी के सामने लड़ा था चुनावसाल 2004 में कांग्रेस ने अपने पूर्व सांसद रामेश्वर डूडी को फिर से मैदान में उतारा तो भाजपा ने एक कदम आगे बढ़ते हुए फिल्म अभिनेता धर्मेंद्र को प्रत्याशी बना दिया था। जाट वोट बैंक पर तगड़ा उम्मीदवार सामने आने के बाद भी रामेश्वर डूडी ने धर्मेंद्र को कड़ी टक्कर दी। अंत में जब धर्मेंद्र और डूडी के बीच मुकाबला कांटे का हो गया तो धर्मेंद्र ने बेटों सनी और बॉबी देओल को बीकानेर बुलाया था। इन दोनों ने रेलवे स्टेडियम में एक जनसभा की थी। इसके बाद शहरी क्षेत्र में माहौल बदल गया और धर्मेंद्र 57 हजार वोटों से चुनाव जीत गए थे। खास बात यह थी कि बीकानेर शहर के अलावा सभी सीटों से धर्मेंद्र पीछे रहे थे। अकेले बीकानेर शहर से इतनी लंबी लीड ली थी कि सभी पांच विधानसभा सीटों का अंतर बराबर कर दिया था। डूडी को बताया था छोटा भाईधर्मेंद्र ने अपने चुनाव प्रचार के दौरान कभी रामेश्वर डूडी का नाम लेकर विरोध नहीं किया। उनकी कोई कमी नहीं गिनाई। बल्कि जहां भी उनसे पूछा जाता कि डूडी मजबूत उम्मीदवार हैं तो वो ये ही कहते थे कि रामेश्वर मेरे छोटे भाई जैसे हैं।उधर, डूडी ने भी अपने प्रचार में कभी धर्मेंद्र पर व्यक्तिगत हमला नहीं किया था। हालांकि कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने उन पर धर्म परिवर्तन करने सहित अनेक आरोप लगाए थे। सूरसागर के लिए किया था कामबीकानेर चुनाव प्रचार के दौरान धर्मेंद्र को सूरसागर की गंदगी हमेशा अखरती थी। उन्होंने तत्कालीन मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे से इस बारे में चर्चा की थी। बजट की समस्या आई तो वे स्वयं दिल्ली में केंद्रीय मंत्रियों से मिले और सूरसागर के लिए अतिरिक्त बजट दिलाया था।इतना ही नहीं, अपने सांसद कोटे से भी इस काम के लिए बजट दिया था। हालांकि सूरसागर की सफाई का सारा श्रेय तत्कालीन मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे को ही मिला था। गुमशुदा के पोस्टर से दुखी हुए थेसांसद के रूप में धर्मेंद्र बीकानेर बहुत कम आते थे। इस कारण बीकानेर शहर के स्थानीय लोगों ने उनके खिलाफ एक पोस्टर तैयार किया था। इसमें धर्मेंद्र के फोटो के ऊपर लिखा 'गुमशुदा'। इस पोस्टर को बड़ा मीडिया कवरेज मिला तो धर्मेंद्र दुखी हुए थे। उन्होंने तुरंत बीकानेर आने का निर्णय किया। वे दो-चार दिन बाद ही बीकानेर आए और सर्किट हाउस में ठहरे थे। यहां बिना किसी तामझाम के सभी कार्यकर्ताओं से और जनता से मिले थे। धर्मेंद्र ने कई पत्रकारों को पीड़ा बताई थी कि उनके लिए ऐसे पोस्टर लगाए गए थे। सुराना को बोले थे 'कोट वाले नेताजी'लोकसभा चुनाव के दौरान भाजपा ने तत्कालीन नेता मानिकचंद सुराना को उनका चुनाव प्रभारी बनाया था। ऐसे में सुराना ही उनके दिनभर के कार्यक्रम तय करते थे और उस कार्यक्रम के हिसाब से नहीं चलने पर नाराज होते थे।धर्मेंद्र कहीं भी जाते तो ये कहते कि 'कोट वाले नेताजी' से पूछ लो। सुराना हर वक्त कोट पहनते थे। कई बार उनकी और सुराना की तकरार भी होती, लेकिन वे सुराना को पूरा सम्मान देते थे। सुराना के अलावा भाजपा नेता सत्यप्रकाश आचार्य भी उनके चुनाव प्रचार के दौरान साथ में रहते थे। सांसद कोटे का पूरा उपयोगधर्मेंद्र ने आम सांसद की तरह अपने कोटे का पूरा उपयोग किया था। कोई भी समाज, संगठन या संस्थान उनसे वित्तीय सहयोग की अपील करती तो धर्मेंद्र निराश नहीं करते थे। आज भी बीकानेर में कई जगह धर्मेंद्र के नाम के बोर्ड लगे हुए हैं, जिसमें उनके सांसद कोटे का उपयोग हुआ था। आमतौर पर भाजपा नेता सत्यप्रकाश आचार्य और उनके निजी सचिव कमल व्यास की अनुशंसा पर धर्मेंद्र कोटे की राशि स्वीकृत कर देते थे। बीकानेर में है धर्मेंद्र के जबरदस्त फैनधर्मेंद्र ने बीकानेर से चुनाव तो साल 2004 में लड़ा था, लेकिन उनके दीवाने शुरू से रहे हैं। बीकानेर में एक युवा ने उनके नाम से मंदिर ही बना दिया। उसी युवक ने बाद में धर्मेंद्र स्टूडियो के नाम से अपना प्रतिष्ठान बनाया। इसके अलावा अमरसिंहपुरा में भी उनके फैन हैं। जो हर साल धर्मेंद्र का जन्मदिन सेलिब्रेट करते थे।

दैनिक भास्कर 24 Nov 2025 1:27 pm

धर्मेंद्र के घर पहुंची एंबुलेंस:फिर तबीयत बिगड़ने की खबरें, घर के बाहर की गई बैरिकेडिंग

दिग्गज अभिनेता की तबीयत बिगड़ने की खबर आ रही है। सोमवार दोपहर को उनके घर में एम्बुलेंस पहुंची है, जिसके बाद से ही घर के बाहर सिक्योरिटी बढ़ा दी गई है और बैरिकेडिंग की गई है। 12 नवंबर को हॉस्पिटल से हुए थे डिस्चार्ज दिग्गज अभिनेता धर्मेंद्र को 12 नवंबर को ब्रीच कैंडी हॉस्पिटल से डिस्चार्ज किया गया है। वो दो दिन वैंटिलेटर पर थे। धर्मेंद्र को सांस लेने में तकलीफ थी, जिसके चलते उन्हें 10 नवंबर को ब्रीच कैंडी हॉस्पिटल में एडमिट करवाया गया था। धर्मेंद्र के डिस्चार्ज होने के बाद हेमा मालिनी ने पत्रकार सुभाष के. झा से कहा कि मेरे लिए यह समय बिल्कुल आसान नहीं था। धरमजी की सेहत हमारे लिए बहुत बड़ी चिंता है। उनके बच्चे भी रात–रात भर जाग रहे हैं। एक्ट्रेस ने आगे कहा, मैं कमजोर नहीं पड़ सकती, मेरे ऊपर बहुत जिम्मेदारियां हैं, लेकिन हां, मैं खुश हूं कि वह घर लौट आए हैं। हम सबको राहत मिली है कि अब वह अस्पताल से बाहर हैं। उन्हें अपने लोगों के बीच रहना चाहिए। बाकी सब ऊपरवाले के हाथ में है। कृपया हमारे लिए दुआ करें। पैपराजी पर भड़के सनी देओल गुरुवार सुबह सनी देओल मीडिया पर नाराज हो गए। सनी ने हाथ जोड़ते हुए फोटोग्राफर्स और पैपराजी से कहा- आपके घर में भी मां-बाप हैं, बच्चे हैं, आपको शर्म नहीं आती? इस दौरान सनी देओल ने कुछ अपशब्द भी कहे। धर्मेंद्र के डिस्चार्ज होने के बाद मीडिया से बात करते हुए डॉ. प्रतीत समदानी ने बताया कि एक्टर पिछले कई हफ्तों से कभी अस्पताल में भर्ती हो रहे थे, तो कभी घर लौट रहे थे। डिस्चार्ज के बाद परिवार ने प्राइवेसी की अपील की थी धर्मेंद्र के डिस्चार्ज होने के बाद परिवार ने प्राइवेसी की अपील करते हुए आधिकारिक बयान जारी कर कहा था- धर्मेंद्र जी को अस्पताल से छुट्टी मिल गई है और अब वे घर पर आराम करेंगे। हम मीडिया और लोगों से अनुरोध करते हैं कि वे किसी तरह की अफवाह न फैलाएं और इस समय उनकी तथा परिवार की प्राइवेसी का सम्मान करें। हम सभी का धन्यवाद करते हैं जिन्होंने धर्मेंद्र जी की अच्छी हेल्थ और लंबी उम्र के लिए दुआ की। कृपया उनका सम्मान करें क्योंकि वे आप सभी से बहुत प्यार करते हैं। परिवार ने निधन की फर्जी खबरों पर नाराजगी जताई थी 11 नवंबर की सुबह मीडिया में एक्टर की निधन की फर्जी खबर आई थी, जिसके बाद उनकी बेटी ईशा देओल और पत्नी हेमा मालिनी ने नाराजगी जताई थी। ईशा ने सोशल मीडिया पर बयान जारी कर कहा था- मीडिया पूरी तरह गलत खबरें फैला रहा है। पापा की हालत स्थिर है और वे रिकवर कर रहे हैं। हम सभी से निवेदन करते हैं कि हमारे परिवार की प्राइवेसी का सम्मान करें। पापा की जल्दी सेहतमंदी के लिए दुआ करने के लिए धन्यवाद। हेमा मालिनी ने भी निधन की खबरें सामने आने के बाद नाराजगी जताते हुए लिखा था- जो हो रहा है, वह माफ करने लायक नहीं है। जिम्मेदार चैनल किसी ऐसे व्यक्ति के बारे में झूठी खबरें कैसे फैला सकते हैं जो इलाज का जवाब दे रहा है और ठीक हो रहा है? यह बेहद असम्मानजनक और गैर-जिम्मेदाराना व्यवहार है। कृपया परिवार और उनकी निजता की आवश्यकता का सम्मान करें। मंगलवार सुबह धर्मेंद्र के निधन की खबर मीडिया में आने के बाद रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने सोशल मीडिया एक्स पर दुख जताया था। हालांकि, बाद में उन्होंने अपनी पोस्ट हटा ली थी। धर्मेंद्र 10 नवंबर को अस्पताल में भर्ती हुए थे। खबर मिलते ही बॉबी देओल फिल्म की शूटिंग छोड़कर मुंबई लौटे। वहीं सनी देओल भी लगातार हॉस्पिटल में मौजूद रहे। ईशा देओल, हेमा मालिनी भी कई बार हॉस्पिटल पहुंचे। इस दौरान धर्मेंद्र का परिवार बेहद भावुक नजर आया। 31 अक्टूबर को भी हुए थे अस्पताल में भर्ती धर्मेंद्र को 31 अक्टूबर को भी अस्पताल में भर्ती करवाया गया था। पत्रकार विक्की ललवानी ने अपनी पोस्ट में बताया था कि सांस लेने में तकलीफ होने के चलते धर्मेंद्र को ब्रीच कैंडी हॉस्पिटल में भर्ती करवाया गया था। उन्हें ICU में रखा गया था। उनके सारे शरीर के पैरामीटर ठीक होने पर उन्हें कुछ ही घंटों में डिस्चार्ज कर दिया गया था। इसी साल की शुरुआत में धर्मेंद्र की कॉर्निया ट्रांसप्लांट सर्जरी हुई थी। उनकी बाईं आंख की पारदर्शी परत यानी कॉर्निया डैमेज हो गई थी, जिसके बाद उनका कॉर्निया ट्रांसप्लांट (केराटोप्लास्टी) किया गया था। धर्मेंद्र को साल 2015-2020 के बीच कई बार पीठ दर्द, मांसपेशियों में खिंचाव और कमजोरी की शिकायत हुई थी। उन्हें पीठ दर्द और थकान की वजह से अस्पताल में भर्ती होना पड़ा था। जल्द रिलीज होगी धर्मेंद्र की फिल्म धर्मेंद्र फिल्म इक्कीस में नजर आएंगे। ये फिल्म भारत-पाकिस्तान के बीच हुई जंग के यंग सोल्जर अरुण खेत्रपाल की कहानी है। अमिताभ बच्चन के नातिन अगस्त्य नंदा ने फिल्म में अरुण खेत्रपाल की भूमिका निभाई है, जबकि धर्मेंद्र उनके पिता एम.एल.खेत्रपाल के रोल में हैं।

दैनिक भास्कर 24 Nov 2025 12:53 pm

‘दे दे प्यार दे 2’ ने कमाए 61.85 करोड़:मस्ती 4 और 120 बहादुर को छोड़ा पीछे, 21 नवंबर को रिलीज हुई थी फिल्म

अजय देवगन और रकुल प्रीत सिंह की फिल्म दे दे प्यार दे 2 को रिलीज हुए 10 दिन हो चुके हैं, लेकिन कमाई के मामले में यह हाल ही में रिलीज हुई अन्य फिल्मों से आगे बनी हुई है। फिल्म अब तक 61.85 करोड़ रुपए का कलेक्शन कर चुकी है। सैकनिल्क के मुताबिक, फिल्म ने 10वें दिन (रविवार) को 4.50 करोड़ रुपए की कमाई की, जिसके बाद इसका कुल कलेक्शन 61.85 करोड़ रुपए हो गया है। वहीं 21 नवंबर को रिलीज हुई ‘मस्ती 4’ ने अब तक 8.59 करोड़ रुपए और 120 बहादुर ने 10.14 करोड़ रुपए का कलेक्शन किया है। ‘दे दे प्यार दे 2’ का 10 दिनों का बॉक्स ऑफिस कलेक्शन पहला दिन- 8.75 करोड़दूसरा दिन- 12.25 करोड़तीसरा दिन 13.75 करोड़चौथा दिन- 4.25 करोड़पांचवां दिन- 5.25 करोड़​​​​​​​छठा दिन- 3.50 करोड़​​​​​​​सातवां दिन- 3.35 करोड़​​​​​​​आठवां दिन- 2.25 करोड़​​​​​​​नौवां दिन- 4 करोड़​​​​दसवां दिन- 4.50 करोड़ टोटल कलेक्शन- 61.85 करोड़ रुपए 14 नवंबर को रिलीज हुई थी फिल्म दे दे प्यार दे 2 में अजय देवगन और रकुल प्रीत सिंह के अलावा आर माधवन, गौतमी कपूर, इशिता दत्ता, जावेद जाफरी और मीजान जाफरी भी हैं। फिल्म की कहानी 52 साल के तलाकशुदा एनआरआई इन्वेस्टर आशीष मेहरा (अजय देवगन) की है, जिससे 27 साल की आयशा (रकुल प्रीत सिंह) प्यार करने लगती है।

दैनिक भास्कर 24 Nov 2025 12:37 pm

पंजाबी सिंगर बोले- मैं जिंदा हूं:सोशल मीडिया पर उड़ी मौत की अफवाह, हरमन सिद्धू की जगह हरजीत हरमन को श्रद्धांजलि दी

पंजाबी सिंगर हरजीत हरमन ने फेसबुक पोस्ट कर अपने जिंदा होने का सबूत दिया है। उन्होंने लिखा कि वह अभी जिंदा हैं, कुछ लोगों ने सोशल मीडिया पर व्यू लेने के चक्कर में हरमन सिद्धू की जगह उनको ही मृत करार दे दिया। अभी वाहेगुरु की कृपा से वह ठीक हैं और अपने चाहने वालों के लिए शो कर रहे हैं। हरजीत हरमन ने फेसबुक पर हरमन सिद्धू की फोटो पोस्ट कर उन्हें श्रद्धांजलि देते हुए लिखा- अलविदा वाई (भाई)। उन्होंने कहा कि कुछ लोगों ने जिम्मेदारी न निभाते हुए नाम की गलती के चलते और जल्दबाजी में उनको ही मार दिया। ऐसे मामलों में लोगों को अपनी जिम्मेदारी समझनी चाहिए। पंजाबी सिंगर हरमन सिद्धू की 2 दिन पहले सड़क हादसे में मौत हो गई थी। उनकी कार की एक ट्रक से टक्कर हो गई थी। पढ़ें हरजीत हरमन ने अपनी पोस्ट में क्या लिखा... मित्तरां दा नां चलदा से हिट हुए हरजीत हरमनपंजाब के नाभा में पैदा हुए हरजीत हरमन ने पंजाबी म्यूजिक इंडस्ट्री में 2002 से डेब्यू किया। उनकी पहली एलबम जंजीर थी। इसका गीत मित्तरां दा ना चलदा, इतना हिट हुआ कि पंजाब के बच्चे-बच्चे की जुबान पर चढ़ गया। इसके बाद हरजीत हरमन ने एक के बाद एक कई हिट सांग दिए। हरजीत हरमन 100 से ज्यादा गीत गा चुके हैं। इस दिनों हरजीत हरमन नए गीतों की रिलीजिंग से ज्यादा स्टेज शो करते हैं। रोजाना होने वाले अपने स्टेज शो की वीडियो अपने इंस्टा अकाउंट पर शेयर करते हैं। ट्रक में टक्कर लगने से हुई थी हरमन सिद्धू की मौतपंजाबी सिंगर हरमन सिद्धू की 2 दिन पहले सड़क हादसे में मौत हो गई थी। हादसा शुक्रवार रात करीब 12 बजे हुआ। उनकी कार एक ट्रक से टकरा गई थी, जिससे मौके पर ही उनकी मौत हो गई। हरमन सिद्धू मानसा से अपने गांव ख्याला जा रहे थे। मानसा पुलिस ने मौके पर पहुंचकर शव को सिविल अस्पताल पहुंचाया और परिवार को सूचित किया। हरमन सिद्धू का उनके गांव ख्याला में अंतिम संस्कार किया गया।हरमन सिद्धू की मौत से पंजाबी म्यूजिक इंडस्ट्री में शोक की लहर है। ------------------------ यह खबर भी पढ़ें... पंजाबी सिंगर हरमन की एक्सीडेंट में मौत, घर लौटते वक्त ट्रक से टकराई कार, शूटिंग से लौट रहे थे; मिस पूजा संग हिट हुई थी जोड़ी पंजाबी सिंगर हरमन सिद्धू की देर रात सड़क हादसे में मौत हो गई। हादसा शुक्रवार रात करीब 12 बजे हुआ। उनकी कार एक ट्रक से जा टकराई, जिससे मौके पर ही उनकी मौत हो गई। रात के वक्त हरमन सिद्धू मानसा से अपने गांव ख्याला जा रहे थे। (पूरी खबर पढ़ें)

दैनिक भास्कर 24 Nov 2025 12:01 pm

टीवी इंडस्ट्री के पॉपुलर कपल संदीप बसवाना-अश्लेषा ने की शादी:23 सालों से रिलेशनशिप में थे, वृंदावन में की इंटीमेट वेडिंग, देखिए शादी की तस्वीरें

टीवी इंडस्ट्री के पॉपुलर कपल में से एक अश्लेषा सावंत और संदीप बसवाना 16 नवंबर को शादी के बंधन में बंध गए हैं। दोनों पिछले 23 सालों से रिलेशनशिप में थे। कपल ने वृंदावन के चंद्रोदय मंदिर में एक इंटीमेट वेडिंग की है, जिसमें महज करीबी रिश्तेदार और दोस्त ही शामिल हुए थे। संदीप और अश्लेषा ने शादी के करीब एक हफ्ते बाद तस्वीरें पोस्ट कर विवाह सूत्र में बंधने की आधिकारिक घोषणा की है। कपल ने तस्वीरों के साथ लिखा है- और इस तरह, हम अपने नए सफर में कदम रख रहे हैं, मिस्टर और मिसेज के रूप में। परंपरा ने हमारे दिलों में अपनी जगह बना ली। हम अपने जीवन में मिले हर आशीर्वाद के लिए आभारी हैं। देखिए संदीप-अश्लेषा की शादी की तस्वीरें- 23 सालों से रिलेशनशिप में थे संदीप-अश्लेषा शादी के बाद ई-टाइम्स को दिए इंटरव्यू में संदीप ने बताया है कि वो अप्रैल में वृंदावन गए थे, जहां उन्हें राधा-कृष्ण मंदिर से खास कनेक्शन महूसस हुआ। इस सफर ने उन्हें 23 सालों तक रिलेशनशिप में रहने के बाद शादी करने के लिए इंस्पायर किया। यही वजह है कि उन्होंने वृंदावन में ही शादी की है। संदीप ने ये भी बताया है कि इस शादी से उनके पेरेंट्स बेहद खुश हैं, क्योंकि वो लंबे समय से उनकी शादी का इंतजार कर रहे थे। एक्टर ने ये भी कहा कि वो लोगों को ये जवाब देते हुए थक चुके थे कि वो शादी क्यों नहीं कर रहे हैं। क्योंकि सास भी कभी बहू थी के सेट पर हुई पहली मुलाकात अश्लेषा सावंत और संदीप बसवाना की पहली मुलाकात पॉपुलर टीवी शो क्योंकि सास भी कभी बहू थी के सेट पर हुई थी। साथ काम करते हुए दोनों एक दूसरे को पसंद करने लगे और फिर रिलेशनशिप में आ गए। संदीप को आखिरी बार टीवी शो अपोलीना में देखा गया था, जबकि अश्लेषा इन दिनों झनक शो में नजर आ रही हैं।

दैनिक भास्कर 24 Nov 2025 10:30 am

बॉलीवुड एक्ट्रेस पद्मिनी कोल्हापुरे IGM में पहुंचेंगी आज:श्रीकृष्ण की लीलाओं पर बेस्ड नाटिका करेंगी प्रस्तुत, कुरुक्षेत्र महोत्सव कार्यक्रम

हरियाणा के कुरुक्षेत्र जिले में चल रहे अंतरराष्ट्रीय गीता महोत्सव (IGM) में आज सोमवार से मुख्य कार्यक्रम का शुभारंभ हो गया। एक दिसंबर तक चलने वाले कार्यक्रमों हर दिन बॉलीवुड, सूफी और टीवी कलाकार अपनी सांस्कृतिक और आध्यात्मिक प्रस्तुति देंगे। आज पहले ही दिन शाम को बॉलीवुड की सदाबहार अभिनेत्री पद्मिनी कोल्हापुरे (60) अपनी मनमोहक प्रस्तुति देंगी। वे भगवान श्रीकृष्ण के जीवन और उनकी दिव्य लीलाओं को जीवंत करने की कोशिश करेंगी। वे श्रीकृष्ण की लीलाओं पर बेस्ड नृत्य नाटिका से प्रस्तुत करेंगी। इस प्रस्तुति को गीता ग्रुप ऑफ आर्ट्स के सहयोग से तैयार किया गया है। इसके निर्देशक अर्पित शर्मा और प्रांजलि हैं। महोत्सव में आने को लेकर उत्साहित महोत्सव में आने को लेकर पद्मिनी कोल्हापुरे काफी उत्साहित है। कुछ दिन पहले अपना एक वीडियो भी शेयर किया, जिसमें उन्होंने कहा, जय श्रीकृष्णा। कुरुक्षेत्र के अंतरराष्ट्रीय गीता महोत्सव में 24 नवंबर को कृष्ण नाट्य प्रस्तुति देने आ रही हूं। गीता ग्रुप ऑफ आर्ट्स के साथ... इसके निर्देशक अर्पित शर्मा और प्रांजलि को इस शो में मुझे बुलाने के लिए धन्यवाद। डायरेक्टर जनरल, आर्ट एंड कल्चर अफेयर्स। भक्ति और कला की धरोहर 80 के दशक की आइकोनिक अभिनेत्री पद्मिनी कोल्हापुरे का नाम ही रोमांस, संगीत और नृत्य से जुड़ा रहा। उनका जन्म एक संगीतमय परिवार में हुआ। उनके पिता प्रसिद्ध संगीतकार पंडित पंढरीनाथ कोल्हापुरे थे। बचपन से ही उन्होंने चाइल्ड सिंगर के रूप में सफर शुरू किया। 2024 में गाया मेरे कन्हैया 2024 में रिलीज हुए उनके भजन मैं तेरी आंखों में डूबी रहूं मेरे कन्हैया उनके फैन के दिलों में बस गया। यह भजन उनकी कृष्ण भक्ति को भी दिखाता है। पुरानी फिल्मों में भी उनका कृष्ण धरती पे आजा तू गीत के साथ उनका भगवान कृष्ण से जुड़ाव दर्शाता है। परंपरा का सिलसिला पिछले साल मीनाक्षी शेषाद्री ने द्रौपदी डांस ड्रामा से दर्शकों को दिल जीता था। 2019 में अमीषा पटेल ने देवी रुक्मिणी के विवाह पर आधारित नृत्य नाटिका प्रस्तुत की, जिसमें उन्होंने रुक्मिणी का और अर्पित शर्मा ने श्रीकृष्ण का किरदार निभाया था। ड्रीम गर्ल भी दे चुकीं प्रस्तुति साल 2016 में 'ड्रीम गर्ल हेमा मालिनी ने अपने नृत्य की प्रस्तुति दी थी। उन्होंने द्रौपदी नृत्य प्रस्तुति से महोत्सव में रस भर दिया था। आज भी उनकी तस्वीरें महोत्सव का आकर्षण बनी हुई हैं। इस बार पद्मिनी कोल्हापुरे की एंट्री से महोत्सव का रंग और भी निखर जाएगा।

दैनिक भास्कर 24 Nov 2025 7:27 am

सलीम खान ने असल जिंदगी से गढ़ा ‘मौसी वाला सीन’:'शोले' के डायरेक्टर रमेश सिप्पी बोले- सलीम खान ने दोस्त की शादी का अनुभव लिखा था

हिंदी सिनेमा के दिग्गज लेखक सलीम खान ने 1970 और 1980 के दशक में शोले, जंजीर और सीता और गीता जैसी कई सुपरहिट फिल्में लिखी हैं। आज यानी सोमवार को सलीम खान अपना 90वां जन्मदिन मना रहे हैं। इस खास मौके पर फिल्म शोले के डायरेक्टर रमेश सिप्पी ने दैनिक भास्कर के साथ बातचीत में उनसे जुड़ी कई यादें शेयर कीं। रमेश सिप्पी ने कहा कि सलीम और जावेद दोनों संग नाता मेरी पहली फिल्म अंदाज की मेकिंग के दौरान शुरू हुआ। मैं फिल्म के आधे रास्ते पर था जब सलीम साहब और जावेद साहब मेरे ऑफिस आए। उनसे मुलाकात हुई और फिर मैंने उन्हें स्टोरी डिपार्टमेंट में रखा। हमने उन्हें मासिक 750 रुपए का वेतन देना शुरू किया यानी दोनों को मिलाकर 1500 रुपए का पैकेज था। रमेश सिप्पी ने आगे बताया कि बाद में जब हम तीनों की जर्नी कामयाब रही और हमने साथ में आगे और भी काम किया तो वह रकम 10 लाख रुपए तक भी गई। साल 1971 में अप्रैल में फिल्म अंदाज की सफलता के तुरंत बाद, जुलाई में फिल्म सीता और गीता पर काम शुरू हो गया, जिससे उनकी यह साझेदारी तेजी से आगे बढ़ी। सलीम साहब का स्क्रीनप्ले विजन और डायलॉग्स पर जावेद का असर रमेश सिप्पी ने बताया कि सलीम-जावेद बतौर टीम की साझेदारी में दोनों का योगदान विशिष्ट था। वे दोनों ही बहुत अच्छे थे। डिस्कशन और स्क्रीनप्ले पर सलीम साहब काफी ज्यादा ध्यान देते थे और उनका योगदान प्रमुख था। हां, कुछ चीजों के लिए डायलॉग्स भी, लेकिन डायलॉग्स पर ज्यादा पकड़ जावेद साहब की थी। सलीम खान की मुख्य यूएसपी हमेशा स्क्रीनप्ले को लेकर रही। सिप्पी ने आगे बताया कि मैंने उन्हें जॉइंट राइटिंग का क्रेडिट दिया था, लेकिन जब डायलॉग पर भी बैठते थे, सुनते थे, तो कोई सजेशन इधर-उधर हुआ तो इन्कॉरपोरेट हो जाता था। आप सोचिए, उस दौर में साथ चलना बड़ा मुश्किल था, लेकिन हम तीनों एक टीम की तरह काम करते थे। वेस्टर्न सिनेमा से प्रेरणा और समान सोच रमेश सिप्पी ने बताया कि हम तीनों के लिए जो वेस्ट की फिल्में थीं, उनका हमारी जर्नी में काफी कॉन्ट्रीब्यूशन था, क्योंकि वो हमारी अपब्रिंगिंग का हिस्सा थीं। बेशक, हिंदी सिनेमा का सर्वश्रेष्ठ काम भी, चाहे वह मुगले-आजम हो, मदर इंडिया हो, या कोई भी बेहतरीन काम हम अच्छे सिनेमा के हमेशा शौकीन रहे। हम तीनों की सोच एक जैसी थी। इसीलिए साथ काम करने में मजा आ रहा था। जब सफलता मिली तो यह हमारे लिए और भी बड़ा प्रोत्साहन बना कि हम और आगे बढ़ें। मैंने और सलीम-जावेद के साथ मिलकर कुल चार-पांच फिल्मों पर काम किया, जिसके बाद यह जोड़ी अलग हुई। अंडरवर्ल्ड के उदय से 'अकेला' का जन्म रमेश सिप्पी ने बताया कि सलीम-जावेद के अलग होने के बाद, मैंने जावेद साहब के साथ 'सागर' और सलीम साहब संग फिल्म 'अकेला' की थी। फिल्म अकेला की कहानी डिस्कशन में टफ कहानी की बात हुई। बैठे, डिस्कशन हुई और जैसे स्क्रिप्ट बनती है, वैसे बनी। उस वक्त अंडरवर्ल्ड काफी एक्टिव था, खासकर बॉम्बे में। जब एक मजबूत अंडरवर्ल्ड होता है, तो उसके सामने खड़े होने के लिए एक मजबूत कॉप की जरूरत महसूस होती है। इसी जरूरत से अमिताभ बच्चन के उस मजबूत किरदार को बल मिला, जिसने फिल्म में जान डाल दी। सलीम खान के स्वभाव को लेकर रमेश सिप्पी ने बताया कि दिन में जब हम काम करते थे, तो कोई जाम-वाम की बात नहीं होती थी। डिस्कशन के बाद अगर रात को मीटिंग एक्सटेंड होती थी या रात को डिस्कशन के लिए बैठते थे, तो उसके बाद थोड़ी-बहुत बातचीत होती थी। हमने कभी ड्रिंक्स को काम से मिक्स नहीं किया, न जावेद साहब के साथ, न उनके साथ। रचनात्मक संघर्ष कम, आपसी सहमति ज्यादा सलीम साहब के साथ रचनात्मक संघर्ष (Creative Conflict) पर बात करते हुए रमेश सिप्पी ने बताया कि डिस्कशन हुआ करते थे, लेकिन कॉन्फ्लिक्ट बहुत कम हुआ। हम ज्यादातर चीजों पर सहमत हो जाते थे। अगर किसी एक का पॉइंट ऑफ व्यू स्ट्रांग हुआ, तो बाकी दो डिस्कशन करते थे और या तो वो मान जाता था या हम मान जाते थे। फाइनल डिसीजन हमेशा इसी बात पर होता था कि यही सही है क्योंकि फिल्म तो मुझे बनानी है। सलीम-जावेद जब तक साथ रहे तो उस दौर में अकेले ही लिखते थे और आजकल की तरह कोई बड़ी राइटिंग टीम नहीं रखते थे। रमेश सिप्पी ने बताया कि फिल्म दीवार में ‘तुम्हारे पास क्या है? मेरे पास मां है’, यह जो फेमस लाइन है, यह सलीम साहब ने लिखी थी। मौसी वाला सीन: एक रियल-लाइफ इंसीडेंट सलीम खान की लेखन शैली पर बात करते हुए रमेश सिप्पी ने बताया कि उनकी लेखन शैली में वास्तविक जीवन की घटनाओं को शामिल करने की आदत थी, जैसा कि ‘शोले’ के मौसी वाले सीन में हुआ। वो मौसी का सीन ऐसा था कि सलीम साहब अपने एक दोस्त के रिश्ते के लिए उस लड़की की मां से मिलने गए थे, जो कि उस रिश्ते के खिलाफ थीं। उनको समझाने गए, तो समझाते-समझाते ऐसी भी बातें हुईं कि 'हां, शराब तो पीते हैं' और 'एक तो वो है और वो है'... इस टाइप का सीन हुआ था वहां। यह एक रियल-लाइफ थिंग है। सलीम खान के निजी जीवन के बारे में बात करते हुए सिप्पी ने बताया कि उन्हें जन्मदिन पर किस तरह का सेलिब्रेशन पसंद था। उन्होंने बताया कि उनका सेलिब्रेशन आमतौर पर बहुत ही क्लोज होता था। मोस्टली जस्ट वन्स इन ए व्हाइल ही कोई बड़ा इवेंट होता था, बट ज्यादातर 8-10 या 12 लोग होते थे, कोई बहुत बड़ा नहीं। फिल्में फटाफट हुईं, 'शान' में लगा थोड़ा ज्यादा वक्त रमेश सिप्पी ने बताया कि शोले की स्क्रिप्ट सलीम-जावेद ने मिलकर 15 दिनों में लिख दी थी। इसके अलावा सीता और गीता भी फटाफट हो गई थी। हालांकि, फिल्म शान में थोड़ा ज्यादा वक्त लगा। शान में तकरीबन दो-तीन महीना लगा होगा क्योंकि वो एपिसोड्स थे, सीक्वेंसेस थे। वन लाइनर’ (कहानी का सार) तो क्लियर थी, लेकिन उसमें ट्रक का सीन है, एक्शन थे, तो उस हिसाब से काम करने में थोड़ा टाइम लगा। रमेश सिप्पी ने आगे बताया कि शान पर सब मिलजुल कर काम होता था। माहौल ऐसा होता था कि कोई एक सेंट्रलाइज्ड नहीं होता था, मिलकर बातें करते थे, मिलकर फ़ैसला होता था कि 'हां, ये अच्छा लगेगा'। उसको फिर डेवलप किया जाता था और अगर करेक्शन की जरूरत थी तो करते थे, वर्ना जैसे आ गया, फर्स्ट क्लास।

दैनिक भास्कर 24 Nov 2025 5:30 am

सिद्धू मूसेवाला के नए सॉन्ग 'बरोटा' का पोस्टर रिलीज:अगले हफ्ते आएगा, पेड़ पर बंदूके लटकी दिखाई; परिवार की थ्रीडी शो की योजना

पंजाबी सिंगर सिद्धू मूसेवाला का नया सॉन्ग रिलीज होने वाला है। सोशल मीडिया पर इसका एक पोस्टर भी रिलीज किया गया है। पोस्टर में एक बड़े पेड़ के साथ रस्सियों के सहारे बंदूकों को उल्टा लटकाया गया है। पोस्टर रिलीज होने से पहले ही फैंस के बीच इसका क्रेज बढ़ गया है। सिद्धू को चाहने वाले पोस्टर को देख कयास लगा रहे हैं। मूसेवाला के पिता बलकौर सिंह का कहना है कि 30 नवंबर या इससे पहले सॉन्ग को रिलीज किया जाएगा। इसकी शूटिंग पूरी हो गई है। अब बस रिलीज डेट फाइनल करनी है। इस ट्रैक का नाम 'बरोटा' रखा गया है।उन्होंने बताया कि इस गाने की रिलीज के साथ ही सिद्धू मूसेवाला के फैंस को एक खास तोहफा भी दिया जाएगा। परिवार अब एक विशेष होलोग्राम परफॉर्मेंस की योजना भी बना रहा है, जिसके जरिए फैंस को स्टेज पर मूसेवाला की मौजूदगी का एक अनूठा अनुभव मिलेगा। इस होलोग्राम शो को इटली के आर्टिस्ट तैयार कर रहे हैं। बीते हफ्ते बलकौर सिंह खुद इसकी तैयारी देखने इटली गए थे। जनवरी में इस टूर का 3-डी होलोग्राम शो रिलीज होगा। इसका नाम साइन टू गॉड रखा गया है। पिता बोले-मूसेवाला के संगीत के सफर को जिंदा रखेंगेनए गीत को लेकर सिद्धू मूसेवाला के पिता ने कहा कि वह सिद्धू के संगीत के सफर को जिंदा रखेंगे। उसने जितने भी गीत अपनी डायरी में लिखे हैं, उनको हर साल एक-एक कर रिलीज करते रहेंगे। अगले 30 साल तक का तो उनके पास सॉन्ग का खजाना है। नए गीत और होलोग्राम शो को लेकर फैंस में क्रेजसोशल मीडिया पर फैंस पहले ही 'बरोटा' को लेकर अपनी उत्सुकता जाहिर कर चुके हैं। बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं कि यह नया ट्रैक उनके लीजेंडरी म्यूजिक कैटलॉग में क्या नया जोड़ेगा। अपने हालिया इंटरव्यू के दौरान, बलकौर सिंह सिद्धू ने फैंस के साथ भावुक पोस्ट साझा की। उन्होंने खुलासा किया कि कुछ दिनों में लाखों फैंस का इंतजार लगभग खत्म होने वाला है। शूटिंग पूरी, फाइनल एडिटिंग बचीबलकौर सिंह ने कहा कि नए गीत बरोटा की शूटिंग पूरी हो चुकी है। टीम अब फाइनल एडिटिंग में व्यस्त है और एक बार जब सब कुछ फाइनल होकर तैयार हो जाएगा, तो ट्रैक रिलीज कर दिया जाएगा। मई 2022 में मूसेवाला के निधन के बाद से उनके कई अन रिलीज्ड ट्रैक रिलीज किए जा चुके हैं, जिन्हें सोशल मीडिया पर अच्छी खासी प्रेजेंस मिली। इनमें SYL, वार और द लास्ट राइड जैसे गाने शामिल हैं।

दैनिक भास्कर 24 Nov 2025 5:00 am

IFFI में अनुपम खेर की मास्टरक्लास रही खास:फिल्म फेस्टिवल में एक्टर बोले- जिंदगी में हार मानना विकल्प नहीं

56वां इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल ऑफ इंडिया (IFFI) गुरुवार से गोवा में शुरू हो गया है। इस नौ दिन के मेगा इवेंट में 81 देशों की 240 से ज्यादा फिल्में दिखाई जा रही हैं। रविवार को फिल्म फेस्टिवल के दौरान एक्टर अनुपम खेर ने अपनी मास्टरक्लास ‘गिविंग अप इज नॉट अ चॉइस’ में सैकड़ों लोगों को अपनी बातों से बांधे रखा। सेशन की शुरुआत में अनुपम खेर ने अपनी फिल्म सारांश का किस्सा सुनाया। उन्होंने बताया कि शूटिंग शुरू होने से कुछ दिन पहले ही उनसे फिल्म की लीड भूमिका छीन ली गई थी। इस फैसले से वे टूट गए और मुंबई छोड़ने का मन बना लिया। उन्होंने बताया कि जाने से पहले वे फिल्म के डायरेक्टर महेश भट्ट से आखिरी बार मिलने गए। अनुपम ने कहा कि जब भट्ट ने उनका रिएक्शन देखा, तो उन्होंने फैसला बदला और रोल वापस दे दिया। यह फिल्म उनके करियर का टर्निंग पॉइंट साबित हुई। अनुपम ने कहा कि सारांश ने मुझे सिखाया कि कभी हार नहीं माननी चाहिए। हार की शुरुआत ही सफलता की पहली सीढ़ी होती है। उन्होंने आगे कहा कि मेरे सभी मोटिवेशनल स्पीच मेरी अपनी जिंदगी के अनुभवों पर आधारित हैं। सेशन के दौरान अनुपम खेर ने अपनी लाइफ के कई उदाहरण दिए। उन्होंने बताया कि वे एक छोटे घर में 14 लोगों के साथ रहते थे। उनके दादा बहुत खुशमिजाज इंसान थे। उन्होंने सिखाया था कि खुशी बड़ी चीजों से नहीं, बल्कि छोटी-छोटी बातों से मिलती है। अनुपम खेर ने अपने बचपन की एक याद शेयर की। उनके पिता फॉरेस्ट डिपार्टमेंट में क्लर्क थे। एक बार जब उन्होंने मार्कशीट देखी तो पता चला कि अनुपम क्लास में 60 में से 58वें नंबर पर थे। अनुपम ने बताया, “पापा नाराज नहीं हुए। उन्होंने कहा कि जो बच्चा हमेशा पहले आता है, उसे अपने रिजल्ट को बनाए रखने का दबाव रहता है, लेकिन जो 58वें नंबर पर है, उसके पास सुधार की बहुत जगह है। अगली बार 48वां नंबर लाना। अपनी ही बायोपिक के हीरो बनो: अनुपम खेरसेशन के दौरान अनुपम खेर ने समझाया कि पर्सनैलिटी का मतलब यह नहीं कि आप दूसरों जैसे बनें, बल्कि खुद से खुश रहें। उन्होंने लोगों से कहा कि खुद पर भरोसा रखें और अपनी लाइफ की कहानी के लीड कैरेक्टर बनें। अनुपम ने सवाल किया, “जिंदगी आसान क्यों होनी चाहिए? मुश्किलें ही आपकी बायोपिक को सुपरहिट बनाती हैं।” सेशन के आखिर में अनुपम ने कहा कि ‘गिविंग अप इज नॉट अ चॉइस’ सिर्फ एक लाइन नहीं, बल्कि मेहनत से भरी सच्चाई है। उन्होंने कहा, “अगर आप कुछ चाहते हैं, तो आपको मेहनत करनी होगी, त्याग करना होगा और खुद को समझाना होगा। निराशा आएगी, लेकिन अगर आप हार मान गए, तो कहानी वहीं खत्म हो जाती है।”

दैनिक भास्कर 23 Nov 2025 8:15 pm

मुकेश अंबानी का 'एंटीलिया' अंदर से कैसा है?:वहां काम कर चुके कुक ने अर्चना पूरन सिंह के पूछने पर बताया

मुकेश अंबानी और नीता अंबानी के घर एंटीलिया को लेकर कई लोगों के मन में यह सवाल होता है कि यह घर अंदर से कैसा दिखता है, उसमें क्या-क्या सुविधाएं हैं और वहां रहना कैसा होता है। यही सवाल एक्ट्रेस और कॉमेडियन अर्चना पूरन सिंह के मन में भी आया। हाल ही में जब वह अपने पति परमीत सेठी और दोनों बेटों के साथ दिल्ली घूमने पहुंचीं, तो उन्होंने इस सवाल का जवाब जानने की कोशिश की। दरअसल, अर्चना पूरन सिंह का यह दिल्ली ट्रिप उनके यूट्यूब व्लॉग का हिस्सा था। इस यात्रा में उन्होंने और उनके परिवार ने दिल्ली की मशहूर लोकल डिशेज, खासकर छोले-भटूरे, ट्राई करने का फैसला किया। उनका पहला पड़ाव था कमला नगर, जो स्ट्रीट फूड के लिए मशहूर है। यहां उन्होंने छोले-भटूरे का स्वाद लिया और ताजी छाछ का लुत्फ उठाया। इसके बाद वे पहाड़गंज के एक फेमस रेस्टोरेंट पहुंचे, जो 1950 से चल रहा है। वहां के मालिक ने बताया कि यह दुकान उनके दादा ने शुरू की थी। रेस्टोरेंट में अंबानी के कुक से मिलीं अर्चना यहीं अर्चना और उनके परिवार की मुलाकात एक ऐसे कुक से हुई जिसने न केवल बॉलीवुड स्टार्स शाहरुख खान और सलमान खान के लिए खाना बनाया था, बल्कि अंबानी परिवार के लिए भी काम किया था। उसने बताया कि छोले-भटूरे पकाने के शौक में वह श्रीलंका, बहरीन, दुबई, स्पेन और फ्रांस तक घूम चुके हैं। यह सुनकर अर्चना हैरान रह गईं और मुस्कुराते हुए बोलीं, “ये तो ऐसी जगह गए हैं, जहां मैं भी नहीं गई।” बातों-बातों में जब उस कुक ने बताया कि वह एक महीने तक अंबानी परिवार के घर एंटीलिया में रहे थे और वहीं खाना बनाते थे, तो अर्चना की जिज्ञासा और बढ़ गई। उन्होंने तुरंत पूछा, “भैया, अंदर से कैसा है एंटीलिया?” कुक ने जवाब दिया, “अच्छा है।” बता दें कि मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, मुकेश अंबानी के एंटीलिया की कीमत करीब 15,000 करोड़ रुपए है। इसमें 27 मंजिलें, तीन हैलीपैड, 168 कारों की पार्किंग, एक मंदिर, स्पा, जिम, थिएटर, आइसक्रीम पार्लर और यहां तक कि एक स्नो रूम भी है। कहा जाता है कि यह इमारत 8.0 तीव्रता तक के भूकम्प को झेलने के लिए डिजाइन की गई है।

दैनिक भास्कर 23 Nov 2025 7:00 pm

नमांश स्याल के निधन पर सेलेब्स ने जताया दुख:कमल हासन बोले– विंग कमांडर की मौत से दुखी, सोनू सूद-अदनान सामी ने भी दी श्रद्धांजलि

एक्टर कमल हासन, सोनू सूद और सिंगर अदनान सामी ने विंग कमांडर नमांश स्‍याल के निधन पर शोक जताया है। स्याल की मौत शुक्रवार को दुबई एयर शो के दौरान हुई थी। कमल हासन ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा, “विंग कमांडर नमांश स्याल की दुखद मौत से बेहद दुखी हूं। उन्होंने हमारे भारतीय वायुसेना के गर्व ‘तेजस’ को दुनिया के सामने पेश करते हुए अपना बलिदान दिया।” उन्होंने आगे लिखा, “भारत का एक बहादुर बेटा बहुत जल्दी चला गया। उनके परिवार और प्रियजनों के प्रति मेरी गहरी संवेदनाएं। इस असीम दुख की घड़ी में पूरा देश आपके साथ खड़ा है।” एक्टर सोनू सूद ने भी एक्स पर कमांडर स्याल की तस्वीरें और विमान दुर्घटना की एक फोटो शेयर करते हुए लिखा, “आज भारत ने विंग कमांडर नमांश स्याल को खो दिया, एक बहादुर तेजस पायलट, जिसने अपने देश के लिए उड़ान भरते हुए प्राण न्योछावर कर दिए। उनका साहस और बलिदान हमेशा याद रखा जाएगा। सच्चे हीरो को सलाम। जय हिंद।” सिंगर अदनान सामी ने भी श्रद्धांजलि देते हुए लिखा, “विंग कमांडर नमांश स्याल की दुखद मौत से बेहद दुखी हूं। भगवान उनकी आत्मा को शांति दें।” बता दें कि शुक्रवार को दुबई एयरशो में क्रैश हुए तेजस एयरक्राफ्ट के पायलट नमांश स्‍याल की मौत हो गई। तेजस लाइट कॉम्बैट एयरक्राफ्ट LCAMk-1 फाइटर जेट हवा में कलाबाजियां कर रहा था। तभी हजारों दर्शकों और सैकड़ों कैमरों के सामने तेजस जमीन से जा टकराया। पिता भी भारतीय सेना के रिटायर्ड अधिकारी नगरोटा बगवां के रहने वाले विंग कमांडर नमांश स्याल अपने अनुशासन और बेहतरीन सेवा के लिए जाने जाते थे। उनके परिवार में उनकी पत्नी भी एयर फोर्स में अधिकारी है। परिवार में एक 7 साल की बेटी और उनके माता-पिता हैं । नमांश के पिता जगन्नाथ स्याल भारतीय सेना के मेडिकल कोर से रिटायर हैं और हिमाचल प्रदेश शिक्षा विभाग में प्रिंसिपल हैं। मां बीना देवी हाउस वाइफ हैं। दुर्घटना के समय उनके माता-पिता हैदराबाद घूमने गए थे। वहां ही उन्हें ये जानकारी मिली। यूट्यूब पर एयर शो का वीडियो सर्च कर रहे थे पिता जगन्नाथ स्याल ने एक मीडिया ग्रुप से बात करते हुए कहा था, 'आखिरी बार अपने बेटे से गुरुवार को बात की थी। उसने मुझे अपना एयर शो टीवी या यूट्यूब पर देखने के लिए कहा था। शुक्रवार की शाम चार बजे मैं यूट्यूब पर एयर शो का वीडियो सर्च कर रहा था। तभी मैंने प्लेन क्रैश की रिपोर्ट देखी। एयर फोर्स के 6 अधिकारी हमारे घर पहुंचे और मैं समझ गया कि कुछ गड़बड़ हुई है।' इंड‍ियन एयरफोर्स और रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने X पर पोस्‍ट कर विंग कमांडर नमांश स्‍याल की मौत पर दुख जताया।

दैनिक भास्कर 23 Nov 2025 5:39 pm

अक्षय की मां का रोल करने पर का पछतावा:शेफाली शाह बोलीं- अपनी कब्र खोदी, अमिताभ बच्चन ने दिया था सुझाव, पति विपुल शाह ने किया था इनकार

साल 2005 में रिलीज हुई फिल्म वक्त में शेफाली शाह ने 6 साल बड़े एक्टर अक्षय कुमार की मां का किरदार निभाया था, जिस पर एक्ट्रेस ने पछतावा जाहिर किया है। शेफाली ने बताया है कि अमिताभ बच्चन ने उनके पति और इस के डायरेक्टर विपुल शाह को शेफाली को कास्ट करने का सुझाव दिया था। हालांकि शेफाली के पति नहीं चाहते थे कि वो ये रोल करें। हाल ही में टाइम्स नाऊ को दिए इंटरव्यू में शेफाली से फिल्म वक्त में हुई उनकी कास्टिंग पर सवाल किया गया। उनसे पूछा गया कि क्या ये उनके करियर का सेटबैक था। इस पर शेफाली ने कहा- 'बिल्कुल'। जब उनसे पूछा गया कि क्या उनके पति ने उनसे ये करवाया था। इस पर शेफाली ने कहा- 'नहीं, उन्होंने मुझसे कहा था कि ये मत करना। अमित जी (अमिताभ बच्चन) ने उन्हें सलाह दी थी कि आप शेफाली को इस रोल के लिए तैयार क्यों नहीं करते। उन्होंने कहा था, नहीं, मुझे नहीं लगता कि उस पर जमेगा।' आगे शेफाली ने कहा, 'एक दिन मैंने अपने बालों में पाउडर डाला और कहा कि देखो, मैं बूढ़ी और मैच्योर लग रही हूं। उन्होंने (विपुल शाह) ने कहा, मैंने तुमसे कहा था कि तुम ये मत करो। लेकिन मैंने कहा, नहीं मुझे करना है। मैंने अपनी ही कब्र खोदी।' शेफाली शाह ने बातचीत में कहा है कि इस फिल्म के बाद एक अच्छे रोल के लिए उन्हें लंबा इंतजार करना पड़ा था। उन्होंने ये भी कहा कि ऐसी एक-दो फिल्मों के अलावा उन्हें अपने करियर की फिल्मों पर गर्व है, जिनमें गांधी माय फादर, द लास्ट लियर, वन्स अगेन, थ्री ऑफ अस जैसी फिल्में भी शामिल हैं। बता दें कि शेफाली शाह इन दिनों पॉपुलर सीरीज दिल्ली क्राइम के तीसरे सीजन में नजर आ रही हैं। ये सीरीज 13 नवंबर को नेटफ्लिक्स में रिलीज हुई है, जिसमें हुमा कुरैशी भी अहम किरदार निभा रही हैं। इस सीरीज के पिछले 2 सीजन बेहद हिट रहे हैं।

दैनिक भास्कर 23 Nov 2025 3:30 pm

प्रभास की फिल्म स्पिरिट की शूटिंग शुरू:मुहूर्त पर चिरंजीवी रहे मौजूद, दीपिका पादुकोण के बाहर होने से फिल्म सुर्खियों में आई थी

सुपरस्टार प्रभास की अपकमिंग फिल्म स्पिरिट आखिरकार फ्लोर पर आ गई है। फिल्म का मुहूर्त कार्यक्रम मेगास्टार चिरंजीवी की मौजूदगी में आयोजित किया गया, जहां पूरी टीम ने पहले शूटिंग शेड्यूल की शुरुआत की। ‘स्पिरिट’ को टी-सीरीज और भद्रकाली पिक्चर्स मिलकर बना रहे हैं। फिल्म का डायरेक्शन संदीप रेड्डी वांगा कर रहे हैं, जिन्होंने इससे पहले कबीर सिंह और एनिमल जैसी ब्लॉकबस्टर फिल्में दी हैं। फिल्म में प्रभास के साथ पहली बार तृप्ति डिमरी नजर आएंगी। एनिमल में अपने दमदार प्रदर्शन के बाद, तृप्ति अब एक नई जोड़ी के रूप में प्रभास के साथ स्क्रीन शेयर करेंगी। फिल्म में विवेक ओबेरॉय और प्रकाश राज भी अहम भूमिकाओं में दिखेंगे। फिल्म स्पिरिट में प्रभास एक पुलिस अधिकारी की भूमिका निभा रहे हैं। यह फिल्म साल 2026 में रिलीज हो सकती है। दीपिका पादुकोण के कारण फिल्म सुर्खियों में आई बता दें कि स्पिरिट दीपिका पादुकोण की वजह से चर्चा में आई थी और इसका कारण उनके फिल्म में बाहर का होने का विवाद था। कथित तौर से दीपिका की तरफ से आठ घंटे की शिफ्ट, मोटी फीस, प्रॉफिट में हिस्सा और तेलुगु में डायलॉग न बोलने जैसी डिमांड शामिल थी। दीपिका 2024 के सितंबर में मां बनी हैं, इसलिए वो कथित तौर से हफ्ते में बस 5 दिन आठ घंटे की शिफ्ट चाहती थीं। एक्ट्रेस की इन सारी मांगों से संदीप खुश नहीं थे। जिसके बाद उनको फिल्म से बाहर किया गया था।

दैनिक भास्कर 23 Nov 2025 2:11 pm

रोनित रॉय ने लिया सोशल मीडिया से ब्रेक:कहा- परिवार के लिए नया रास्ता बनाना है, प्लीज मुझे भूलना मत; फैंस से माफी भी मांगी

पॉपुलर एक्टर रोनित रॉय ने सोशल मीडिया से ब्रेक ले लिया है। उन्होंने शनिवार को इसकी अनाउंसमेंट करते हुए कहा कि वो ये कदम परिवार के लिए उठा रहे हैं। साथ ही एक्टर ने फैंस से दूरी बनाने पर माफी मांगते हुए उम्मीद की है कि लोग उन्हें न भूलें। रोनित रॉय ने अपने ऑफिशियल इंस्टाग्राम से इसकी घोषणा करते हुए लिखा है, 'हैलो, जो मैं कहने वाला हूं, वह प्यार, समझ और कोमलता की जगह से आ रहा है। आप सब जानते हैं कि मैं आपसे प्यार करता हूं। मैं स्क्रॉल करता हूं, आपकी पोस्ट्स लाइक करता हूं, आपकी पोस्ट्स पर कमेंट करता हूं और जितने मैसेजेस का मैं जवाब दे सकता हूं, देता हूं।' आगे उन्होंने लिखा, 'जो कुछ भी मुझे मिला है, उसके लिए मैं अत्यंत आभारी हूं। मैं हर चीज को संजोकर रखता हूं। खासकर वह प्यार और सम्मान जो मुझे आप सब से मिला है, जिसे मैं संजोकर रखता हूं और अपने दिल के बहुत करीब रखता हूं। हालांकि, मैं जिंदगी के उस मुकाम पर पहुंच गया हूं जहां मुझे अपने और अपने परिवार के लिए नया रास्ता बनाना है। एक ऐसा रास्ता जो उम्मीद है कि मुझे एक बेहतर इंसान, रिश्तों में बेहतर और एक बेहतर अभिनेता की ओर ले जाएगा। यह रास्ता ऐसा है जिस पर मैं पहले नहीं चला हूं। आराम और पुरानी बुरी आदतों को पीछे छोड़ो। कूदो और दायरे से बाहर जीयो। डरावना है, मैं जानता हूं, लेकिन करना जरूरी है।' 'पूरी तरह डिजिटल दूरी मेरे मानसिक और आध्यात्मिक रूप से मजबूत होने और अपने नए रूप को खोजने की असल वजह में से एक है (जिसे उम्मीद है कि आप सब और ज्यादा पसंद करेंगे)। इसलिए कुछ समय के लिए (पता नहीं कितने समय तक) कृपया माफ करें कि मैं सोशल मीडिया पर बिल्कुल भी सक्रिय नहीं रहूंगा।' आखिर में रोनित ने लिखा, 'कहने की जरूरत नहीं कि आपके प्यार से दूर रहकर जीना असंभव है, इसलिए जैसे ही व्यक्तिगत लक्ष्य पूरे हो जाएं और बेहतर आदतें अपनाई और अभ्यास की जाएं, मैं वापस आऊंगा। कृपया मुझे मत भूलना। आप सबको प्यार, और भगवान आप सबको आशीर्वाद दे।' ये पोस्ट करने के बाद रोनित रॉय ने अपना कमेंट सेक्शन भी बंद कर दिया है। रोनित रॉय के इंस्टाग्राम पर 1 मिलियन फॉलोवर्स हैं। करियर की बात करें तो रोनित रॉय आखिरी बार इसी साल रिलीज हुई काजोल स्टारर फिल्म मां में नजर आए हैं। रोनित रॉय ने एक्ट्रेस और मॉडल नीलम सिंह से शादी की थी, जिससे उन्हें एक बेटी आदोर और बेटा अगस्त्या है।

दैनिक भास्कर 23 Nov 2025 11:55 am

ग्लोबल पीस ऑनर्स 2025 में शंकर महादेव ने दी परफॉर्मेंस:मंच पर देशभक्ति में डूबे दिखे शाहरुख-रणवीर और महाराष्ट्र CM देवेंद्र फणडवीस; नीता अंबानी भी पहुंचीं

शनिवार को मुंबई में ग्लोबल पीस ऑनर्स 2025 का आयोजन हुआ है। जिसमें शाहरुख खान, रणवीर सिंह, विक्रांत मेस्सी समेत फिल्म इंडस्ट्री की कई हस्तियां शामिल हुई हैं। पॉपुलर सिंगर शंकर महादेवन ने देशभक्ति सॉन्ग सुनो गौर से दुनियावालों में परफॉर्मेंस दी। इस दौरान मंच पर नीता अंबानी, महाराष्ट्र CM देवेंद्र फणडवीस और उनकी पत्नी नम्रता फणडवीस, शाहरुख खान, विक्रांत मेस्सी, रणवीर सिंह भी मौजूद थे।

दैनिक भास्कर 23 Nov 2025 10:55 am

दिल्ली ब्लास्ट- पहलगाम हमले पर शाहरुख का बयान:शहीदों को श्रद्धांजलि देकर कहा- कोई पूछे क्या करते हो, सीना ठोक कर कहना, देश की रक्षा करता हूं

बॉलीवुड के बादशाह शाहरुख खान शनिवार को ग्लोबल पीस ऑनर्स 2025 का हिस्सा बने। ये कार्यक्रम मुंबई में आयोजित हुआ था। इस दौरान शाहरुख खान ने 26/11, पहलगाम आतंकी हमला और हाल ही में दिल्ली बम ब्लास्ट के शहीदों के लिए भावुक स्पीच दी और शांति का संदेश दिया है। शाहरुख खान ने कहा, '26/11, पहलगाम आतंकी हमला और हाल ही में हुए दिल्ली ब्लास्ट में अपने प्राणों की आहूति देने वाले बेगुनाह लोगों को मेरी विनम्र श्रद्धांजलि। और इन हमलों में शहादत पाने वाले हमारे वीर सुरक्षाकर्मियों को मेरा सादर नमन।' 'आज देश के बहादुर सिपाहियों और जवानों के लिए मुझे कहा गया ये चार लाइनें कहना, जो बहुत खूबसूरत हैं।' जब कोई तुमसे पूछे कि तुम क्या करते हो, तो सीना ठोक कर कहना ‘मैं देश की रक्षा करता हूं।’ पूछे अगर कोई ‘कितना कमा लेते हो?’ तो हल्के से मुस्कुराकर कहना ‘140 करोड़ लोगों की दुआएं कमा लेता हूं।’ और अगर मुड़कर फिर भी तुमसे पूछे ‘कभी डर नहीं लगता?’ तो आंख में आंख डालकर कहना ‘जो हम पर हमला करते हैं, उन्हें लगता है।’ आगे शाहरुख खान ने कहा, 'आज ग्लोबल पीस ऑनर्स के इस मौके पर मैं पूरे देश की तरफ से इन शहीदों के परिवार को भी सलाम करता हूं, उन मांओं को सलाम करना चाहता हूं, जिनकी कोख ने इन बहादुर बेटों को जन्म दिया। उनके पिता के जज्बे को सलाम करना चाहता हूं, उनके पार्टनर्स के हौसले को सलाम करना चाहता हूं, क्योंकि जंग में वो थे, लेकिन लड़ाई आपने भी लड़ी। वो भी बेहद हिम्मत और जांबाजी के साथ। आप सब को मेरा दिल से सलाम।' 'इस देश के बारे में हमेशा कहा जाता है कि भारत कभी झुकता नहीं। हमें कोई रोक नहीं पाया है, हमें हरा नहीं पाया है। हमारे अमन को हमसे कोई छीन नहीं पाया है। क्योंकि जब तक इस देश के सुपरहीरो, वर्दी के लोग हमारी रक्षा कर रहे हैं, तब तक हमारे मुल्क से अमन और शांति को दूर करना मुश्किल ही नहीं नामुमकिन है।' आखिर में शाहरुख ने कहा, 'शांति एक खूबसूरत चीज है, सारी दुनिया दरअसल, इसी को खोजती है, इसे ही पाने की कोशिश में लगी रहती है। शांति ही है, जिसे सारे बड़े-बड़े लोग खोजते हैं, पाना चाहते हैं। शांति से ही विचार जागते हैं, बेहतर सोच जागती है, नए आइडियाज सोचे जाते हैं। चलिए हम सब मिलकर शांति की तरफ कदम बढ़ाएं। अपने आसपास जात-पात, भेदभाव, तेरा-मेरा भूलकर इंसानियत के रास्ते में चलें। ताकि हमारे वीरों की शहादत व्यर्थ न जाए। अगर हमारे बीच शांति होगी, कोई भी चीज भारत को नहीं हिला सकती। कोई भारत को हरा नहीं सकती।'

दैनिक भास्कर 23 Nov 2025 9:33 am

15 तस्वीरों में देखिए उदयपुर की रॉयल वेडिंग:अमेरिकी राष्ट्रपति के बेटे का डांस, माधुरी दीक्षित का घूमर, नोरा फतेही की परफॉर्मेंस

झीलों की नगरी उदयपुर में अमेरिकी अरबपति बिजनेसमैन रामा राजू मंटेना की बेटी नेत्रा मंटेना (एलिजाबेथ) और वामसी गडिराजू की रॉयल वेडिंग हो रही है। आज शादी के मुख्य कार्यक्रम होंगे। इस शादी में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प के बेटे डोनाल्ड ट्रम्प जूनियर अपनी गर्लफ्रेंड बेटिना एंडरसन के साथ शामिल हुए है। सिटी पैलेस में बॉलीवुड स्टार ने परफॉर्मेंस दी। बॉलीवुड एक्ट्रेस माधुरी दीक्षित, जैकलीन फर्नांडीज, कृति सेनन समेत कई स्टार्स ने भी परफॉर्म किया। माधुरी दीक्षित ने जहां घूमर किया वहीं नोरा फतेही ने बॉलीवुड के गानों पर परफॉर्मेंस दी। 15 तस्वीरों में देखिए इस वेडिंग को....

दैनिक भास्कर 23 Nov 2025 7:32 am

रैपिड फायर राउंड:फैमिली मैन 3 के सेट पर क्यों पड़ी शारिब को मनोज बाजपेयी से डांट, निम्रत ने बताया अपनी सीक्रेट नोटबुक का राज

द फैमिली मैन 3 की स्टारकास्ट ने हाल ही में दैनिक भास्कर से खास बातचीत की। इस दौरान टीम ने रैपिड फायर राउंड में कुछ मजेदार जवाब दिए और बताया कि सेट पर सबसे पहले कौन रेडी हो जाता है। इसके अलावा टीम ने शूटिंग के दौरान हुई कुछ यादगार और अच्छी बातें भी शेयर कीं। क्या मनोज सर सेट पर सबसे जल्दी रेडी होते हैं? प्रियामणि: हां, बिल्कुल सही। मनोज- यह बात बिल्कुल सही है। जैसे ही मैं सेट पर पहुंचता हूं, सबसे पहले रेडी हो जाता हूं। मैं ऐसा इसलिए करता हूं ताकि बाद में जल्दीबाजी न करनी पड़े। इसलिए हमेशा पहले ही रेडी हो जाता हूं। क्या शारिब हर इमोशनल सीन से पहले कॉमेडी करते हैं? डीके: एक्शन बोलने तक यह लगातार कॉमेडी करता रहता है। मनोज: हां, एक-दो बार तो मैं गुस्सा भी हुआ हूं। मैंने इसे एक बार बहुत डांटा था। मैं कोई गंभीर सीन कर रहा था, तभी इसने कॉमेडी कर दी। प्रियामणि दूसरे टेक से पहले मैं डायरेक्टर को अपना सुझाव देती हैं? प्रियामणि- नहीं बिल्कुल नहीं क्या निम्रत अपने किरदार के लिए एक सीक्रेट नोटबुक रखती हैं? निम्रत: नहीं, नोटबुक तो रखती हूं, लेकिन यह कोई सीक्रेट नोटबुक नहीं है। क्या राज और डीके इम्प्रोवाइजेशन करने से पहले मना करते हैं? प्रियामणि- नहीं बिल्कुल नहीं। मनोज- इतनी आजादी किसी सेट पर नहीं होती जितनी इनके सेट पर होती है। वे हमेशा कहते हैं, जो भी आप कर रहे हैं वही करिए। बाकी उसको फिल्टर करना हमारा काम है। आप बस अपना काम आराम से कीजिए। अगर आप द फैमिली मैन में नहीं होते, तो किसका किरदार निभाते जेके या रुक्मा? मनोज: अगर मैं ये दोनों सीजन नहीं करता, तो मैं रुक्मा का किरदार निभाता। शारिब अगर आप विलेन होते तो किस तरह के विलेन होते और उसका क्या नाम होता? मनोज- मीरा का रोल निभाता।

दैनिक भास्कर 23 Nov 2025 7:00 am

‘गंगा माई.. ’ में सबसे अलग दुर्गावती:बिना ऑडिशन बनीं ‘रामायणम्’ की कौशल्या, इंदिरा कृष्णन बोलीं- मुझ पर ‘दृश्यम’, ‘बाहुबली’ जैसे रोल सूट करते हैं

एक्ट्रेस इंदिरा कृष्णन की हालिया रिलीज फिल्म ‘जटाधरा’ है। इसके अलावा वह टीवी शो ‘गंगा माई की बेटियां' में ठकुराइन दुर्गावती के दमदार किरदार में दिख रही हैं। आगे वह ‘रामायणम्' में कौशल्या की भूमिका में दिखेंगी। ‘रामायणम्' की खास बात यह है कि इस फिल्म के लिए बिना ऑडिशन दिए ही सलेक्ट हो गईं। दैनिक भास्कर से खास बातचीत के दौरान एक्ट्रेस ने बताया कि उन्हें ‘दृश्यम’ और ‘बाहुबली’ जैसी फिल्मों के सशक्त रोल अधिक सूट करते हैं। पेश है इंदिरा कृष्णन से हुई बातचीत के कुछ और अंश.. ‘गंगा माई की बेटियां' में आपके किरदार ‘ठकुराइन दुर्गावती' की क्या खासियत है? दुर्गावती का किरदार पूरे शो में सबसे ज्यादा शेड्स वाला है। यह किरदार केवल नेगेटिव नहीं है, इसमें इमोशनल शेड्स भी हैं, गुस्सा है, एक जिद है, और यह अपनी बात पर एकदम जस्टिस करने वाली है, भले ही वह 110 लाइन की बात को एक लाइन में बोल दे। यह एक बहुत ही वजनदार रोल है। मैं इसे पूरी तरह नेगेटिव नहीं कहूंगी, पर हां, एक मां कभी-कभी स्वार्थी भी हो जाती है, कहीं-कहीं उसे दर्द भी होता है और यह सब शायद आगे शो में आएगा। यह किरदार बहुत शानदार है। इस शो का फील अलग है और इसमें एक नयापन है। ‘गंगा माई....’ में एक साथ तीन-चार कहानियां चल रही हैं और हर किरदार दूसरे किरदार से इंटरलिंक है। यह शो एक बहुत हिट कन्नड़ शो ‘पुट्टक्कना मक्कलु’ का रीमेक है, जो दर्शकों को एक फ्रेशनेस दे रहा है। दुर्गावती के किरदार के लिए कोई प्रेरणा ली या कुछ हद तक वैसी ही शख्सियत हैं? दुर्गावती के किरदार में बहुत गहराई है। वह अपने बेटे को बहुत चाहती है। उसके अपने सिद्धांत हैं। वह गांव की मुखिया (पंचायत की हेड) भी है। यह किरदार दिखाता है कि एक औरत कैसे घर और बाहर दोनों को अच्छे से संभालती है। मुझे लगता है कि किसी शो में इतने शेड्स किसी और किरदार को नहीं मिले हैं। हां, मैं असल जिंदगी में भी थोड़ी बोल्ड हूं। अगर मुझे कोई इंसान या बात पसंद नहीं आती, तो मैं उसे सामने से समझाती हूं। मैं पीठ पीछे कभी बात नहीं करती। मेरे कुछ अनुशासन और सिद्धांत हैं और शायद इसी वजह से मुझे इंडस्ट्री में 24 साल की कंसिस्टेंसी मिली है। मुझे लगता है, आजकल इंडस्ट्री के लोग डिसिप्लिन और प्रिंसिपल भूल गए हैं। आज इंडस्ट्री में कलाकारों में आपको किस चीज की कमी दिखती है? आजकल के एक्टर्स में मैंने देखा है कि वे सिर्फ अपनी लाइनें या डायलॉग्स पढ़ते हैं, पूरा सीन नहीं पढ़ते। इसकी वजह से किरदार उभर कर नहीं आता। अगर आप पूरा सीन पढ़कर परफॉर्म करते हैं, तो वह किरदार पूरी तरह जीवंत हो उठता है और आप बेहतर इंटरैक्शन कर सकते हैं। यह मैंने अपने सीनियर एक्टर्स और नेशनल स्कूल ऑफ ड्रामा के लोगों से सीखा है। मैं खुद भी पूरा सीन पढ़े बिना काम नहीं करती, भले ही मेरी कोई लाइन न हो। एक एक्टर को क्रिएटिवली इन्वॉल्व होना चाहिए और थोड़ी छूट मिलनी चाहिए ताकि वह अपने किरदार को एक अलग मुकाम पर ले जाए। ‘रामायणम्' में कौशल्या का रोल आपको कैसे मिला? इससे पहले ‘एनिमल' में मैंने रश्मिका मंदाना की मां का छोटा-सा रोल किया था। ‘रामायणम्' में मैंने रणबीर के साथ कौशल्या का किरदार निभाया है। मेरा रास्ता ‘एनिमल' फिल्म से ही खुला था। मैं जब रणबीर कपूर से मिली तो उन्होंने भी खुशी जताई कि मैं यह रोल कर रही हूं। मैंने कोई ऑडिशन नहीं दिया था। मेकर्स ने मुझे देखकर ही बोला था कि उन्हें इंदिरा जी ही चाहिए। मैंने केवल लुक टेस्ट दिया था, जिसमें मैं कौशल्या के रूप में एकदम परफेक्ट लगी। डायरेक्टर नितेश तिवारी जी का विजन और डायरेक्शन सेंस बहुत बढ़िया है, जिसकी वजह से मैंने यह किरदार बहुत स्मूथली निभाया। मेरे हिस्से की शूटिंग पूरी तरह से कंप्लीट हो चुकी है। मैं अलग-अलग तरह के किरदार करना चाहती हूं, मुझे लगता है कि लोगों को लाइफटाइम अचीवमेंट अवार्ड मिलता है और मुझे लाइफटाइम सारे रोल्स करने हैं, चाहे वे छोटे हों या बड़े, पर एक स्केच्ड कैरेक्टर निभाना चाहती हूं। मैं अपने दर्शकों को हमेशा कुछ नया देती हूं, जैसे मैंने ‘कृष्णादासी' में बहुत फेमस और खूबसूरत रोल किया था, जिसके लिए मुझे दादा साहेब फाल्के अवॉर्ड भी मिला था। ‘रामायणम्' के सेट पर रणबीर कपूर के साथ आपका अनुभव कैसा रहा? रणबीर कपूर के साथ ऑनस्क्रीन और ऑफस्क्रीन दोनों तरह के रिश्ते अच्छे हैं। ऑफस्क्रीन हम बहुत बातें करते थे और उनसे मैंने सिनेमा के बारे में बहुत कुछ सीखा। उनका समर्पण, उनके सिद्धांत और उनकी ईमानदारी सीन में झलकती है। वे एक्टिंग में जोर नहीं डालते बल्कि बहुत सरलता व सहजता से काम करते हैं। वे अपने सह-कलाकारों को भी क्यू देते हैं और हर चीज में शामिल रहते हैं। वह बहुत सकारात्मकता फैलाने वाले और दयालु इंसान हैं। क्या अब फिल्मों की ओर अधिक रुख कर लिया है? नहीं ऐसा नहीं है। मैं टीवी कभी नहीं छोडूंगी, क्योंकि टीवी ने हमेशा मुझे इज्जत दी है और मेरा रोजी-रोटी इसी से चलती है लेकिन हां, अगर फिल्में मिलेंगी तो मैं फिल्में भी करूंगी। मैं एक आर्टिस्ट हूं और मेरे लिए बड़ा परदा या छोटा परदा में कोई फर्क नहीं है। मैंने जितनी मेहनत छोटे परदे पर की है, उतनी ही मेहनत बड़े परदे पर भी की है। हालिया रिलीज साउथ की फिल्म ‘जटाधारा' के बारे में बताइए? ‘जटाधारा' हाल ही में रिलीज हुई है और उसे बहुत अच्छा रिस्पॉन्स मिल रहा है। मुझे लगता है कि इंडस्ट्री में मेरे 24 साल के अनुभव का फायदा अब फिल्मों में मिल रहा है। हालांकि ‘जटाधारा' में रोल उतना पावरफुल नहीं था लेकिन मैं शो की प्राइम कास्ट में थी और काफी दिख रही हूं। मुझे लगता है कि मैं थोड़ी अंडररेटेड एक्ट्रेस रही हूं और बड़े पैमाने पर रोल्स कर सकती हूं। क्या ‘जटाधारा' के बाद साउथ से और ऑफर आने की उम्मीद है? हां, मुझे ‘जटाधारा' के रिस्पॉन्स के बाद ऑफर आने की उम्मीद है। हालांकि अभी तक तो नहीं आए हैं लेकिन मुझे लगता है कि जरूर आएंगे। फिलहाल, मैं ‘गंगा मैया की बेटियां' की शूटिंग में व्यस्त हूं। साउथ इंडस्ट्री में काम करने का अनुभव कैसा रहा? साउथ इंडस्ट्री में लोग बहुत अनुशासित हैं। वहां आपको अच्छे मौके मिलते हैं, आप अच्छे पैसे और नाम कमाते हैं और अच्छे ग्रुप के साथ काम करते हैं। मैं ‘दृश्यम’ या ‘बाहुबली’ जैसी कोई फिल्म करना चाहती हूं, जहां हर किरदार महत्वपूर्ण हो, जैसे ‘बाहुबली’ में राम्या कृष्णन जी का रोल। मेरा औरा, फेस और बॉडी लैंग्वेज मजबूत किरदारों के लिए अधिक सूट करता है।

दैनिक भास्कर 23 Nov 2025 6:30 am

डायरेक्टर सुभाष कपूर ने निभाया वादा:विपिन शर्मा बोले- ‘महारानी 4’ और ‘फैमिली मैन 3’ मिलना दोस्ती और भरोसे का नतीजा है

'तारे जमीन पर' ‘गैंग्स ऑफ वासेपुर’ और ‘कार्तिक कॉलिंग कार्तिक’ जैसी कई फिल्मों से अपनी खास पहचान बना चुके एक्टर विपिन शर्मा इन दिनों वेब सीरीज ‘महारानी 4’ और ‘फैमिली मैन 3’ में नजर आ रहे हैं। ‘महारानी 4’ में प्रधानमंत्री सुधाकर श्रीनिवास जोशी के किरदार को विपिन ने राजनीति और परिवार के बीच की जद्दोजहद को प्रभावी ढंग से प्रस्तुत किया है। वहीं ‘द फैमिली मैन 3’ में भी उनकी खास भूमिका है। दोनों वेब सीरीज में काम मिलने के बारे में बात करते हुए विपिन कहते हैं यह सब दोस्ती और आपसी भरोसे का ही नतीजा है। हाल ही में विपिन ने दैनिक भास्कर से खास बातचीत की, पेश है कुछ प्रमुख अंश… सवाल- वेब सीरीज 'महारानी 4' में प्रधानमंत्री का किरदार निभाना आपके लिए कितना खास रहा और इस किरदार के लिए आपने किस तरह की तैयारी की?​​ जवाब: इस किरदार की सबसे खास बात ये है कि मैं डायरेक्टर सुभाष कपूर से पिछले 15 साल से जुड़ा हूं। हमारी दोस्ती बहुत पक्की है। भले हमने पहले कभी साथ काम नहीं किया, लेकिन हमेशा संपर्क में रहे। सुभाष भाई ने कहा था कि जब कोई शानदार रोल मिलेगा, तो वो मुझे जरूर बुलाएंगे। और अब वही वादा पूरा हुआ। इसलिए मेरे लिए ये किरदार दोस्ती और भरोसे का नतीजा है। सवाल: प्रधान मंत्री के किरदार के लिए क्या आपने किसी को जेहन सोचा था? जवाब: प्रधान मंत्री के किरदार के लिए किसी और को सोचने की बजाय मैंने खुद को देखा। किरदार के कर्मों से नहीं, उसकी वजह से इंसान को महत्त्व देता हूँ। पॉलिटिशियन, गैंगस्टर, डॉक्टर या कोई भी हो, किरदार की असली अहमियत उसकी वजह में होती है। जिसे मैं अपनी अंदर की शक्ति से निभाने की कोशिश करता हूं। सवाल: 'महारानी 4' में काम करते वक्त हुमा कुरैशी के साथ काम करने का अनुभव कैसा रहा? आप तो उन्हें काफी समय से जानते हैं? जवाब: बहुत अच्छा रहा। हुमा बहुत ही दयालु और उदार इंसान हैं, अपने काम को लेकर बहुत समर्पित हैं। मैं उनसे पहली बार 'गैंग्स ऑफ वासेपुर' की वर्कशॉप में मिला था। अनुराग कश्यप ने 10 दिन की वर्कशॉप रखी थी, वहीं हुमा पहली बार दिल्ली से आई थीं। उस फिल्म में उनका काम देखकर मैं बहुत प्रभावित हुआ था। इसके बाद हम दोनों ने ‘लव शव ते चिकन खुराना’ में भी साथ काम किया था, जो समीर शर्मा ने डायरेक्ट की थी। हालांकि उस फिल्म में हमारे बहुत सीन साथ नहीं थे। हमारा रिश्ता काफी पुराना है और हर बार मिलने पर यही बात होती थी कि एक दिन साथ काम करेंगे। आखिर जब .'महारानी 4' की पहली रीडिंग हुई, तो हम दोनों बहुत खुश थे कि अब सच में साथ काम करने का मौका मिला। सवाल: ‘द फैमिली मैन 3' के लिए आपको कैसे चुना गया, और इस सीरीज का हिस्सा बनना आपके लिए कितना मायने रखता है? जवाब: यह किस्सा काफी दिलचस्प है। दरअसल, फैमिली मैन की कहानी भी कुछ ऐसी ही है। मैं एक स्क्रीनिंग में कृष्णा डी.के.) से मिला था। उन्होंने ‘शोर इन द सिटी’ नाम से एक शॉर्ट फिल्म बनाई थी। बाद में उसी नाम से फिल्म भी भी बनाई। उस शॉर्ट फिल्म की स्क्रीनिंग में ही मेरी मुलाकात कृष्णा से हुई, और वह फिल्म मुझे बहुत पसंद आई। मुझे जब किसी का काम अच्छा लगता है, तो मैं कोशिश करता हूं कि ऐसे लोगों से संपर्क बनाए रखूं। कृष्णा भी हमेशा मैसेज का जवाब देते थे, जबकि मुंबई में ज्यादातर लोग काम में इतने व्यस्त रहते हैं कि जवाब नहीं दे पाते। हम लंबे समय तक टच में रहे। फिर एक दिन अचानक उनका फोन आया कि तीन-चार दिन बाद शूट करना है, क्योंकि जिस एक्टर को रोल करना था, वह किसी वजह से नहीं कर पा रहे थे। उन्होंने मुझसे कहा कि “तुम्हें आना होगा।” मैं तुरंत चला गया। शुरुआत में मेरा किरदार इतना बड़ा नहीं था, पहले सीजन 2 में चाय वाला सीन काफी मशहूर हो गया। फिर किरदार और भी विकसित हुआ, और अब हम सीजन 3 तक पहुँच गए हैं। यह सब दोस्ती और आपसी भरोसे का ही नतीजा है। सवाल: आपने कई बड़े निर्देशकों के साथ काम किया है। किसके साथ काम करना सबसे आसान रहा और फ्रीडम मिला? जवाब: अनुराग कश्यप के साथ काम करना बहुत सहज लगता है। वो ज्यादा जोर नहीं डालते कि सीन ऐसे ही करो। सुधीर मिश्रा भी ऐसे ही हैं। वो एक्टर को स्पेस देते हैं। दिबाकर बनर्जी के साथ भी मेरा अच्छा अनुभव रहा। लेकिन सुभाष कपूर के साथ काम करना तो बिल्कुल अलग ही तरह का रहा। उनसे मैंने बहुत कुछ सीखा। उनका काम करने का तरीका बहुत दिलचस्प है। वो आपको आपकी सीमाओं से बाहर ले जाते हैं। आपको नया तरीके से सोचने और करने के लिए प्रेरित करते हैं। यही बात मुझे बहुत अच्छी लगी और इस अनुभव का मैंने खूब आनंद लिया। सवाल: अपने आपने वाले प्रोजेक्ट्स के बारे में कुछ बताएं? जवाब: अभी मेरी एक फिल्म ‘किस-किस को प्यार करूं-2’ आएगा। इसके अलावा मैं अपना खुद का एक प्रोजेक्ट शुरू कर रहा हूं, जिसकी कहानी मैंने कोविड के दौरान लिखी थी। इस फिल्म को खुद ही प्रोड्यूस और डायरेक्ट कर रहा हूं। इसके अलावा फिल्म में एक खास किरदार भी निभा रहा हूं।

दैनिक भास्कर 23 Nov 2025 5:30 am

हरियाणवी डांसर सपना चौधरी का नए गाने पर डांस,VIDEO:‘हरियाणा में रौला’ पर किए स्टेप, 15 दिन में 6 गाने रिलीज, 2026 में आएगी बायोपिक

हरियाणवी लोक कलाकार और डांसर सपना चौधरी एक बार फिर सुर्खियों में है। सपना ने ये सुर्खियां किसी नए तरीके से नहीं, बल्कि अपने पुराने अंदाज में बटोरी है। दरअसल, सपना चौधरी ने काफी समय बाद डांस की प्रस्तुति दी है। हालांकि, ये प्रस्तुति उन्होंने कही लाइव स्टेज परफॉर्मेंस पर नहीं दी। बल्कि उन्होंने हरियाणा वेशभूषा में तैयार होकर हरियाणवीं गाने ‘हरियाणा में रौला’ पर घर पर ही डांस करके दी है। इसकी वीडियो उन्होंने सोशल मीडिया के प्लेटफॉर्म फेसबुक पर पोस्ट की है। इसे देख कर फैंस अपने-अपने तरीकों से सपना के इस डांस की सरहाना कर रहे हैं। सोशल मीडिया पर सपना की लोकप्रियता दिनों-दिन तेजी से बढ़ रही है। बता दें कि सपना की फैन फॉलोइंग अब सिर्फ हरियाणा तक सीमित नहीं रही। पंजाब, उत्तर प्रदेश, बिहार और मध्यप्रदेश जैसे राज्यों में भी उनके स्टेज शो का क्रेज देखते ही बनता है। वे अपने डांस मूव्ज, एक्सप्रेशन और दमदार परफॉर्मेंस की वजह से देशभर में फैंस की पसंदीदा स्टेज परफॉर्मर मानी जाती हैं। सपना चौधरी के 15 दिन में 6 गाने रिलीज... मां के निधन के बाद टूट चुकी थीं सपनाइसी साल 30 सितंबर को सपना की मां नीलम चौधरी का निधन हुआ। वे लंबे समय से पीलिया की बीमारी से जूझ रही थीं और दिल्ली के द्वारका स्थित निजी अस्पताल में भर्ती थीं। इलाज के दौरान तबीयत बिगड़ने पर देर रात उन्होंने अंतिम सांस ली। अगले दिन उनका अंतिम संस्कार नजफगढ़ स्थित श्मशान घाट में किया गया था। इसमें सपना, उनके पति वीर साहू और परिवार के अन्य सदस्य शामिल हुए थे। मां की मौत के बाद सपना भावनात्मक रूप से बहुत टूट गई थीं। उन्होंने इंस्टाग्राम पर अपनी प्रोफाइल फोटो ब्लैक कर दी थी, ताकि लोग उनके दुख का अंदाजा लगा सकें। सपना की मौत की अफवाह से घबराए थे फैंसकरीब 3 साल पहले सोशल मीडिया पर सपना की मौत की झूठी अफवाह फैलाई गई थी। कहा गया कि सिरसा में एक सड़क हादसे में उनकी जान चली गई। इस अफवाह की वजह से उनके परिवार वाले और फैंस घबरा गए थे। लगातार फोन और संदेश आने से उनके घर में हड़कंप का माहौल बन गया था। एक इंटरव्यू में सपना ने कहा था कि इस तरह की अफवाहें कलाकारों के लिए सबसे अधिक परेशान करने वाली होती हैं, क्योंकि इससे परिवार मानसिक रूप से टूट जाता है। उन्होंने बताया कि इस प्रोफेशन में कई तरह की चुनौतियों का सामना करना पड़ता है, लेकिन मौत जैसी अफवाहें बेहद असंवेदनशील होती हैं। 24 जनवरी 2020 को की थी गुपचुप शादीसपना निजी जिंदगी को लेकर भी हमेशा चर्चा में रही हैं। उन्होंने 24 जनवरी 2020 को हरियाणवी सिंगर वीर साहू से मंदिर में गुपचुप शादी की थी। बाद में वीर ने फेसबुक पर वीडियो जारी करके शादी की जानकारी दी और बताया कि सपना एक बेटे की मां बन चुकी हैं।परिवार में एक मौत की वजह से वे खुशियां सार्वजनिक तौर पर नहीं मना पाए थे। गर्भवती होने को लेकर ट्रोल किए जाने पर सपना ने कहा था कि किसी के निजी जीवन में दखल देना गलत है और लोगों को उनके फैसलों का सम्मान करना चाहिए। छत्तीसगढ़ में शो के बाद बवाल, जान को खतराएक महीने पहले छत्तीसगढ़ के कोरबा में सपना चौधरी के शो के बाद हंगामा हो गया था। कार्यक्रम खत्म होने के बाद सपना होटल में आराम कर रही थीं। तभी नशे में धुत 4 युवकों ने दरवाजा तोड़ने की कोशिश की, गाली-गलौज की और गोली मारने की धमकी तक दे डाली। आरोपियों ने सपना की टीम के साथ मारपीट भी की। होटल मालिक की मदद से सपना और उनकी टीम को सुरक्षित निकाला गया। इस घटना की रिपोर्ट सिटी कोतवाली में दर्ज कराई गई थी। --------------------ये खबर भी पढ़ें.... डांस करने पर लोग बोले- हरियाणा को बदनाम करेगी:प्रोग्राम देखने 13 लाख लोग जुटे, कभी सुसाइड की कोशिश की; अब सपना पर बनी फिल्म सिर पर छत बनी रहे, पेट भर जाए इस मजबूरी में सपना ने बहुत कम उम्र में स्टेज को अपना करियर बना लिया। डांस, बेबाकपन और साहस के दम पर पहले हरियाणा में उम्र और लिंग से परे हर किसी की जुबान पर छाईं और वहां से देश के कोने-कोने तक पहुंचीं। (पूरी खबर पढ़ें)

दैनिक भास्कर 23 Nov 2025 5:00 am

तुर्किये की सिंगर पर पति ने करवाया एसिड अटैक:बुरी तरह जलीं, एक आंख खोकर भी गाती रहीं, आखिर में गोली मारकर हत्या कर दी गई

31 अक्टूबर 1982 की बात है। तुर्किये की जानी-मानी सिंगर बर्गेन अपनी मां के साथ टैक्सी का इंतजार कर रही थीं। तभी अचानक उनके सामने एक शख्स आया, जिसने अपना चेहरा नकाब से ढक रखा था। बर्गेन कुछ कह पातीं, उससे पहले ही वह शख्स उनके ऊपर एसिड फेंक कर भाग गया। आनन-फानन में बर्गेन को अस्पताल में भर्ती कराया गया। उनका लगातार 45 दिन तक इलाज चला। बर्गेन बुरी तरह जल गई थीं और उनकी एक आंख भी खराब हो गई थी। बचना मुश्किल ही नहीं, लगभग नामुमकिन था, लेकिन मां की दुआएं और फैंस का प्यार उन्हें मौत के मुंह से वापस ले आया। लेकिन फिर बर्गेन की गोली मारकर हत्या भी कर दी गई। इस घटना के बाद हर कोई सहम गया। सभी के मन में सवाल था कि आखिर सिंगर का किसी से ऐसा क्या विवाद था कि उनके ऊपर एसिड फेंका गया और जब वह इससे भी बच गईं तो उन्हें बीच कॉन्सर्ट में गोली मारकर हत्या कर दी गई। पुलिस ने मामले का खुलासा किया तो हर कोई हैरान रह गया। आज अनसुनी दास्तान के 3 चैप्टर में पढ़िए तुर्किये की जानी-मानी सिंगर बर्गेन की हत्या की कहानी… बर्गेन का जन्म 15 जुलाई 1958 को तुर्किये में हुआ था। वह सात बच्चों में सबसे छोटी थीं। उनका बचपन प्यार, हंसी और संगीत से भरा हुआ था। घर में पैसे की कमी थी, लेकिन परिवार खुशहाल था और सभी उन्हें बहुत प्यार करते थे। हालांकि परिस्थितियां तब बदल गईं जब बर्गेन के माता-पिता का तलाक हो गया और परिवार बिखर गया। इसके बाद वह अपनी मां के साथ अंकारा चली गईं, जहां उन्होंने अपनी जिंदगी की नई शुरुआत की। बर्गेन का बचपन संगीत के बीच बीता इसलिए उन्होंने इसी में करियर बनाने का फैसला लिया। अंकारा आने के बाद उन्होंने संगीत सीखना शुरू किया। बर्गेन को गाने का अच्छा हुनर था और वह मैंडोलिन भी बहुत अच्छी तरह बजाती थीं। उनके टीचर्स और दोस्त हमेशा उनके टैलेंट की तारीफ करते। बर्गेन ने भी ठान लिया कि उन्हें सिंगर बनना है। इसके लिए उन्होंने अंकारा स्टेट कंजर्वेटरी में एडमिशन लिया और पियानो विभाग में पहला स्थान हासिल किया। धीरे-धीरे बर्गेन का संगीत पूरे तुर्किये में प्रसिद्ध हो गया, लेकिन बुलंदियों तक पहुंचना अभी बाकी था। उनकी आर्थिक स्थिति ठीक नहीं थी इसलिए उन्होंने अपनी पढ़ाई छोड़कर तुर्किये के संघीय डाकघर (PTT) में नौकरी करना शुरू किया। इसी बीच 1977 में खबरें सामने आईं कि बर्गेन ने शादी कर ली है और उनके बच्चे भी हैं। हालांकि परिवार ने इन खबरों को महज अफवाहें बताया। बर्गेन अक्सर दोस्तों के साथ नाइटक्लब जाती थीं। एक रात जब वह दोस्तों के साथ एक क्लब में थीं और गाना गा रही थीं, तभी क्लब के मालिक को उनकी आवाज इतनी पसंद आई कि उन्होंने बर्गेन को क्लब में हमेशा के लिए गाने का ऑफर दे दिया। बर्गेन ने तुरंत इसे स्वीकार कर लिया। उन्होंने क्लब बैंड में शामिल होकर तुर्किये क्लासिकल म्यूजिक और पॉप गाना शुरू किया। उनकी आवाज में इतनी मिठास थी कि दर्शक मंत्रमुग्ध हो जाते थे। धीरे-धीरे उन्हें वह कामयाबी मिलने लगी जिसकी चाह हर कोई करता है। इसी दौरान उनकी मुलाकात हालिस सर्बेस्ट नाम के एक व्यक्ति से हुई, जिसने उनकी जिंदगी हमेशा के लिए बदल दी। हालिस पहले से ही शादीशुदा था और उसके तीन बच्चे थे, लेकिन बर्गेन की सुंदरता के सामने वह खुद को रोक नहीं पाया। वह हर रात बर्गेन को फूल भेजता और क्लब में उनके प्रोग्राम देखने आता था। बर्गेन भी धीरे-धीरे उसकी ओर खिंचने लगीं और दोनों का रिश्ता बन गया। हालिस बर्गेन से शादी करके नई जिंदगी शुरू करना चाहता था। शुरुआत में बर्गेन थोड़ी झिझकीं, लेकिन अंततः वह मान गईं। दोनों ने शादी की, लेकिन यह शादी झूठी साबित हुई और बर्गेन को लगा कि उन्हें धोखा मिला है। आखिरकार बर्गेन ने फैसला किया कि वह हालिस से दूर हो जाएंगी। हालांकि हालिस उन्हें जाने नहीं देता था। धीरे-धीरे हालिस ने घरेलू हिंसा भी शुरू कर दी, जिससे बर्गेन की जिंदगी नर्क जैसी हो गई। ऐसे में उन्होंने हालिस को छोड़कर अपनी मां के पास अंकारा लौटने का फैसला किया। अंकारा में बर्गेन ने दोबारा करियर शुरू करने का फैसला किया। उन्होंने नॉर्वे के शहर बर्गेन से प्रेरित होकर ही अपना नाम बर्गेन रखा, जबकि उनका असली नाम कुछ और था। उन्होंने फिर से नाइटक्लब में गाना शुरू किया और कई जानी-मानी हस्तियों के साथ मंच शेयर किया। बर्गेन की आवाज में ऐसा जादू था कि पूरा अंकारा उनकी ओर खिंचता चला गया। उनकी जिंदगी बदलने लगी और अधूरे सपने भी पूरे होने लगे, लेकिन उनके मन में कहीं न कहीं हालिस का डर भी था और प्यार भी। बर्गेन को यही उम्मीद थी कि शायद वह एक दिन बदल जाएगा। हालांकि वह दिन कभी नहीं आया। दूसरी तरफ हालिस लगातार बर्गेन का पीछा करता रहा और जान से मारने की धमकियां देता रहा। 31 अक्टूबर 1982 को बर्गेन अपनी मां के साथ टैक्सी का इंतजार कर रही थीं, तभी अचानक उनके सामने एक नकाबपोश व्यक्ति आकर खड़ा हो गया। बर्गेन को डर महसूस हुआ और उसी क्षण उस शख्स ने उनके ऊपर एसिड फेंक दिया। बर्गेन का चेहरा और आंखें जल गईं। जैसे-तैसे उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया। बर्गेन ने 45 दिनों तक अस्पताल में मौत और जिंदगी के बीच संघर्ष किया। हमले की वजह से उनका चेहरा और शरीर जल गया था और उनकी आंखों की रोशनी चली गई थी। डॉक्टरों को उनकी जान बचाना भी मुश्किल लग रहा था। बर्गेन की मां, दोस्त और फैंस लगातार उनके ठीक होने के लिए प्रार्थना कर रहे थे। यही प्यार और समर्थन था जिसने बर्गेन को कठिन शारीरिक और मानसिक चोटों के बावजूद जीवित रखा। इस दौरान पुलिस ने हमलावर को पकड़ने के लिए जांच शुरू की। देश इस भयावह अपराध से हिल गया था और पुलिस पर दबाव था कि अपराधी को जल्द से जल्द गिरफ्तार किया जाए। आखिरकार पुलिस को सबूत मिले कि यह हमला किसी और ने नहीं, बल्कि बर्गेन के हसबैंड हालिस ने करवाया था। यह खबर सुनकर पूरे देश में सनसनी फैल गई। ये सोच ही बेहद डरावनी थी कि कोई व्यक्ति, जो कभी प्यार का दावा करता था, वो आज इतनी बेरहमी से हमला करवा सकता है। आखिरकार पुलिस ने हालिस को अरेस्ट कर लिया और अदालत ने उसे 13 साल जेल की सजा सुनाई। दूसरी ओर धीरे-धीरे बर्गेन उस भयानक एसिड हमले से ठीक होने लगीं। उन्होंने इस हमले को अपनी जिंदगी पर हावी नहीं होने दिया। एसिड अटैक में एक आंख खो देने के बावजूद बर्गेन ने गाना नहीं छोड़ा। उन्होंने मंच पर लौटकर अपने बालों की लट या विशेष डिजाइन वाले मेकअप से चोट छुपाते हुए फिर से गाना शुरू किया। बर्गेन ने गाने गाए और लिखे भी। उन्होंने कई एल्बम रिलीज किए। उनका संगीत उम्मीद की मिसाल बन गया। उन्होंने दिखाया कि कठिन समय को धैर्य और प्रयास से पार किया जा सकता है। बर्गेन ने अपने मंच का इस्तेमाल घरेलू हिंसा के खिलाफ जागरूकता फैलाने के लिए भी किया। संगीतकार झांगिस ओश्कर के सहयोग से बर्गेन ने 1983 में शानदार वापसी की। 1985 में बर्गेन ने अपना एल्बम एन्सन सीवियर्स जारी किया। यह एल्बम बहुत सफल रहा और बर्गेन की हिम्मत और प्रतिभा का प्रमाण बना। 1986 के अंत में उन्होंने अपना अगला एल्बम आशी नाकार्डिने रिलीज किया, जिसकी एक मिलियन से ज्यादा कॉपियां बिकीं और बर्गेन ने कई पुरस्कार भी जीते। यह उनके लिए एक बड़ी जीत थी। इतने कठिन समय के बाद बर्गेन ने अपनी जगह फिर से हासिल कर ली। 1987 में बर्गेन ने पहली बार एक्टिंग में कदम रखा और Woman of Pain फिल्म में काम किया। बर्गेन को लगा कि अब उनकी जिंदगी धीरे-धीरे सही दिशा में जा रही है।दूसरी ओर 1988 में हालिस जेल से रिहा हो गया। फिर दोनों ने समझौता किया और अप्रैल 1989 में तलाक ले लिया। लेकिन 14 अगस्त 1989 को जब बर्गेन अपना नया एल्बम यिलर अफेतमेज प्रमोट करने अदाना गईं, तभी हालिस ने उन पर गोली चला दी, जिससे उनकी मौत हो गई। इस हमले में बर्गेन की मां भी घायल हुईं। हालिस हत्या के बाद विदेश भाग गया, लेकिन जर्मनी में पकड़ा गया। उसे 15 साल जेल की सजा सुनाई गई, जिसे अच्छे व्यवहार के कारण घटाकर 3 साल कर दिया गया। जर्मनी और तुर्किये में 16 महीने की हिरासत को ध्यान में रखते हुए उसे केवल सात महीने जेल काटनी पड़ी।

दैनिक भास्कर 23 Nov 2025 4:30 am

हार्दिक पांड्या से सगाई पर मिहिका शर्मा ने तोड़ी चुप्पी:इंस्टाग्राम पर लिखा- मैं हर दिन अच्छी जूलरी पहनती हूं; प्रेग्नेंसी रूमर्स पर दिया मजेदार रिएक्शन

मॉडल मिहिका शर्मा पिछले कुछ समय से भारतीय क्रिकेटर हार्दिक पांड्या के साथ रिलेशनशिप को लेकर सुर्खियों में हैं। हाल ही में दोनों की साथ में पूजा करते हुए फोटो और वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था। इस दौरान मिहिका डायमंड रिंग पहने नजर आईं, जिसके बाद से ही कयास लगाया जा रहा था कि दोनों ने इंगेजमेंट कर ली है। साथ ही ये भी खबरें आई थीं कि मिहिका प्रेग्रेंट हैं और दोनों जल्द शादी कर सकते हैं। अब इन खबरों पर मिहिका ने अपनी चुप्पी तोड़ी है। अपने इंस्टाग्राम स्टोरी में उन्होंने एक बिल्ली की फोटो शेयर की और उस पर कैप्शन लिखा- 'मैं इंटरनेट देख रही हूं, यहां डिसाइड हो गया है कि मेरी सगाई हो गई है। लेकिन बता दूं मैं हर दिन अच्छी जूलरी पहनती हूं।' उन्होंने एक और पोस्ट शेयर करते हुए मजाक में लिखा कि प्रेग्नेंसी की अफवाहें अगली कड़ी हो सकती हैं। इसके लिए माहिका ने एक व्यक्ति की खिलौना वाली कार चलाते हुए फोटो अपलोड की और लिखा- 'क्या मैं प्रेग्नेंसी की खबरों को खारिज करने के लिए इसमें जाऊं?' बता दें कि इसी साल अक्टूबर में हार्दिक ने अपने जन्मदिन के मौके पर मिहिका से अपने रिश्ते को ऑफिशियल किया था। 2024 में नताशा स्टेनकोविच से हुआ तलाक हार्दिक पंड्या ने साल 2024 में सर्बियाई मॉडल नताशा स्टेनकोविच से तलाक लिया था। दोनों की मुलाकात 2020 में कोविड-19 लॉकडाउन के दौरान हुई थी, जिसके बाद उन्होंने उसी साल शादी कर ली थी। 30 जुलाई 2020 को उनके बेटे अगस्त्य का जन्म हुआ। जुलाई 2024 में हार्दिक और नताशा ने आपसी सहमति से अलग होने का निर्णय लिया। अब हार्दिक और नताशा मिलकर अपने बेटे अगस्त्य की परवरिश कर रहे हैं।

दैनिक भास्कर 22 Nov 2025 5:58 pm

IFFI 2025: सुशांत को यादकर इमोशनल हुए मुकेश छाबड़ा:बोले- दिल बेचारा मेरी नहीं सुशांत की फिल्म, उसके साथ ही वो चली गई

गोवा के पणजी में 9 दिवसीय इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल ऑफ इंडिया का आयोजन चल रहा है। 20-28 नवंबर तक चलने वाली 56वें IFFI में दुनिया भर के फिल्म इंडस्ट्री से जुड़े लोग पहुंचे रहे हैं और अपना काम दिखा रहा हैं। बॉलीवुड के फेमस कास्टिंग डायरेक्टर मुकेश छाबड़ा भी इसका हिस्सा बने हैं। इफ्फी में उन्होंने बतौर कास्टिंग डायरेक्टर अपनी जर्नी को दिखाने के लिए स्टॉल लगाया है। मुकेश ने दैनिक भास्कर से खास बातचीत में इफ्फी में स्टॉल लगाने के पीछे के मकसद, अपनी कास्टिंग जर्नी पर बात की है। साथ ही, उन्होंने दिवंगत एक्टर सुशांत सिंह राजपूत को लेकर बनाई गई अपनी पहली डायरेक्टोरियल डेब्यू फिल्म 'दिल बेचारा' पर भी बात की। इस दौरान वो इमोशनल होते दिखे। पढ़िए इंटरव्यू का प्रमुख अंश… IFFI 2025 में आप शामिल हुए हैं। आपका स्टॉल भी लगा है। कैसा एक्सपीरियंस है? अच्छा लगता है। इफ्फी में स्टॉल लगाने का मेरा जो मकसद था, वो ये है कि यहां विदेशों से भी लोग आते हैं। उनको मालूम चले कि इंडियन कास्टिंग डायरेक्टर कैसे काम करते हैं। उन लोगों तक अपना काम पहुंचाना बहुत जरूरी है। इफ्फी ऐसी जगह है, जहां आप नए लोगों से मिलते हैं। इसलिए भी स्टॉल लगाया है ताकि लोगों को पता चले कि मैं कितने सालों से काम कर रहा हूं। मैं 18 साल से इंडस्ट्री में काम कर रहा हूं। कास्टिंग एक जिम्मेदारी वाला काम है। मैं चाहता हूं कि लोग मेरे काम को ग्लोबली जाने। आप पहले कास्टिंग डायरेक्टर हैं, जो इंटरनेशनली रजिस्टर हैं। कास्टिंग डायरेक्टर टर्म को लोगों के बीच पॉपुलर करने का श्रेय आपको जाता है। इसे कैसे देखते हैं? मैंने बिल्कुल नहीं सोचा था कि मेरी वजह से कास्टिंग डायरेक्टर टर्म लोगों के बीच पॉपुलर हो जाएगा। मुझे लगता था कि इस जॉब को लोग थोड़ा सीरियसली नहीं ले रहे हैं। मैंने अपने काम को दिल से करने की कोशिश की। जब आप काम करते रहते हैं, तब आपको कहां तक पहुंचना है, ये पता नहीं होता है। आपको बस अपना काम शिद्दत से करना होता है। मुझे बहुत खुशी है कि लोग अब इस काम को सीरियसली लेते हैं। कास्टिंग डायरेक्टर टर्म को इतनी इज्जत मिल रही है। मेरे साथ-साथ कई और लोग इस प्रोफेशन में आगे बढ़ रहे हैं। आज कास्टिंग डायरेक्टर की जॉब फुल फ्लेज करियर के रूप में स्थापित हो गया है। मुझे नहीं पता था कि जिंदगी यहां तक लेकर आएगी। आपकी पहली डायरेक्टोरियल फिल्म 'दिल बेचारा' आपके दिल के बहुत करीब है। क्या यादें हैं? इस फिल्म को लेकर सुशांत ही याद आता है। मैं हमेशा कहता हूं कि 'दिल बेचारा' मेरे लिए बची नहीं है। सुशांत की फिल्म है, उसकी साथ चली गई। 'दिल बेचारा' सिर्फ सुशांत के लिए डेडिकेटेड है। ये फिल्म सुशांत के बारे में और उसके इर्द-गिर्द है। 'दिल बेचारा' बनी भी सुशांत की वजह से। ये सिर्फ सुशांत के लिए है। उस फिल्म के बाद आपने कोई दूसरी फिल्म डायरेक्टर नहीं की। आपके डायरेक्शन का काम रुक क्यों गया? मेरे ख्याल से रुका नहीं है। बीच में मैं एक फिल्म बनाने की तैयारी में था लेकिन मैंने अपनी मां को खो दिया। लाइफ में फिर से रुकावट आई। फिर कास्टिंग का काम इतना ज्यादा बढ़ गया कि जिम्मेदारी बढ़ गई। मैंने इस बीच धुरंधर, किंग, रामायण, तेरे इश्क में, बॉर्डर-2, रोमियो, दिल्ली फाइल्स-3, फैमिली मैन-3, महारानी बहुत सारा प्रोजेक्ट्स किए। मैं इन प्रोजेक्ट्स को लेकर बहुत बिजी हो गया। मैं वर्कशॉप कर रहा था। मैंने सोचा कि अभी जो लाइफ में चल रहा है, उसे ही कन्टिन्यू करते हैं। जब वक्त मिलेगा और लाइफ अपने आप उस डायरेक्शन में लेकर जाएगी, फिर फिल्म बनाऊंगा। आप सिर्फ कास्टिंग तक सीमित नहीं हो। आप नए एक्टर्स के लिए खिड़कियां नाम से वर्कशॉप कर रहे हो। ये ख्याल कैसे आया? मुझे लगा कि जिन एक्टर्स को सिनेमा में मौका नहीं मिल रहा, कम से कम वो नाटक में काम कर सकते हैं। मैं सबके नाटक को प्रोड्यूस कर रहा हूं ताकि लोग फ्री में आकर नाटक देखें। मेरा मानना है कि कुछ ना कुछ करते रहना चाहिए। मैं लोगों से कहता हूं कि आप शॉर्ट फिल्म बनाना चाहते हैं बनाइए, मैं आपको पैसे दूंगा। बस काम करते रहिए और लगे रहिए। नए लोगों को मौका देना। लगातार काम करते रहने की हिम्मत और ऊर्जा कहां से आती है? मुझे लगता है कि जब आप गरीब घर से आते हैं, तब आपको रोज काम करने की आदत होती है। मेरे पिताजी एक जगह नौकरी करते थे और शाम को प्राइवेट काम भी करते थे। उनके अंदर जो शिद्दत थी, वो मेरे अंदर है। मैं ऐसा सोचता हूं कि 24 घंटे काम करो। काम नहीं करोगे तो खाना नहीं मिलेगा। आगे बढ़ना है तो रोज काम करना पड़ेगा।

दैनिक भास्कर 22 Nov 2025 4:34 pm

सलमान खान ने अमाल मलिक को लगाई फटकार:शहबाज को कहा ‘चमचा’, बोले- अगर मैं होता तो दरवाजा खुलवा देता

रियलिटी शो बिग बॉस 19 के आने वाले वीकेंड का वार एपिसोड में सलमान खान कंटेस्टेंट अमाल मलिक को फटकार लगाते नजर आएंगे। हाल ही में शो के मेकर्स ने एक प्रोमो रिलीज किया, जिसमें सलमान अमाल के रवैये पर सवाल उठाते दिखे। उन्होंने कहा कि अमाल ने मालती चाहर के साथ ठीक तरह से बर्ताव नहीं किया। सलमान ने कहा, “अमाल, तुम्हारा रवैया मालती चाहर के प्रति बेहद गलत है। तुम कभी स्ट्रॉन्ग लोगों से नहीं भिड़ते, बस उनकी पीठ पीछे बातें करते हो। गौरव खन्ना, प्रणीत मोरे और फरहाना भट्ट से तुमने कभी आमने-सामने बात नहीं की।” जब अमाल ने बीच में टोका और कहा, “ऐसा नहीं हो सकता,” तो सलमान ने उन्हें रोकते हुए कहा, “अगर सुनना है तो सुनो, नहीं तो मैं चुप बैठ जाता हूं।” उन्होंने आगे कहा, “कई बार तुम्हारे झगड़े तुम्हारे दोस्त शहबाज की वजह से होते हैं। शहबाज, तुम्हें अब तक एहसास नहीं हुआ कि तुम अमाल को लेकर कितने पजेसिव हो गए हो। जिस दिन से तुम घर में आए हो, उसी दिन से तुम सिर्फ चमचा बनकर रह गए हो।” सलमान ने शहबाज को भी डांटा सलमान ने अमाल और शहबाज को बिग बॉस को पक्षपाती कहने पर भी फटकार लगाई। उन्होंने कहा, “जो तमाशा तुम दोनों ने किया था कि बिग बॉस अनफेयर हैं, अगर मैं वहां होता तो मुख्य द्वार खुलवा देता और कोई विकल्प भी नहीं देता।” कुनिका शो से बाहर हो सकती हैं बिग बॉस से जुड़ी अपडेट देने वाले सोशल मीडिया पेजों के मुताबिक, बिग बॉस 19 अब अपने फिनाले के करीब है। आने वाले एपिसोड में प्रतियोगी कुनिका सदानंद शो से बाहर हो सकती हैं।

दैनिक भास्कर 22 Nov 2025 3:35 pm

ट्रैविस स्कॉट के मुंबई कॉन्सर्ट में ₹18 लाख की चोरी:24 मोबाइल और 12 गोल्ड चेन गायब, पुलिस CCTV फुटेज खंगालने में जुटी

अमेरिकी रैपर ट्रैविस स्कॉट के मुंबई में हुए कॉन्सर्ट में चोरी की कई घटनाएं हुईं। मुंबई पुलिस के अनुसार, शो के दौरान कई लोगों के मोबाइल फोन और ज्वेलरी चोरी हो गईं। चोरी हुए सामान की कुल कीमत लगभग 18 लाख रुपए बताई जा रही है। यह कॉन्सर्ट 19 नवंबर को मुंबई के महालक्ष्मी रेस कोर्स में हुआ था, जहां हजारों फैंस स्कॉट के हिट गानों पर झूमते नजर आए। भीड़ का फायदा उठाकर कुछ लोगों ने चोरी की वारदातों को अंजाम दिया। पुलिस के मुताबिक, अब तक की जांच में 24 मोबाइल फोन और 12 गोल्ड चेन चोरी होने की शिकायतें मिली हैं। कई लोग कॉन्सर्ट खत्म होने के बाद ताड़देव पुलिस स्टेशन पहुंचे और शिकायत दर्ज कराई। पुलिस द्वारा अज्ञात लोगों के खिलाफ मामला दर्ज पुलिस ने अज्ञात लोगों के खिलाफ भारतीय न्याय संहिता (BNS) की धारा 303(2) और 304 के तहत मामला दर्ज किया है। अब मामले की जांच जारी है। अधिकारियों ने बताया कि पुलिस कॉन्सर्ट स्थल पर लगे CCTV फुटेज की जांच कर रही है ताकि चोरी करने वालों की पहचान की जा सके। पुलिस टीम चोरी गए सामान को बरामद करने और आरोपियों को पकड़ने की कोशिश में जुटी है। ट्रैविस स्कॉट का मुंबई कॉन्सर्ट उनके ‘सर्कस मैक्सिमस वर्ल्ड टूर 2025’ का हिस्सा था। इससे पहले उन्होंने दिल्ली में भी 18 और 19 अक्टूबर को परफॉर्म किया था। भारत में इस टूर को बुक माय शो लाइव इन इंडिया ने प्रोड्यूस और प्रमोट किया था। बता दें कि ट्रैविस स्कॉट अपने अलग म्यूजिक स्टाइल और जोश से भरे लाइव शो के लिए मशहूर हैं। उनके कई गाने जैसे सिको मोड, एंटीडोट, गूजबंप्स और हाईएस्ट इन द रूम, बिलबोर्ड हॉट 100 चार्ट में टॉप पर रहे हैं।

दैनिक भास्कर 22 Nov 2025 2:17 pm

35 साल के हुए एक्टर कार्तिक आर्यन:जन्मदिन के मौके पर दर्शन करने सिद्धिविनायक मंदिर पहुंचे, फैंस ने दी शुभकामनाएं

एक्टर कार्तिक आर्यन आज अपना 35वां जन्मदिन मना रहे हैं। जन्मदिन के मौके पर रविवार को वे मुंबई के सिद्धिविनायक मंदिर में आशीर्वाद लेने के लिए पहुंचे। मंदिर में दर्शन करने के बाद कार्तिक ने फैंस के साथ फोटो क्लिक कराई। जो लोग उनका स्वागत करने आए थे, उन्होंने उनका गुलदस्ता स्वीकार किया। इस दौरान वहां मौजूद पैपराजी और फैंस ने कार्तिक को बर्थडे विश किया, जिसके लिए उन्होंने सबका धन्यवाद किया। 'प्यार का पंचनामा' से अपने करियर की शुरुआत की कार्तिक का असली नाम कार्तिक तिवारी है। उनका जन्म 22 नवंबर 1990 को ग्वालियर, मध्य प्रदेश में हुआ था। इंजीनियरिंग की पढ़ाई के दौरान ही उन्होंने फिल्मों की ओर रुख किया। उन्होंने अपने एक्टिंग करियर की शुरुआत साल 2011 में लव रंजन की फिल्म प्यार का पंचनामा से की। इसके बाद उन्होंने आकाश वाणी (2013) और कांची (2014) में काम किया, लेकिन शुरुआती फिल्में खास सफल नहीं रहीं। साल 2015 में आई प्यार का पंचनामा 2 और 2018 की सोनू के टीटू की स्वीटी से उन्हें पहचान मिली। इसके बाद लुका छुपी और पति पत्नी और वो जैसी फिल्मों ने उन्हें स्टार बना दिया। कार्तिक ने धमाका (2021) और फ्रेडी (2022) जैसी थ्रिलर फिल्मों में भी अपनी एक्टिंग से सबको चौंकाया। वहीं, उनकी सुपरहिट फिल्मों में भूल भुलैया 2 (2022) और भूल भुलैया 3 (2024) शामिल हैं। हाल ही में उन्हें अपनी फिल्म चंदू चैंपियन में मुरलीकांत पेटकर का किरदार निभाने के लिए फिल्मफेयर अवार्ड्स 2025 में बेस्ट एक्टर अवॉर्ड मिला है। कबीर खान ने कार्तिक की मेहनत की तारीफ की हाल ही में फिल्म चंदू चैंपियन के डायरेक्टर कबीर खान ने दैनिक भास्कर से खास बातचीत में कार्तिक को बेस्ट एक्टर का अवॉर्ड मिलने पर खुशी जताई। उन्होंने कहा, “कार्तिक ने इस फिल्म के लिए जिस लेवल की मेहनत की, वैसी मेहनत बहुत कम एक्टर करते हैं। डेढ़ साल तक उन्होंने खुद को पूरी तरह रोल के हवाले कर दिया। बॉक्सिंग सीखी, स्विमिंग सीखी, और सबसे मुश्किल बिना पैरों के स्विमिंग सीखना भी। उन्होंने अपने शरीर को 37 प्रतिशत फैट से घटाकर सिर्फ 7 प्रतिशत तक लाया। ये किसी आम कलाकार के बस की बात नहीं।” जब उनसे पूछा गया कि कार्तिक आर्यन, जिनकी पहचान प्यार का पंचनामा और लुका छुपी जैसी हल्की-फुल्की फिल्मों के किरदारों से रही है, उन्हें चंदू चैंपियन जैसे गंभीर और चुनौतीपूर्ण रोल के लिए क्यों चुना गया, तो इस पर कबीर खान ने बताया कि उनके करियर की खासियत यही रही है कि वे हमेशा कलाकारों को उनकी सहज छवि से बाहर निकालते हैं। उन्होंने कहा, “जब मैंने न्यूयॉर्क में कैटरीना कैफ को लिया, तो वो उनके करियर का सबसे अलग रोल था। फिल्म काबुल एक्सप्रेस में जॉन अब्राहम, 83 में रणवीर सिंह और बजरंगी भाईजान में सलमान खान इन सबने अपने करियर के सबसे चुनौतीपूर्ण किरदार निभाए। अब कार्तिक ने भी वैसा ही किया है। मेरे लिए यही सिनेमा का असली मजा है किसी एक्टर के अंदर वो रॉ मटीरियल देखना और उसे नए किरदार में ढाल देना।”

दैनिक भास्कर 22 Nov 2025 1:28 pm

पंजाबी सिंगर हरमन की एक्सीडेंट में मौत:घर लौटते वक्त ट्रक से टकराई कार, शूटिंग से लौट रहे थे; मिस पूजा संग हिट हुई थी जोड़ी

पंजाबी सिंगर हरमन सिद्धू की देर रात सड़क हादसे में मौत हो गई। हादसा शुक्रवार रात करीब 12 बजे हुआ। उनकी कार एक ट्रक से जा टकराई, जिससे मौके पर ही उनकी मौत हो गई। रात के वक्त हरमन सिद्धू मानसा से अपने गांव ख्याला जा रहे थे। हादसे के कारणों का अभी तक पता नहीं चल पाया है। मानसा पुलिस ने मौके पर पहुंचकर शव को सिविल अस्पताल पहुंचाया और परिवार को सूचित किया। हरमन सिद्धू का आज गांव ख्याला में अंतिम संस्कार किया जाएगा। हरमन सिद्धू की मौत से पंजाबी म्यूजिक इंडस्ट्री में शोक की लहर है। कुछ महीनों में एक के बाद एक कई पंजाबी कलाकारों की मौत हो गई है। इनमें राजवीर जवंदा, जसविंदर भल्ला भी शामिल हैं। सिंगर मिस पूजा के साथ हिट रही जोड़ीसिंगर हरमन सिद्धू एक दशक पहले तक डुएट गीतों के दौर में अपने करियर के चरम पर रहे हैं। इनकी कैसेट पेपर ते प्यार को लोगों ने भरपूर प्यार दिया और रातों-रात अखाड़ों का सरताज बना दिया। मिस पूजा के साथ इनकी हिट जोड़ी रही। मिस पूजा के साथ इन्होंने कई म्यूजिक एलबम में काम किया। दूसरी पारी की करने वाले थे शुरुआतदोगाना सिंगिंग का दौर खत्म होने के बाद सिंगर हरमन सिद्धू अब नए दौर की सिंगिंग के हिसाब से पारी की शुरुआत करने वाले थे। उनके 2025 के अंत तक दो गीत रिलीज होने वाले थे। पारिवारिक सूत्र बताते हैं कि गीतों की शूटिंग पूरी हो चुकी थी। इन्हीं गीतों की शूटिंग और म्यूजिक के सिलसिले में सिद्धू मानसा गए थे और काम खत्म होने के बाद घर लौट रहे थे। पिता की डेढ़ साल पहले मौत, घर पर पत्नी, मां और बेटी छूटेपारिवारिक सूत्रों का कहना है कि हरमन के पिता का अभी डेढ़ साल पहले ही निधन हुआ है। घर पर अब उनकी मां, पत्नी और बेटी रह गए हैं। हरमन सिद्धू अपने माता-पिता की इकलौती संतान थे।

दैनिक भास्कर 22 Nov 2025 12:19 pm

श्रद्धा कपूर को फिल्म की शूटिंग के दौरान लगी चोट:डांस करते समय टूटी पैर की उंगली, दो हफ्ते तक रुकी रहेगी शूटिंग

एक्ट्रेस श्रद्धा कपूर इन दिनों अपनी अपकमिंग फिल्म ईथा पर काम कर रही हैं। यह फिल्म मशहूर लावणी डांसर और तमाशा कलाकार विठाबाई भाऊ नारायणगांवकर की बायोपिक है। फिल्म की शूटिंग महाराष्ट्र के नासिक के पास औंधेवाडी में चल रही थी। अब फिल्म की शूटिंग को लेकर मिड डे की एक रिपोर्ट में दावा किया गया है कि पिछले हफ्ते डायरेक्टर लक्ष्मण उतेकर को शूटिंग रोकनी पड़ी, क्योंकि श्रद्धा के बाएं पैर की एक उंगली में फ्रैक्चर हो गया। चोट उन्हें उस समय लगी, जब वह लावणी डांस का एक सीन कर रही थीं। एक सूत्र ने बताया कि लावणी संगीत में तेज ताल और फास्ट स्टेप्स होते हैं। इस गाने को संगीतकार अजय गोगावले और अतुल गोगावले ने तैयार किया है। श्रद्धा इस गाने में चमकीली नऊवारी साड़ी, भारी गहनों और कमरपट्टा में नजर आने वाली थीं। उन्होंने युवा विठाबाई का रोल निभाने के लिए करीब 15 किलो वजन बढ़ाया था। डांस के एक स्टेप में उन्होंने सारा वजन बाएं पैर पर डाल दिया और उनका बैलेंस बिगड़ गया, जिससे उन्हें चोट लगी। श्रद्धा की चोट के बाद लक्ष्मण उतेकर ने नासिक का शूटिंग शेड्यूल कैंसिल कर दिया। हालांकि श्रद्धा चाहती थीं कि समय बर्बाद न हो। उन्होंने सुझाव दिया कि जिन सीन में मूवमेंट नहीं है, उन्हें मुंबई में शूट किया जा सकता है। सूत्रों के मुताबिक, टीम ने मुंबई के मड आइलैंड में सेट बनाकर क्लोज-अप और इमोशनल सीन की शूटिंग शुरू की, लेकिन दो दिन बाद श्रद्धा का दर्द बढ़ गया, इसलिए शूटिंग फिर रोकनी पड़ी। अब टीम दो हफ्ते बाद, उनके पूरी तरह ठीक होने के बाद, शूटिंग दोबारा शुरू करेगी। बता दें कि श्रद्धा कपूर के अलावा, इस फिल्म में रणदीप हुड्डा और मोहम्मद जीशान अय्यूब भी अहम भूमिका निभाएंगे। फिल्म का डायरेक्शन लक्ष्मण उतेकर कर रहे हैं और इसे दिनेश विजान की मैडॉक फिल्म्स द्वारा प्रोड्यूस किया जा रहा है।

दैनिक भास्कर 22 Nov 2025 12:07 pm