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Russia Robot: सबके सामने हो गई फजीहत, चलते-चलते अचानक गिरा रूस का AI रोबोट, वीडियो वायरल

Russia Robot:घटना के बाद रोबोट के डेवेलपर्स ने उसे लोगों की आंखों के आगे से हटा दिया. अब इंजीनियर्स उसके बैलेंस सिस्टम और कंट्रोल सॉफ्टवेयर्स की जांच कर रहे हैं. रूस की रोबोटिक्स फर्म आइडल के सीईओ व्लादिमीर वितूखिन ने कहा, उम्मीद है कि इस गलती से हमें सीख मिलेगी.

ज़ी न्यूज़ 12 Nov 2025 11:37 pm

क्रूज शिप का खुशनुमा सफर बन गया आखिरी, 18 साल की लड़की की रहस्यमयी हालात में मौत

नवंबर 2025 के पहले हफ्ते में 18 साल की यंग स्टूडेंट की क्रूज शिप में रहस्यमयी हालात में मौत हो गई, जिसकी जांच अमेरिकी एजेंसी एफबीआई ने अपने हाथों में ले ली है.

ज़ी न्यूज़ 12 Nov 2025 10:59 pm

चलती ट्रेन में ड्राइवर को आ गई नींद! बाल-बाल बचे यात्री, महिला पायलट बोलीं - 'रिलैक्स, रिलैक्स!'

Train Accident News in Hindi: जरा आंख बंद करके कल्पना कीजिए कि आप जिस ट्रेन में सफर कर रहे हों, उसका ड्राइवर ट्रेन को रामभरोसे छोड़कर सो जाए. कुछ ऐसा 24 सितंबर को अमेरिका में यात्रियों के साथ हुआ तो यात्रियों के होश फाख्ता हो गए.

ज़ी न्यूज़ 12 Nov 2025 10:52 pm

सऊदी अरब में मूसलाधार बारिश और तूफान, सड़कों पर भरा पानी, रेंगती दिखी गाड़ियां

सऊदी अरब एक सूखा इलाका है, लेकिन यहां पर आई तूफानी बारिश ने अचानक माहौल बदल दिया. सड़कों पर बारिश का पानी भर गया, जिससे ट्रैफिक की आवाजाही पर असर पड़ा.

ज़ी न्यूज़ 12 Nov 2025 10:11 pm

Israel US News: 'बीबी' को माफ कर दें... 'ट्रंप ने इजरायली राष्ट्रपति को लिखी चिट्ठी, बदले में मिला ये जवाब

Benjamin Netanyahu Latest News: अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने इजरायल के राष्ट्रपति इसाक हर्जोग को चिट्ठी लिखी है. इस चिट्ठी में उन्होंने पीएम बेंजामिन नेतन्याहू को भ्रष्टाचार केस में माफ कर देने का आग्रह किया है.

ज़ी न्यूज़ 12 Nov 2025 9:56 pm

एपस्टीन के लीक ईमेल से US में मचा हंगामा, डेमोक्रेट्स का दावा लड़कियों के बारे में सब जानते है ट्रंप

USA: डेमोक्रेट्स ने कुछ ईमेल जारी किए हैं जो अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और दोषी ठहराए गए यौन अपराधी जेफरी एपस्टीन के बीच संबंधों को लेकर नए सवाल खड़े करते हैं. द न्यू यॉर्क टाइम्स की रिपोर्ट के अनुसार, इन संदेशों में एपस्टीन ने दावा किया है कि ट्रंप ने अपनी एक पीड़िता के साथ मेरे घर पर घंटों बिताए और लड़कियों के बारे में जानते थे.

ज़ी न्यूज़ 12 Nov 2025 9:47 pm

इस मुस्लिम बहुल देश में किया LGBTQ का प्रचार तो लगेगा तगड़ा जुर्माना, खानी पड़ेगी जेल की हवा

Kazakhstan LGBTQ: कजाख राष्ट्रपति कासिम-जोमार्ट तोकायेव ने हाल के महीनों में बार-बार 'पारंपरिक मूल्यों' को बनाए रखने की जरूरत पर जोर दिया है. ये बिल कानून का रूप तभी लेगा जब इस पर उनके दस्तखत होंगे. सांसदों ने सर्वसम्मति से बैन के पक्ष में वोट किया.

ज़ी न्यूज़ 12 Nov 2025 3:55 pm

रूस-यूक्रेन के बाद अब जंग में कूदेंगे वेनेजुएला और अमेरिका? अलर्ट में रखी सेना; US ने तैनात किए एयरक्राफ्ट कैरियर

America- Venezuela Conflict: अमेरिका और वेनेजुएला के बीच लगातार तनाव बढ़ते जा रहा है. इसको लेकर दोनों देशों ने अपनी सेना को एक्टिव कर दिया है.

ज़ी न्यूज़ 12 Nov 2025 2:40 pm

पाकिस्तान : स्वात में बम धमाका, अवामी नेशनल पार्टी के नेता की गाड़ी के पास हुआ विस्फोट, बाल-बाल बचे खान

पाकिस्तान में बुधवार को खैबर पख्तूनख्वा के स्वात में एक बम धमाका हुआ। अवामी नेशनल पार्टी नेता मुमताज अली खान की गाड़ी के पास विस्फोट किया गया। इस हमले में खान बाल-बाल बच गए उन्हें कोई नुकसान नहीं हुआ

देशबन्धु 12 Nov 2025 2:03 pm

ट्रंप ने एच-1बी वीजा में किया बड़ा बदलाव, कहा- अमेरिका को विदेशी प्रतिभाओं की जरूरत

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने एच-1बी वीजा प्रोग्राम का बचाव करते हुए कहा कि अमेरिका को कुछ खास उद्योगों के लिए विदेशी प्रतिभा की जरूरत है

देशबन्धु 12 Nov 2025 11:54 am

बोट में छिपकर यूरोप पहुंच रहे थे प्रवासी, अचानक पलटी नाव; 3 लोगों की मौत

Greece Migrant Boat Capsize: ग्रीस में एक प्रवासी बोट पलटने से 3 लोगों की मौत हो गई. हादसे को लेकर लापता लोगों की खोजबीन की जा रही है.

ज़ी न्यूज़ 12 Nov 2025 11:51 am

ऑस्ट्रेलिया : केबिन में धुआं निकलने के कारण क्वांटास विमान की करानी पड़ी इमरजेंसी लैंडिंग

दक्षिण ऑस्ट्रेलिया से राष्ट्रीय राजधानी कैनबरा जा रहे क्वांटास के एक विमान को बुधवार सुबह उड़ान भरने के कुछ ही देर बाद केबिन में धुआं निकलने के कारण आपातकालीन लैंडिंग करानी पड़ी

देशबन्धु 12 Nov 2025 11:22 am

अवामी लीग ने किया 'ढाका लॉकडाउन' का ऐलान, पुलिस बोली 'नियंत्रण में सब कुछ'

बांग्लादेश की पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना की अवामी लीग (एएल) ने ढाका लॉकडाउन का ऐलान किया है। गुरुवार को होने वाले संभावित बंद पर पुलिस प्रशासन की कड़ी नजर है

देशबन्धु 12 Nov 2025 7:40 am

Droupadi Murmu Botswana Visit: नृत्‍य से जागती हैं आत्‍माएं, गाय की होती है पूजा; कालाहारी के 'दिल' की कहानी

Droupadi Murmu Botswana Visit: राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू बोत्सवाना पहुंच गई हैं.राजधानी गाबोरोन में औपचारिक स्वागत समारोह के साथ अपने ऐतिहासिक राजकीय दौरे की शुरुआत की.बोत्सवाना अफ्रीका के सबसे खुशहाल देशों में से है. बोत्सवाना का लगभग 70 फीसद हिस्सा कालाहारी रेगिस्तान से ढका हुआ है. चलिए जानते हैं यहां के इतिहास के बारे में.

ज़ी न्यूज़ 12 Nov 2025 6:59 am

स्पॉटलाइट-महिला की पलकों पर 250 से ज्यादा जिंदा जूं:आंखों तक कैसे पहुंची जूं, क्यों और कितना मुश्किल है इसका इलाज, देखें वीडियो

ढाई महीने से आंखों में खुजली झेल रही महिला की पलकों पर 250 से ज्यादा जूं और 85 अंडे मिले. डॉक्टर्स ने इसे रेयर बीमारी ‘फ़्थिरियासिस पैल्पेब्रारम’ बताया. लेकिन जुएं पलकों तक कैसे पहुंचीं और इसका इलाज क्या है, जानने के लिए ऊपर दी गई इमेज पर क्लिक कर देखें वीडियो...

दैनिक भास्कर 12 Nov 2025 4:54 am

एक पोस्टर से हुआ डॉक्टर्स के आतंकी मॉड्यूल का खुलासा:एक महीने में 7 ठिकानों से आतंकी पकड़े गए, फिर दिल्ली में कैसे हुई चूक

पिछले 30 दिनों में भारत की एजेंसियों ने आतंकी मॉड्यूल पर 7 बड़े वार किए। कोई इंजीनियर था, कोई मौलवी, तो कोई डॉक्टर। जम्मू-कश्मीर के एक पोस्टर से शुरू हुई यह कहानी फरीदाबाद के क्लिनिक तक पहुंची। करीब 2900 किलो विस्फोटक भी जब्त किया गया, लेकिन आखिरी अहम कड़ी तक पहुंचते, उससे पहले ही दिल्ली के लालकिले के करीब ब्लास्ट हो गया। भास्कर एक्सप्लेनर में इससे जुड़े 5 जरूरी सवालों के जवाब… सवाल-1: जांच एजेंसियों ने 1 महीने में कैसे रोके 7 बड़े आतंकी हमले? जवाब: बीते ठीक 1 महीने के अंदर सुरक्षा एजेंसियों ने देश भर में अलग-अलग 7 ठिकानों से संदिग्ध आतंकियों को गिरफ्तार किया। इनके पास से भारी मात्रा में विस्फोटक और हथियार बरामद हुए… 1. 15 सितंबर: सहारनपुर से आतंकी गिरफ्तार 2. 9 अक्टूबर: पंजाब से दो आतंकी पकड़े गए 3. 17 अक्टूबर: जैश-ए-मोहम्मद से जुड़े दो संदिग्ध गिरफ्तार 4. 24 अक्टूबर: दिल्ली से ISIS के 2 आतंकी पकड़े गए 5. 28 अक्टूबर: अल-कायदा से जुड़ा इंजीनियर 6. 7 नवंबर: टीटीपी से संबंध में एक मौलवी गिरफ्तार 7. 9 नवंबर: अहमदाबाद से ISIS के 3 आतंकी गिरफ्तार इनके अलावा जम्मू-कश्मीर में एक पोस्टर से सुरक्षा एजेंसियों को क्लू मिला, जिसके बाद उत्तर प्रदेश के लखनऊ तक तीन प्रमुख आतंकी पकड़े गए, जो पेशे से डॉक्टर्स थे। डॉक्टर्स का ये आतंकी मॉड्यूल पूरे देश में अमोनियम नाइट्रेट के बम से हमले को अंजाम देने की फिराक में था। सवाल-2: एक पोस्टर से कैसे पकड़ा गया डॉक्टर्स का आतंकी मॉड्यूल? जवाब: 10 नवंबर को दिल्ली में धमाके से पहले हरियाणा के फरीदाबाद में 360 किलो विस्फोटक मिलने से पहले जम्मू-कश्मीर के नौगांव में एक पोस्टर दिखाई दिया था, जिससे पूरी साजिश का खुलासा हुआ… जांच के मुताबिक ये मॉड्यूल 2021-22 में बनना शुरू हुआ था। शुरुआत में एक हाशिम नाम का व्यक्ति लोगों को इकट्‌ठा कर रहा था। उसके बाद कश्मीर घाटी में डॉ. उमर ने मॉड्यूल को लीड किया। इस मॉड्यूल का मकसद IED बनाना और देश भर में आतंकी हमले करना था। ये लोग लश्कर-ए-तैयबा, जैश-ए-मोहम्मद और अंसर गजवात-उल-हिंद (AGuH) जैसे आतंकी संगठनों से जुड़कर अपनी खुद की एक तंजीम यानी आतंकी संगठन भी बनाना चाह रहे थे। आदिल की गिरफ्तारी के बाद जम्मू-कश्मीर पुलिस ने हरियाणा के फरीदाबाद से उत्तर प्रदेश के लखनऊ तक 15 दिन अभियान चलाकर 2900 किलो विस्फोटक (संदिग्ध अमोनियम नाइट्रेट) जब्त किया। सवाल-3: अगर 2900 किलो विस्फोटक फटता तो कितनी तबाही होती? जवाब: 2900 किलो अमोनियम नाइट्रेट का बम 2.3 टन के TNT बम के बराबर धमाका करेगा। अगर आतंकी इतने बारूद को एक साथ किसी जगह पर ब्लास्ट कर देते, तो 50 मीटर का इलाका पूरी तरह नष्ट हो जाता। अगर भीड़-भाड़ वाले इलाके में धमाका होता, तो सैकड़ों लोगों की जान जा सकती थी। इतने दायरे में 14,400 किमी/घंटा की स्पीड वाली तरंगें लोगों के फेफड़े फाड़ देतीं। इतने विस्फोटक से 150 मीटर तक के दायरे में इमारतों की दीवारें ढह सकती हैं। करीब 400 मीटर इमारतों में लगे कांच टूट सकते हैं और करीब 800 मीटर तक तेज कंपन महसूस हो सकता है। 1995 में अमेरिका के ओक्लाहोमा सिटी में करीब 1800 किलो अमोनियम नाइट्रेट का इस्तेमाल किया गया था। इसमें 168 लोगों की जान गई थी और 600 से ज्यादा लोग घायल हुए थे। अगर आतंकियों के इकट्‌ठा किए हुए 2900 किलो अमोनियम नाइट्रेट में एक साथ विस्फोट होता, तो ओक्लाहोमा बॉम्बिंग से दोगुना बड़ा हादसा होता। सवाल-4: दिल्ली ब्लास्ट रोकने में चूक कैसे हो गई? जवाब: अभी तक इसे लेकर कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है, लेकिन विपक्षी नेता और जानकार कई लेवल की चूक बता रहे हैं… 1. कई बार बिकी ब्लास्ट वाली कार, चालान भी कटा लाल किले के पास जिस कार में ब्लास्ट हुआ, वह हरियाणा नंबर की i20 थी। कार हरियाणा के गुरुग्राम में सलमान के नाम पर रजिस्टर्ड थी। सुरक्षा एजेंसियों के मुताबिक ये कार बार-बार बेची गई। इसकी RC पर नाम मोहम्मद सलमान और तारीख 18 मार्च 2014 लिखी है। इससे पहले ये कार साउथ कश्मीर के पुलवामा के समबोरा गांव में रहने वाले तारिक को बेची गई थी। एक फोटो सामने आई है, जिसमें कार के साथ एक शख्स दिखाई दे रहा है। इसके तारिक होने का दावा किया जा रहा है। फरीदाबाद के तिकोना पार्क में 20 सितंबर, 2025 को गलत जगह पार्किंग करने पर इस कार का 1500 रुपए का चालान कटा था। ये जगह डॉ. मुजम्मिल शकील के घर से सिर्फ 25 किमी दूर है। इस बीच कार सवार पकड़े जाने से बचते रहे और विस्फोटक दिल्ली तक पहुंच गया। 2. भारी मात्रा में विस्फोटक इकट्ठा होता रहा हरियाणा में मौलवी के घर से 2500 किलो विस्फोटक बरामद हुआ। कुल विस्फोटक कितना था और किन रास्तों से इकट्‌ठा किया गया, इसकी पूरी छानबीन नहीं हो पाई है। अमोनियम नाइट्रेट जैसे खतरनाक केमिकल को बिना लाइसेंस नहीं खरीदा जा सकता। इसके बावजूद आतंकी भारी मात्रा में इसे इकट्‌ठा करते रहे। हाई अलर्ट के बावजूद विस्फोटक की पूरी खेप पकड़ी नहीं जा सकी और दिल्ली तक विस्फोटक पहुंच गया। हालांकि अभी साफ नहीं है कि दिल्ली जैसे हाई-सिक्योरिटी वाले इलाके में जो विस्फोटक पहुंचा, उसका सोर्स फरीदाबाद मॉड्यूल से है या नहीं, जहां से 360 किलो अमोनियम नाइट्रेट जब्त किया गया था। 3. तीन घंटे कार पार्किंग में रही, कार चला रहा उमर नहीं पकड़ा गया पुलिस के मुताबिक कार में बैठे शख्स का नाम डॉ. मोहम्मद उमर नबी है। वह पुलवामा का रहने वाला है। पुलिस सूत्रों के मुताबिक उमर ने विस्फोटकों के साथ खुद को उड़ा लिया। सीसीटीवी फुटेज के मुताबिक, कार लाल किले के पास सुनहरी मस्जिद पार्किंग में तीन घंटे रुकी। कई फुटेज खंगाले गए, लेकिन अभी तक चेकिंग से जुड़ा कोई सुराग नहीं मिला है। कहा जा रहा है कि उमर ही धमाके के समय मास्क पहने कार में सवार था। जिसे समय रहते पकड़ा नहीं जा सका। सवाल-5: अभी किन सवालों के जवाब मिलने बाकी हैं? जवाब: दिल्ली ब्लास्ट से जुड़े 6 सवालों के जवाब मिलने अभी बाकी हैं… 1. कौन सा और कितना विस्फोटक इस्तेमाल हुआ: शुरुआती फोरेंसिक जांच से पता चला है कि अमोनियम नाइट्रेट फ्यूल ऑयल (ANFO) के विस्फोटक का इस्तेमाल हुआ, इसका फरीदाबाद में पकड़े गए विस्फोटक से कनेक्शन बताया जा रहा है, लेकिन अभी तक इसकी आधिकारिक पुष्टि नहीं हुई है। 2. क्या कार में डॉ. उमर के साथ कोई और भी था: माना जा रहा है कि फरीदाबाद मॉड्यूल खुलासे के बाद उमर ने पकड़े जाने के डर से घबरा कर विस्फोट कर दिया। हालांकि अभी डीएनए टेस्ट से इसकी पुष्टि होनी बाकी है। उसके परिवार के 6 सदस्यों को पुलवामा से हिरासत में लिया गया है। 3. हाई-सिक्योरिटी जोन में कार कैसे पहुंची: कार बदरपुर बॉर्डर से फरीदाबाद होते हुए दिल्ली में घुसी, लाल किले तक दो-तीन घंटे रुक-रुक कर चली, लेकिन बिना किसी चेकिंग के कार हाई-सिक्योरिटी चेकपॉइंट्स को पार करते हुए पार्किंग तक पहुंच गई। 4. पार्किंग में तीन घंटे गाड़ी क्यों खड़ी रही: सीसीटीवी फुटेज के आधार पर कहा जा रहा है कि धमाके से पहले डॉ. उमर पार्किंग में कार के अंदर ही बैठा रहा। संदिग्ध या तो किसी का इंतजार कर रहा था या किसी के ऑर्डर का इंतजार कर रहा था। 5. धमाके के पीछे की वजह क्या: लाल किला सोमवार को बंद रहता है, इसलिए भीड़ कम होने पर अंदर घुसना मुश्किल था, लेकिन नेहरू सुभाष मार्ग की रेड लाइट के पास का इलाका चुनने से आतंकियों का मकसद साफ है कि वह ज्यादा से ज्यादा नुकसान पहुंचाना चाहते थे। हालांकि अभी ये पुष्टि नहीं हुई है कि लाल किले जैसी ऐतिहासिक जगह को निशाना बनाने का मकसद कोई विदेशी साजिश है या दिल्ली में दहशत फैलाकर कोई राजनीतिक संदेश देने की कोशिश है। 6. क्या यह आतंकी हमला था: अभी तक किसी आतंकी संगठन ने इसकी जिम्मेदारी नहीं ली है। हमले के पीछे जैश-ए-मोहम्मद का हाथ माना जा रहा है। हालांकि जैश का लिंक संदिग्ध है, क्योंकि जैश पुलवामा जैसे IED हमलों का पैटर्न फॉलो करता है, जिनमें ज्यादा से ज्यादा नुकसान पहुंचाने के लिए विस्फोटक में छर्रे और कीलें मिलाई जाती हैं। जबकि दिल्ली के पुलिस कमिश्नर सतीश गोलचा के मुताबिक, घायलों के शरीर पर पैलेट या छेद के निशान नहीं मिले हैं। ये बम धमाकों में असामान्य है। सभी एंगल से जांच की जा रही है। **** रिसर्च सहयोग: किशन कुमार ---- ये खबर भी पढ़िए... क्या खाद बनाने वाले केमिकल से किया दिल्ली ब्लास्ट:क्या होता है अमोनियम नाइट्रेट फ्यूल ऑयल, ये आसानी से पकड़ में क्यों नहीं आता 10 नवंबर को दिल्ली में लाल किले के पास हुए 'बम धमाके' में ANFO यानी अमोनियम नाइट्रेट फ्यूल ऑयल का इस्तेमाल किया गया। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, सूत्रों ने जांच की शुरुआती रिपोर्ट के हवाले से ये जानकारी दी है। ANFO में विस्फोट करने के लिए डेटोनेटर को मैन्युअली ट्रिगर किया गया। पूरी खबर पढ़िए...

दैनिक भास्कर 12 Nov 2025 4:50 am

दिल्ली ब्लास्ट-कौन है डॉक्टरों का ब्रेनवॉश करने वाला मौलवी इरफान:PoK में प्लानिंग, कश्मीर से कनेक्शन, कैसे यूनिवर्सिटी बनी शकील-उमर का ठिकाना

दिल्ली में लाल किले के पास कार में हुए ब्लास्ट के तार पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर तक पहुंच रहे हैं। भारत में आतंकी हमलों के लिए 3-4 महीनों से साजिश रची जा रही थी। इसके पीछे आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद और लश्कर-ए-तैयबा शामिल थे। खुफिया एजेंसियों को इसके संकेत PoK में आतंकियों के इंटरसेप्ट कम्युनिकेशन से मिले हैं। जांच एजेंसियों को पता चला है जैश-ए-मोहम्मद की महिला विंग अक्टूबर से भारत में एक्टिव हो गई थी। इनका मकसद लड़कियों का ब्रेनवॉश करना था। फरीदाबाद से अरेस्ट किए गए तीन डॉक्टर इसी मॉड्यूल का हिस्सा थे। इस मॉड्यूल का दिल्ली ब्लास्ट से लिंक होने के सबूत मिल रहे हैं। सुरक्षा एजेंसियां इन सबूतों को वेरिफाई कर रही हैं। दैनिक भास्कर के सोर्स बताते हैं कि फरीदाबाद में भारी मात्रा में मिले विस्फोटक से साफ है कि दिल्ली के आसपास बड़े हमले की साजिश थी। इससे जुड़े इनपुट मिलने के बाद खुफिया एजेंसियों ने PoK में चल रही एक्टिविटी को इंटरसेप्ट किया। आखिर पुलिस इस नेटवर्क तक पहुंच गई। इसकी शुरुआत कश्मीर के नौगाम से हुई। इसी दौरान पुलिस मौलवी इरफान अहमद तक भी पहुंची, जिसने डॉक्टरों को ब्रेनवॉश किया था। सुरक्षा एजेंसियों को पता चला है कि आतंकी संगठन भारत में पुराने नेटवर्क को PoK से एक्टिव करने की कोशिश कर रहे हैं। PoK में आतंकियों की मीटिंग, तीन बातों पर फोकससोर्स बताते हैं कि अगस्त से अक्टूबर के बीच PoK में आतंकियों के अलग-अलग गुटों की हाई लेवल मीटिंग हुई थी। इसमें जमात-ए-इस्लामी के अलावा ISI के सीनियर अफसर शामिल थे। इनकी बातचीत को भारत की खुफिया एजेंसियों ने इंटरसेप्ट किया था। इन मीटिंग में 3 बड़ी बातें हुई थीं। 1. भारत में एक्टिव रहे आतंकी ग्रुप पिछले कुछ साल में निष्क्रिय हो गए हैं। इसकी वजह फंडिंग की कमी और कमांड न मिलना है। ऐसे ग्रुप को फंडिंग करके दोबारा एक्टिव करना। 2. आतंकी कैंपों में ट्रेनिंग ले चुके पूर्व कमांडरों को फिर से काम पर लगाना। उन्हें ट्रेनिंग के दौरान पैसे मिलते थे। इसके बाद भी हर महीने वजीफा दिया जाता था। इसे फिर से शुरू करना। 3. भारत में स्लीपर सेल को एक्टिव करना। फिदायीन हमले के लिए भारत के लोगों का ब्रेनवॉश करना। डॉक्टर मॉड्यूल पुराना, दोबारा एक्टिव होने का शकसोर्स बताते हैं कि PoK में हुई मीटिंग के बाद पुराने स्लीपर सेल को एक्टिव किया गया। शक है कि फरीदाबाद की अलफलाह मेडिकल यूनिवर्सिटी से पकड़े गए डॉ. मुजम्मिल और उसकी दोस्त डॉ. शाहीन भी पुराने नेटवर्क से जुड़े हैं। डॉ. उमर और डॉ. आदिल भी इसी नेटवर्क से जुड़े थे। उन्हें पिछले कुछ महीनों से एक्टिव कर दिया गया। उसके बाद ही वे अलग-अलग जगहों से विस्फोटक जमा कर रहे थे। डॉ. शाहीन जैश-ए-मोहम्मद की महिला विंग जमात उल मोमिनीन का काम संभाल रही थी। उसके पास लड़कियों का ब्रेनवॉश कर नेटवर्क में शामिल करने की जिम्मेदारी थी। डॉक्टर मॉड्यूल के अहम किरदार आदिल मोहम्मद कश्मीर के कुलगाम का रहने वाला है। अनंतनाग के गवर्नमेंट मेडिकल कॉलेज में सीनियर डॉक्टर रहा है। वो 24 अक्टूबर तक पोस्टेड रहा। फिर गायब हो गया। पुलिस के मुताबिक, उसने 27 अक्टूबर को श्रीनगर में जैश-ए-मोहम्मद के पोस्टर लगाए थे। इस पोस्टर से जम्मू-कश्मीर पुलिस को जैश-ए-मोहम्मद के एक्टिव होने का पता चला। इसके बाद पुलिस ने CCTV से सुराग तलाशा। आदिल की पहचान हो गई। उसे ट्रेस करते हुए जम्मू-कश्मीर पुलिस ने 6 नवंबर को यूपी के सहारनपुर से आदिल को अरेस्ट किया। फोन डिटेल्स और पूछताछ से डॉ. मुजम्मिल शकील का सुराग मिला। सुरक्षा एजेंसियों के मुताबिक, पुलवामा के कोइल गांव का रहने वाला डॉ. मुजम्मिल शकील जैश-ए-मोहम्मद नेटवर्क का हिस्सा है। आदिल से सुराग मिलने पर पुलिस ने उसे फरीदाबाद में ट्रेस किया। इसके बाद फरीदाबाद और जम्मू-कश्मीर पुलिस ने उसे अरेस्ट कर लिया। सोर्स बताते हैं कि डॉ. मुजम्मिल शकील के पास से फेस मास्क और 4 विग मिले थे। अंदेशा है कि वो पहचान छिपाने के लिए इनका इस्तेमाल करता था। शकील ने अलफलाह मेडिकल यूनिवर्सिटी के पास दो जगह किराए पर कमरा लिया था। यहां से 360 किलो विस्फोटक, असॉल्ट राइफलें और वॉकी-टॉकी मिला था। दूसरे कमरे से अमोनियम नाइट्रेट बरामद किया गया। पूछताछ और सर्विलांस की मदद से पुलिस को डॉ. शाहीन और डॉ. उमर के बारे में पता चला। इसके बाद डॉ. शाहीन को अरेस्ट किया गया। डॉ. उमर को इसकी भनक लग गई थी। इसलिए वो अपने पास रखा विस्फोटक लेकर गायब हो गया था। लखनऊ से ताल्लुक रखने वाली डॉ. शाहीन भारत में जैश-ए-मोहम्मद की महिला विंग को लीड कर रही थी। उसने प्रयागराज के मेडिकल कॉलेज से पढ़ाई की है। शाहीन को आतंकी मसूद अजहर की बहन सादिया अजहर ने भारत में महिला विंग जमात-उल-मोमिनात की जिम्मेदारी दी थी। ये लड़कियों का ब्रेनवॉश कर उन्हें टास्क देती थी। उसके संपर्क में कौन-कौन था, इसकी जानकारी जुटाई जा रही है। डॉ. शाहीन तीन भाई-बहनों में दूसरे नंबर पर है। उससे छोटा भाई परवेज है। जांच एजेंसियां परवेज को भी तलाश रही हैं। डॉ. शाहीन की शादी महाराष्ट्र के रहने वाले जफर हयात से हुई थी। दोनों का तलाक हो गया। इसके बाद डॉ. शाहीन कानपुर में पढ़ाती रही। फिर नौकरी छोड़ फरीदाबाद चली गई। यहीं वो डॉ. मुजम्मिल से मिली। फरीदाबाद की अलफलाह यूनिवर्सिटी में पढ़ाने वाला डॉ. उमर कश्मीर के पुलवामा का रहने वाला है। दिल्ली में ब्लास्ट वाली कार उमर ही चला रहा था। उसके मारे जाने की खबर है। DNA जांच से ही उसकी मौत की पुष्टि हो सकेगी। हालांकि, सुरक्षा एजेंसियां अब तक इसे आत्मघाती हमला नहीं मान रही हैं। उमर ने जनवरी 2017 में श्रीनगर से MBBS किया था। जम्मू में 7 मार्च 2018 को डॉक्टर का रजिस्ट्रेशन कराया। पिछले डेढ़ साल से अलफलाह यूनिवर्सिटी में पढ़ा रहा था। वो डॉ. सज्जाद के कॉन्टैक्ट में था। डॉ. सज्जाद जम्मू-कश्मीर पुलिस की हिरासत में है। उसे पुलवामा से पकड़ा गया है। कौन है ब्रेनवॉश करने वाला मौलवी इरफान अहमदसोर्स बताते हैं कि फरीदाबाद मॉड्यूल में शामिल सभी डॉक्टरों को मौलवी इरफान अहमद ने कट्टरपंथी बनाया था। वह श्रीनगर के सरकारी मेडिकल कॉलेज में काम करता था और सभी स्टूडेंट के संपर्क में था। इरफान नौगाम मस्जिद का इमाम भी था। सोर्स के मुताबिक, इरफान जैश-ए-मोहम्मद से प्रभावित था। स्टूडेंट्स को वीडियो दिखाता था। उसके अफगानिस्तान में कॉन्टैक्ट थे। वॉयस ओवर इंटरनेट प्रोटोकॉल के जरिए वो वहां बात करता था। इरफान ही इस मॉड्यूल का मास्टरमाइंड है। डॉ. मुजम्मिल और डॉ. उमर उसके काम में शामिल थे। शाहीन ने सिर्फ मदद की। मौलवी इरफान अहमद ने टेलीग्राम और थ्रीमा पर अकाउंट बनाए हुए थे। इनके जरिए वो जैश-ए-मोहम्मद के लिए प्रोपेगैंडा फैलाता था। एक पोस्टर से मिला हिंट, पूरे नेटवर्क तक पहुंची पुलिस 27 अक्टूबर को श्रीनगर के नौगाम में आतंकवादी संगठन जैश-ए-मोहम्मद के समर्थन वाले पोस्टर मिले थे। इस मामले में तीन लोगों को अरेस्ट किया गया। ये कभी श्रीनगर में पत्थरबाजी में शामिल रहे थे। उन्होंने पुलिस को मौलवी इरफान अहमद तक पहुंचाया। मौलवी से मिली जानकारी के आधार पर पुलिस ने डॉ. आदिल और जमीर अहनगर को गिरफ्तार किया। दोनों इरफान के साथ काम करते थे। उनसे पूछताछ के आधार पर जम्मू-कश्मीर पुलिस ने डॉ. मुजम्मिल शकील का पता लगाया। मुजम्मिल फरीदाबाद के धौज में अलफलाह यूनिवर्सिटी में काम करता था। मौलवी का संबंध डॉ. उमर से भी था, जिसे दिल्ली ब्लास्ट के लिए जिम्मेदार माना जा रहा है। फरीदाबाद मॉड्यूल का पर्दाफाश होने के बाद उसने घबराहट में यह हमला किया। अलफलाह यूनिवर्सिटी में एंट्री बैन, 12 हिरासत में10 नवंबर की शाम दिल्ली में हुए बम धमाके के एक दिन बाद जांच एजेंसियों का फोकस फरीदाबाद की अलफलाह यूनिवर्सिटी पर आ गया। 11 नवंबर को दिन भर यूनिवर्सिटी कैंपस में दिल्ली और हरियाणा पुलिस की टीमें सर्च ऑपरेशन करती रहीं। कैंपस में पढ़ने वालों से भी पूछताछ की। पुलिस के मुताबिक, यहां के तीन डॉक्टरों के नाम टेरर मॉड्यूल में सामने आए हैं। मुजम्मिल अहमद गनाई, आदिल मजीद राथर और उमर नबी सीनियर रेसिडेंट डॉक्टर थे और यूनिवर्सिटी में नौकरी करते थे। फिलहाल अलफलाह यूनिवर्सिटी कैंपस के अंदर एंट्री बैन है। यूनिवर्सिटी के गेट सिर्फ पुलिस की गाड़ियों के लिए ही खोले जा रहे हैं। सूत्रों के मुताबिक पुलिस ने मुजम्मिल और उमर को जानने वालों से पूछताछ की है और करीब 14 लोगों को हिरासत में लिया है। इनमें ज्यादातर जूनियर डॉक्टर बताए जा रहे हैं। अल फलाह यूनिवर्सिटी में करीब 40% डॉक्टर कश्मीर के हैं। पुलिस की कार्रवाई से यूनिवर्सिटी के स्टूडेंट भी डरे हुए हैं। मीडिया से बात नहीं करना चाहते। सेकेंड ईयर में पढ़ रहे एक स्टूडेंट ने नाम न जाहिर करते हुए बताया कि डॉ. मुजम्मिल मेरी क्लास में पढ़ाने आते थे। कभी ऐसा नहीं लगा कि वो ये सब करते थे। हमारे लिए ये चौंकाने वाली बात है।’ मुजम्मिल के गांव में पुलिस तैनातअलफलाह यूनिवर्सिटी के पास ही दो गांव फतेहपुर तगा और धौज हैं। दोनों जगह मुजम्मिल ने किराए पर कमरे लिए थे। हरियाणा और जम्मू कश्मीर पुलिस ने 8 नवंबर को एक असाल्ट राइफल, 3 मैगजीन, 83 कारतूस, एक पिस्टल, बरामद की थी। 9 नवंबर को पुलिस की टीमें धौज पहुंची। यहां मुजम्मिल के कमरे से 360 किलो विस्फोटक मिला था।। 10 नवंबर को फिर से दोनों राज्यों की पुलिस फतेहपुर तगा पहुंची। यहां से 2563 किलो विस्फोटक बरामद किया। दैनिक भास्कर की टीम फतेहपुर तगा गांव पहुंची। गांव में पुलिस तैनात है। विस्फोटक मिलने वाली जगह तक किसी को नहीं जाने दे रही है। यहां हम मोहम्मद आसिम से मिले। आसिम बताते हैं, जिस घर से विस्फोटक मिला है, वो अक्सर खाली रहता था। वहां रहने वाले मुजम्मिल यूनिवर्सिटी में डॉक्टर थे। इलाज के सिलसिले में मेरी उनसे 2-3 बार मुलाकात हुई है। ‘डॉ. मुजम्मिल ने बेटी का इलाज किया, नॉर्मल आदमी लगा’मोहम्मद सिराज धौज गांव के रहने वाले हैं। सिराज याद करते हैं, ‘एक बार मेरी बेटी को पेट में दर्द हुआ था। तब इमरजेंसी में डॉ. मुजम्मिल थे। उन्होंने 2-3 घंटे तक इलाज किया। मुझे तब उसका नाम पता नहीं था। मैंने फोटो देखी तो डॉ. मुजम्मिल को पहचान गया। उसका व्यवहार सामान्य लगा था।’ डॉ. उमर डेढ़ साल पहले फरीदाबाद आया, भाभी बोली- हमेशा पढ़ता रहता था दैनिक भास्कर ने पुलवामा में डॉ. उमर के परिवार में बात की। उमर की भाभी मुजम्मिला ने बताया कि वो करीब डेढ़ साल पहले फरीदाबाद गया था। वो हमेशा पढ़ता रहता था। वो फरीदाबाद में पढ़ाता था। हमें बोलता था कि दिल्ली में रहता हूं। ये नहीं बताया कि मैं फरीदाबाद में रहता है।’ दिल्ली ब्लास्ट में बिहार के पंकज की मौतलाल किले के पास हुए ब्लास्ट में 12 मौतें हुई हैं। मरने वालों में बिहार के समस्तीपुर के रहने वाले पंकज कुमार सहनी भी हैं। 22 साल के पंकज कैब चलाते थे। 10 नवंबर को पंकज कैब लेकर चांदनी चौक रेलवे स्टेशन गए थे। उसके बाद लाल किले की तरफ चले गए। पंकज का परिवार 30 साल से दिल्ली-हरियाणा बॉर्डर के पास कंझावला के उपकार विहार में रह रहा है। 2 कमरों के मकान में 5 लोग रहते हैं। इनमें पंकज की मां, पिता, दो छोटी बहनें और एक भाई हैं। पंकज के पिता राम बालक सहनी भी पहले कैब चलाते थे। उन्होंने अस्थमा की वजह से काम छोड़ दिया था। राम बालक बताते हैं, ‘मैं गाड़ी नहीं चला पाता। पंकज की नौकरी गई तो मैंने उससे कहा कि गाड़ी चला ले। उसी से हमारा घर चल रहा था। वो उस दिन पड़ोस के एक परिवार को लेकर पुरानी दिल्ली गया था। वापसी की सवारी मिल गई होगी, इसलिए लाल किला चला गया।' 'हमें ब्लास्ट के बारे में रात 9 बजे पता चला। हम उसे कॉल करते रहे, लेकिन फोन ऑफ आया। हमें लगा कि उसके साथ कुछ गलत हुआ है। हम लाल किला की तरफ गए। वहां सब बंद था। पुलिस से मदद मांगी तो उन्होंने थाने भेज दिया। पुलिस वाले ने नाम और नंबर लेकर बोल दिया कि सुबह आना।’ राम बालक आगे बताते हैं, ‘हम LNJP हॉस्पिटल चले गए। वहां कोई अंदर नहीं जाने दे रहा था। फिर एक व्यक्ति ने पंकज की जली गाड़ी दिखाई। उसका नंबर दिख रहा था। मुझ लग गया कि पंकज अब दुनिया में नहीं है। पूरी रात इधर-उधर भागने के बाद सुबह साढ़े चार बजे पता चला कि पंकज नहीं रहा।’ ब्लास्ट में घायल हुए, लेकिन लिस्ट में नाम नहींLNJP हॉस्पिटल के बाहर हमें विजय यादव मिले। बिहार के सहरसा जिले के रहने वाले हैं। लाल किले के पास पानी बेचते हैं। ब्लास्ट हुआ, तब वे उसी जगह मौजूद थे। ब्लास्ट से घायल हो गए, लेकिन उनका नाम घायलों की लिस्ट में नहीं है। विजय के सिर, बाएं हाथ और चेहरे पर पट्टी लगी है। वे कहते हैं, ‘मैं ब्लास्ट वाली जगह से 10 कदम दूर था। मुझे भी हैरानी है कि मैं कैसे बच गया। बहुत तेज ब्लास्ट था। हर तरफ सिर्फ धुआं था। मैं जमीन पर गिर गया। उठा तो देखा दो लोग तड़प रहे थे। मेरी ऐसी हालत नहीं थी कि उनकी मदद करूं। मेरा हाथ काम नहीं कर रहा था।’ ब्लास्ट में घायल राम प्रसाद लाल किले के पास छोले-कुल्चे की दुकान लगाते हैं। वे ब्लास्ट वाली जगह से 10-15 कदम दूर थे। उनके दोनों हाथों में चोट लगी हैं। घायल होने के बाद उन्होंने प्राइवेट क्लीनिक में मरहम पट्टी करवाई। राम कहते हैं, ‘ब्लास्ट के बाद कोई चीज मेरे हाथों से टकराई। रात में ही मैंने पट्टी करवा ली। अभी इलाज के लिए यहां आया, तो मुझे अंदर नहीं जाने दे रहे हैं। कह रहे हैं कि इमरजेंसी में वही लोग आएंगे, जो ज्यादा घायल हैं। हमारी एंट्री नहीं होगी। प्राइवेट हॉस्पिटल में इलाज करवाने जा रहा हूं, और क्या करूंगा।’ स्टोरी में सहयोग: पुलवामा से रऊफ डार

दैनिक भास्कर 12 Nov 2025 4:49 am

1400 हत्याएं, अपहरण-टॉर्चर, क्या शेख हसीना को होगी सजा-ए-मौत:छात्र बोले- हमें इंसाफ चाहिए, बदला नहीं; बांग्लादेश तख्तापलट के बाद फैसले का इंतजार

‘शेख हसीना ने हम छात्रों पर जो जुल्म किए, साथियों की हत्याएं कराईं। इसके बदले में उन्हें भी सजा-ए-मौत मिलनी चाहिए। 2024 के जुलाई-अगस्त में सरकार ने बांग्लादेश के इतिहास में सबसे क्रूरतम हत्याएं कराईं। हमारे कई साथी सिर्फ इसलिए मार दिए गए क्योंकि वो सरकार के कोटा सिस्टम के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे थे। ये सब शेख हसीना के इशारे पर साजिश के तहत किया गया।‘ ढाका यूनिवर्सिटी से पोस्ट ग्रेजुएशन कर रहे मोहम्मद महीन सरकार बांग्लादेश की पूर्व PM शेख हसीना पर चल रहे केस की जांच का हिस्सा रहे हैं। हसीना पर जुलाई-अगस्त 2024 के छात्र आंदोलन के दौरान हिंसा और हत्याएं कराने का आरोप है। इस मामले में महीन ने कोर्ट में गवाही भी दी है। बांग्लादेश की इंटरनेशनल क्राइम्स ट्रिब्यूनल (ICT) ने हसीना के खिलाफ इस मामले में सुनवाई पूरी कर ली है। दैनिक भास्कर को सोर्सेज से पता चला है कि सरकार अभी वेट एंड वॉच की स्थिति में है। इंटेलिजेंस इनपुट के मुताबिक अगर माहौल सही रहा तो कोर्ट 13 नवंबर को मामले में फैसला सुना सकता है। हिंसा की आशंका होने पर फैसले की तारीख आगे भी बढ़ाई जा सकती है। 5 अगस्त 2024 को बांग्लादेश में हुए स्टूडेंट्स प्रोटेस्ट के बाद शेख हसीना ने पद से इस्तीफा देकर देश छोड़ दिया था। तब से उन्होंने भारत में शरण ले रखी है। दैनिक भास्कर की टीम ने फैसले के पहले केस की डिटेल्ड स्टडी की। इसमें शामिल गवाहों, आंदोलनकारी स्टूडेंट्स, शेख हसीना के करीबियों और केस से जुड़े वकीलों से बात की। पढ़िए पूरी रिपोर्ट… सबसे पहले केस के बारे में जानिए…हसीना के लिए मौत की सजा की मांग5 अगस्त 2024 को बांग्लादेश में हसीना सरकार का तख्तापलट हुआ। इससे पहले और बाद में हसीना के खिलाफ हुए प्रदर्शन में आगजनी और हिंसक घटनाएं हुईं। हसीना सरकार पर आरोप लगा कि प्रदर्शन कर रहे स्टूडेंट्स को टॉर्चर किया गया और उन पर फायरिंग की गई। संयुक्त राष्ट्र के मुताबिक 2024 के जुलाई-अगस्त में बांग्लादेश में 1400 से ज्यादा लोगों की मौत हुई। इन सबके बीच शेख हसीना ने देश छोड़ दिया और भारत में शरण ली। बांग्लादेश की इंटरनेशनल क्राइम्स ट्रिब्यूनल में हसीना पर ‘मानवता के खिलाफ अपराध‘ के आरोप में केस शुरू हुआ। कोर्ट ने शेख हसीना को बांग्लादेश लौटकर केस में शामिल होने के लिए कहा। हालांकि उन्होंने कोर्ट का आदेश नहीं माना। केस की सुनवाई 1 जून को शुरू हुई और अब फैसले का इंतजार है। सोर्स बताते हैं, शेख हसीना के खिलाफ केस में प्रॉसिक्यूटर की तरफ से 5 आरोप लगाए गए थे, जिसमें हत्या, अपराध रोकने में नाकामी और मानवता के खिलाफ अपराध सबसे अहम हैं। प्रॉसिक्यूटर ने हसीना के लिए मौत की सजा की मांग की है। वहीं शेख हसीना की तरफ से पूरी प्रक्रिया पर सवाल उठाए गए और सभी आरोपों को सिरे से खारिज किया कर दिया गया। वहीं, बांग्लादेश इंटरनेशनल क्राइम्स ट्रिब्यूनल के प्रॉसिक्यूटर गाजी मुनव्वर हुसैन तमीम ने बताया, ‘13 नवंबर को फैसले की तारीख का ऐलान किया जाएगा। हमारे पुराने अनुभव के हिसाब से कोर्ट फैसला सुनाने में करीब एक हफ्ते का वक्त और लगाएगा। हम साफ करना चाहते हैं कि 13 नवंबर को कोर्ट सिर्फ फैसले की तारीख का ऐलान करेगा।’ अब केस के गवाह की बात…हसीना के खिलाफ ईमानदारी से जांच हुई, हम न्याय चाहते हैं, बदला नहींढाका यूनिवर्सिटी से बांग्ला भाषा में पोस्ट ग्रेजुएशन कर रहे मोहम्मद महीन हसीना सरकार के खिलाफ हुए स्टूडेंट प्रोटेस्ट का हिस्सा थे। इसकी वजह से उन्हें काफी दिनों तक अंडरग्राउंड रहना पड़ा था। अब महीन छात्रों की बनाई नेशनल सिटिजन पार्टी के मेंबर हैं। साथ ही वो स्टूडेंट ऑर्गनाइजेशन, स्टूडेंट अगेंस्ट डिस्क्रिमिनेशन बैनर के भी ढाका यूनिवर्सिटी के संयोजक हैं। आंदोलन को लेकर महीन बताते हैं, ‘जुलाई 2024 में कोटा के खिलाफ आंदोलन में अंडरग्राउंड होने की नौबत आ गई थी। मैं ढाका केंटोनमेंट इलाके में अपने दोस्त इफ्तिकार आलम के घर कई दिनों तक छिपा रहा। इसी दौरान इफ्तिकार एक दिन घर से निकला और गायब हो गया। वो 6 जुलाई को मीरपुर के पास मिला।‘ महीन सरकार और फोर्सेज पर आरोप लगाते हुए कहते हैं कि इफ्तिकार को काफी टॉर्चर करने के बाद छोड़ा गया था। उसका पैर भी टूट गया था। बांग्लादेश की एजेंसियों ने उसे बहुत परेशान किया। मोहम्मद महीन, शेख हसीना के खिलाफ चल रहे केस की जांच का हिस्सा हैं और उन्होंने कोर्ट में गवाही भी दी है। महीन बताते हैं, ‘शेख हसीना के खिलाफ जांच पूरी ईमानदारी और तथ्यों के साथ की गई है। हमने कोटा आंदोलन किया और शेख हसीना को झुकने पर मजबूर कर दिया। इस दौरान हमारे कई साथियों की मौत भी हुई। हमारे दिमाग में एक बात साफ थी कि हम न्याय चाहते हैं, बदला नहीं।‘ डेढ़ साल से न्याय का इंतजार था, अब फैसले की घड़ीबांग्लादेश में छात्रों के आंदोलन से जुड़े स्टूडेंट अलाउद्दीन मोहम्मद कहते हैं, ‘प्रदर्शन के दौरान हमारे जिन साथियों की मौत हुई, हम सब डेढ़ साल से उनके लिए न्याय का इंतजार कर रहे थे। हमने केस की सुनवाई को करीब से देखा और अब फैसले की घड़ी आ गई है। बांग्लादेश में तख्तापलट के बाद से अब शेख हसीना के खिलाफ पहले केस में फैसला आना है। ये आंदोलन करने वाले हम स्टूडेंट्स के लिए बहुत अहम वक्त है।‘ केस की सुनवाई को लेकर अलाउद्दीन बताते हैं, ‘केस का पूरा ट्रायल बांग्लादेश में टीवी पर प्रसारित किया गया। केस में दी गईं दलीलें लोगों ने घर बैठकर लाइव देखीं औऱ सुनीं। केस की सुनवाई ट्रांसपेरेंसी के साथ हुई है ताकि लोगों की मन में कोई संशय ना रहे। शेख हसीना पर क्या आरोप थे, उनके समर्थन में गवाह और सबूत क्या पेश किए गए, केस के दौरान किसने क्या दलील रखी ये सबने देखा।’ वे आगे कहते हैं, ’हमने आंखों के सामने अपने जानने वालों और दोस्तों को फायरिंग में मरते देखा है। हालांकि ये किसी दोस्त या रिश्तेदार के मारे जाने की बात नहीं है। बल्कि ये मानवता के खिलाफ पूरे सरकारी सिस्टम के अपराध की बात है। अब शहीद छात्रों और उनके परिवारों के लिए न्याय का दिन आ चुका है।’ अलाउद्दीन मोहम्मद छात्रों की बनाई नेशनल सिटिजन पार्टी में जॉइंट मेंबर सेक्रेटरी हैं और इंटरनेशनल सेल का भी हिस्सा हैं। वे आगे कहते हैं कि हमारी लड़ाई सिर्फ यहीं तक खत्म नहीं होती कि शेख हसीना को सजा हो जाए। बल्कि अब हम एक ऐसा सिस्टम बना रहे हैं कि कोई भी सरकार इतनी ताकतवर ना हो पाए कि इतने बड़े पैमाने पर हत्याएं करवाा सके। जांच एजेंसी और वकीलों ने साथ मिलकर मजबूत केस बनाया प्रॉसिक्यूशन की तरफ से केस देख रही वकीलों की टीम के मेंबर ने नाम ना लिखने की शर्त पर हमें पूरी प्रक्रिया बताई, जिसके तहत केस की जांच और कार्रवाई आगे बढ़ी। डॉ यूनुस ने सरकार में आते ही एक टास्क फोर्स बनाई थी और उसे शेख हसीना के खिलाफ जांच का जिम्मा सौंपा था। तब से प्रॉसिक्यूशन और जांच टीम मिलकर इस केस पर काम कर रही थीं ताकि कोर्ट में केस कमजोर ना पड़े। वकील ने बताया कि हमने हर वो जरूरी सबूत और गवाह शामिल किया है, जिससे केस मजबूत हो। प्रॉसिक्यूशन ने कोर्ट में क्या मुख्य दलीलें रखीं-- छात्र आंदोलन के दौरान हुई सरकारी कार्रवाई एक संगठित और योजनाबद्ध हमला था। ये सब अचानक नहीं हुआ बल्कि तय फैसले के तहत किया गया था।- छात्रों पर हमला सिर्फ कुछ लोकल स्तर पर हुई कुछ घटनाएं भर नहीं थीं। बल्कि ये राज्य शासन, सरकारी एजेंसियों, इंटेलिजेंस और फोर्स के जरिए लिया गया फैसला था। प्रॉसिक्यूशन ने 5 मुख्य आरोप तय किए हैं:1. हत्या2. अपराध की साजिश3. अपराध के लिए छूट देना4. कार्रवाई में मदद करना5. अपराध रोकने में नाकामी अवामी लीग फैसले के खिलाफ विरोध प्रदर्शन करेगीकोर्ट का फैसला शेख हसीना के खिलाफ आने की संभावना जताई जा रही है। अगर ऐसा होता है तो बांग्लादेश अवामी लीग का क्या रुख होगा। इसे लेकर हमने शेख हसीना की पार्टी के टॉप लीडर सुजीत रॉय नंदी से बात की। नंदी कहते हैं, ‘केस की जांच और ट्रायल राजनीतिक से प्रेरित है। सब बदले की भावना से हुआ है। न्यायिक प्रक्रिया शुरू से ही गैर-कानूनी रही है, इसलिए हम इसे वैध केस नहीं मानते। अंतरराष्ट्रीय न्यायाधिकरण मूल रूप से युद्ध अपराधियों की सुनवाई के लिए बनाया गया था, राजनीतिक उत्पीड़न के लिए नहीं।‘ ‘पिछले 16 महीनों में बांग्लादेश के लोगों ने समझ लिया है कि अवामी लीग सरकार को प्लानिंग के साथ उग्रवादी हमलों और साजिशों के जरिए कैसे उखाड़ फेंका गया। इसलिए हमें डर है कि ये फैसला न्यायसंगत नहीं होगा बल्कि बदले की भावना से लिया गया होगा और हम इसका खुलकर विरोध करेंगे।‘ नंदी आगे कहते हैं, ‘अवामी लीग हमेशा लोकतांत्रिक और संवैधानिक प्रक्रिया में भरोसा रखती है। हमें जनता की शक्ति पर पूरा भरोसा है। फैसले के दिन हम स्थिति को शांतिपूर्वक देखेंगे। अगर कोई अन्यायपूर्ण फैसला लोगों की आशाओं और लोकतंत्र की भावना को कमजोर करता है तो अवामी लीग जनता के साथ मिलकर शासन के खिलाफ जन आंदोलन चलाने के लिए मजबूर होगी।’ फैसला आने के पहले दो धड़ों में बंटे लोग, हिंसक घटनाएं शुरूइस मामले में फैसला आने से पहले ही राजधानी ढाका में छिटपुट हिंसा की घटनाएं शुरू हो गई हैं। हिंसा की घटनाएं लोकल लेवल की रही हैं और इनमें किसी की मौत की खबर नहीं है। हालांकि आशंका जताई जा रही है कि अवामी लीग का कैडर फिर एक्टिव हो रहा है। यूनुस सरकार ने सुरक्षाबलों को अलर्ट पर रहने के लिए कहा है। साथ ही हिंसा की छोटी-बड़ी घटनाओं पर कंट्रोल करने के निर्देश दिए हैं। बांग्लादेश के लोकल जर्नलिस्ट और हमारे कॉन्ट्रिब्यूटर अमानुर रहमान बताते हैं, ‘पूर्व PM शेख हसीना पर कोर्ट का फैसला आने वाला है। सूत्र बता रहे हैं कि माहौल को देखते हुए कोर्ट अपना फैसला आगे के लिए टाल भी सकता है।‘ ‘शेख हसीना पर फैसले से पहले बांग्लादेश में माहौल बंटा हुआ है। कुछ लोग कह रहे हैं कि ये ‘जस्टिस डे’ होगा, वो इस पूरे केस और सुनवाई को गंभीरता से ले रहे हैं। ऐसा मानने वाले ज्यादातर लोग स्टूडेंट आंदोलन से जुड़े और मौजूदा सरकार के लोग हैं। वहीं दूसरी तरफ अवामी लीग के नेता और समर्थक फैसले का विरोध करने की तैयारी कर रहे हैं।‘ ‘वहीं बांग्लादेश की मुख्य विपक्षी पार्टी बांग्लादेश नेशनलिस्ट पार्टी भी जानती है कि मौजूदा सरकार इस फैसले को प्रचार के तौर पर इस्तेमाल करना चाहती है। इसलिए वो भी इस फैसले को लेकर ज्यादा उत्सुक नहीं दिख रही है।’ रहमान आगे कहते हैं, ‘छात्र आंदोलन और तख्तापलट के डेढ़ साल बाद बांग्लादेश के लोग अब पूरी तरह बंटे हुए दिख रहे हैं। अवामी लीग के नेता और कैडर फैसले के खिलाफ बड़े प्रदर्शन की तैयारी में है। बांग्लादेश में जब भी बड़े प्रदर्शन की तैयारी होती तो अक्सर ये प्रदर्शन हिंसक हो जाते हैं।‘..................... ये खबर भी पढ़ें... सऊदी में ड्राइवर की नौकरी देकर कचरा उठवाया-बकरी चरवाई 59 साल की सूरजकली बेटे राजीव की फोटो देखकर भावुक हो जाती हैं। राजीव मई 2023 में सऊदी अरब में ड्राइवर की नौकरी करने गए थे, लेकिन वहां वो कफाला सिस्टम का शिकार हो गए। उन पर धोखाधड़ी का केस दर्ज हुआ। वे रियाद में 3 साल कैद की सजा काट रहे। उन पर 18 लाख रुपए जुर्माना भी लगा है। ये कहानी सिर्फ राजीव की ही नहीं है। सऊदी में कफाला सिस्टम के शिकार बन चुके तमाम भारतीयों की है। पढ़िए पूरी खबर..

दैनिक भास्कर 12 Nov 2025 4:49 am

तुर्की वायुसेना का कार्गो विमान जॉर्जिया में क्रैश

तुर्की वायुसेना का मालवाहक विमान जॉर्जिया में दुर्घटना का शिकार हो गया। राष्ट्रीय रक्षा मंत्रालय ने मंगलवार को बताया कि अजरबैजान से वापस तुर्की लौट रहा एयर फोर्स का सी-130 मिलिट्री कार्गो विमान जॉर्जिया में दुर्घटना का शिकार हो गया

देशबन्धु 12 Nov 2025 4:30 am

क्या बांग्लादेश में फिर भड़केगी हिंसा? शेख हसीना की पार्टी ने किया 'Dhaka Lockdown' का ऐलान

Dhaka Lockdown:बांग्लादेश की पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना की अवामी लीग ने ढाका में लॉकडाउन का ऐलान किया है. पुलिस और सुरक्षा बलों ने गश्ती बढ़ा दी है और महत्वपूर्ण सरकारी इमारतों की सुरक्षा कड़ी कर दी गई है. गृह मामलों के सलाहकार जहांगीर आलम चौधरी ने कहा कि अंतरिम सरकार को एएल के कार्यक्रम को लेकर कोई डर नहीं है.

ज़ी न्यूज़ 12 Nov 2025 12:16 am

Tukriye Plane Crash Video: गोल-गोल घूमा, तेजी से नीचे गिरा और बना आग का गोला ...जॉर्जिया में तुर्किये एयरफोर्स का प्लेन क्रैश

Turkiye Plane Crash:मंत्रालय ने बताया कि जॉर्जियाई अधिकारियों के साथ मिलकर जांच और रेस्क्यू ऑपरेशन शुरू कर दिए गए हैं. यह साफ नहीं है कि एयरक्राफ्ट में कितने क्रू मेंबर सवार थे. हालांकि कुछ स्थानीय मीडिया क्रू मेंबर्स की संख्या 20 बता रहे हैं.

ज़ी न्यूज़ 11 Nov 2025 9:49 pm

Monarch Rule: मुंह से निकला हर शब्द पत्थर की लकीर, हर फरमान ही कानून...इन देशों में अब भी चलता है राजाओं का राज

Countries Which have Monarch Rule:कई देशों में आज भी राजाओं का राज है. सऊदी अरब के किंग से लेकर वेटिकन सिटी के पोप तक ये लोग ही तमाम बड़े फैसले लेते हैं. चलिए आपको उन देशों के बारे में बताते हैं, जहां आज भी राजाओं का ही राज है.

ज़ी न्यूज़ 11 Nov 2025 8:03 pm

नाटो से तनाव के बीच रूस के पक्के दोस्त का अजीब दांव! पुतिन की मिसाइल लेने से क्यों किया इनकार

Burevestnik nuclear missiles: अलेक्जेंडर ने साफ किया कि बेलारूस को दूसरे परमाणु हथियार ओरेशनिक तो मिल गए हैं लेकिन उसे परमाणु से चलने वाले शक्तिशाली बुरेवेस्टेनिक या पोसाइडन की जरूरत नहीं है.

ज़ी न्यूज़ 11 Nov 2025 5:39 pm

US Shutdown पर ब्रेक की उम्मीद, सीनेट से मिली हरी झंडी; बुधवार को होगा फुल एंड फाइनल

US Shutdown:अमेरिका की सीनेट ने सोमवार को देश में अब तक के सबसे लंबे सरकारी शटडाउन को समाप्त करने के लिए एक समझौते को मंजूरी दे दी. सीनेट में हुए मतदान में 60 सांसदों ने समर्थन और 40 ने विरोध में वोट दिया. इस समझौते के तहत संघीय एजेंसियों के लिए धनराशि बहाल की जाएगी, जिससे लाखों अमेरिकियों को राहत मिलने की उम्मीद है.

ज़ी न्यूज़ 11 Nov 2025 4:33 pm

दुनिया के किसी भी हिस्से में तबाही मचा सकती है ये मिसाइल! जानें किन देशों के पास है ये क्षमता

Top Intercontinental Missiles: किसी भी देश की ताकत सिर्फ बड़ी इकोनॉमी और सेना से नहीं, बल्कि डिफेंस सिस्टम से लेकर मिसाइलों की रेंज और आधुनिकता से मापी जाती है. आइए जानते हैं किन देशों के पास बेहतरीन और लंबी दूरी की मिसाइल हैं.

ज़ी न्यूज़ 11 Nov 2025 3:12 pm

पीएम मोदी को पूरा समर्थन, आतंकियों की जड़ों को खोद डालें...शेख हसीना ने भरी हुंकार, पाकिस्तान का सीधे लिया नाम

Sheikh Hasina condemns Delhi Red Fort blast:बांग्लादेश की पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना ने दिल्ली में हुए भयानक ब्लास्ट पर गुस्सा जताया है. पूर्व पीएम शेख हसीना ने हमले की कड़ी निंदा करते हुए इसे मानवता पर हमला बताया है. उन्होंने पीएम मोदी को समर्थन दिया और आतंकवाद की जड़ें मिटाने की अपील की है.

ज़ी न्यूज़ 11 Nov 2025 3:11 pm

'दिल्ली ब्लास्ट में इस्तेमाल हुआ अमोनियम नाइट्रेट फ्यूल-ऑयल':खाद बनाने वाले अमोनियम नाइट्रेट से कैसे बनता है ANFO विस्फोटक, दिल्ली में डेटोनेटर से किया धमाका

10 नवंबर को दिल्ली में लाल किले के पास हुए 'बम धमाके' में ANFO यानी अमोनियम नाइट्रेट फ्यूल ऑयल का इस्तेमाल किया गया। मीडिया रिपोर्ट्स में सूत्रों ने जांच की शुरुआती रिपोर्ट के हवाले से ये जानकारी दी है। ANFO में विस्फोट करने के लिए डेटोनेटर को मैन्युअली ट्रिगर किया गया। आधिकारिक जानकारी के मुताबिक, इस धमाके में 9 लोग मारे गए और 20 लोग गंभीर रूप से घायल हो गए। क्या है ANFO, इससे भयंकर विस्फोट कैसे होता है, दिल्ली में कितना ANFO इस्तेमाल हुआ, जानेंगे भास्कर एक्सप्लेनर में... सवाल-1: अमोनियम नाइट्रेट से खतरनाक ANFO कैसे बनता है? जवाब: अमोनियम नाइट्रेट यानी AN का केमिकल फॉर्मूला NH4NO3 है। ये एक गंधहीन, सफेद दानेदार केमिकल होता है। जर्मन केमिस्ट जोहन रुडॉल्फ ग्लॉबर ने 17वीं सदी में इसे सबसे पहले तैयार किया था। सिंथेटिक अमोनियम नाइट्रेट बनाने के लिए अमोनिया और नाइट्रिक एसिड का रिएक्शन करवाया जाता है। 20वीं सदी में इसका औद्योगिक स्तर पर उत्पादन होने लगा। आज दुनियाभर के कई देशों में इंडस्ट्रियल यूज के लिए इसे बनाया जाता है। चोट वगैरह लगने पर सिंकाई के काम में आने वाले इंस्टेंट आइस पैक, केमिकल इंडस्ट्री और सबसे ज्यादा फर्टिलाइजर यानी खाद बनाने में इसका यूज होता है। दुनिया भर में नाइट्रेट बेस्ड फर्टिलाइजर का इस्तेमाल सबसे आम है। AN खुद में कोई विस्फोटक नहीं है, लेकिन अगर इसे डीजल या किसी दूसरे फ्यूल से मिला दिया जाए, तो ये खतरनाक बम में बदल जाता है... इंडस्ट्रियल यूज के तहत ANFO का इस्तेमाल खदानों में ब्लास्ट करने, कोई इमारत गिराने यानी सिविल डिमोलिशन जैसे कामों में इसका इस्तेमाल करते हैं। इसके विस्फोट से बड़ा गड्ढा हो जाता है। विस्फोट की स्पीड 14 हजार किमी प्रति घंटा तक होती है। इससे जो वेव्स पैदा होती हैं, वो साउंड वेव से करीब 5 गुना ज्यादा तेज होती हैं। सवाल-2: ANFO कितना खतरनाक, ये कितनी तबाही मचा सकता है? जवाब: ANFO के विस्फोट से बड़ा गड्ढा हो जाता है। विस्फोट की स्पीड 14 हजार किमी प्रति घंटा तक होती है। इससे जो वेव्स पैदा होती हैं, वो साउंड वेव से करीब 5 गुना ज्यादा तेज होती हैं। इससे कान और फेफड़े तुरंत खराब हो सकते हैं। साथ ही ये विस्फोट शीशे, लोहे और ईंटें टुकड़ों में उड़कर लोगों को चीर-फाड़ सकता है। विस्फोट के बाद आग, इमारतों का टूटना और जहरीली गैसें भी हवा में फैल सकती हैं। अमोनियम नाइट्रेट के विस्फोट और आग से नाइट्रोजन ऑक्साइड (NOx) और अमोनिया जैसी जहरीली गैसें निकलती हैं, जो सांस की तकलीफ और जलन पैदा कर सकती हैं। 1 किलो ANFO को 0.8 किलो TNT के बराबर विस्फोटक क्षमता का माना जाता है। इससे 5-7 मीटर व्यास का गड्ढा हो सकता है। विस्फोट का दायरा करीब 30 मीटर तक होता है। अगर भीड़ के बीच धमाका हो, तो दर्जनों लोगों की जान जा सकती है। सिर्फ 150 किलो अमोनियम नाइट्रेट 1 किलोमीटर तक असर कर सकता है। ये धमाका इतना तेज होता है कि 50-70 मीटर तक सब कुछ तबाह हो जाता है। विस्फोटक की मात्रा और जहां धमाका हुआ, वहां मौजूद लोगों की संख्या के अनुसार तबाही बढ़ सकती है। उदाहरण के लिए 1995 में अमेरिका के ओक्लाहोमा सिटी में करीब 1800 किलो यानी 1 टन के ANFO विस्फोटक से धमाका हुआ, इसमें बिल्डिंग में मौजूद 168 लोगों की मौत हो गई। लगभग 3000 किलो अमोनियम नाइट्रेट का धमाका एक पूरी बड़ी इमारत या पूरा मोहल्ला उड़ा सकता है। 50–70 मीटर के अंदर सब कुछ समतल हो जाएगा। 500–600 मीटर तक खिड़कियां चकनाचूर हो सकती हैं। लोग 200–300 मीटर दूर तक उड़ते कांच और मलबे से घायल या मारे जा सकते हैं। धमाके की आवाज कई किलोमीटर दूर तक सुनी जाएगी। सवाल-3: दिल्ली धमाके में ANFO की कितनी मात्रा इस्तेमाल की गई? जवाब: सुरक्षा एजेंसियां अभी इसकी जांच कर रही हैं। अभी इसकी आधिकारिक पुष्टि नहीं हुई है कि ANFO बेस्ड IED ब्लास्ट हुआ या कोई दूसरा विस्फोटक इस्तेमाल किया गया। हालांकि ब्लास्ट के बाद सामने आए वीडियो में कार में लगी आग से एक जगह नारंगी धुआं निकलता दिख रहा है। जानकारों के मुताबिक, अमोनियम नाइट्रेट में धमाका होने पर नारंगी रंग का धुआं निकलता है क्योंकि इस धमाके से नाइट्रोजन ऑक्साइड और अमोनिया जैसी गैस निकलती हैं। हवा में मिलने के बाद नाइट्रोजन डाई ऑक्साइड की वजह से धुआं नारंगी रंग का दिखता है। हालांकि, मौके पर लिए गए सैंपल की फोरेंसिक जांच के बाद ही इसकी पुष्टि हो सकेगी। वहीं धमाके की इंटेंसिटी देखते हुए ये अंदाजा लगाया जा सकता है कि अगर ये ANFO का ही धमाका था, तो इसकी कम से कम 100 किलो मात्रा का इस्तेमाल किया गया है। करीब 100 मीटर दूरी तक धमाके की वेव महसूस की गईं। कई दुकानों के शीशे चिटक गए, धमाके के समय मौके पर मौजूद लोगों ने बताया कि आवाज इतनी तेज थी कि लोगों के कान सुन्न हो गए। सवाल-4: अमोनियम नाइट्रेट खरीदना कितना आसान, इस रखने के क्या नियम? जवाब: AN मुख्य रूप से नाइट्रोजन खाद है, जो किसानों के लिए जरूरी है। 2024 में भारत का AN मार्केट 822 हजार टन का था, जो 2030 तक 997 हजार टन पहुंचेगा। यह कृषि मंत्रालय की सब्सिडी पर 20-30 रूपए प्रति किलो बिकता है। इसका इंडस्ट्रियल यूज ही है, इसलिए खाद की दुकानों से लेकर इंडस्ट्रियल पर आसानी उपलब्ध हो जाता है। हालांकि 2012 में बने कुछ नियमों के मुताबिक, अगर किसी दूसरे केमिकल में अमोनियम नाइट्रेट को मिलाया गया है, तो इस पर कुछ सख्त प्रावधान हैं। इसके तहत वजन के हिसाब से इमल्शन, पेंट या किसी जेल में अगर 45% से ज्यादा अमोनियम नाइट्रेट मिलाया गया है, तो इसे विस्फोटक की कैटेगरी में रखा जाएगा। चूंकि इस विस्फोटक का भी इस्तेमाल माइनिंग वगैरह में किया जाता है, इसलिए इसमें पेट्रोलियम, विस्फोटक सिक्योरिटी ऑर्गेनाइजेशन वगैरह से लाइसेंस लेना पड़ता है। किसी के पास लाइसेंस नहीं है, तो वह ANFO नहीं खरीद सकता। सवाल-5: इससे पहले अमोनियम नाइट्रेट के बम से कितने आतंकी हमले हुए? जवाब: ANFO बम से सबसे पहला बड़ा धमाका साल 1995 में अमेरिका के ओक्लाहोमा सिटी में हुआ। बम में 1800 किलो AN इस्तेमाल किया गया था। धमाके में आधी बिल्डिंग उड़ गई थी और 168 लोग मारे गए थे। इसके अलावा साल 2020 में बेरूत में करीब 3 हजार किलो अमोनियम नाइट्रेट के फटने से भारी तबाही हुई थी। शहर का बड़ा इलाका तबाह हो गया था और करीब 200 लोग मारे गए थे। भारत में अमोनियम नाइट्रेट (AN) से जुड़े धमाके और घटनाएं **** ये खबर भी पढ़ें... क्या है दिल्ली ब्लास्ट का अमोनियम नाइट्रेट और फरीदाबाद कनेक्शन:20 सितंबर को 25km दूर कटा चालान, क्या छापेमारी के डर से विस्फोटक लेकर भागे दिल्ली के लालकिला मेट्रो स्टेशन के पास 10 नवंबर को हुए ब्लास्ट में अब तक 9 लोगों की मौत हो चुकी है और 24 लोग घायल हैं। ब्लास्ट की जांच कर रही सुरक्षा एजेंसियों के सूत्रों के मुताबिक, इस धमाके के कई तार फरीदाबाद से जुड़ रहे हैं। पूरी खबर पढ़ें... ---------

दैनिक भास्कर 11 Nov 2025 2:45 pm

पाकिस्तान : इस्लामाबाद में कोर्ट के बाहर जोरदार धमाका, 6 लोग घायल

पाकिस्तान की राजधानी इस्लामाबाद में डिस्ट्रिक्ट ज्यूडिशियल कॉम्प्लेक्स के बाहर जोरदार धमाका हुआ है। स्थानीय मीडिया के अनुसार इस हादसे में करीब 6 लोग घायल हो गए हैं

देशबन्धु 11 Nov 2025 2:37 pm

भूटान दौरे पर जाएंगे पीएम मोदी, आध्यात्मिक और सांस्कृतिक मायने में बेहद खास दौरा

भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी दो दिवसीय दौरे पर भूटान पहुंचने वाले हैं। उनका दौरा 11 से 12 नवंबर तक होगा

देशबन्धु 11 Nov 2025 7:55 am

2020 चुनावी साजिश! ट्रंप ने भारतीय मूल के शख्स को दी माफी; महाराष्ट्र से है गहरा कनेक्शन

2020 अमेरिकी चुनाव में के नतीजे पलटने की कोशिश से जुड़े मामले में ट्रंप ने अपने वफादार भारतीय मूल के सीबी चंद्र यादव को माफी दे दी है. सीबी चंद्र यादव का भारत के साथ गहरा रिश्ता है.

ज़ी न्यूज़ 11 Nov 2025 7:15 am

6.52 बजे रेड लाइट जली, चलती i20 कार में ब्लास्ट:3D मैप, वीडियो और Ai के जरिए देखिए दिल्ली ब्लास्ट की मिनट-टू-मिनट पूरी कहानी

दिल्ली के लाल किले से करीब 300 मीटर दूर मेट्रो स्टेशन के गेट नंबर-1 का इलाका। एक ह्यूंडई i20 कार धीमी रफ्तार से आगे बढ़ रही थी। इसमें 3 लोग सवार थे। शाम 6.52 बजे रेड रेड लाइट के पास कार के पिछले हिस्से में अचानक ब्लास्ट होता है और गाड़ी के परखच्चे उड़ जाते हैं। 3D मैप, वीडियो और AI के जरिए देखिए दिल्ली ब्लास्ट की मिनट-टू-मिनट पूरी कहानी, वीडियो देखने के लिए ऊपर तस्वीर पर क्लिक कीजिए…

दैनिक भास्कर 11 Nov 2025 5:46 am

दिल्ली में लाल किले के पास हुआ विस्फोट वाकई दिल दहला देने वाला है: आदित्य ठाकरे

दिल्ली के लाल किला मेट्रो स्टेशन के पास सोमवार शाम हुए धमाके में 10 लोगों की जान चली गई

देशबन्धु 11 Nov 2025 5:30 am

स्पॉटलाइट-अस्पताल से महिलाओं की वीडियो पोर्न साइट पर डल रही:9 महीने में 50 हजार से ज्यादा प्राइवेट वीडियो लीक, कैसे बचें; देखें वीडियो

राजकोट के एक प्राइवेट अस्पताल में महिलाओं के प्राइवेट पार्ट की जांच के वीडियो इंटरनेशनल पोर्न साइट्स पर बेच दिए गए. पिछले 9 महीनों में 50 हजार से ज्यादा ऐसे वीडियो लीक हुए. ये लीक कैसे होते हैं, कहां बेचे जाते हैं और खुद को ऐसे मामलों से कैसे बचाएं, जानने के लिए ऊपर दी गई इमेज पर क्लिक कर देखें वीडियो..

दैनिक भास्कर 11 Nov 2025 5:25 am

क्या है दिल्ली ब्लास्ट का अमोनियम नाइट्रेट और फरीदाबाद कनेक्शन:20 सितंबर को 25km दूर कटा चालान, क्या छापेमारी के डर से विस्फोटक लेकर भागे

दिल्ली के लालकिला मेट्रो स्टेशन के पास 10 नवंबर को हुए ब्लास्ट में अब तक 9 लोगों की मौत हो चुकी है और 24 लोग घायल हैं। ब्लास्ट की जांच कर रही सुरक्षा एजेंसियों के सूत्रों के मुताबिक, इस धमाके के कई तार फरीदाबाद से जुड़ रहे हैं। हरियाणा के फरीदाबाद के धौज गांव में 9 नवंबर को जम्मू-कश्मीर पुलिस ने पुलवामा के रहने वाले डॉ. मुज्जमिल शकील के घर छापा मारा। उसके कमरे से 360 किलो विस्फोटक और एक असॉल्ट राइफल मिली। यहां से 4 किमी दूर फतेहपुर तगा गांव से एक मौलाना के घर से 2,563 किलो संदिग्ध अमोनियम नाइट्रेट बरामद किया गया। दिल्ली ब्लास्ट और इस छापामारी के बीच 4 कनेक्शन सामने आ रहे हैं- 1. IED नहीं, अमोनियम नाइट्रेट से ब्लास्ट की आशंका 2. जिस कार में ब्लास्ट हुआ उसका फरीदाबाद में कटा चालान 3. छापेमारी से घबराकर विस्फोटक छिपाने के लिए कार से ले जाने वाले एंगल की जांच 4. गुरुग्राम में रहने वाले सलमान की कार पुलवामा के तारिक को बेची गई क्या कार में ब्लास्ट की वजह अमोनियम नाइट्रेट दिल्ली में ब्लास्ट की जांच कर रही सुरक्षा एजेंसियों के सोर्स के मुताबिक, जिस तरह से ब्लास्ट हुआ है, इसकी वजह अमोनियम नाइट्रेट हो सकता है। अमोनियम नाइट्रेट RDX की तरह विस्फोटक होता है। इसका इस्तेमाल खदानों में ब्लास्ट के लिए होता है। फरीदाबाद में मिला 360 किलो अमोनियम नाइट्रेट करीब 100 मीटर एरिया में तबाही मचा सकता है। दिल्ली में जिस तरह ब्लास्ट के नुकसान हुआ, उससे सुरक्षा एजेंसियों अमोनियम नाइट्रेट के एंगल से जांच कर रही हैं। ब्लास्ट के बाद सामने आए वीडियो में कार में लगी आग से एक जगह नारंगी धुआं निकलता दिख रहा है। सोर्स बताते हैं कि अमोनियम नाइट्रेट में धमाका होने पर नारंगी रंग का धुआं निकलता है क्योंकि अमोनियम नाइट्रेट में धमाके से नाइट्रोजन ऑक्साइड और अमोनिया जैसी गैस निकलती हैं। हवा में मिलने के बाद नाइट्रोजन डाई ऑक्साइड की वजह से धुआं नारंगी रंग का दिखता है। हालांकि, मौके पर लिए गए सैंपल की फोरेंसिक जांच के बाद ही इसकी पुष्टि हो सकेगी। ब्लास्ट वाली कार का सितंबर में फरीदाबाद में कटा चालानलाल किले के पास जिस कार में ब्लास्ट हुआ, वह हरियाणा नंबर की i20 थी। पुलिस सोर्स के मुताबिक, कार हरियाणा के गुरुग्राम में सलमान के नाम पर रजिस्टर्ड थी। पुलिस ने सलमान को हिरासत में ले लिया है और उससे पूछताछ की जा रही है। कार का फरीदाबाद के तिकोना पार्क में 20 सितंबर, 2025 को गलत जगह पार्किंग करने पर 1500 रुपए का चालान कटा था। ये जगह डॉ. मुज्जमिल शकील के घर से सिर्फ 25 किमी दूर है। विस्फोटक छिपाने के लिए कार से ले जाने की कोशिशपुलिस और सेंट्रल एजेंसियां की जांच में सबसे खास एंगल फरीदाबाद में बड़ी मात्रा में मिला अमोनियम नाइट्रेट है। इसकी दो पॉइंट पर जांच की जा रही है। पहला: संदिग्ध लोग पकड़े जाने या छापेमारी के डर से विस्फोटक को दूसरे ठिकाने पर ले जा रहे थे, लेकिन रास्ते में कार में ब्लास्ट हो गया। दूसरा: संदिग्धों को पकड़े जाने का खतरा लगा हो। वे विस्फोटक को खत्म करने की कोशिश कर रहे हो। एक एंगल ये भी है कि जानबूझकर भीड़ वाली जगह पर ब्लास्ट किया गया यानी टारगेट करके धमाका कराया हो। हालांकि, इसकी संभावना कम मानी जा रही है। धमाके के वक्त कार की स्पीड बहुत कम थी। सुरक्षा एजेंसियां जांच कर रही हैं कि क्या अमोनियम नाइट्रेट की वजह से एहतियातन कार की स्पीड कम रखी गई थी। गुरुग्राम में रहने वाले सलमान की कार पुलवामा के तारिक को बेची गईसुरक्षा एजेंसियों के मुताबिक ब्लास्ट वाली कार बार-बार बेची गई। इसकी RC भी सामने आई है। इस पर नाम मोहम्मद सलमान और तारीख 18 मार्च 2014 लिखी है। एक बार ये कार साउथ कश्मीर के पुलवामा के समबोरा गांव में रहने वाले तारिक को बेची गई थी। एक फोटो सामने आई है, जिसमें कार के साथ एक शख्स दिखाई दे रहा है। इसके तारिक होने का दावा किया जा रहा है। जांच में शामिल अहम पॉइंट1. जिस तरह ब्लास्ट हुआ है, उसमें आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद और इस्लामिक स्टेट खुरासान प्रोविंस का एंगल भी हो सकता है। दोनों संगठन सुसाइड बॉम्बर पर फोकस करते हैं। ब्रेनवॉश कर आतंकी हमले कराते हैं। जांच एजेंसियां इस एंगल पर जांच करते हुए सबूत तलाश रही हैं। 2. इस बात की भी आशंका है कि धमाका पहले i20 कार में न होकर किसी और गाड़ी में हुआ हो। ऐसा इसलिए क्योंकि अमोनियम नाइट्रेट में तभी धमाका हो सकता है जब उसकी मात्रा कई टन में हो। या फिर उसमें आग लग जाए। इसलिए इस एंगल को भी ध्यान में रखा जा रहा है कि पहले किसी दूसरी गाड़ी में CNG ब्लास्ट की वजह से संदिग्ध गाड़ी में भी धमाका हुआ। 3. ब्लास्ट के बाद पीड़ित बुरी तरह जल गए। इससे आशंका है कि ब्लास्ट IED की वजह से नहीं हुआ है। इसमें भारी मात्रा में अमोनियम नाइट्रेट का इस्तेमाल हो सकता है। अमोनियम नाइट्रेट में धमाके से 50 से 100 मीटर तक भारी नुकसान हो सकता है। जैसा इस घटना में देखा गया है। 4. ब्लास्ट के बाद 10 मिनट में ही दिल्ली क्राइम ब्रांच, स्पेशल सेल और लोकल पुलिस मौके पर मौजूद थी। इसके बाद NIA, NSG के साथ फोरेंसिक टीम भी पहुंची। इस केस में फोरेंसिक सबूत सबसे अहम माने जा रहे हैं। इनसे धमाके की असली वजह का पता चल सकेगी। चश्मदीद बोले- ये सिलेंडर ब्लास्ट नहीं, डेडबॉडी के चिथड़े उड़ गएदिल्ली के यमुना पार्क में रहने वाले चंद्रशेखर 10 नवंबर की शाम करीब 6:50 बजे लाल किले के सामने चांदनी चौक गुरुद्वारे के पास थे। उसी वक्त एक चलती कार में ब्लास्ट हुआ। चंद्रशेखर बताते हैं, ‘मैं यहां लाजपतनगर मार्केट की सीढ़ियों से नीचे उतर रहा था। सामने गौरी शंकर मंदिर है। तभी दो बार धमाके की आवाज आई। कुछ समझ आता, तब तक सारे लोग भागने लगे। सारे लोग बोल रहे थे कि गाड़ियों का सिलेंडर फट गया। मैं बाहर आया, तो आग की बड़ी लपटें देखीं। छोटे-छोटे धमाके हुए। दूसरी गाड़ियों में भी आग लग गई।’ चंद्रशेखर के साथ खड़े अभिजीत सिंह गुरुद्वारे से मत्था टेककर बाहर आए थे। वे कहते हैं, ‘ये सिलेंडर का ब्लास्ट नहीं था। आपसे बात करते हुए सब नजर आ रहा है। गाड़ियों में आग लगी हुई थी।’ ट्रैफिक के बीच रेड सिग्नल पर चलती कार में ब्लास्ट जिस वक्त ब्लास्ट हुआ, ब्लास्ट वाली जगह काफी ट्रैफिक था। आसपास भीड़ थी। तभी हरियाणा नंबर की i20 कार में ब्लास्ट हुआ। ब्लास्ट होते ही आसपास मौजूद गाड़ियों में आग लग गई। करीब 24 लोग घायल हो गए। उन्हें दो किमी दूर LNJP हॉस्पिटल भर्ती कराया गया। चांदनी चौक ट्रेडर्स एसोसिएशन ने एक वीडियो शेयर किया है। इसमें डेडबॉडी गाड़ी पर पड़ी है। एक डेडबॉडी सड़क पर दिखाई दी। चश्मदीदों ने भी बताया कि मरने वालों के शरीर के टुकड़े इधर-उधर बिखरे पड़े थे। दिल्ली फायर सर्विस के मुताबिक, दमकल की 10 गाड़ियां मौके पर भेजी गईं। धमाका इतना तेज था कि कई मीटर दूर खड़ी गाड़ियों के शीशे टूट गए और आवाज ITO तक सुनाई दी। शाम 7:29 बजे तक आग बुझा ली गई। पुलिस ने पूरा एरिया सील कर दिया। ब्लास्ट के बाद दिल्ली में हाई अलर्ट जारी कर दिया गया। बॉर्डर पोस्ट पर सुरक्षा बढ़ा दी गई। गाड़ियों की जांच शुरू कर दी गई। मौके पर दिल्ली पुलिस, फोरेंसिक साइंस लेबोरेटरी, NIA और NSG की टीमें पहुंच गईं। 50 मीटर दूर तक गिरे डेडबॉडी के टुकड़ेब्लास्ट वाली जगह से करीब 50 मीटर दूर एक जैन मंदिर है। यहां काम करने वाले गिरिजेश सिंह बताते हैं, ‘धमाके के बाद ऐसा लगा जैसे सब बेहोश हो जाएंगे।’ वे मंदिर में पड़ा गाड़ी का एक पार्ट दिखाते हैं। फिर कहते हैं, ‘देखिए, यहां डेड बॉडी के टुकड़े भी पड़े हैं।’ गिरिजेश बॉडी का जो टुकड़ा दिखाते हैं, वो सिर का हिस्सा था। लंबे बालों से अंदाजा हुआ कि ये किसी महिला को हो सकता है। गिरिजेश बताते हैं, ‘मंदिर में लगे शीशे टूटकर गिर गए। पुलिस आ गई थी, इसलिए हम मंदिर से बाहर नहीं गए।’ घायलों के शरीर में पैलेट्स नहीं, बम ब्लास्ट में ये नॉर्मल बात नहींब्लास्ट के बाद मौके पर पहुंचे दिल्ली के पुलिस कमिश्नर सतीश गोलचा ने बताया कि जिस कार में ब्लास्ट हुआ, उसमें कुछ लोग सवार थे। एक सीनियर अफसर के मुताबिक, ‘कार में तीन लोग बैठे थे। घायलों के शरीर पर पैलेट या छेद के निशान नहीं मिले हैं। ये बम धमाकों में असामान्य है। सभी एंगल से जांच की जा रही है।’ गृह मंत्री अमित शाह ने भी कहा कि हम सभी संभावनाओं पर विचार कर रहे हैं। सभी संभावनाओं को ध्यान में रखते हुए गहन जांच करेंगे। ब्लास्ट मामले में दिल्ली पुलिस ने UAPA (गैरकानूनी गतिविधि रोकथाम कानून) की धारा 16 और 18, विस्फोटक अधिनियम और BNS की धाराओं के तहत कोतवाली थाने में केस दर्ज किया है। हालांकि अब तक पुलिस और जांच एजेंसियों ने ब्लास्ट को आतंकी हमला नहीं बताया है, न ही किसी आतंकी संगठन ने ब्लास्ट की जिम्मेदारी ली है। पुलिस सोर्स के मुताबिक, CCTV फुटेज खंगाली जा रही हैं ताकि धमाके से पहले वाहन की मूवमेंट का पता लगाया जा सके। आसपास के लोगों और चश्मदीदों से पूछताछ की जा रही है। मोबाइल डंप डेटा और संदिग्ध आतंकियों की फाइलें जांची जा रही हैं। धमाके के बाद दिल्ली समेत महाराष्ट्र, राजस्थान, मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश, बिहार, हरियाणा, पंजाब और उत्तराखंड में हाई अलर्ट जारी कर दिया गया है। तेलंगाना की राजधानी हैदराबाद में गश्त बढ़ा दी गई है। आतंकी कनेक्शन में यूपी-हरियाणा से 3 डॉक्टर अरेस्टटेरर मॉड्यूल की धरपकड़ के लिए जम्मू-कश्मीर पुलिस बीते 15 दिन से हरियाणा पुलिस के साथ जॉइंट ऑपरेशन चला रही थी। इस दौरान फरीदाबाद से लखनऊ तक अभियान चलाकर 2900kg विस्फोटक जब्त किया गया। इसी दौरान फरीदाबाद से डॉ. मुजम्मिल शकील और लखनऊ से डॉ. शाहीन शाहिद को गिरफ्तार किया गया है। मुजम्मिल शकील के कमरे से 9 नवंबर को 360 किलो विस्फोटक और असाल्ट राइफल पकड़ी गई। अगले दिन 10 नवंबर को शाहीन की कार से AK-47 राइफल और कारतूस पकड़े गए। डॉ. मुजम्मिल फरीदाबाद की अलफलाह यूनिवर्सिटी में पढ़ाता था। शाहीन उसकी गर्लफ्रेंड बताई जाती है। मुजम्मिल, डॉ. शाहीन की कार इस्तेमाल करता था। उसने फरीदाबाद के धौज गांव में 3 महीने पहले किराए पर कमरा लिया था। वह यहां रहता नहीं था, उसने सिर्फ सामान रखने के लिए कमरा लिया था। धौज से 4 किमी दूर फतेहपुर तगा गांव मौलाना इस्ताक को भी अरेस्ट किया गया। इससे पहले 7 नवंबर को जम्मू-कश्मीर पुलिस ने यूपी के सहारनपुर से डॉ. आदिल अहमद को गिरफ्तार किया था। वह अनंतनाग का रहने वाला है। आदिल अनंतनाग के सरकारी मेडिकल कॉलेज में प्रैक्टिस करता था। उसने 2024 में इस्तीफा दे दिया। इसके बाद सहारनपुर में प्रैक्टिस करने लगा। जम्मू-कश्मीर पुलिस के मुताबिक, यह मॉड्यूल जैश-ए-मोहम्मद और अंसर गजवात-उल-हिंद जैसे आतंकी संगठनों से जुड़ा था।

दैनिक भास्कर 11 Nov 2025 5:20 am

पाकिस्तान एयरलाइंस इंजीनियरों का विरोध, उड़ानें प्रभावित

पाकिस्तान इंटरनेशनल एयरलाइंस (पीआईए) के इंजीनियरों ने लगभग एक वर्ष से वेतन असमानता और सुरक्षा संबंधी चिंताओं को लेकर आवाज उठाई है

देशबन्धु 11 Nov 2025 5:00 am

उड्डयन मंत्री नायडू ने मालदीव में एयरपोर्ट का उद्घाटन किया, मुइज्जू ने पीएम मोदी और भारत का जताया आभार

भारत के केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री के. राममोहन नायडू ने मालदीव के राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू से मुलाकात की

देशबन्धु 11 Nov 2025 4:30 am

रूस में दो मालगाड़ी पटरी से उतरीं, रेल संचालन प्रभावित

रूस के उत्तर-पश्चिमी क्षेत्र में दो अलग-अलग मालगाड़ी हादसे सामने आए। इससे रेल संचालन प्रभावित हुआ। हालांकि, किसी के घायल होने की सूचना नहीं मिली है

देशबन्धु 11 Nov 2025 4:10 am

क्या FBI डायरेक्टर काश पटेल ने चुपके से किया चीन का दौरा? दोनों देश क्यों छिपा रहे हैं डिटेल?

न्यूज एजेंसी रॉयटर्स के सूत्रों का कहना है कि भारतीय मूल के एफबीआई डायरेक्ट ने चुपके से चीन का दौरा किया है. उनका मकसद दोनों देशों के बीच कुछ मामलों पर चल रहे टेंशन को कम करना है.

ज़ी न्यूज़ 11 Nov 2025 3:31 am

6.52 बजे रेड लाइट जली, चलती i20 कार में ब्लास्ट:मैप, वीडियो और 3D के जरिए देखिए दिल्ली ब्लास्ट की मिनट-टू-मिनट पूरी कहानी

शाम 6.50 बजे का वक्त। दिल्ली के लाल किले से करीब 300 मीटर दूर मेट्रो स्टेशन के गेट नंबर वन की पार्किंग का इलाका। एक ह्यूंडई i20 कार धीमी गति से आगे बढ़ रही थी। इसमें 3 लोग सवार थे। रेड लाइट के पास कार के पिछले हिस्से में अचानक ब्लास्ट होता है और गाड़ी के परखच्चे उड़ गए। पूरी घटना का मैप, वीडियो और 3D से बना रीक्रिएशन देखने के लिए ऊपर वीडियो पर क्लिक कीजिए…

दैनिक भास्कर 10 Nov 2025 11:03 pm

लश्कर कमांडर ने कहा था- हाफिज सईद खाली नहीं बैठे:आज सुबह ही पकड़ा गया 2900kg विस्फोटक; क्या दिल्ली ब्लास्ट आतंकी साजिश हो सकती है

दिल्ली में सोमवार शाम हुए कार ब्लास्ट में अब तक 8 लोगों की मौत हो गई, 24 घायल हैं। ब्लास्ट की वजह अभी साफ नहीं। ऑपरेशन सिंदूर के बाद आतंकी साजिश की आशंका जताई जा रही थी। लश्कर कमांडर ने कहा था कि हाफिज सईद खाली नहीं बैठे हैं। 10 नवंबर को ही 2900 किलो विस्फोटक बरामद किए गए थे। भास्कर एक्सप्लेनर में हमने पिछले कुछ महीनों की गतिविधियों को ट्रैक किया है... सितंबर 2025: लश्कर आतंकी ने पीएम मोदी को अंजाम भुगतने की धमकी सितंबर 2025: बम ब्लास्ट की तैयारी कर रहा आतंकी गिरफ्तार अक्टूबर 2025: पीओके में हाईलेवल मीटिंग अक्टूबर 2025: जम्मू कश्मीर से पाकिस्तानी हथियार और विस्फोटक बरामद अक्टूबर 2025: ऑपरेशन सिंदूर के बदले की तैयारी में हाफिज सईद नवंबर 2025: हमले की प्लानिंग कर रहे आतंकी विस्फोटकों के साथ गिरफ्तार नवंबर 2025: दिल्ली के पास से विस्फोटक बरामद ऑपरेशन सिंदूर क्या है और इसमें किन आतंकी ठिकानों को निशाना बनाया गया था? कश्मीर के पहलगाम में 22 अप्रैल को आतंकी हमला हुआ था। इसमें 26 पर्यटक मारे गए थे। पहलगाम हमले में परिवार के सामने लोगों की हत्या की गई, उनके सिर में गोली मारी गई। बचे हुए लोगों से कहा गया कि वे इस हमले का संदेश पहुंचाएं। भारत ने 7 मई को ऑपरेशन सिंदूर में जैश-ए-मोहम्मद और लश्कर-ए-तैयबा के उन अड्डों को निशाना बनाया गया, जो भारत में हमलों की साजिशों और आतंकियों के ट्रेनिंग सेंटर थे। 1. सवाई नाला, मुजफ्फराबाद: LoC से 30 किमी. दूर इस जगह लश्कर-ए-तैयबा का अड्डा था। 20 अक्टूबर 2024 को सोनमर्ग, 24 अक्टूबर 2024 को गुलमर्ग और 22 अप्रैल 2025 को पहलगाम हुए आतंकी हमले की ट्रेनिंग यहीं हुई थी। ये एक टेरर लॉन्चपैड की तरह काम करता था। 2. सैयदना बिलाल कैंप, मुजफ्फराबाद: LoC से करीब 30 किमी ये जगह PoK में है, जहां जैश-ए-मोहम्मद का अड्डा था। यहां आतंकियों को हथियार चलाने, विस्फोटकों के इस्तेमाल और जंगल में खुद को बचाए रखने की ट्रेनिंग दी जाती थी। ये एक आतंकी ट्रेनिंग सेंटर था। 3. गुलपुर, कोटली: LoC से करीब 30 किमी ये जगह PoK में मौजूद है, जहां लश्कर-ए-तैयबा का अड्डा था। यहीं से राजौरी और पूंछ में आतंक की सप्लाई की जाती थी। 30 अप्रैल 2023 को पुंछ और 9 जून 2024 को तीर्थयात्रियों की बस पर हुए हमले की ट्रेनिंग और प्लानिंग यहीं हुई थी। ये इलाका हमेशा से भारतीय खुफिया एजेंसियों के रडार पर रहा है। 4. बरनाला कैंप, बिमभेर: PoK में मौजूद ये जगह LoC से महज 9 किमी है। यहां लश्कर- ए- तैयबा और जैश-ए- मोहम्मद का ठिकाना था। यहां आतंकियों को हथियार चलाने, IED इस्तेमाल करने, और जंगल में खुद को बचाए रखने की ट्रेनिंग दी जाती थी। ये एक ट्रेनिंग सेंटर था, जिसे आतंकवादियों को गढ़ माना जाता था। 5. अब्बास कैंप, कोटली: LoC से 13 किमी ये जगह PoK में है, जहां लश्कर-ए-तैयबा का अड्डा था। यहां फिदायीन हमले की ट्रेनिंग दी जाती थी। यहां करीब 50 आतंकी रहते थे। ये एक टेरर लॉन्चपैड था, जहां से आतंकी भारत घुसते थे। 6. मरकज सुभानअल्लाह, बहावलपुर: इंटरनेशनल बॉर्डर से करीब 100 किमी दूर ये इलाका जैश-ए-मोहम्मद के सरगना मसूद अजहर का घर है। यहां की जामिया मस्जिद सुभान अल्लाह परिसर में जैश का हेडक्वार्टर था। यहीं नए लोगों को भर्ती कर आतंकी बनाया जाता और उन्हें ट्रेनिंग दी जाती थी। आएं दिन यहां आतंकियों के टॉप कमांडर देखे जाते थे। 7. मरकज तैय्यबा, मुरीदके: इंटरनेशनल बॉर्डर से 18-25 किमी दूर यहां लश्कर-ए-तैयबा का हेडक्वार्टर था। 200 एकड़ में फैली इस जगह से ही 2008 में आतंकवादी मुंबई आए थे, जिन्होंने हमला किया था।पाकिस्तान और कश्मीर से हजारों लड़ाकों को ट्रेनिंग देने और आतंकवादी अभियानों की योजना बनाने के लिए यहां लाया जाता है। अजमल कसाब और डेविड हेडली को यहीं ट्रेनिंग मिली। 8. सर्जल कैंप: इंटरनेशनल बॉर्डर से 6 किमी दूर इस जगह पर लश्कर-ए-तैयबा, जमात- उद- दावा जैसे आतंकी संगठनों के अड्डे थे। मार्च 2025 में जम्मू-कश्मीर पुलिस के 4 जवानों की हत्या की साजिश यहीं रची गई थी और यहीं से आए आतंकियों ने इस घटना को अंजाम दिया था। 9. महमूना जोया, सियालकोट: LoC से 12-18 किमी दूर यहां हिजबुल मुजाहिदीन का ठिकाना था। यहीं से कठुआ और जम्मू में आतंक की सप्लाई की जाती थी। इसी जगह पर पठानकोट एयरबेस हमले की साजिश रची गई थी और अंजाम दी गई थी। ------ ये खबर भी पढ़िए... दिल्ली में लाल किले के पास कार में धमाका:8 की मौत, 24 घायल, दिल्ली, मुंबई, यूपी और हरियाणा में हाई अलर्ट; पीएम मोदी ने शाह से बात की दिल्ली में लाल किले के पास कार में जोरदार धमाका हुआ है। ब्लास्ट में 8 लोगों की मौत हो गई है और 24 लोग घायल हैं। धमाके की वजह साफ नहीं है, लेकिन इसके बाद दिल्ली समेत मुंबई, हरियाणा और उत्तर प्रदेश में हाई अलर्ट जारी कर दिया गया है। पूरी खबर पढ़िए...

दैनिक भास्कर 10 Nov 2025 8:58 pm

2005-2008 दिल्ली ब्लास्ट में 92 लोग मारे गए थे:तब आतंकियों ने बस और कूड़ेदानों में रखे थे कुकर बम, 8 सीरियल धमाकों से दहली थी दिल्ली

दिल्ली में लाल किले के पास हुए कार ब्लास्ट में 10 से ज्यादा लोगों की मौत हो गई है। ब्लास्ट की वजह अभी साफ नहीं है। इससे पहले आज सुबह ही जम्मू-कश्मीर और हरियाणा पुलिस ने मिलकर दिल्ली के पास फरीदाबाद में 2900 किलो विस्फोटक पदार्थ जब्त किया था। ऐसे में सुरक्षा एजेंसियां जांच में जुटी हैं कि ये हादसा है या इसके पीछे कोई साजिश है। इससे पहले 2005 और 2008 में भी दिल्ली बम ब्लास्ट से दहल चुकी है। तब 92 लोग मारे गए थे। आखिर कैसे रची गई थी दिल्ली दहलाने की साजिश, चलिए जानते हैं... 29 अक्टूबर 2005, उस रोज धनतेरस था और दो दिनों बाद दिवाली। दिल्ली के बाजारों में भीड़ इतनी कि पैर रखने तक की जगह नहीं थी। शाम 5.38 से 6.05 यानी 27 मिनट के भीतर दिल्ली में तीन सीरियल ब्लास्ट हुए। सड़कों पर लाशें बिछ गईं। किसी का धड़ अलग, तो किसी के हाथ-पैर अलग। दर्जनों गाड़ियां जल कर खाक हो गईं, दुकानें ध्वस्त हो गईं। 67 लोग मारे गए और 200 से ज्यादा जख्मी हुए। 3 साल बाद 13 सितंबर 2008, शनिवार का दिन। शाम 6.27 पर दिल्ली पुलिस को एक ईमेल मिला। लिखा था- ‘ठीक 5 मिनट बाद आप तेज, सटीक और लगातार हमले देखेंगे। 9 सिलसिलेवार बम विस्फोट।’ दिल्ली पुलिस इस मैसेज को डिकोड करती, उससे पहले ही दिल्ली धमाकों से दहल उठी। एक के बाद एक 5 अलग-अलग जगहों पर सीरियल बम ब्लास्ट हुए। 25 लोग मारे गए और 100 से ज्यादा लोग जख्मी हुए। इन दोनों बम ब्लास्ट के पीछे पाकिस्तानी आतंकी संगठनों का हाथ था। 2005 बम ब्लास्ट की जिम्मेदारी लश्करे-तैयबा ने ली और 2008 बम ब्लास्ट की जिम्मेदारी इंडियन मुजाहिदीन ने। दिल्ली के पहाड़गंज का नेहरू मार्केट, एक जगह है छह टूटी चौक। 29 अक्टूबर 2005 को लोग धनतेरस की खरीदारी में जुटे थे। बाजार खचाखच भरा था। शाम 5.38 बजे एक ज्वेलरी शॉप के पास बम ब्लास्ट हुआ। दिल्ली पुलिस के मुताबिक धमाका इतना जबरदस्त था कि आस-पास खड़े लोगों के चीथड़े उड़ गए। दुकानें भरभरा गईं। दीवारें टूट गईं। कई लोग तो हवा में उड़ गए, जमीन पर टुकड़ों में बंटा उनका शरीर मिला। 17 लोग मारे गए। जब पहाड़गंज बाजार जल रहा था, तभी दिल्ली परिवहन निगम की एक बस कालकाजी मंदिर के पास पहुंची। एक शख्स बस में ही अपना बैग छोड़कर उतर गया। बगल में बैठा पैसेंजर जोर से चिल्लाया- ‘देखो एक आदमी, अपना बैग छोड़कर भाग गया।’ बस में सवार लोगों को पहाड़गंज धमाके की खबर मिल चुकी थी। ड्राइवर कुलदीप सिंह और कंडक्टर बुद्ध प्रकाश भांप गए कि बैग में कुछ गड़बड़ चीज हो सकती है। वे फौरन बस को गोविंदपुरी में एक कम भीड़ वाली जगह पर ले गए। जल्दी-जल्दी बस से 70 पैसेंजर्स को उतारा गया। इसके बाद ड्राइवर ने बैग खोला तो उसमें तार जैसा कुछ दिखाई दिया। उसने बैग को बाहर की ओर फेंक दिया। बैग हवा में ही ब्लास्ट हो गया। आस-पास खड़े करीब आधा दर्जन लोग जख्मी हो गए। कुलदीप बाल-बाल बच गए, लेकिन हमेशा के लिए अपनी आंखें गंवा बैठे। आग बुझी, तो चारों ओर लाशें ही लाशें बिखरी मिलीं शाम 6 बजे, जगह दिल्ली का सरोजनी मार्केट। सबसे भीड़-भाड़ वाली जगह। यहां एक जूस की दुकान है श्याम जूस कॉर्नर। वहां एक आदमी अपना बैग छोड़कर चला गया। दुकान पर काम करने वाले छोटू यादव को वो बैग मिला। छोटू दिल्ली में हो रहे धमाकों से बेखबर थे। उन्होंने अपने मालिक लाल चंद सलूजा से कहा- ‘भाई साहब ये बैग कोई छोड़ गया है। मैं कब से पूछ रहा हूं कोई बता नहीं रहा कि किसका है।’ लाल चंद सलूजा ने कहा- खोल लो बैग, देखो उसमें क्या है। छोटू ने कहा- ‘मैं किसी का बैग नहीं खोलूंगा, कोई मुझ पर चोरी का इल्जाम लगा देगा।’ छोटू ने हाथ से बैग दबाया तो उसे लगा कि कुकर जैसा कुछ अंदर है। उसने यह बात लाल चंद को बताई। लाल चंद ने उससे बैग लिया और पुलिस को देने जाने लगे। वे जैसे ही बैग लेकर आगे बढ़े, ब्लास्ट हो गया। इस बार का धमाका पहाड़गंज और गोविंदपुरी इलाके में हुए धमाकों से ज्यादा भयावह था। दुकान के पास रखे दो सिलेंडर भी ब्लास्ट कर गए। चारों तरफ अफरातफरी मच गई। दुकानें धू-धू कर जलने लगीं। लोग चीखते-पुकारते भागने लगे। कुछ देर बाद जब धमाके का धुआं ठंडा पड़ा और आग बुझी, तो चारों ओर लाशें ही लाशें बिखरी मिलीं। जूस दुकान के मालिक लाल चंद सलूजा भी काल के गाल में समा गए। धमाका इतना जोरदार था कि लाशें देखकर यह पहचानना भी मुश्किल था कि कौन पुरुष है और कौन महिला। सरोजनी नगर मार्केट में एक दीवार पर मरने वाले लोगों के नाम एक शिलापट पर दर्ज हैं। इनमें 50 लोगों के नाम लिखे हैं। इनमें महिलाएं, पुरुष और बच्चों के नाम शामिल हैं। एक बच्चा तो सिर्फ 9 महीने का था। माता-पिता ने उसका नाम भी नहीं रखा था। इन तीनों हमलों में कुल 67 लोग मारे गए। 200 से ज्यादा लोग जख्मी हुए। कई लोग तो इस तरह जख्मी हुए कि आज तक नहीं उबर पाए हैं। किसी ने दोनों पैर गंवाए, तो किसी ने हाथ। इनमें ज्यादातर लोग वे थे जो धनतेरस की शॉपिंग करने गए थे। सरोजनी नगर के रहने वाले भगवान दास के बेटे, बहू और पोता तीनों शॉपिंग करने गए थे। बम धमाकों ने तीनों को निगल लिया। इन धमाकों पर गृह मंत्रालय का कहना था कि दिल्ली पुलिस की स्पेशल ब्रांच को विस्फोट से पहले खुफिया जानकारी मुहैया कराई गई थी, लेकिन वह उस पर कार्रवाई नहीं कर सकी। एक मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक दिल्ली में विस्फोटों से 15 दिन पहले अमेरिका ने अपने नागरिकों के लिए एडवाइजरी जारी कर हैदराबाद, दिल्‍ली, कोलकाता और मुंबई नहीं जाने की सलाह दी थी। पाकिस्तानी आतंकी संगठन लश्करे-तैयबा ने एक वेबसाइट पर ‘इस्लामिक इंकलाब महाज’ नाम से इन धमाकों की जिम्मेदारी ली। दिल्ली पुलिस ने बम धमाकों में शामिल संदिग्ध हमलावरों में से एक के तीन स्केच जारी किए। कुल तीन आरोपी बनाए गए। तारिक अहमद डार, मोहम्मद हुसैन फाजिली और मोहम्मद रफीक शाह। तीनों श्रीनगर के रहने वाले थे। 11 नवंबर 2005 को तारिक अहमद डार को कश्मीर से गिरफ्तार किया गया। दिल्ली पुलिस का दावा था कि डार अक्टूबर में दिल्ली में था और कई जगहों पर जाकर रेकी की थी। डार को पुलिस ने मास्टरमाइंड बताया। करीब 12 साल मुकदमा चला। 2017 में दिल्ली के एक ट्रायल कोर्ट ने डार को राज्य के खिलाफ युद्ध छेड़ने, साजिश रचने, हथियार इकट्ठा करने, हत्या और हत्या के प्रयास के आरोपों में दोषी ठहराया और 10 साल की सजा सुनाई। जबकि बाकी दो आरोपियों को बरी कर दिया। चूंकि डार 11 साल से जेल में बंद था, लिहाजा उसे भी कोर्ट ने रिहा कर दिया। दिल्ली ब्लास्ट 2008 : एक के बाद एक 5 सीरियल ब्लास्ट, 30 लोग मारे गए। पूर्व IPS और बाटला हाउस एनकाउंटर को लीड करने वाले कर्नल सिंह अपनी किताब ‘बाटला हाउस का सच’ में लिखते हैं- ‘13 सितंबर को शनिवार था। मैं घर पर ही था और साइंस फिक्शन की एक किताब पढ़ रहा था। पत्नी रेणू ने पूछा- चाय चाहिए? मैंने हम्म के साथ जवाब दिया और वो रसोई में चली गईं। कुछ देर बाद वह चाय लेकर लौटीं। बेटा अपनी नोटबुक लेकर दौड़ता हुआ आया। बोला- पापा प्लीज ये मैथ्स के क्वेश्चन सॉल्व करने में मेरी हेल्प करो। आमतौर पर मुझे परिवार के साथ समय बिताने का मौका नहीं मिल पाता था। मैं वीकेंड को परिवार के साथ भरपूर एंजॉय करना चाहता था। इसी बीच मेरे फोन की घंटी बजी। शनिवार की शाम किसका फोन हो सकता है। यह सोचते हुए मैंने फोन उठाया, तो स्क्रीन पर एक पत्रकार का नाम दिखाई दिया। उन्होंने कहा- सर क्या करोल बाग में कोई विस्फोट हुआ है? तभी मेरे घर के फोन की घंटी बजने लगी। मेरे दूसरे फोन पर पुलिस कंट्रोल रूम से कॉल आ रही थी। मैंने पत्रकार से कहा कि दोबारा फोन करता हूं आपको, मेरे पास एक और कॉल आ रही है। PCR की कॉल उठाया तो पता चला कि कुछ ही मिनट पहले करोल बाग में विस्फोट हुआ है। मैंने टीम से कहा कि तुरंत पहुंच रहा हूं। अभी मैं रास्ते में ही था कि मुझे PCR से एक और कॉल आई। बताया गया कि 6.30 बजे कनॉट प्लेस में धमाका हुआ है। वहां कूड़ेदान में बम रखा गया था। 5 मिनट बाद मुझे वायरलेस पर तीन और धमाकों की खबर मिली। ग्रेटर कैलाश एम ब्लॉक मार्केट में दो धमाके और एक धमाका बाराखंबा रोड में। इन जगहों पर भी कूड़ेदानों में ही विस्फोट हुए थे। करोल बाग में शाम 5.55 मिनट पर बम ब्लास्ट हुआ था। जब मैं वहां पहुंचा, तो देखा कि उस इलाके में सन्नाटा पसरा हुआ था। मुझे बताया गया कि धमाका इतना तेज था कि एक ऑटो रिक्शा जमीन से कई फीट ऊपर तक उड़ गया था। उस ऑटो के परखच्चे उड़ गए थे। पूरी सड़क पर खून बिखरा हुआ था।’ दिल्ली सीरियल ब्लास्ट में कुल 25 लोगों की मौत हुई। 100 से ज्यादा लोग जख्मी हुए। बाद में पता चला कि आतंकियों ने बम प्लांट करने के बाद दिल्ली पुलिस को ईमेल भेजा था। ईमेल में लिखा था- ‘ठीक 5 मिनट बाद आप तेज, सटीक और लगातार हमले देखेंगे। 9 सबसे शक्तिशाली सिलसिलेवार बम विस्फोट।’ पुलिस इसे डिकोड करने की कोशिश कर ही रही थी कि धमाकों का सिलसिला शुरू हो गया। ये ईमेल आतंकी संगठन इंडियन मुजाहिदीन की तरफ से भेजा गया था। गुब्बारे बेचने वाले की मदद से पुलिस ने तैयार किया आतंकियों का स्केच पूर्व IPS कर्नल सिंह लिखते हैं- ‘धमाके के एक दिन बाद 14 सितंबर की रात करीब 3 बजे मेरे फोन की घंटी बजी। 1994 बैच के IPS अधिकारी DCP आनंद मोहन का फोन था। उन्होंने कहा- ‘हमें एक चश्मदीद गवाह मिला है। बाराखंबा रोड पर गुब्बारे बेचने वाले राहुल नाम के 11 साल के लड़के ने दो लोगों को ऑटो रिक्शा से उतरते हुए देखा था। राहुल के मुताबिक उनमें से एक ने पास के कूड़ेदान में प्लास्टिक का थैला फेंका था। एक की लंबी दाढ़ी थी और वह काले रंग का कुर्ता पायजामा पहना था। दूसरे ने कमीज और पतलून पहन रखी थी। राहुल को फिलहाल कनॉट पुलिस थाने में रखा गया है।’ राहुल की मदद से पुलिस ने आतंकियों के तीन स्केच बनवाए। इनमें से एक की पहचान राहुल ने की थी। पुलिस ने धमाके की धमकी वाले ईमेल का IP एड्रेस खंगाला, तो पता चला कि पूर्वी दिल्ली के एक साइबर कैफे से मेल भेजा गया था। हालांकि कैफे के मालिक ने उनका पहचान पत्र वगैरह नहीं रखा था। पुलिस ने कैफे से 11 कंप्यूटर जब्त कर लिए। जांच में पता चला कि ईमेल भेजने वाला कंप्यूटर का जानकार था। मेल भेजने के पहले कंप्यूटर में तारीख और टाइम बदल दिया था। फ्रेश ईमेल ID बनाई थी। पुलिस की जांच में यह भी पता चला कि हमला करने वालों ने जिस फोन का इस्तेमाल किया था, उसका लोकेशन जामिया नगर के बाटला हाउस इलाके में था। सिम कार्ड कंपनी का सेल्समैन बनकर आतंकियों के पास पहुंचा पुलिस अधिकारी 19 सितंबर 2013, सुबह दिल्ली पुलिस को पता चला कि बाटला हाउस के एल-18 बिल्डिंग के फ्लैट नंबर 108 में कुछ संदिग्ध हैं। पुलिस को ये भी पता चला कि इन लोगों ने हाल ही में प्रीपेड से पोस्टपेड में कनेक्शन करवाया है। जिसका वेरिफिकेशन करना अभी बाकी था। पुलिस ने तय किया कि उनका एक आदमी सेल्समैन बनकर इनके पास वेरिफिकेशन के बहाने जाएगा। बाटला हाउस, जामिया मिलिया इस्लामिया मेट्रो स्टेशन से पैदल 10 मिनट की दूरी पर है। बटला हाउस चौक उतरने पर पास में ही खलीलुल्लाह मस्जिद है। इसके पीछे करीब 50 कदम चलने पर वो गली है, जिसमें एल-18 बिल्डिंग है। चार मंजिला एल-18 बिल्डिंग के दोनों तरफ भी इतनी ही ऊंची बिल्डिंग बनी हुई हैं। पुलिस ने दो टीमें बनाईं। पहली टीम को इंस्पेक्टर मोहन चंद्र शर्मा लीड कर रहे थे। उनके साथ 18 पुलिसकर्मी थे। दूसरी बैकअप टीम थी, जिसे DSP संजीव यादव लीड कर रहे थे। 19 सितंबर की सुबह 11 बजे दिल्ली पुलिस ने कार्रवाई शुरू की। इंस्पेक्टर मोहन शर्मा की टीम के SI धर्मेंद्र सेल्समैन बनकर ऊपर गए। उस कमरे का दरवाजा थोड़ा सा खुला हुआ था। चार-पांच लड़के फ्लैट के अंदर थे। जो लड़का गेट पर आया, उसने धर्मेंद्र से बदतमीजी की। धर्मेंद्र ने आकर DCP संजीव यादव को बताया कि चौथे फ्लोर पर फ्लैट का दरवाजा एल शेप में है और अंदर 4-5 लोग हैं। इसके बाद पुलिस फिर से उस फ्लैट में पहुंची। सामने वाला दरवाजा बंद था। टीम ने आवाज दी, लेकिन किसी ने दरवाजा नहीं खोला। इंस्पेक्टर मोहन चंद्र शर्मा ने लेफ्ट साइड वाले दरवाजे को धक्का दिया। धक्का देते ही दरवाजा खुल गया। जैसे ही पुलिस अंदर घुसी, उधर से फायरिंग होने लगी। इंस्पेक्टर शर्मा और हेड कॉन्स्टेबल बलवंत को गोली लग गई। फौरन बैकअप टीम उन्हें अस्पताल ले गई। इसके बाद बैकअप टीम के संजीव यादव और उनके साथियों ने मोर्चा संभाल लिया। पुलिस की फायरिंग में दो लड़के मारे गए, जबकि दो लड़के भाग निकले। एक लड़के ने खुद को वॉशरूम में बंद कर रखा था। वो बाद में जिंदा पकड़ा गया। उसी दिन शाम को इंस्पेक्टर मोहन शर्मा की मौत हो गई। मारे गए आरोपी आतिफ अमीन और मोहम्मद साजिद थे। जिंदा पकड़े गए लड़के का नाम मोहम्मद सैफ था। उसकी मदद से पुलिस ने उन दो लड़कों को भी गिरफ्तार कर लिया, जो भागे थे। उनके नाम आरिफ खान और शहजाद अहमद था। मानवाधिकार संगठनों ने बाटला हाउस एनकाउंटर को फर्जी बताया। कोर्ट में न्यायिक जांच की मांग हुई, लेकिन कोर्ट ने ऐसी जांच कराने से इनकार कर दिया। 2021 में दिल्ली के साकेत कोर्ट ने आरिफ को सजाए मौत और शहजाद को उम्रकैद की सजा सुनाई। सलमान खुर्शीद ने कहा- ‘बाटला हाउस एनकाउंटर की तस्वीरें देख रो पड़ीं थीं सोनिया गांधी’ 9 फरवरी 2012, जगह UP का आजमगढ़। विधानसभा चुनावों की घोषणा हो चुकी थी। पहले चरण की वोटिंग भी हो चुकी थी। कांग्रेस नेता और केंद्रीय कानून मंत्री सलमान खान खुर्शीद ने कहा- ‘मैंने सोनिया गांधी को बाटला हाउस एनकाउंटर की तस्वीरें दिखाईं तो वो रो पड़ीं। उन्होंने हाथ जोड़कर कहा कि ये तस्वीर मुझे मत दिखाओ। जाओ प्रधानमंत्री से बात करो। हमने प्रधानमंत्री से बात की। मामला आगे बढ़ा। यह भी तय हो गया कि कौन सा रिटायर्ड जस्टिस इसकी जांच करेगा, लेकिन उस समय देश में चुनाव थे। हमने मानवाधिकार आयोग जाने का फैसला किया। हम सुप्रीम कोर्ट तक गए। हमें उम्मीद थी कि राहत मिल जाएगी, लेकिन राहत नहीं मिली।’ तब कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह ने भी बाटला हाउस एनकाउंटर पर सवाल उठाए थे। हालांकि गृह मंत्री पी चिदंबरम ने उस एनकाउंटर को सही ठहराया। उन्होंने कहा- ‘दिग्विजय सिंह लंबे समय से ऐसा कहते आ रहे हैं। मैं उनकी भावनाओं का सम्मान करता हूं, लेकिन बतौर गृह मंत्री मैं यह कहना चाहता हूं कि वो एनकाउंटर जेन्विन था।’ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी कई चुनावी सभाओं में बाटला हाउस एनकाउंटर का जिक्र करते हुए सोनिया गांधी को घेर चुके हैं। 2019 में मध्यप्रदेश में चुनावी सभा के दौरान PM ने कहा- ‘बाटला हाउस एनकाउंटर में जब आतंकी मारे गए, तो एक राजदरबारी ने दुनिया को बताया था कि रिमोट कंट्रोल से सरकार चलाने वालों के आंसू थम नहीं रहे थे।’ PM ने सोनिया गांधी का नाम नहीं लिया, लेकिन उनका इशारा सोनिया की तरफ ही था। मोदी कई बार बाटला हाउस का जिक्र कर कांग्रेस को घेर चुके हैं। कांग्रेस नेताओं ने बाटला हाउस एनकाउंटर को फर्जी बताया, BJP ने उठाया फायदा 2005 और 2008 दोनों बम धमाकों के दौरान दिल्ली में कांग्रेस की सरकार थी। केंद्र में भी कांग्रेस की सरकार थी। चुनावों में ये दोनों घटनाएं मुद्दा भी बनीं, लेकिन उसके बाद हुए चुनाव में कांग्रेस ने वापसी की। हालांकि 2012 में जब सलमान खुर्शीद ने बाटला हाउस एनकाउंटर और सोनिया गांधी का जिक्र किया, तो कई कांग्रेसी नेताओं ने इसे फर्जी बताया। उसके बाद नरेंद्र मोदी और BJP ने इसे चुनावी मुद्दा बनाया। 2012 के बाद दिल्ली विधानसभा और लोकसभा दोनों ही चुनावों में कांग्रेस का सूपड़ा साफ हो गया। 2012 के दिल्ली विधानसभा चुनाव में 70 में से 28 सीटें जीतकर BJP सबसे बड़ी पार्टी बनी। 2014 के लोकसभा में BJP ने दिल्ली की सभी सात संसदीय सीटें जीत लीं।

दैनिक भास्कर 10 Nov 2025 8:35 pm

NFL मैच के दौरान ट्रंप का सरप्राइज, Air Force One ने स्टेडियम के ऊपर से भरी उड़ान

अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने एनएफएल के लायंस बनाम कमांडर्स मैच के दौरान अपने एयर फोर्स वन विमान को काफी नीचे से मैदान के ऊपर से निकाला. एयर फोर्स वन को जब ट्रंप ने स्टेडियम के ऊपर से फ्लाईओवर कराया तो इस नजारे ने दर्शकों में उत्साह और हैरानी दोनों पैदा कर दी. इसका वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है.

ज़ी न्यूज़ 10 Nov 2025 7:26 pm

हमास ने 11 सालों के बाद क्यों सौंपा हैदर गोल्डिन का शव? शहीद के परिवार ने नेतन्याहू से जताई नाराजगी

शहीद का शव मिलने के बाद इजरायली सेना अब औपचारिक पहचान की प्रक्रिया पूरी करेगी. गोल्डिन की मौत के बाद से ही उनका परिवार सरकार से लगातार आग्रह कर रहा था कि बेटे का पार्थिव शरीर हर हाल में वापस लाया जाए.

ज़ी न्यूज़ 10 Nov 2025 7:10 pm

बीबीसी के दो टॉप अधिकारियों को आखिर क्यों देना पड़ा इस्तीफा, ट्रंप से जुड़ा मामला है इसकी वजह

ब्रिटिश ब्रॉडकास्टिंग कॉर्पोरेशन (बीबीसी) में कुछ ऐसा हुआ, जिसकी वजह से पूरे संस्थान में हलचल शुरू हो गई। बीबीसी के दो बड़े अधिकारियों को इस्तीफा देना पड़ा, जिनमें डायरेक्टर जनरल टिम डेवी और हेड ऑफ न्यूज डेबोरा टर्नेस का नाम शामिल है

देशबन्धु 10 Nov 2025 5:01 pm

Japan: दुनिया भर में मंत्रियों की बढ़ती सैलरी के बीच जापान ने पेश की नजीर, प्रधानमंत्री का वेतन भी घटेगा

Japan PM Decrease Salary of Her Cabinet: जापान के मंत्री इस प्रस्ताव की जल्द से जल्द समीक्षा करेंगे और इस समीक्षा के बाद ये प्रस्ताव लागू करने के लिए संसद में पेश कर दिया जाएगा. जापानी पीएम ताकाइची की यह पहल प्रशासनिक और वित्तीय सुधार को आगे बढ़ाने की व्यापक योजना का हिस्सा है.

ज़ी न्यूज़ 10 Nov 2025 4:26 pm

5 साल की सजा पाने वाले निकोलस सरकोजी तीन हफ्ते बाद ही होंगे रिहा? अदालत के रुख पर फ्रांस की नजर

Former French President Nicolas Sarkozy: पूर्व फ्रांसीसी राष्ट्रपति निकोलस सरकोजी को 5 साल जेल की सजा सुनाई गई थी. अब उनकी रिहाई को लेकर विचार किया जा रहा है.

ज़ी न्यूज़ 10 Nov 2025 1:57 pm

ये है समुद्र पर दौड़ने वाली दुनिया की इकलौती ट्रेन! वीडियो देखकर आंखें मसलते रह जाएंगे आप

Bird Flight Line Video: जर्मनी से डेनमार्क जाने वाली 'बर्ड फलाइट लाइन' की ट्रेन का वीडियो इन दिनों सोशल मीडिया पर खूब वायरल हो रहा है. यूजर्स वीडियो को देखकर काफी हैरान हैं क्योंकि आज तक ट्रेन सिर्फ जमीन पर चलती देखी थी, लेकिन आज पानी के अंदर भी देख ली..

ज़ी न्यूज़ 10 Nov 2025 1:06 pm

जिहादियों के ग्रुप ने माली में 5 भारतीयों को दिनदहाड़े बनाया बंधक, सरकार हुई एक्टिव, घनघनाने लगे फोन, जानें भारत क्या कर रहा?

5 Indians Kidnapped In Mali: माली के पश्चिमी इलाके कोबरी के पास 6 नवंबर को अल-कायदा से जुड़े जिहादी समूह ने 5 भारतीय मजदूरों का अपहरण कर लिया. ये बिजली प्रोजेक्ट पर काम कर रहे थे. भारतीय दूतावास और MEA फोन पर माली अधिकारियों से लगातार संपर्क में हैं. बाकी भारतीयों को बामाको शिफ्ट किया गया है. जानें भारत इस मामले में क्या कर रही है.

ज़ी न्यूज़ 10 Nov 2025 12:28 pm

अमेरिका में 40 दिनों से चल रहा शटडाउन हो सकता है खत्म, सीनेट ने एक दलीय सहमति वाले प्रस्ताव को दी मंजूरी

अमेरिका में पिछले 40 दिनों से चल रहा शटडाउन अब समाप्त होने की दिशा में बढ़ रहा है। अमेरिकी सीनेट ने एक दलीय सहमति वाले प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है, जो अब प्रतिनिधि सभा (हाउस ऑफ रिप्रेजेंटेटिव्स) में विचार के लिए भेजा गया है

देशबन्धु 10 Nov 2025 11:50 am

अगर पिघल जाए धरती की सारी बर्फ? पानी में समा जाएगा इन राज्यों का वजूद!

Climate Change Impact: धरती पर सबसे ज्यादा बर्फ साउथ पोल यानी अंटार्कटिका पर है. यहां पृथ्वी का 70% ताजा पानी और 90% बर्फ मौजूद है. इसके अलावा नॉर्थ पोल और ग्रीनलैंड भी पूरी तरह बर्फ से ढके हैं. ऐसे में कभी आपने सोचा है कि यदि अचानक धरती की सारी बर्फ पिघल जाए तो क्या होगा. दुनिया के कौन से शहर या राज्य डूब जाएंगे. चलिए जानते हैं.

ज़ी न्यूज़ 10 Nov 2025 11:21 am

दम लगा के हईशा! बीवी हो या गर्लफ्रेंड बस कंधे पर उठाइए और जीतिए..., दिलचस्प है फिनलैंड की वाइफ कैरीइंग वर्ल्ड चैंपियनशिप का किस्सा

Finland Wife Carrying Championship: यहां दिलबहलाने के लिए भी लोग बॉन्डिंग और रोमांस का तड़का लगाते हैं. जरूरी नहीं कि आप अपनी ही पत्नी के साथ इस रोमांचकारी रेस में पार्टिसिपेट करें. अगर आपकी शादी नहीं हुई है तो भी परेशान होने की जरूरत नहीं, क्योंकि गर्लफ्रेंड, मंगेतर यहां तक की पड़ोसी की बीबी के साथ भी इस खूबसूरत खेल में हिस्सा लेने की आजादी है.

ज़ी न्यूज़ 10 Nov 2025 10:43 am

दक्षिण कोरिया : चीन की नाव पलटी, 2 नाविकों को बचाया गया, जबकि नौ लापता

दक्षिण कोरिया की राजधानी सियोल से लगभग 180 किलोमीटर दक्षिण-पश्चिम में गुसान के पास इओचेओंग द्वीप के पास सोमवार को चीन की एक मछली पकड़ने वाली नाव के दुर्घटनाग्रस्त हो गयी। इस हादसे के बाद दो नाविकों को बचा लिया गया, जबकि नौ लोग लापता है

देशबन्धु 10 Nov 2025 10:35 am

अमेरिका पहुंचे सीरिया के राष्ट्रपति शरा करेंगे ट्रंप से मुलाकात, कभी यूएस के आतंकी की लिस्ट में था नाम

सीरिया के राष्ट्रपति अहमद अल शरा अमेरिकी दौरे पर पहुंचे हैं। राष्ट्रपति शरा का यह दौरा कई मायनों में खास माना जा रहा है

देशबन्धु 10 Nov 2025 9:40 am

हम लड़ना नहीं चाहते... तालिबान ने धमकाया तो नर्म पड़ा पाकिस्तान; अब तुर्की के मंत्री करेंगे दौरा

Pakistan Vs Afghanistan: पाकिस्तान और तालिबान के बीच विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है. तुर्की में हुई तीसरे दौर की बातचीत भी नाकाम हो गई है. इसके बाद फिर से पाकिस्तान तालिबान को धमका रहा है, हालांकि तालिबान भी कह रहा है कि वो पीछे नहीं हटेगा.

ज़ी न्यूज़ 10 Nov 2025 9:37 am

Airport Divorce: क्या होता है 'एयरपोर्ट डिवोर्स'? न कोर्ट-कचहरी और न ही पु‌लिस और परिवार की जरूरत, एक झटके में जिंदगी की भसड़ खत्म!

What Is Airport Divorce:आप सबने तलाक की ढेर सारीकहानियां सुनी होंगी. जिसमें कोर्ट, वकील, पुलिस, मायका-ससुराल का ड्रामा, महीनों का तनाव. यह सब देखा, सुना और पढ़ा होगा, लेकिन आज हम आपको एयरपोर्ट डिवोर्स के बारे में बताएंगे. नाम सुनकर दिमाग ठनका होगा, लगा होगा कोई नया कानूनी तरीका है? अरे नहीं भाई! ये दुनिया का सबसे आसान, सबसे मजेदार और सबसे सस्ता 'तलाक' है. जो असल में तलाक है ही नहीं! न कागज, न साइन, न गवाह. बस एक मुस्कान और मौज ही मौज.

ज़ी न्यूज़ 10 Nov 2025 8:50 am

शी चिनफिंग ने कंबोडिया की स्वतंत्रता की 72वीं वर्षगांठ पर बधाई संदेश भेजा

चीनी राष्ट्रपति शी चिनफिंग ने रविवार को कंबोडिया किंगडम की स्वतंत्रता की 72वीं वर्षगाठ पर कंबोडिया के नरेश नोरोडोम सिहामोनी को बधाई संदेश भेजा

देशबन्धु 10 Nov 2025 8:36 am

बांग्लादेश में प्राथमिक शिक्षकों का देशव्यापी विरोध प्रदर्शन, पुलिस ने बरसाई लाठी; 100 से अधिक घायल

बांग्लादेश में यूनुस सरकार के नेतृत्व में अराजकता की स्थिति बरकरार है। ढाका में सरकारी स्कूल के शिक्षक विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं

देशबन्धु 10 Nov 2025 8:29 am

चीनी प्रधानमंत्री ने अलेक्जेंड्रू मुंटेनू को मोल्डोवा का पीएम बनने पर बधाई दी

चीनी प्रधानमंत्री ली छ्यांग ने हाल ही में अलेक्जेंड्रू मुंटेनु को संदेश भेजकर उन्हें मोल्डोवा का प्रधानमंत्री बनने पर बधाई दी

देशबन्धु 10 Nov 2025 7:58 am

पीएम किसान निधि के मॉडल को अपनाएंगे ट्रंप, टैरिफ का फायदा बताकर अमेरिकी लोगों को देंगे 2000 डॉलर

Donald Trump: डोनाल्ड ट्रंप ने अमेरिकियों को 2000 डॉलर टैरिफ डिविडेंट देने का ऐलान किया है. हाल ही में उन्होंने सोशल मीडिया पर पोस्ट के जरिए यह बात कही है. उनके इस फैसले को भारत में चल रही इसी तरह की योजनाओं से जोड़कर देखा जा रहा है.

ज़ी न्यूज़ 10 Nov 2025 7:53 am

खत्म होने वाला है इतिहास का सबसे शटडाउन... ट्रंप ने दी राहत की खबर; जानिए क्या है प्रोसेस?

US Shutdown near to end: अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने इशारा किया है कि इतिहास का सबसे लंबा शटडाउन जल्द ही खत्म होने वाला है. ट्रंप ने मीडिया से बात करते हुए कहा-शटडाउन जल्द ही खत्म होने वाला है. आप जल्द ही जान जाएंगे

ज़ी न्यूज़ 10 Nov 2025 7:22 am

'भ्रष्ट पत्रकारों को बेनकाब करने के लिए...,'झूठ फैलाने पर BBC के 'बॉस' ने दिया इस्तीफा, ट्रंप ने किसे किया धन्यवाद?

Donald Trmp VS BBC: डोनाल्ड ट्रंप के भाषण को गलत तरीके से पब्लिश करने के बाद अब BCC के 2 टॉप लीडर्स ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है. इसपर ट्रंप का भी रिएक्शन आया है.

ज़ी न्यूज़ 10 Nov 2025 7:17 am

चाकू हमले के बाद सलमान रुश्दी को 'शांति पुरुस्कार', इस किताब के लिए मिला लाइफटाइम अचीवमेंट अवॉर्ड

Salman Rushdie: विवादित लेखक सलमान रुश्दी को ओहायो मेंडेटन लिटरेरी पीस प्राइज' प्रोग्राम में रविवार को लाइफटाइम अचीवमेंट अवॉर्ड दिया गया है. यह पहली बार है जब रुश्दी ने चाकू हमले के बाद वापसी की है.

ज़ी न्यूज़ 10 Nov 2025 6:51 am

स्पॉटलाइट-क्या जिन्ना ने करवाए थे वंदे मातरम में बदलाव:पीएम मोदी ने कांग्रेस पर क्या आरोप लगाया, क्या है पूरी कंट्रोवर्सी, देखें वीडियो

पीएम मोदी ने कांग्रेस पर वंदे मातरम के ओरिजिनल वर्जन से छेड़छाड़ के आरोप क्यों लगाए, वंदे मातरम का ओरिजिनल वर्जन है क्या, इस पर कांग्रेस ने RSS को क्यों लिया निशाने पर, पूरी कंट्रोवर्सी जानने के लिए ऊपर दी गई इमेज पर क्लिक कर देखें वीडियो

दैनिक भास्कर 10 Nov 2025 5:15 am

16 मर्डर वाले निठारी-केस से बरी पंढेर का पहला इंटरव्यू:हां, कोठी में कॉलगर्ल बुलाई; घर में बच्चों की डेडबॉडी पड़ी रहीं, पता नहीं चला

‘मैं घर में कम ही रहता था। उस दौरान कोठी में कभी मेरा भतीजा और कभी दोस्त का बेटा रहा। उसी वक्त कोठी में मर्डर होते रहे। डेडबॉडी नौकर सुरेंद्र कोली के बाथरूम में पड़ी रहती थीं। ये बाथरूम ऊपर फर्स्ट फ्लोर पर है, इसलिए कोई नहीं जान पाया। सुरेंद्र कोली मौका देखकर डेडबॉडी डिस्पोज कर देता था। कैसे करता था, ये कभी पता नहीं चला।’ ये मोनिंदर सिंह पंढेर का कबूलनामा है। पंढेर देश की सबसे बड़ी मर्डर मिस्ट्री में शामिल निठारी कांड के अहम किरदार थे। अभी चंडीगढ़ में रहते हैं। मीडिया से दूर ही रहने वाले पंढेर ने अपना पहला इंटरव्यू दैनिक भास्कर को दिया है। 2006 में नोएडा के सेक्टर-31 में उनकी कोठी D-5 से सटे नाले में 19 कंकाल मिले थे। 16 को लेकर निठारी केस चला, जिनमें 13 बच्चे और तीन बालिग लड़कियां थीं। उनसे रेप और मर्डर का आरोप पंढेर और नौकर सुरेंद्र कोली पर लगा। हाईकोर्ट ने 16 अक्टूबर 2023 पंढेर को बरी कर दिया। सुप्रीम कोर्ट ने 30 जुलाई, 2025 को हाईकोर्ट के फैसले को सही ठहराया। सुरेंद्र 12 केस में बरी हो चुका है, एक केस पेंडिंग है। दैनिक भास्कर ने मोनिंदर सिंह पंढेर से निठारी केस, D-5 कोठी में हुए मर्डर और इनमें सुरेंद्र कोली की भूमिका, जांच में पुलिस के रवैये पर बात की। उन्होंने माना कि वे कोठी में कॉलगर्ल बुलाते थे। साथ ही सुरेंद्र कोली और आरुषि मर्डर केस में आरोपी डॉ. राजेश तलवार से जेल में मुलाकात के किस्से भी सुनाए। पंढेर ने बताया कि सारे मर्डर मेरी गैरमौजूदगी में हुए। मैंने तो केस की जांच के लिए प्राइवेट जासूस भी हायर किया था। आखिर में बोले कि बरी भले हो गया, लेकिन पूरी जिंदगी इसी कलंक के साथ गुजारनी है। पढ़िए पूरा इंटरव्यू… सवाल: निठारी में आपकी कोठी के पास से दो साल तक बच्चे गायब हुए। आपको क्या पता था?जवाब: इसका काफी शोर मच रहा था। मैं उस वक्त शामिल हुआ, जब एक लड़की कोमल (बदला हुआ नाम) गायब हो गई। वो मेरे पास आती थी। मेरे एक दोस्त प्रॉपर्टी डीलर थे। उन्होंने मुझे कोमल से मिलवाया था। वो एस्कॉर्ट का काम करती थी। उसका थोड़ा संदिग्ध बैकग्राउंड भी था। उस वक्त मेरी पत्नी चंडीगढ़ शिफ्ट हो चुकी थीं। उसने देखा कि मेरे घर में सिर्फ नौकर रहता है। मैं कभी-कभार ही घर में आता था। बिजनेस के सिलसिले में ज्यादातर टूर पर रहता था या फैमिली बिजनेस की वजह से चंडीगढ़ चला जाता था। देहरादून, हल्द्वानी जैसी जगहों पर हमारे 5-6 ऑफिस थे। इसलिए वहां भी आना-जाना लगा रहता था। कोमल ने पर्सनली कहा था कि आप मुझसे डायरेक्ट कॉन्टैक्ट करें। मैं आपसे मिलती रहूंगी। मेरा उससे अरेंजमेंट था। मैं इससे इनकार नहीं कर रहा हूं। मैंने जांच के दौरान भी ये बात बताई थी। अचानक वो लड़की गायब हो गई। तभी मेरे पिता का निधन हो गया था। इसलिए मैं चंडीगढ़ आ गया था। उस लड़की के परिवार ने कहा था कि मैं नोएडा वाली कोठी में नहीं था, तब वो लड़की वहां गई थी। मुझे समझ नहीं आ रहा था कि आखिर वो किससे मिलने गई होगी। इसलिए खुलकर बताया कि उस लड़की से मेरी मुलाकात नहीं हुई थी। यही सच था। पुलिस को पूरी जानकारी दी। पुलिस ने वेरिफाई भी किया। पुलिस को भरोसा हो गया कि लड़की मेरे पास नहीं आई। इस केस की जांच के लिए बनी पुलिस टीम ही लापता बच्चों की भी जांच कर रही थी। तब ये पता चला कि कई बच्चे गायब हुए हैं। सवाल: लड़की के पिता ने कहा था कि उनकी FIR दर्ज नहीं हो रही है। आपने पुलिस को पैसे खिला दिए हैं, इसलिए पुलिस आपका सपोर्ट कर रही है?जवाब: उनकी FIR क्यों नहीं हुई, मुझे इसकी जानकारी नहीं है। पुलिस को पता चला होगा कि मैं तब नोएडा में नहीं था। वे कह रहे थे कि लड़की मेरे पास आई थी, जबकि मेरा फोन पर भी उससे संपर्क नहीं हुआ था। कॉल रिकॉर्ड में भी कुछ नहीं था। इसलिए हो सकता है कि FIR दर्ज होने में देरी हुई। मुझे ये भी लग रहा था कि कहीं ब्लैकमेलिंग वाला एंगल न हो। हो सकता है कि पिता ने ही लड़की गायब कर दी हो। सच पता नहीं चल रहा था। सच जानने के लिए मैंने प्राइवेट जासूस हायर किया। उस समय कुछ समझ नहीं आ रहा था। सुरेंद्र कोली से भी कई बार पूछताछ हुई। 3-4 बार तो काफी सख्ती से पूछताछ की गई। पुलिस उसे ले गई थी। मैंने कभी जांच में रुकावट नहीं डाली। कई बार लुधियाना से नोएडा आया। बाद में एक बार लड़की के पिता से बात हुई। उन्होंने कहा था कि मैंने पुलिस को बेटी का प्रोफेशन नहीं बताया है। मैंने भी उसकी और अपनी इज्जत को ध्यान में रखते हुए शुरुआत में उसका प्रोफेशन नहीं बताया था। काफी समय बाद हमने देखा कि जांच में तेजी नहीं आ रही है। तब मैंने पुलिस को बताया कि इस लड़की का बैकग्राउंड एस्कॉर्ट का था। उसके बाद ही जांच को प्रॉपर दिशा मिली थी। पुलिस ने उस लड़की के कई कॉन्टैक्ट की जांच की। एक टीम मुंबई भी भेजी गई। हमने जांच में सपोर्ट किया। पुलिस से यहां तक कहा कि अगर आपको तलाश करने के लिए गाड़ी चाहिए या कोई दूसरा सपोर्ट, तो वो भी करूंगा। मैंने गाड़ियां दिलवाईं। मेरे ऑफिस ने सब कुछ प्रोवाइड कराया। मैं झूठ नहीं बोलूंगा। मेरे ऑफिस के जरिए ही पुलिस को गाड़ियां दी जाती थीं। ये सब छिपा नहीं है। सवाल: सुरेंद्र कोली आपके घर में काम करने कैसे आया, उससे कैसे मुलाकात हुई?जवाब: मेरे एक दोस्त आर्मी में ब्रिगेडियर थे। सुरेंद्र कोली उनके घर में काम करता था। सुरेंद्र कुछ वक्त के लिए छुट्टी पर गया था। तभी मेरे दोस्त ने दूसरा नौकर रख लिया। उन्होंने सुरेंद्र को मेरे पास भेज दिया। मेरा नौकर भी उस समय छुट्टी पर गया था। मैंने सुरेंद्र को अपने पास रख लिया। वेरिफिकेशन के लिए उसके डॉक्यूमेंट भी दिए थे, लेकिन पुलिस इन्वेस्टिगेटिव वेरिफेकशन तो करती नहीं है। सवाल: कभी सुरेंद्र कोली पर शक हुआ कि उसने कत्ल किए हैं?जवाब: हैरानी की बात है। आप लोग इस बात को क्यों नहीं समझते। पुलिसवाले भी उसे नहीं समझ सके। लड़की के केस में दो महीने तक पूछताछ की। सख्ती भी की गई, लेकिन पुलिसवाले सच नहीं उगलवा सके। उसका चेहरा देखकर कोई बता ही नहीं सकता कि वो कुछ छुपा रहा है। कोई एक्सप्रेशन ही नहीं। अगर सारे सिस्टम सही होते, तो ये बच्चे गायब न होते। अगर गायब होते ही तुरंत एक्शन हो जाता, तो इतना बड़ा केस नहीं होता, न मैं दुखी होता। मेरे घर में जो भी आता था, इसकी तारीफ करता था। कहते थे कि नौकर बहुत अच्छा मिला है। खाना बढ़िया बनाता है। घर की सफाई रखता है। घर में और भी नौकर थे। झाड़ू-पोछे वाली, कपड़े धोने वाली आती थी। कुछ दिनों पर माली आता था। मेरे साथ 24 घंटे ड्राइवर रहता था। उनकी कोई बात नहीं करता था। जांच में सब शामिल हुए थे। उनके बयान भी लिए गए, लेकिन कभी कोर्ट में नहीं लाया गया। उनके बयान गायब कर दिए गए। मेरा ड्राइवर पान सिंह कई बार मेरे साथ घर पर रुकता था। सवाल: आपने इलाहाबाद कोर्ट जाने के लिए पुलिसवालों का टिकट भी कराया था?जवाब: हां, बुकिंग हुई थी। ये मामला कोर्ट तक पहुंचा था। इसमें कोई शक नहीं है। मेरे स्टाफ के भी लोग कोर्ट गए थे। कोर्ट ने मेरे अलावा पुलिसवालों को भी समन भेजा था। इसलिए सभी लोगों को एक साथ ही जाना था। मैं पुलिसवालों से कभी दूर नहीं भागा। इसलिए वे हमसे मिलते थे। मेरी गाड़ी वहां जा रही थी। हमारे ऑफिस का रेलवे टिकट एजेंट भी था। उससे एक साथ टिकट कराने के लिए बोला था, लेकिन पेमेंट मेरे दफ्तर से नहीं हुआ। उन्होंने पैसे दिए थे। मैंने कभी गुमराह नहीं किया। फिर पुलिस ने बताया कि गायब लड़की का फोन मिल गया है। उसमें सुरेंद्र कोली का सिमकार्ड भी चल गया है। ये सुनते ही मैं हैरान रह गया। इससे पहले पुलिस ने कई बार कड़ाई से पूछताछ की थी, लेकिन वो मान नहीं रहा था। लड़की का फोन उसके पास ही मिला। ये भी पता चला कि लड़की को घर के पास वाले पीसीओ बूथ से फोन करके बुलाया गया था। ये सब ट्रेस हुआ, तब सुरेंद्र कोली अपने गांव गया हुआ था। उसे गांव भेजा था, तब भी मैंने थाने में बताया था। कहा था कि जांच चल रही है, नौकर गांव जा रहा है। तब पुलिस ने हमें परमिशन दे दी थी। बाद में मैंने गाड़ी भेजकर सुरेंद्र कोली को गांव से नोएडा बुलाया। उसे पुलिस के सामने पेश किया। अगर मेरा इरादा गलत होता, तो ऐसा क्यों करता। सवाल: कोमल लापता हुई, बच्चे लापता हो रहे थे। कभी बात नहीं हुई कि दोनों केस एक ही हैं। पुलिसवालों ने कभी इस सिलसिले में पूछताछ नहीं की?जवाब: नहीं, किसी को शक नहीं हुआ। वो लड़की तो काफी बड़ी थी। उसकी उम्र करीब 26-27 साल थी। सुरेंद्र कोली इस केस में पकड़ा गया, तब आगे जाकर लिंक खुलने लगे। लड़की का मोबाइल फोन मिलने के बाद ये केस खुला। ये 27 दिसंबर, 2006 की बात है। पुलिस ने पूछा, तब सुरेंद्र कोली ने पहली बार बताया था कि उस लड़की को मार दिया। इसके बाद पुलिस ने मुझे बताया कि सुरेंद्र कोली ने मर्डर की बात कबूल कर ली है। मैं ये सुनकर चौंक गया। मैंने पूछा कि मर्डर की वजह क्या है। पुलिस ने कहा कि मोटिव तो अभी नहीं बताया है। ये जरूर बताया कि उसकी चप्पल कोठी के पीछे पड़ी है। बॉडी उसने आगे नाले में डिस्पोज कर दी है। मैं हैरान था। पुलिस मौके पर गई। उन्हें चप्पल मिली। पुलिस वहां पहुंची थी, तब पब्लिक ने देख लिया। तब रात का वक्त था। पुलिस ने 28 दिसंबर की रात मुझे भी थाने बुला लिया। सुरेंद्र और मुझे अलग-अलग थाने में रखा गया था। मैं बार-बार सोच रहा था कि आखिर उसने मर्डर क्यों किया। सुरेंद्र कोली अलग-अलग कहानियां बता रहा था। पुलिस ने चप्पल रिकवर कर ली। फिर हम लोगों को अलग थाने में शिफ्ट किया गया। उधर लोग कोठी के पीछे कूद पड़े। ये देखने के लिए आखिर वहां से क्या मिला। उन्हें खोपड़ियां मिलीं। जैसे ही ये सब मिला, शोर मच गया। इसके बाद पुलिस ने बच्चों के केस में जांच शुरू की। तब पहली बार लापता बच्चों के मारे जाने का पता चला था। जब बड़ी लड़की के मर्डर केस की वजह समझ नहीं आई, तब मुझे शक होने लगा कि कहीं न कहीं गायब बच्चों से इसका लिंक है। ये बात कुछ पुलिस अधिकारियों को बताई भी। अगले दिन बच्चों वाले मामले का लिंक मिल भी गया। सवाल: सुरेंद्र कोली ने पुलिस को पहला बयान दिया था कि आपके कहने पर वो बच्ची को लाया था। इसके बाद आपने बच्ची के साथ गलत काम किया। फिर उसे दे दिया। उसने भी गलत काम किया। फिर हत्या कर ठिकाने लगा दिया। इस पर आपका क्या कहना है?जवाब: पुलिस को तो बयान लेना था। मुझे रिमांड पर लेना था। उसने क्या कहा, उससे क्या कहलवाया गया, मुझे नहीं पता, लेकिन इसमें एक पर्सेंट की सच नहीं है। जब मर्डर हुए, मैं वहां नहीं रहा। मैं टूर पर होता था, तभी मर्डर होते थे। मैं नोएडा में था, तब सिर्फ एक घटना हुई थी। उस दिन मैं घर आया, सामान लिया, फिर नोएडा से आउट ऑफ स्टेशन चला गया। बाकी केस में या तो मैं विदेश में था या बेटे के पास कनाडा में रहा। मुझे लगता है कि या तो उससे कहलवाया गया क्योंकि उससे मेरे सामने पूछताछ हुई थी तब उसने ऐसा कुछ नहीं बताया था। पुलिस वाले मुझसे खुद कहते थे कि तुम्हारा इसमें कोई लेना-देना नहीं है। असल में ये बयान पुलिस ने उस दिन लिखा, जब मुझे रिमांड पर लेना था। मुझे किस आधार पर रिमांड पर लेते। मेरा तो केस ही नहीं बनता था। पुलिस को कुछ तो बनाना था। उस दिन मेरे सामने एसपी बैठे थे। उनके सामने फोटो दिखाई गई। फिर मुझे कहा गया था कि इसने कुछ नहीं किया है। सवाल: आप नहीं थे, लेकिन कोठी में आपके एक करीबी दोस्त के बेटे भी काफी वक्त तक रहे। और भी लोग रहे। तब कैसे मर्डर हुए और उन्हें क्या पता चला?जवाब: मेरे घर पर नहीं रहने पर, मेरा भतीजा भी रहा। मेरे दोस्त का बेटा रहा। इस दौरान भी मर्डर हुए। बॉडी ऊपर पड़ी रहीं। घर में रिपेयरिंग हो रही थी। तब भी बॉडी बॉथरूम में थीं। नौकर का बाथरूम कोठी के ऊपर फर्स्ट फ्लोर पर है। उसे सिर्फ नौकर इस्तेमाल करता था। बाकी नीचे के हर कमरे में अटैच बाथरूम था। इसलिए कोई ऊपर जाता ही नहीं था। आप खुद बताएं, आप कभी नौकर के बाथरूम में जाएंगे। अगर घर में कोई लेडी होती, तो शायद कभी देखने चली भी जाती। मेरे घर में ऐसा नहीं था। हां, घर में रोज झाड़ू-पोछे वाली आती थी। वो नीचे सफाई कर देती थी। उसे भी कभी शक नहीं हुआ। मेरे दोस्त का बेटा तो 3-4 महीने रहा। उस दौरान कोई मर्डर नहीं हुआ। इसलिए कई बार कुछ मर्डर में इस तरह का गैप आता था। अगर कोई आ गया, तो उसे भी पता नहीं चला कि ऊपर बॉडी पड़ी है। उसके बाद वो (सुरेंद्र कोली) अगले दिन मौका देखकर डिस्पोज कर देता था। कैसे करता था, ये सब हमें कभी पता नहीं चला। सवाल: आपके यहां एक हाउस हेल्प माया सरकार थी। उन्होंने बयान दिया था कि जो कपड़े धोए थे, उनमें खून के निशान देखे थे?जवाब: नहीं। ऐसा कभी नहीं हुआ। ऐसा बयान होता, तब तो हमें सजा हो जाती। वो भी जेल में होती क्योंकि वो भी साजिश में शामिल होती। अगर उसे पता था, तो पहले क्यों नहीं बताया। ये बहुत बड़ा आरोप है, लेकिन हवा में बात है। उसका बयान ये था कि मैं कपड़े धोती थी। सुरेंद्र कोली अपने कपड़े मुझसे नहीं धुलवाता था। एक बार सुरेंद्र कोली बीमार था। तब उसने अपने कपड़े धोने के लिए दिए थे। उसे कभी घर में या कहीं खून के धब्बे नहीं मिले। कपड़ों में खून के धब्बे नहीं मिले। उसके बयान से सजा दिलाने में मदद नहीं मिलती। इसलिए जांच एजेंसी ने इस बयान को शामिल नहीं किया। मैंने कोर्ट में ये बात कही थी कि जो नौकरानी घर आकर सफाई कर रही है, तो उसे ज्यादा पता होना चाहिए या मुझे पता होना चाहिए। सवाल: पीड़ित परिवारों का दावा है कि कोठी के सामने एम्बुलेंस आकर खड़ी होती थी। नर्स और डॉक्टर आते थे। ये मानव अंगों के कारोबार से जुड़ा केस है?जवाब: क्या मोनिंदर सिंह पंढेर जेब में एम्बुलेंस रखकर लाता था। कोई उसका मालिक होगा, उसके कर्मचारी होंगे। वे लोग कहां गायब हो गए। उनके बयान क्यों नहीं आए। हां, हमारे घर के पास डॉक्टर का घर है। उनके घर कभी एम्बुलेंस आ गई हो तो इस पर मैं कुछ कह नहीं सकता। क्या CBI को इसकी जांच नहीं करनी चाहिए थी। ये छोटा आरोप नहीं है, जिस तरह से मोनिंदर सिंह पर आरोप लगा कि नौकर से बच्चियों को बुलवाता था। ये उससे भी बड़ा आरोप है। सवाल: क्या निठारी कांड में ऑर्गन ट्रेड का मामला है। एक रिपोर्ट में इस एंगल से जांच करने की बात कही गई थी। क्या कभी कोर्ट में या बहस करते हुए अंगों की तस्करी की चर्चा हुई?जवाब: मैं तो लॉजिकल बात कर सकता हूं। कोर्ट में तो इसकी चर्चा नहीं हुई। उस दौरान तो मीडिया में भी काफी कुछ आया था। पहले ह्यूमन ट्रैफिकिंग कहा गया। फिर ऑर्गन ट्रेड का हुआ। हर एंगल पर इन्वेस्टिगेशन हुआ। सारे सवाल हमसे भी पूछे गए। नार्को टेस्ट में भी ऑर्गन ट्रेड से जुड़े सवाल पूछे गए। हमने बताया था कि इसमें ऑर्गन ट्रेड से क्या लेना-देना। बिना ऑपरेशन थिएटर के ऑर्गन ट्रेड कैसे हो सकता है। बिना एक्सपर्ट डॉक्टर के ये कैसे हो सकता है। ये भी समझ में नहीं आया। ऐसा नहीं है कि जेब से ऑर्गन निकाला और दूसरे में डाल दिया। इसके लिए पूरा सेटअप होना चाहिए। लोग कहते थे कि मोनिंदर सिंह पंढेर अंगों को बाहर भेजता था। कोई हमें बता दे कि कैसे और किस रूट से ऑर्गन दूसरे देशों में भेजा जा सकता है। सवाल: CBI के सामने मजिस्ट्रेट को दिए बयान में सुरेंद्र कोली ने कबूल किया था कि उसने कई बच्चों की हत्या के बाद उनका मांस खा लिया था?जवाब: मैं तो सुनकर हैरान हो जाता हूं। मजिस्ट्रेट के सामने उसने बयान दिया। पुलिस तो मारपीट करके कहेगी नहीं कि तुम्हें खाने की बात कबूल करनी है। मांस खाने की कोई अलग सजा तो नहीं है। उसने ऐसा क्या किया, क्यों किया, मुझे नहीं पता। मैंने कभी नहीं सुना कि उसने इंसानी मांस खाया या नहीं। मैं कमेंट नहीं कर सकता। हां, बाद में जरूर पता चला कि दुनिया में ऐसे लोग होते हैं, जो इंसानों का मांस खा लेते थे। इससे ज्यादा कोई घृणा वाली बात नहीं हो सकती है। वो भी जहां बच्चों से जुड़ा मामला हो। सवाल: पीड़ित परिवार कहते हैं कि पंढेर करोड़पति हैं। पैसों के दम पर सारा आरोप नौकर पर मढ़ दिया। खुद बच गया?जवाब: ये कहना सबसे आसान है। वैसे भी ये ट्रेंड बन चुका है। करप्शन ने हमारे सिस्टम को तोड़ दिया है। लोग सच्चाई को मानते नहीं हैं। क्या पैसे वाले ही सिर्फ क्राइम करते हैं। मैंने तो सब कुछ खो दिया। मेरा पैसा क्या कर लेगा। अगर मैंने सारे लोगों को खरीद लिया, तो कैसे इतने साल जेल में रहा। ऐसे तो हम भी कह सकते हैं कि दूसरे लोगों ने पैसे देकर हमें इतने साल रखा। सवाल: निठारी से 17 या इससे ज्यादा बच्चे गायब हुए। इनके कंकाल मिले। ये तो सच है। अब आरोपी बरी हो रहे हैं। ये क्यों हो रहा है?जवाब: इससे सिर्फ दुख होता है। सिस्टम पर गुस्सा आ रहा है। हमारा समाज क्यों इसे स्वीकार कर रहा है। हमने अपने बच्चों की क्यों नहीं अच्छे से देखरेख की। सवाल: पीड़ित परिवार तो कहते हैं कि हम गरीब हैं, इसलिए पुलिस कार्रवाई नहीं करती थी। 5 साल की बच्ची के गायब होने पर भी कहते थे कि किसी के साथ भाग गई होगी। तो इसमें लोगों की क्या गलती है?जवाब: ये तो सिस्टम की बात है। सिस्टम तो मेरे कंट्रोल में नहीं है। उन्हें तो मैं कोस ही सकता हूं, जैसे पीड़ित परिवार के लोग कोस रहे हैं। जितना वे पीड़ित हैं, उतना ही पीड़ित मैं भी हूं। अगर ये सारे सिस्टम सही होते, तो बच्चे गायब न होते। अगर होते तो तुरंत एक्शन हो जाता। इतना बड़ा केस नहीं होता। मैं भी दुखी नहीं होता। मुझे क्या मिला इससे। अब तो सारी जिंदगी इसी कलंक से गुजारनी है। किस-किस को हम समझाते रहेंगे। आप बताओ ऐसा कौन आदमी है, जो अपने घर जाने से पहले नाले चेक करता है। फिर ये मेरे साथ क्यों। आज भी कई घर मिल जाएंगे, जो नौकरों के सहारे हैं। इस घटना से सिर्फ जिंदगी उजड़ी हैं। उनके बच्चे कभी वापस नहीं आएंगे। मेरी खोई जिंदगी वापस नहीं आएगी। मैं जिंदगी भर रोता रहूंगा। वे (पीड़ित परिवार) भले ही मुझे कितना भी कोसते रहें, मैं जिंदगी भर उसे स्वीकार करता रहूंगा। मैं तो यही कहूंगा कि जितना उन्हें दुख है, भगवान वो मुझे दे दे। और ज्यादा मुझे दे दे। यही मैं कर सकता हूं। वो जी भरकर मुझे गालियां दें। मैं प्रार्थना करूंगा। बस एक बार सोच लें कि मेरा भी परिवार है। सवाल: पूरे केस को दो ही पहलू हैं। सुरेंद्र कोली और मोनिंदर सिंह पंढेर। बच्चे लापता हुए। कंकाल मिले। कई के DNA भी मैच हुए। आखिर में क्या हुआ?जवाब: कानूनी तौर पर बात करूं, तो कुछ नहीं हुआ। ये बात तो कोर्ट ने भी मान ली। कोर्ट ने माना कि जांच पूरी तरह से बकवास है। इसकी मुख्य वजह ये है कि पब्लिक ने मुख्य इन्वेस्टिगेशन तो होने ही नहीं दी। इसी तरह से नोएडा के आरुषि मर्डर केस में हुआ था। आप क्राइम सीन पर प्रॉपर तरीके से जांच नहीं करने देंगे या फिर खुद नहीं करेंगे। पब्लिक पुलिस पर दबाव डालेगी। किसी न किसी को अंदर करना ही है। इसलिए मुझे अरेस्ट कर लिया गया। सुरेंद्र कोली पर तो 2-3 हफ्ते में ही साफ हो गया था। सवाल मेरा फंसा था। बड़ा सवाल ये था कि मोनिंदर सिंह पंढेर कैसे भी बाहर न निकल पाए। मेरा हर मूवमेंट रिकॉर्ड होता था। एक ड्राइवर होता था। मैं अकेले गाड़ी में कभी गया ही नहीं। मैं होटल में रुकता था, सभी की बुकिंग मेरे नोएडा ऑफिस से कराई जाती थी। इस तरह मेरे हर मूवमेंट का रिकॉर्ड मेरे ऑफिस में होता था। मेरे टोल टैक्स का रिकॉर्ड दफ्तर में होता था। कब और कहां रुके, कहां गए। सवाल: इस केस में कई लड़कियों (कॉल गर्ल) ने भी बयान दिए थे, जो आपके पास आती थीं?जवाब: एक भी लड़की ने मेरे खिलाफ नहीं बोला। सारी लड़कियों ने कहा कि मेरी दोस्ती थी। हम इनके पास जाते थे। उनके लिए ये रिलैक्सिंग पॉइंट था। घर खाली पड़ा हुआ है। हफ्ते में एक बार आ गए। कोई फोन करके आ गया। रिलैक्स होकर चले गए। मेरे साथ सभी का दोस्ताना था। लड़कियां मुझसे खुलकर बातें करतीं थीं। सुख-दुख भी बतातीं थीं। मैं झूठ नहीं बोलूंगा। सिर्फ सेक्स का एंगल नहीं था। मैं ये बात क्लियर कर सकता हूं। उनमें से एक-दो लड़कियां वाकई बहुत नजदीकी दोस्त थीं। कई बार उनके घरवाले भी आते थे। किसी ने कभी कोई ऐसी हरकत वाली बात नोटिस नहीं की। यहां आने वाले सभी मैच्योर थे। सवाल: कुछ लड़कियों ने कहा था कि सुरेंद्र कोली उनसे डायरेक्ट कॉन्टैक्ट करने की कोशिश करता था। अगर वो अकेले चली जातीं, तो शायद मारी जातीं। आपको किसी ने ऐसा बताया था?जवाब: मुझे पहले ये बात नहीं पता थी। केस खुला तब उन्होंने बताया। एक-दो लड़कियों ने गवाही देते हुए इसका खुलासा किया। ये बताया कि सुरेंद्र कोली ने उन्हें बुलाया था। वो उसे अकेले देखकर घर के अंदर नहीं गईं। शायद यही वजह है कि बच गईं। इस पूरे केस में मैंने सुरेंद्र कोली को कुछ करते हुए आंखों से नहीं देखा। इसलिए इस पर कमेंट करना सही नहीं है। सवाल: आप जेल में आरुषि मर्डर केस के आरोपी रहे डॉ. राजेश तलवार के साथ रहे। उनके मेडिकल कैंप में काफी समय साथ रहे। कभी बात होती थी केस के बारे में?जवाब: हम काफी मेडिकल कैंप में साथ रहे हैं, लगभग रोज ही। हालांकि केस पर ज्यादा बात नहीं होती थी। वे अक्सर रोने लगते थे। वे जेल में आए थे, तो जेलर ने मुझे उनके पास भेजा था। ये कहकर कि तुम भी पढ़े-लिखे हो। शायद उसकी हेल्प हो जाए। मेरा मानना है कि पर्सनली ये डॉ. तलवार के लिए बहुत बड़ी चोट थी। इस चीज को उन्होंने बहुत गहराई से लिया। मुझे नहीं लगता कि वो कभी इस सदमे से बाहर आ सकेंगे।

दैनिक भास्कर 10 Nov 2025 5:11 am

लालू कहते थे नीतीश के पेट में भी दांत हैं:राजनीति छोड़ने के ख्याल से 9 बार CM बनने तक की कहानी; क्या आखिरी पलटी मारेंगे नीतीश

कॉलेज के दिनों में लालू प्रसाद यादव के लिए पोस्टर चिपकाने वाले इंजीनियर 'मुन्ना', जेपी आंदोलन में पुलिस की गोली से बाल-बाल बचे एक जिद्दी आंदोलनकारी और अब तक 9 बार मुख्यमंत्री बन चुके एक राजनेता। कभी बिहार में मोदी की एंट्री रोक दी, तो कभी उन्हीं के सामने झुक कर कहा- अब कहीं नहीं जाऊंगा। जिनके बारे में लालू ने कहा था- इस आदमी के पेट में भी दांत हैं। मंडे मेगा स्टोरी में नीतीश कुमार की पूरी कहानी; वो BJP के साथ ही रहकर 10वीं बार सीएम बनेंगे या बिहार चुनाव के बाद एक आखिरी पलटी मारेंगे... **** ग्राफिक्स: द्रगचंद्र भुर्जी, अजीत सिंह, और अंकुर बंसल ------ ये स्टोरी भी पढ़िए... प्रशांत किशोर पर छापे क्यों नहीं पड़ते: मोदी के एक फोन पर UN की नौकरी छोड़ी, 6 साल में 6 सीएम बनवाए; PK की पॉलिटिक्स क्या है 12वीं करने के बाद 3 साल पढ़ाई छोड़ दी। नरेंद्र मोदी की कॉल पर यूनाइटेड नेशंस की नौकरी छोड़ दी। मोदी के पीएम बनने के बाद नीतीश के साथ गए। 6 साल में 6 सीएम बनवाने वाला ये शख्स अब खुद बिहार जीतने निकला है। कहता है- इस बार अर्श पर रहूंगा या फर्श पर। विरोधी कहते हैं वो बीजेपी की ‘B-टीम' हैं। पूरी खबर पढ़िए...

दैनिक भास्कर 10 Nov 2025 4:56 am

बेल्जियम पर ऐसा क्या खतरा आया, कि ब्रिटेन को भेजना पड़ा मिलिट्री सपोर्ट? जर्मनी भी कर रहा मदद का वादा

रूसी ड्रोन घुसपैठ का मुकाबला करने के लिए ब्रिटेन ने बेल्जियम को सैन्य सहायता भेजी है. इसके अलवा जर्मनी ने भी इस देश को समर्थन का भरोसा दिलाया है.

ज़ी न्यूज़ 10 Nov 2025 3:20 am

ट्रंप के भाषण को एडिट करना पड़ा महंगा, बीबीसी के बॉस टिम डेवी का इस्तीफा, क्या था पूरा मामला?

बीबीसी मीडिया ऑर्गेनाइजेशन में उथल-पुथल मच चुकी है, क्योंकि अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के भाषण को एडिट करने के विवाद में इस संस्थान के बॉस टिम डेवी ने इस्तीफा दे दिया है.

ज़ी न्यूज़ 10 Nov 2025 3:16 am

कौन है इजराइल का वो सैनिक, जिसकी मौत के 11 साल बाद हमास ने सौंपा शव?

Lieutenant Hadar Goldin: हमास की तरफ से इजरायल को शव सौंपने का काम जारी है, वहीं बेंजामिन नेतन्याहू ने सभी सैनिकों के पार्थिव शरीर को लाने के अपने कमिटमेंट को दोहराया है.

ज़ी न्यूज़ 10 Nov 2025 1:25 am

बांग्लादेश में डेंगू के डंक से मरने वालों की संख्या 313 पहुंची लेकिन जल्द मिल सकती है राहत !

Bangladesh: स्वास्थ्य सेवा महानिदेशालय के महानिदेशक अबू जाफर ने बताया कि 2025 में डेंगू संक्रमण के मामले पिछले साल की तुलना में ज्यादा हैं, लेकिन मृत्यु दर कम रही है. उन्होंने टाइफाइड टीकाकरण अभियान 2025 पर आयोजित एक प्रेस वार्ता में कहा कि संक्रमण के अनुपात में मौतें कम हुई हैं.

ज़ी न्यूज़ 10 Nov 2025 12:21 am

'आखिर ये हो क्या रहा है?' टैरिफ को लेकर अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट की किस बात पर भड़के डोनाल्ड ट्रंप?

US tariff: दूसरे देशों पर हाई टैरिफ लगाने का मामना फिलहाल अमेरिक के सुप्रीम कोर्ट में चल रहा है, जिसको लेकर वहां के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप भड़के हुए नजर आ रहे हैं.

ज़ी न्यूज़ 10 Nov 2025 12:16 am

एक दिन पहले हटा आतंकी लिस्ट से नाम, डोनाल्ड ट्रंप से मिलने यूएस पहुंचे इस देश के राष्ट्रपति

Syrian President: 1946 के बाद पहली बार कोई सीरिया का राष्ट्रपति अमेरिका पहुंचा है. इससे पहले राष्ट्रपति शरा का नाम अमेरिका की आतंकवादियों की सूची में शामिल था, जिसको अमेरिकी सरकार ने दौरे से एक दिन पहले ही इस सूची से हटाया है.

ज़ी न्यूज़ 9 Nov 2025 11:14 pm

1234 गज का आलीशान महल...न्यूयॉर्क मेयर चुनाव जीतने के बाद अब कहां रहेंगे ममदानी?

Zohran Mamdani: ममदानी अपनी पत्नी रमा दुहाजी के साथ क्वींस के एस्टोरिया इलाके में 800 वर्ग फुट के किराए के अपार्टमेंट में रहते हैं. इस फ्लैट में गर्म पानी और हीट किराए में शामिल हैं और इमारत में साझा लॉन्ड्री रूम भी है.

ज़ी न्यूज़ 9 Nov 2025 9:54 pm

Rohingya Crisis: मलेशिया के पास डूबी रोहिंग्या शरणार्थियों की नाव, 7 प्रवासियों की मौत; करीब 200 लापता

Rohingya Muslim Crisis News: म्यांमार से रोहिंग्या शरणार्थियों को लेकर मलेशिया जा रही एक नाव मलेशिया के तट के पास डूब गई. इस घटना में 3 की मौत हो गई, जबकि 11 लोग बचा लिए गए. करीब 200 लोगों को लेकर दूसरी नावें अब तक लापता हैं.

ज़ी न्यूज़ 9 Nov 2025 9:43 pm

पहले जमीन के टकराया, फिर समंदर में लैंडिंग...फिर उड़कर हो गया क्रैश, रूसी हेलिकॉप्टर का डराने वाला वीडियो

Ka 226 helicopter crash: रूस में का-226 हेलीकॉप्टर क्रैश का वीडियो सामने आया है. जिसमें किजलयार इलेक्ट्रोमैकेनिकल प्लांट के कर्मचारी सवार थे. विमान हादसे के वक्त पहाड़ी से टकराया, जिसके बाद पायलट ने हेलीकॉप्टर को क्रैश होने से बचाने की कोशिश की लेकिन सफल नहीं पाया.

ज़ी न्यूज़ 9 Nov 2025 9:02 pm

स्पेस में होने वाला था बड़ा धमाका, राख हो जाते अरबों डॉलर, पहली बार चीन ने मिलाया NASA को फोन और फिर...

CNSA contact NASA: यह पहली बार था जब नासा नहीं बल्कि चीन की तरफ से पहले कदम उठाया गया हो. अब इसे अंतरिक्ष सुरक्षा और सहयोग की दिशा में एक बड़ा बदलाव माना जा रहा है.हाल के वर्षों में उपग्रहों की संख्या में तेजी से बढ़ोतरी हुई है.

ज़ी न्यूज़ 9 Nov 2025 6:33 pm

थाईलैंड में दारूबाजों के लिए नया कानून, एक मिनट लेट हुए तो भरना पड़ जाएगा भारी जुर्माना

Thailand Alcoholic Beverage Control Act: थाईलैंड की नाइटलाइफ और पर्यटन उद्योग को एक बड़ा झटका लगने वाला है क्योंकि, अब यहां नई शराब नियंत्रण नीति लागू हो गई है. जिसके चलते अब सिर्फ शराब बेचने वाले नहीं, बल्कि शराब पीने वाले ग्राहकों पर भी कानूनी कार्रवाई की जा सकती है.

ज़ी न्यूज़ 9 Nov 2025 5:06 pm

अमेरिका और जॉर्जिया से दबोचे गए लॉरेंस गैंग के दो मोस्ट वांटेड गैंगस्टर, जानिए कब आएंगे भारत

Crime news: मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक हरियाणा पुलिस सहित सुरक्षा एजेंसियों के अधिकारियों ने वेंकटेश गर्ग को जॉर्जिया और भानु राणा को अमेरिका में गिरफ्तार किया गया.

ज़ी न्यूज़ 9 Nov 2025 3:02 pm

तेल, ताकत और ट्रस्ट की तिकड़ी! सऊदी-अमेरिका के बीच क्या पक रहा जिससे बेचैन है इजरायल

सऊदी अरब के प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान को लेकर खबरें आ रही हैं कि वो आने वाले दिनों में अमेरिका का दौरा करेंगे और इस दौरान कई अहम समझौतों पर दस्तखत की उम्मीद है. जिसमें F35 की खरीद भी शामिल है.

ज़ी न्यूज़ 9 Nov 2025 2:52 pm

ट्रंप को उन्हीं की चाल से शह और मात देंगे पुतिन? अमेरिका की नाक के नीचे रच दिया चक्रव्यूह!

US Vs Venezuela: जिस वेनेजुएला पर अमेरिकी हमले का खतरा मंडरा रहा था वो वेनेजुएला अब महाशक्ति से आर-पार की तैयारी में जुट गया है. दावा तो यहां तक किया जा रहा है कि दुनिया अब मादुरो का इंतकाम देखेगी. जानते हैं क्यों, दरअसल मादुरो की मदद करने के लिए पुतिन ने अपना बारूदी गोदाम जो खोल दिया है. पढ़िए कैसे

ज़ी न्यूज़ 9 Nov 2025 1:12 pm