विरोध से कैसे आतंकवाद का नारा बना 'ग्लोबलाइज द इंतिफादा'... सिडनी से पहले कश्मीर भी बना था निशाना
Intifida Chant Relation In Bondi Attack: आस्ट्रेलिया के बॉन्डी बीच में 14 दिसंबर 2025 को यहूदियों पर हुए हमले को 'ग्लोबलाइज द इंतिफादा' नारे का नतीजा माना जा रहा है.
इस्लामिक आतंकवाद के खिलाफ इजरायल-ग्रीस-साइप्रस ने मिलाया हाथ, अब 'खलीफा' का पूरा होगा हिसाब
Coalition against Islamic terrorism formed: इस्लामिक आतंकवाद से अब पूरी दुनिया परेशान हो चुकी है. इसके खिलाफ अब इजरायल, ग्रीस और साइप्रस ने गठबंधन बनाकर जंग छेड़ने का ऐलान कर दिया है.
राजस्थान हाईकोर्ट की जयपुर बेंच ने 1993 के सिलसिलेवार ट्रेन बम ब्लास्ट के चार दोषियों की समय से पहले रिहाई की अपील को खारिज कर दिया है। चारों को आतंकवादी और विघटनकारी गतिविधियां (रोकथाम) एक्ट (TADA) के तहत दोषी ठहराए जाने के बाद उम्रकैद की सजा हुई थी। चारों दोषी 20 साल से जेल काट रहे हैं। इन्होंने समय से पहले रिहा करने की याचिका दायर की थी। हाईकोर्ट जस्टिस सुदेश बंसल और जस्टिस भुवन गोयल की खंडपीठ ने फैसला सुनाते हुए कहा - आतंकवाद जैसे गंभीर अपराधों में दोषी व्यक्तियों को रिहा करना समाज और देश दोनों की सुरक्षा के लिए गंभीर खतरा पैदा कर सकता है। इस तरह की रिहाई से समाज में गलत संदेश जाएगा । इससे राष्ट्रीय सुरक्षा और सार्वजनिक शांति पर विपरीत प्रभाव पड़ सकता है। बढ़ती उम्र का हवाला देकर रिहाई की मांग की थीहाईकोर्ट ने दौसा निवासी असफाक खान, मुंबई के फजलुर रहमान सुफी, उत्तर प्रदेश के कबीनगर निवासी अबरे रहमत अंसारी और गुलबर्ग के मोहम्मद अजाज अकबर की याचिकाएं खारिज की है। ये सभी पिछले 20 साल से ज्यादा समय से जेल में बंद हैं। दोषियों ने बढ़ती उम्र और स्वास्थ्य कारणों के आधार पर समय से पहले रिहाई की मांग करते हुए याचिका दायर की थी। टाडा में दोषी याचिकाकर्ताओं की तरफ से दलील दी गई कि गृह मंत्रालय के दिशा-निर्देशों के अनुसार 20 साल की सजा पूरी होने के बाद रिहाई पर विचार किया जा सकता है। उनके मामलों पर उस नीति के तहत विचार होना चाहिए, जो उनके सजा सुनाए जाने के समय लागू थी। महाधिवक्ता की दलील- टाडा के दोषियों की समय से पहले रिहाई पर प्रतिबंध केंद्र सरकार और राज्य सरकार की ओर से अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल भरत व्यास और महाधिवक्ता राजेन्द्र प्रसाद ने याचिकाओं का विरोध किया। सरकार ने कहा- राजस्थान कैदी (सजा में कमी) नियम, 2006 और पूर्ववर्ती नियम, 1958, दोनों में ही टाडा के तहत दोषियों की समय से पहले रिहाई पर साफ तौर पर प्रतिबंध है। नियम 9(5) के अनुसार, ऐसे मामलों पर सलाहकार बोर्ड विचार नहीं कर सकता। 1993 में 6 ट्रेनों में हुए थे सीरियल बम ब्लास्टयह मामला साल 1993 के सीरियल ट्रेन बम ब्लास्ट से जुड़ा हुआ है। 5 दिसंबर 1993 की आधी रात को मुंबई, सूरत, लखनऊ, कानपुर और हैदराबाद में लंबी दूरी की 6 ट्रेनों में सिलसिलेवार बम धमाके हुए थे। इन धमाकों में दो लोगों की मौत हुई थी, जबकि 22 घायल हुए थे। इसके बाद पूरे मामले की जांच सीबीआई ने की। 28 फरवरी 2004 को ट्रायल पूरा होने के बाद कोर्ट ने आरोपियों को उम्रकैद की सजा सुनाई थी। इसके बाद से दोषी जेल में हैं। ये खबर भी पढ़िए- 80 साल के 'डॉक्टर बम' से कैसे हारी सीबीआई:कारपेंटर से बना खूंखार आतंकवादी; दाऊद सहित दुनिया के बड़े आतंकी समूहों से संबंध 5-6 दिसंबर 1993 को देश के पांच शहरों लखनऊ, कानपुर, हैदराबाद, सूरत और मुंबई (तब बॉम्बे) की ट्रेनों में एक के बाद एक सिलसिलेवार बम ब्लास्ट हुए। (पढ़िए पूरी खबर)
ईडी ने अंतरराष्ट्रीय तस्कर हकीमजादा के खिलाफ दायर आरोपपत्र में मादक आतंकवाद नेटवर्क का खुलासा किया
नई दिल्ली। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने दुबई में रह रहे अंतरराष्ट्रीय मादक पदार्थ तस्कर जसमीत सिंह हकीमजादा के खिलाफ दायर आरोप पत्र में एक कथित मादक आतंकवाद नेटवर्क का खुलासा किया है, जो हेरोइन की तस्करी और उससे होने वाली कमाई को प्रतिबंधित आतंकवादी संगठन खालिस्तान लिबरेशन फोर्स (केएलएफ) को वित्त पोषित करने के लिए […] The post ईडी ने अंतरराष्ट्रीय तस्कर हकीमजादा के खिलाफ दायर आरोपपत्र में मादक आतंकवाद नेटवर्क का खुलासा किया appeared first on Sabguru News .
DNA in Hindi Islamic Terrorism: दुनियाभर में आतंकवाद की जितनी भी घटनाएं होती हैं, उनमें से 85 प्रतिशत इस्लामिक आतंकवाद से जुड़ी होती हैं. यह हम नहीं कह रहे बल्कि आंकड़े इसकी गवाही दे रहे हैं. अब इस आतंकवाद के खिलाफ माहौल बनने लगा है.
ऑस्ट्रेलिया के सिडनी में यहूदियों पर रविवार 14 दिसंबर को हुए आतंकी हमले की अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने कड़ी निंदा की। इसके साथ ही उन्होंने दुनिया के तमाम देशों को कट्टर इस्लामिक आतंकवाद के खिलाफ एकजुट होने की अपील की
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड जे. ट्रम्प ने ऑस्ट्रेलिया के लोगों के प्रति संवेदना व्यक्त करते हुए आतंकवाद के खिलाफ वैश्विक एकजुटता का आह्वान किया। उन्होंने कहा कि कट्टरपंथी इस्लामी आतंकवाद मानवता के लिए गंभीर खतरा है और इससे निपटने के लिए सभी देशों को मिलकर निर्णायक कदम उठाने होंगे।
DNA: गाजा का दर्द दिखा, सिडनी का क्यों नहीं? आतंकवाद के खिलाफ प्रदर्शन में सिलेक्टिव रवैया क्यों?
Bondi Beach Attack:दुनिया के अलग-अलग हिस्सों में इस समय भी गाजा और फिलिस्तीन को लेकर प्रदर्शन हो रहे हैं. ब्रिटेन, जर्मनी, डेनमार्क और नीदरलैंड्स समेत कई देशों में लोग अचानक सड़कों पर उतरकर प्रदर्शन कर रहे हैं. लेकिन उनके प्रदर्शन का एजेंडा आतंकवाद का विरोध नहीं है बल्कि गाजा है.

